sasur bahu chudai Archives - Antarvasna https://sexstories.one/tag/sasur-bahu-chudai/ Hindipornstories.org Fri, 06 Nov 2020 04:15:15 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.1 ससुराल में तीन लंड और मैं अकेली https://sexstories.one/sasural-me-samuhik-chudai/ Fri, 16 Oct 2020 02:27:41 +0000 https://sexstories.one/?p=320 हैल्लो फ्रेंड्स.. हिंदी चुदाई और सामूहिक चुदाई के दुनिया में आपका स्वागत है.. मेरा नाम रेणु है और मेरी उम्र 24 साल है। में बहुत गोरी और सेक्सी फिगर की लड़की हूँ। मेरे बूब्स ज्यादा ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हैल्लो फ्रेंड्स.. हिंदी चुदाई और सामूहिक चुदाई के दुनिया में आपका स्वागत है.. मेरा नाम रेणु है और मेरी उम्र 24 साल है। में बहुत गोरी और सेक्सी फिगर की लड़की हूँ। मेरे बूब्स ज्यादा बड़े तो नहीं.. लेकिन में बहुत ज्यादा सेक्सी हूँ। मेरा फिगर 32-34-38 है। मेरी गांड को देखकर कई लोगों के लंड पानी छोड़ देते है और में राजस्थान के एक छोटे से शहर भीलवाड़ा की रहने वाली हूँ। दोस्तों आज में जिस कहानी को आप सभी के सामने लेकर आई हूँ.. यह कहानी नहीं.. मेरे साथ हुई एक सच्ची घटना है।

जिसने मेरी पूरी जिन्दगी ही बदल कर रख दी। दोस्तों यह मेरी पहली कहानी है और अगर मुझसे इसमें कोई भी गलती हो तो प्लीज मुझे माफ़ करें। दोस्तों मेरे पिता बहुत ही ग़रीब है और मैंने अपनी पढ़ाई बहुत ही गरीबी की हालत में पूरी की है। में पढ़ाई और घर के सभी कामों में बहुत अच्छी हूँ। लेकिन वक्त से पहले ही दिखने वाले मेरे सेक्सी बदन की वजह से मेरे पापा ने एक साल पहले मेरी शादी पास ही के गावं के एक ज़मींदार के 30 साल के बेटे से करवा दी। अभी तो मैंने अच्छे से अपनी जिन्दगी के वो दिन भी नहीं देखे थे जिसमे मुझे कोई अपनी निगाह से घूरकर देखे।

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मेरे सेक्सी बदन को देखकर शादी में ज़मींदार ने मेरे पिताजी से दहेज में कुछ भी नहीं लिया। बस यह कहा कि शादी के बाद लड़की कभी अपने बाप के घर नहीं जाएगी और फिर मेरी शादी एक आम शादी की तरह हुई.. ये कहानी आप हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर पढ़ रहे है.. लेकिन मुझे उनकी नजरें ठीक नहीं लगती थी। मेरे ससुराल में मेरी सास, ससुर मेरा पति और मेरा देवर रहते है। मेरे ससुर ठाकुर ज़मींदार 45 साल के है और मेरी सास 40 साल की और देवर की उम्र 25 साल है। वो मेरी शादी के बाद का घर में पहला दिन था और सभी मेहमानों के जाने के बाद में थोड़ा आराम करने लेट गई। तभी अचानक से मेरी सास कमरे में आई और बोली कि रंडी साली कुतिया तू अभी तक सोई पड़ी है.. चल उठ साली हरामजादी। तो में जल्दी से कांपती हुई उठकर खड़ी हो गई।

फिर सास बोली कि अभी तो तेरी मुहं दिखाई बाकी है और अब तू इस घर के कुछ नियम सीख ले.. घर पर तुझे सब रंडी या गालियाँ देकर ही बुलाएँगे और तुझे घर में एक नौकरानी की तरह बाकी नौकरो के साथ काम करना पड़ेगा। में जो कपड़े दूँगी तू वो ही पहनेगी और तू किसी भी काम के लिए कभी भी मना नहीं करेगी। फिर में यह सब बातें सुनकर बहुत डर गयी। तो फिर मेरी सास ने मुझे इसके आगे बताया कि तू इस घर की रंडी बनकर रहेगी। आज तेरा मुहं और चूत दिखाई होगी..

तू घर के सभी मर्दों को खुश और संतुष्ट करेगी। यह बात सुनकर तो में बहुत चकित रह गई और फिर उन्होंने अपने साथ लाए कपड़े मुझे दिए और कहा कि नहाकर यह कपड़े पहनकर अपने ससुर के कमरे में आ जाना और थोड़ा जल्दी.. वरना में तेरा बहुत बुरा हाल करूँगी कि तू जिन्दगी भर नहीं भूलेगी। तो में जल्दी से बाथरूम गई और फटाफट नहाकर बाहर आई और जब मैंने वो कपड़े देखे जो मेरी सास ने लाकर मुझे पहनने के लिए दिए थे तो में उन्हें देखकर बहुत हैरान हुई।

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उसमे सिर्फ़ लाल रंग की एक चोली और घाघरा था.. वो चोली भी बहुत छोटी और सिर्फ़ पीछे एक डोरी से बंधी हुई थी और उसमे से मेरे 32 साईज़ के बूब्स सब बाहर दिख रहे थे और घाघरा इतना छोटा कि मेरी नंगी जांघे दिख रही थी और उसके साथ एक जाली का दुपट्टा था जो कि कुछ भी छुपा नहीं रहा था।

फिर मुझे अपने आपको ऐसे दिखाने में बहुत शरम आ रही थी और ऐसे ही मुझे अपने ससुर के सामने जाना था। मेरे ससुराल में सब कमरो के बीच में एक खुला आँगन है और जब में अपने कमरे से निकली तो घर के नौकर बंसी और रामू मुझे घूर घूरकर देख रहे थे और तभी इतने में मेरा देवर मेरे पास आया और बोला कि अरे रंडी भाभी तू क्या माल लग रही है? ये कहानी आप हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर पढ़ रहे है.. जब मेरा नंबर आएगा तो में तेरा वो हाल करूँगा कि तू सोच भी नहीं सकती.. चल अभी के लिए एक चुम्मा ही दे दे और यह कहकर वो ज़बरदस्ती मुझे चूमने लगा और मेरे बूब्स दबाने लगा और यह सब वो नौकरो के सामने ही कर रहा था। फिर वो बोला कि चल कुतिया अभी अपने ससुर को अपनी नई नवेली चूत दिखा और फिर उसने मुझे मेरे ससुर के कमरे के दरवाजे पर छोड़ा। तो अपने देवर के चूमने और मेरे बूब्स दबाने से मेरी चूत गीली हो गयी थी। फिर मैंने दरवाज़ा खटखटाया.. तभी मुझे अंदर से मेरी सास की आवाज़ आई कि रंडी अंदर आ जा और अपने घुटनों पर बैठकर कुतिया बन जा।

फिर मैंने दरवाजे से थोड़ा अंदर आकर देखा कि अंदर कमरे में बहुत रोशनी थी और मेरे ससुर कुर्सी पर बैठे थे और मेरी सास बिस्तर पर। तभी ससुर गुस्से में बोले कि साली रंडी हरामजादी तू कितनी देर में आई है चल अब यूँ ही घुटनों के बल बैठकर कुतिया जैसे चलकर मेरे पास आ और मेरे जूते चाट। फिर जब में घुटनों पर कुतिया बनने के लिए बैठी तो बिना ब्रा के मेरे दोनों बूब्स चोली के बाहर लटक गये और मेरी नंगी गांड दिखने लगी और मुझे बहुत शरम आ रही थी..

लेकिन मेरे पास और कोई रास्ता भी नहीं था। फिर में वैसे ही कुतिया की तरह अपने घुटनों के बल अपने ससुर के पास गयी और उनके जूते चाटने लगी.. ये कहानी आप हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर पढ़ रहे है.. मेरा मुहं नीचे अपने काम में लगा हुआ था और मेरी गांड के ऊपर मेरे ससुर अपना एक हाथ फिराकर दबा रहे थे। उन्होंने धोती कुर्ता पहना था। फिर वो मुझसे बोले कि अब तू अपने बूब्स मेरे पैरों पर रगड़ और अपने आपको गालियाँ दे और मेरा लंड माँग।

Mastram Samuhik Chudai – मुस्लिम सब्ज़ीवाले ने मेरी बड़ी चूची वाली बीवी को चोदा

फिर मैंने अपने लटकते हुए बूब्स अपने ससुर के पैरों पर रगडे और गालियाँ देनी शुरू की.. मालिक में रंडी, हरामजादी कुतिया हूँ.. मालिक में आपके लंड की प्यासी हूँ.. मालिक मुझे आपका लंड चूसने दीजिए। मेरी चूत को आप जैसे चाहे मारो.. मालिक में आपकी रंडी हूँ। में ऐसे कह रही थी तभी उन्होंने अपना लंड धोती से निकाला और मेरे मुहं में डाल दिया और मेरे बाल पकड़ कर ज़ोर ज़ोर से हिलाने लगे.. उनका लंड मेरे गले तक आ रहा था और उन्होंने जल्दी ही मेरे मुहं में सारा वीर्य का पानी छोड़ दिया और यह सब देख रही मेरी सास भी गरम हो गयी थी और अपनी चूत में उंगली कर रही थी।

तो मेरे ससुर ने कहा कि अब जा साली रंडी अपनी सास की चूत चाट.. मुझे लगा कि ससुर जी ने अब मुझे फ्री कर दिया और में वैसे की कुतिया बनकर बिस्तर पर सास के पास गयी। उन्होंने अपनी गीली चूत फैला दी और में उनकी चूत चाटने लगी। तभी मेरे ससुर पीछे से अपनी छड़ी लेकर आए और मेरी गांड में डाल दी में बहुत ज़ोर से चिल्लाई तो मेरी सास ने मुझे चार जोरदार थप्पड़ मारे और गालियाँ दी.. रंडी कमिनी लगता है पहली बार तेरी गांड मारी जा रही है। में चुप हो गयी और मेरी सास की चूत वापस चाटने लगी। तो मेरी सास अपनी चूत चटवाते हुए सिसकियाँ ले रही थी और मेरे बूब्स ज़ोर ज़ोर से दबा रही थी।

तभी मेरे ससुर ने मेरी चूत में पीछे से ही अपना लंड डाल दिया और कुतिया की तरह चोदने लगे.. में बहुत गरम हो गयी थी और मेरी सास भी अब एक बार झड़ चुकी थी.. लेकिन में अभी भी आहह आह्ह्ह कर रही थी और कह रही थी और चोदो मुझे और चोदो मुझे.. 10 मिनट चोदने के बाद मेरे ससुर ने अपना लंड मेरी चूत से बाहर निकाला और वीर्य ज़मीन पर झाड़ दिया.. लेकिन में अभी तक एक बार भी झड़ी नहीं थी और चुदाई के लिए तड़प रही थी। तो यह देखकर मेरा ससुर बोला कि साली रंडी और चुदना चाहती है ना.. फिर मैंने कहा कि जी मालिक तो उन्होंने एक मोटी सी मोमबत्ती ली और मेरी चूत में डाल दी और कहा कि अब उछल साली हरामजादी कुतिया.. अब तू इस मोमबत्ती को और चूत को हाथ मत लगाना और सुबह तक तड़प।

फिर मेरी सास बोली कि चल यह ज़मीन पर पड़ा वीर्य सब अपनी जीभ से चाटकर साफ कर। तू नहीं तो क्या तेरी माँ साफ करेगी कुतिया की औलाद और फिर अपने पति के कमरे में जा वो अभी सो रहा होगा.. तू उससे जगाना मत.. बस नंगी होकर और उसका लंड अपने मुहं में डालकर रखना और सुबह लंड चूसते हुए उसे उठा देना। उसे ऐसे ही सोने की आदत है बाकी का काम में तुझे कल सुबह चाय पर बताउंगी।

Mastram Samuhik Chudai – ससुर ने गांड मारी बरसात में

फिर मैंने सारा वीर्य ज़मीन से चाटकर साफ किया और अपने पति के कमरे में आई और मैंने देखा कि वो नंगा होकर अपने पैर फैलाए सो रहा था और जैसा मेरी सास ने कहा था। में अपनी घाघरा चोली उतारकर नंगी होकर अपनी चूत में मोमबत्ती डाले बिस्तर पर गयी और अपने पति का लंड मुहं में डालकर सो गयी। फिर रात को गहरी नींद में मेरा पति मेरे बूब्स अपने दोनों हाथों से मसल रहा था।

दोस्तों इसके बाद मेरे पति ने मुझे तड़पा तड़पा कर चोदा और अब मेरा देवर मुझे अपनी रांड बनाकर चोदता है और मेरी सास मुझे बीच आँगन में नंगा करके नौकरो से चुदवाती है और सबके खाना खाते वक़्त में सबका लंड चूसती हूँ और घर के मर्द मेरे बूब्स को चूसते है और मेरे ससुर मुझे अपने कुत्ते के साथ कुतिया बनाकर बेल्ट से बाँधकर रखते है।

घर में कोई भी कभी भी मेरी चूत में लंड डाल देता है और ख़ास मेहमनो के सामने मुझे नंगी होकर पहले खाना सर्व करना पड़ता है और फिर मुझे रंडी बनाते है। हर दिन मेरे जिस्म से नया खेल खेलते है। दोस्तों मेरी गीली चूत से आप सभी लोगों को सलाम ।

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आप बड़े वो हो, ससुरजी.. https://sexstories.one/sasur-ne-choda/ Tue, 29 Sep 2020 09:17:12 +0000 https://sexstories.one/?p=1190 हेल्लो दोस्तों, मैं पिछले कई सालों से नॉन वेज स्टोरी की नियमित पाठिका रहीं हूँ और ऐसी कोई रात नही जाती तब मैं इसकी रसीली चुदाई कहानियाँ नही पढ़ती हूँ। आज मैं आपको अपनी स्टोरी ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हेल्लो दोस्तों, मैं पिछले कई सालों से नॉन वेज स्टोरी की नियमित पाठिका रहीं हूँ और ऐसी कोई रात नही जाती तब मैं इसकी रसीली चुदाई कहानियाँ नही पढ़ती हूँ। आज मैं आपको अपनी स्टोरी सूना रही हूँ। मैं उम्मीद करती हूँ कि यह कहानी सभी लोगों को जरुर पसंद आएगी। sasur ne choda

मेरे पति BSF [बोर्डर सिक्योरिटी फ़ोर्स] में जम्मू कश्मीर के पुंज जिले में तैनात थे। मैं हमेशा अपने पति की सलामती को लेकर परेशान रहती थी। फिर एक दिन पाकिस्तान की सेना ने सीस फायर का उल्लंघन कर दिया। उस तरफ से भारी गोला बारी होने लगी और मेरे पति उसमें शहीद हो गये थे।

अब मेरी ससुराल में सिर्फ मेरे ससुर और मैं ही बची थी। मेरे पति की मौत का सदमा मुझे और ससुर जी दोनों को बहुत हुआ था। 3 महीने तक हम दोनों ने खाना नही बनाया था और हमारे पडोसी जो भी खाना दे जाते थे, मैं और ससुर जी उसी से काम चला लेते थे। घर में तो अब सब तरफ सिर्फ और सिर्फ सन्नाटा ही रहता था। 6 महीने बाद हम लोग नार्मल हुए।

“बेटी शीतल!! अभी तू जवान है। खूबसूरत है। तेरे सामने पूरी जिन्दगी पड़ी है। तू किसी लड़के से शादी कर ले!!” मेरे ससुर जी बोले sasur ne choda

“नही पापा जी!! अब मैंने सारी जिन्दगी कमल [मेरे पति] की विधवा बनके रहूँगा। मुझे शादी की कोई जरूरत नही है” मैंने ससुर जी से कहा sasur ne choda

धीरे धीरे हम दिन गुजारने लगे। घर में सिर्फ ससुर जी और मैं ही थे। और कोई मर्द नही था। कई बार जब आँगन में मैं नहाती थी तो ससुर जी बाथरूम जाने के लिए निकल जाते थे। हमारे घर में टॉयलेट आंगन के किनारे ही है। कई बार मेरे ससुर जी मुझे नहाते हुए देख लेते थे। मैं अभी 26 साल की जवान लड़की थी और ससुर जी 50 पार कर चुके थे। जब रात होती थी तो मैं ससुर जी को याद करके अपनी चूत में ऊँगली कर लेती थी।

दोस्तों एक दिन रात के 11 बजे थे। अचानक मुझे उलटी आने लगी। मेरी आवाज सुनकर ससुर जी आ गये और जल्दी से मेरे लिए एक बाल्टी पानी नल चलाकर भर दिया। मैं उलटी कर रही थी। ससुर जी मेरी पीठ सहलाने लगे जिससे मुझे शान्ति मिल जाए। फिर मेरे सिर में उन्होंने झंडू बाम लगा दिया। धीरे धीरे अब मैं अपने ससुर जी को प्यार करने लग गयी थी। जब वो मेरे कमरे से जाने लगे तो पता नही कैसी मेरा एक कंगन उनकी शर्ट में फस गया। ससुर जी निकालने लगे तो मैंने उनके हाथ में किस कर लिया।

“ये क्या बहू???” ससुर जी सहज भाव से बोले sasur ne choda

“पापा जी!! इनके जाने के बाद से आपने मेरा बहुत ख्याल रखा है। इसके लिए थैंक्स। शायद मैं आपसे प्यार करने लगी हूँ” मैंने कहा दिया

“नही बेटी!! ये गलत है। तुम मेरी बहू हो। बहू तो बेटी की तरह होती है” ससुर जी बोले और चले गये। sasur ne choda

सारी रात मैं सो नही सकी। अगले दिन जब मैं घर की छत पर गेंहू सुखा रही थी अचानक कहीं से काले काले बादल आ गये। मुझे मजबूरन अपने ससुर जी को गेंहू उठवाने के लिए बुलाना पड़ा। पर जब तक हम दोनों गेंहू उठाते झमाझम पानी बरसने लगा। ससुर जी और मैं पूरी तरह से भीग गये थे। तभी जोर की हवा चली तो मेरी साड़ी का पल्लू हवा से उड़ा और नीचे आ गया। मेरे ब्लाउस ससुर जी के सामने खुलकर आ गये थे। sasur ne choda

झमाझम बारिश से मेरा अंग अंग भीग चुका था। सिर से पाँव तक मैं भीग चुकी थी। मेरा ब्लाउस भी पूरी तरह से भीग चुका था। उस दिन मैं ब्रा नही पहनी थी। इसलिए मेरी बड़ी बड़ी खूबसूरत 40” की चूचियां के दर्शन ससुर जी को होने लगे। ब्लाउस के हल्के आसमानी कपड़े के भीतर से मेरे चूचियों के काले काले सेक्सी घेरे ससुर जी को दिखने लगे। ससुर जी खुद को रोक नही पाए और मेरे दुधारू मम्मो को घूरने लगे। दोस्तों ऐसा संयोग बन गया था की हम दोनों बहू और ससुर उस दिन मजबूर हो गये थे।

अचानक बिजली चमकी और मैं डरकर ससुर जी के सीने से लग गयी। उसके बाद तो सब उल्टा पुल्टा हो गया। ससुर जी ने मुझे पकड़ लिया और किस करने लगे। शायद आज वो मेरी रसीली चूत चोदना चाहते थे। अंदर से मेरा भी मन था। बारिश में हम लोग भीग रहे थे। ससुर जी से शर्ट पेंट पहन रखा था। पर जब वो मुझे किस करने लगे तो उनका लंड खड़ा हो गया था। बारिश की ठंडी बुँदे मेरे खूबसूरत गोरे चेहरे को भीगा रही थी।

मेरे गुलाबी सेक्सी होठ बारिश के पानी में भीग चुके थे। अचानक मेरे ससुर जी ना जाने क्या हो गया था। उन्होंने मुझे घर की छत पर ही पकड़ लिया और मेरे भीगे सेक्सी होठो पर अपने होठ रख दिए। और किस करने लगे। मैं भी खुद को रोक नही पाई और किस करने लगी। धीरे धीरे मेरा चुदाने का मन करने लगा। ससुर का मुझे चोदने का मन करने लगा। हम दोनों आज इश्क लड़ाने वाले थे। sasur ne choda

ससुर जी ने मेरी पतली कमर में हाथ डाल दिया और मुझे सीने से चिपका लिया। हम किस करने लगे। ससुर जी मेरी बहकी बहकी सांसें पीने लगे। ओह्ह गॉड!! वो सब बहुत रोमांटिक और सेक्सी था। मेरे गुलाबी बारिश में भीगे अनार जैसे होठ ससुर जी चूस रहे थे जैसे कोई संतरा चूस रहे हो। मेरी चूत गीली हो रही थी। आज मैं ससुर जी का मोटा लंड खाना चाहती थी। आज मैं ससुर जी को अपना पति बनाना चाहती थी।

उन्होंने 20 मिनट तक मेरे रसीले अंगूर के दाने जैसे होठ चूसे फिर मेरे दुधारू 40” के मम्मे पर हाथ रख दिया। और दबाने लगे। मैं कुछ नही कहा। आज मैंने ससुर जी को नही रोका। क्यूंकि मैं भी आज उनसे चुदना चाहती थी। वो तेज तेज मेरे बूब्स दबा रहे थे। मेरी बेताब उफनती छातियों से अभी भी बारिश का पानी टपक रहा था। ससुर के हाथ मेरे मम्मो को बेरहमी से दबा रहे थे। मुझे मजा आ रहा था।

“बहू!! आज तेरी चूत मारूंगा!!” ससुर जी बोले sasur ne choda

“चोद लीजिये मुझे। कोई दिक्कत नही!!” मैंने कहा

उसके बाद तो मेरे 50 साल के ससुर ने मुझे गोद में उठा लिया और नीचे आंगन में ले आये। उन्होंने मुझे आंगन के फर्श पर लिटा दिया। मेरे उपर वो लेट गये। उन्होंने जल्दी ने मेरे ब्लाउस पर हाथ रखा और बाए हाथ वाले मम्मे के कपड़े को उपर उठा दिया। फिर दाई चूची को ससुर जी ने ब्लाउस से बाहर निकाल लिया। उन्होंने मेरे ब्लाउस की एक बटन भी नही खोली और बस कपड़े को ऐसे ही उपर उठा दिया। उसके बाद तो मेरी नंगी बारिश में भीगी सफ़ेद रसीली चूचियां ससुर जी के हाथ में आ गयी थी। वो तेज तेज मेरी चूची को दबाने लगे। मैं “ओह्ह माँ….ओह्ह माँ…आह आह उ उ उ उ उ……अअअअअ आआआआ….” की आवाज निकाल रही थी क्यूंकि मुझे बहुत सेक्सी फील हो रहा था। मेरे पति को शहीद हुए 1 साल हो गया था।

जब पति जिन्दा थे मेरी चूचियां दबाया करते थे पर जबसे उनकी मौत हुई किसी ने मेरी चूची नही दबाई। आज फिर से मेरी जिन्दगी में वो यादगार पल वापिस लौट आया था। ससुर जी अपने हाथ से मेरी चूची तेज तेज दबा रहे थे। मैं सिसक रही थी। मैं जन्नत के मजे लूट रही थी। क्यूंकि मुझे अच्छा लग रहा था। फिर ससुर जी मेरे मम्मे मुंह में लेकर पीने लगे। मैं उनको सीने से चिपका लिया और दूध पिलाने लगी। धीरे धीरे ससुर जी का लंड खड़ा हो गया था।उसके बाद उन्होंने मेरे ब्लाउस की बटन खोल डाली और ब्लाउस निकाल दिया। फिर मेरी ब्रा भी खोल दी। अब मैं ससुर जी के सामने पूरी तरह से नंगी थी। वो मेरे 40” के बूब्स को दबा रहे थे और पी रहे थे। मैं पूरी तरह से चुदासी हो गयी थी। आज मैं अपने ससुर जी का मोटा लंड खाना चाहती थी। sasur ne choda

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ससुर ने गांड मारी बरसात में https://sexstories.one/sasur-ne-bahu-ko-choda/ Fri, 07 Aug 2020 10:02:23 +0000 https://sexstories.one/?p=59 हेलो दोस्तों.. मेरा नाम शालिनी है और मैं अपने ससुर के साथ रहती हूँ.. मेरी उम्र 30 साल है और मेरी शादी को सात साल बीत चुके है.. लेकिन अभी तक मेरे कोई बच्चा नहीं ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हेलो दोस्तों.. मेरा नाम शालिनी है और मैं अपने ससुर के साथ रहती हूँ.. मेरी उम्र 30 साल है और मेरी शादी को सात साल बीत चुके है.. लेकिन अभी तक मेरे कोई बच्चा नहीं है क्योंकि मेरा पति मुंबई में काम करता है और मैं अपने ससुर जी के साथ गाँव में रहती हूँ और वो यहाँ पर रहकर हमारी खेती संभालते हैं. sasur ne bahu ko choda

मैं चुदाई के लिए बहुत तड़पती हूँ और मेरा पति घर पर साल में एक या दो ही बार आता है और उसका लंड बहुत छोटा है और वो मेरी ठीक तरह से चुदाई भी नहीं करता. इस कारण हमे बच्चे भी नहीं हैं और मेरी सासू माँ को मरे हुये भी बहुत साल हो चुके हैं मेरे पापा जी मतलब ससुर 56 साल के हैं.. लेकिन खेती करने और मेहनत करने के कारण अभी भी तंदरुस्त हैं. उनकी लम्बाई 6.2 इंच हैं और बहुत तगड़े हैं और बहुत आकर्षक हैं.

मैं एक सावली औरत हूँ.. sasur ne bahu ko choda

लेकिन में दिखने में बहुत मस्त हूँ और मेरा फिगर 34-30-34 है. फिर कई बार खेत में काम करते वक़्त और वहीं पर नहाते वक़्त मैंने बाबू जी का लंड बहुत बार देख लिया और अब मुझे उसको लेने की चाहत होने लगी थी. वो 9 इंच लंबा और 3 इंच मोटा है और जब भी मैं काम करती वो भी मुझे घूर घूरकर देखते थे और फिर मैं भी आज कल उनको अपने बूब्स के लगातार दर्शन दे रही थी.. नहाने के बाद जानबूझ कर टावल में उनके सामने आ जाती और वैसे ही कभी चाय तो कभी खाना बनाती और फिर बाद में कपड़े पहनती.

फिर एक दिन शाम को मेरे ससुर जी ने कहा कि बहू मुझे रात को खेत पर किसी काम से जाना है और मैं रात को थोड़ा देर से आऊंगा. तो मैंने उनसे कहा कि मैं भी आपके साथ चलूंगी क्योंकि यहाँ पर अकेले में रात को मुझे बहुत डर लगता है. तभी बाबू जी ने कहा कि ठीक है.. लेकिन तुम वहाँ पर क्या करोगी? तो मैंने कहा कि जो आप कहे वही और वो हंस पड़े और मान गये. फिर मैंने जल्दी से खाना बनाया और हम खाना खाकर साथ में चल दिए.

हमारा खेत बहुत दूर था और पैदल जाने में 20 मिनट लगते थे.. sasur ne bahu ko choda

तो इसलिए हम दोनों साईकिल से गये ताकि हम लोग वहां पर जल्दी पहुँच जाए और मैं साईकिल के सामने वाले डंडे पर बैठ गयी और वो साईकिल चलाने लगे. तभी उनके पैर साईकिल चलाते वक्त मेरी गांड पर लग रहे थे और उनकी छाती मेरी पीठ से लग रही थी.. जो की बिल्कुल नंगी थी क्योंकि मैंने पीछे से खुले टाईप का ब्लाउज पहना था और मैं हमेशा शहर आती जाती थी तो फैशन के बारे में मुझे थोड़ा बहुत मालूम था.

उन्होंने बनियान और लूँगी पहनी थी और अंदर कुछ नहीं पहना था और यह मैंने साईकल पर बैठते वक़्त देख लिया था. मैंने भी साड़ी पहनी थी और अंदर पेंटी नहीं पहनी थी और ब्रा भी नहीं पहनी और फिर हम थोड़ी ही दूरी पर पहुंचे थे इतने में ही बहुत ज़ोर की बारिश आ गई और हम थोड़ा बहुत पानी से भीग भी गए. तो उस अंधेरी रात में हम दोनों एक पेड़ के नीचे खड़े होकर बारिश के रुकने का इंतजार करने लगे.. हमे दूर दूर तक कोई भी नजर नहीं आ रहा था और ना ही कहीं छिपने की जगह दिख रही थी.

तभी मुझे ठंड लगने लगी और गीले होने की वजह से पेशाब भी आने लगा तो मैंने बाबू जी से कहा कि मुझे बहुत ज़ोर से पेशाब आ रहा है अब मैं क्या करूं? मुझे कहीं पेशाब करने के लिए जाना है. तो उन्होंने कहा कि हाँ आया तो मुझे भी है.. तुम भी यहीं पर कर लो क्योंकि आगे बहुत अंधेरा है और कोई साँप वगेरह ना आ जाए.

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मैंने कहा कि ठीक है और मैं वहीं पर दो चार कदम की दूरी पर अपनी साड़ी को थोड़ा ऊपर उठाकर अपने दोनों हाथों में लेकर नीचे बैठ गई और सस्शह की आवाज़ से मूतने लगी. फिर ससुर जी भी अपनी लूँगी को थोड़ा ढीली करके मेरी दूसरी तरफ मुड़कर मूतने लगे.. लेकिन तिरछी निगाह से मैंने उनका लंड देख लिया था. फिर वो जल्दी से पेशाब करके खड़े हो गए थे.. तभी बहुत ज़ोर से बिजली चमकी और में चिल्लाते और डरते हुए सीधा बाबू जी से चिपक गयी. इस हलचल में बाबू जी की लूँगी खुलकर नीचे गिर गयी और वो बिना लूँगी के हो गए और मेरी नंगी चूत उनके लंड से चिपक गयी और में उनकी बाहों में कसमसाने लगी..

मैं बहुत डर गयी थी और अब धीरे धीरे उनके हाथ भी मेरी पीठ पर घूमने लगे थे और मेरी पीठ को सहलाने लगे.. मुझे उनके हाथ का स्पर्श मेरी कमर पर बहुत अच्छा लग रहा था. तो उन्होंने पूछा कि क्या हुआ बहू इतना क्यों डर गयी? सही तरह से मूत पाई या नहीं? तो मैंने कहा कि हाँ बाबू जी मैं बहुत डर गयी हूँ और मेरा तो उस बिलजी की आवाज से पेशाब भी बंद हो गया. आपने मूता या नहीं?

तो वो बोले कि कहाँ मूत पाया तुम जो आकर मुझसे चिपक गयी. sasur ne bahu ko choda

मैं थोड़ा शरमा गयी और तभी फिर से एक बार और ज़ोर से बिजली कड़की और उसकी आवाज से मेरा सारा मूत खड़े खड़े ही उनके लंड के ऊपर पर निकल गया जो कि मेरी चूत के मुहं से चिपका हुआ था. तो मैं उनकी बाहों में कसमसाने लगी और तड़प उठी. तभी बाबू जी बोले कि ओहआहह बरसात के ठंडे पानी में कुछ अजीब सा गरम गरम लग रहा है.

तो अब मेरे ससुर की दोनों आँखे भी बंद हो गई और वो बोले कि बहू इतनी ठंड में भी तुम्हारा गरम पेशाब क्या जादू कर रहा है और मेरा भी मूत निकलने वाला है. मेरी मूत की धार तेरी धार में मिलने दे.. मेरी भी हालत खराब हो गई. मैंने कहा कि बाबू जी मुझे क्या हो रहा है? आपका लंड सीधा मेरी चूत के मुहं पर अपना मूत गिरा रहा है ऊहह हमारा पानी मिल रहा है. तभी मुझे मेरे पैर पर कुछ महसूस हुआ और मैं चीखकर उचक पड़ी और बाबू जी से लिपट गयी और मेरे दोनों पैर बाबू जी की कमर से लिपट गए थे.

मेरी चूत उनके लंड के ऊपर आकर खुद ब खुद सेट हो गई थी sasur ne bahu ko choda

और एकदम से उचकने के कारण सपोर्ट के लिए उनके हाथ भी मेरी नंगी गांड पर आ गए थे और एक हाथ मेरी गांड की दरार में घुस गया था.. अह्ह्ह मेरा मूत पिताजी के लंड पर बह रहा था और उनका मूत मेरी चूत और गांड को गरम कर रहा था और हम सिर्फ़ आह्ह्ह ऐसे ही चिपक कर खड़े रहे. तभी बाबू जी बोले कि बहू तेरी क्या मस्त गांड है? तो मैंने कहा कि बाबू जी आपका लंड मेरी चूत को गीला कर रहा है और आपका हाथ मेरी गांड में घुसा जा रहा है शईई.

तभी बाबू जी बोले कि वाह क्या मस्त गांड है.. बहू तुम्हारी गांड में एक बाल भी नहीं हैं और तू मेरे लंड पर बैठकर मूत रही है कुतिया. मैंने कहा कि बाबू जी आपका लंड भी तो मेरी चूत और गांड में मूत रहा है और मुझे गरम कर रहा है कुत्ते और वैसे भी तेरा बेटा मेरी चूत की प्यास नहीं बुझाता और बाप है कि चूत में मूत रहा है. तभी ससुर जी ने जोश में आकर अपनी एक उंगली मेरी गांड में डाल दी.. तो मैं दर्द से सिसकियाँ लेने लगी और कह रही थी बाबू जी आप यह क्या कर रहे हो? अपनी बहू की गांड में उंगली डाल रहे हो अब वहाँ से मेरा हलवा निकालोगे क्या? तो बाबू जी बोले कि कुतिया अगर तेरी गांड का हलवा खाने को मिले जाए तो क्या बात है.

फिर मैं भी बड़े आराम से सिसकियाँ लेकर अपनी गांड में उंगली घुसवा रही थी और लंड पर ज़ोर ज़ोर से उचक रही थी और उनके लंड को अपनी चूत के पानी से गीला कर रही थी ओह अह्ह्ह और फिर उन्होंने मुझे गोद से उतारा और मेरी साड़ी फाड़कर फेंक दी और अपनी बनियान भी उतार कर मुझसे नंगे होकर चिपक गये. तो मैंने भी अपने हाथ उनकी गांड की दरार में डालकर उनकी गांड में उंगली करने लगी. वो बोले कि साली रांड अपने ससुर की गांड में उंगली डाल रही है अब क्या उसको चाटेगी? कुतिया निकाल बाहर.

फिर मैंने वैसे ही किया और फिर मैंने ससुर जी से कहा कि ससुर जी अपना यह खंबा मेरी गांड में डालकर बना लो अपनी कुतिया और कुत्ते की तरह चोदो मुझे और लंड फंसा दो और मेरे बूब्स पीकर मुझे अपनी औलाद जैसा सुख दे दो. मुझे ज़ोर से चोद साले भडवे.. फिर में जल्दी से कुतिया बन गई. वो बोले कि रंडी अभी तेरी मस्त गांड चूत सब चोद चोदकर फाड़ता हूँ. रुक अभी अपना लंड घुसाता हूँ.. रंडी बहू ले अपने बाबू जी का लंड खा. तो मैं वहीं मिट्टी से सनी पूरी गीली, बरसात के बरसते पानी में कुतिया बन गयी और बाबू जी मेरे पीछे आकर अपना लंड मेरी चूत में घुसाने लगे और कहने लगे कि ले मेरी कुतिया ले अपने बाप का लंड ले मेरी बहू अपनी चिकनी चूत में.

अब मैं इसका भोसड़ा बना दूँगा क्या टाईट है रे तेरी चूत. sasur ne bahu ko choda

मैं कहने लगी कि अहह तेरा लंड थोड़ा आराम से डाल मेरे पालतू कुत्ते, मेरे पति के बाप.. बाबू जी आपका लंड बहुत बड़ा है आराम से डालो ना मदारचोद बहनचोद.. तेरा बेटा तो चोदता नहीं.. अब तुझ से ही डलवा लिया.. आज मार देगा क्या? आअहह और उनका लंड मेरी चूत को फाड़ता हुआ अंदर घुस गया और वो कुत्ते की तरह धक्का देकर मेरी चुदाई करने लगा आह्ह्ह आहह और ज़ोर से चोदो ना बाबू जी हाँ ऐसे ही चोदना.. लंड अंदर डालकर मूत दे.. मार मेरी चूत में और गांड में उंगली डाल ना गांडू.. मैं हमेशा अपनी गांड तुझसे ही चुदवाऊँगी. तभी बाबू जी ने कहा कुतिया ले ले मेरा लंड ले.. मेरी उंगली गांड में और दे मुझे तेरा हलवा कुतिया. वो मेरे बूब्स को भी बड़ी बेरहमी से दबा रहे थे. फिर उन्होंने झट से लंड बाहर निकाला और मेरे मुहं में झड़ लगा दिया.. आहह ले पी साली ऐसे ही पी जा सारा माल.

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मैं बोली कि क्या मज़ा आ रहा है बाबू जी मेरी गांड भी मारो.. मेरी गांड में अपना लंड डालकर फाड़ दो. फिर बाबू जी मेरी गांड में लंड घुसाकर बोले कि आह रंडी बहू ले अपनी गांड में ससुर का लंड खा आ हाहह क्या टाईट गांड है तेरी. तो मैं बोली कि हाँ बाबू जी आप ही मेरे सैयां हो.. ओहहहा आह चोदो ना बाबू जी.. चोद मादरचोद चोद मेरी गांड और अपना माल भर दे मेरी गांड के छेद में और पिला मुझे मेरी गांड का जूस. फिर बाबू जी बोले कि मेरा भी निकल रहा है.. आहह में भी झड़ रहा हूँ मेरी बहू. तो मैं कहने लगी कि हाँ डाल दो अपनी रंडी बहू की गांड में.

तो दोस्तों इस तरह बाबू जी ने मेरी चूत और गांड दोनों मारी और मुझे चोदकर चुदाई का पूरा सुख दिया.. उस रात हमने घर पर आकर दो बार और चुदाई की फिर थककर सो गए.. लेकिन फिर हमारी चुदाई ऐसी चली कि उसने रुकने का नाम नहीं लिया और मुझे बाबू जी ने बहुत बार चोदा और मुझे अपने बच्चे की माँ बना दिया.. जिसे मैंने सबके सामने मेरे पति का नाम दिया और अब मैं बहुत खुश हूँ क्योंकि मुझे तगड़े लंड के साथ साथ एक बच्चा भी मिल गया ..

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