samuhik chudai Archives - Antarvasna https://sexstories.one/tag/samuhik-chudai/ Hindipornstories.org Fri, 10 Dec 2021 05:57:32 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.1 पहले प्यार को दिया धोखे का अंजाम https://sexstories.one/girlfiend-ki-chooth-chudai/ Wed, 08 Dec 2021 11:58:56 +0000 https://sexstories.one/?p=3403 मेंने एक उँगली उसकी चूत मे डाली वो उचकने लगी और बोली संजय प्लीज मत कर निकाल इसे प्लीज में ओर ज़ोर से करने लग गया वो बोली कुत्ते क्यों कर रहा है मेंने दूसरी उँगली भी उसकी चूत मे डाल दी वो चिल्ला उठी..

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Girlfriend ki chooth Chudai – मेरा नाम संजय है में एक एम.एन.सी कम्पनी मे काम करता हूँ रोज सुबह ऑफीस निकल जाता हूँ और फिर रात मे अपने फ्लेट पर आता हूँ मेरा फ्लेट मेयर विहार मे है इसी साल जॉब लगी है लेकिन आज भी कॉलेज के दिन बहुत याद आते है उन्ही दिनो की बात है में बी.कॉम का स्टूडेंट था ओर जयपुर से बिलोंग करता हूँ। जयपुर मे कॉस्टिंग की कोचिंग के लिए देवराज सर के पास पढ़ने जाता था वहा पर ही में शिखा से मिला वो भी बी.कॉम कर रही थी।

पहले कुछ टाइम तो बात नही हुई जस्ट एक दूसरे को देखते ओर स्माइल पास करते पर कुछ टाइम बाद बात करना स्टार्ट कर दी नॉर्मल बाते करते थे लेकिन कुछ टाइम बाद परीक्षा आ गई ओर बात करना कुछ ओर ज्यादा हो गया क्योकी परीक्षा टाइम मे पढाई से रिलेटेड बात बड़ जाती है.

फिर रियलाइज़ हुआ की में उससे प्यार करने लगा हूँ और 18 जनवरी 2008 को मैने उसे प्यार का इजहार किया.. लेकिन उसने मना कर दिया वो बोली की संजय अभी इन सब बातो का टाइम नही है। अभी पढाई पर ध्यान दो में भी समझ गया ओर सब भूल गया.. कुछ दिन बाद मेरा दोस्त दीपक, जो मेरे साथ ही कोचिंग पर जाता था, उसने बताया की शिखा उसकी गर्लफ्रेंड बन चुकी है.. मैने यकीन नही किया..

लेकिन जब उसने मेरे सामने शिखा से बात की तो मुझे यकीन हो गया मैने दीपक को समझाया की वो शरिफ लड़को का इस्तमाल करती है पर दीपक ओर मेरे बीच मे ही लड़ाई हो गई टाइम निकलता गया 3rd ईयर आ गया दीपक मेरे पास आया बोला यार तूने सही बोला था वो अब बोल रही है की वो मेरे साथ नही रहना चाहती.

मेंने दीपक से पूछा की तूने कभी उसके साथ सेक्स किया था… दीपक ने साफ मना कर दिया और बोला वो इस टाइप की लड़की नही थी यार में हंसने लगा मैने कहा शिखा अपना काम निकालना जानती है बस हम दोनो को उस पर बहुत गुस्सा आ रहा था लेकिन हम दोनो कर भी क्या सकते थे फिर मैने एक प्लान सोचा मैने अजय को फोन किया जो की मेरा बहुत पुराना दोस्त था ओर जयपुर मे उसका किराये पर अपार्टमेंट भी था जिसमे वो अकेला किराये पर रहता था.

मैने अजय को बोला की तू शिखा के साथ दोस्ती कर ओर हमारी कोचिंग जॉइन कर ले अजय ने कोचिंग जॉइन की ओर शिखा से दोस्ती की ओर मुझे याद है अक्टूबर मे वो दोनो बहुत अच्छे दोस्त बन चुके थे 16 अक्टूबर को मैने अजय को बोला की तू कुछ भी कर लेकिन शिखा को अपने फ्लेट पर लेकर आ में ओर दीपक उसको नही छोड़ेगे उसने भी वही किया 18 अक्टूबर को दिन का टाइम था..

वो शिखा को अपने फ्लेट पर लाया फ्लेट मे.. में ओर दीपक बेडरूम मे थे.. वो हॉल मे बाते कर रहे थे.. अजय शिखा को बेडरूम मे लेकर आया शिखा हम दोनो को देख कर बहुत डर गई ओर रोने लगी दीपक को बोलने लगी सॉरी मुझे माफ़ कर दो मेरे से ग़लती हो गई मैने बोला तू हमारा इस्तमाल कर रही थी हम तुझे इतने बड़े पागल लगते है वो रोने लग गई दीपक ने रूम का गेट लॉक कर दिया वो ओर ज़ोर से रोने लग गई.

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मैने उसे ज़मीन से उठा कर बेड पर लेटा दिया वो सॉरी सॉरी बोलने लगी दीपक उसकी टी-शर्ट उतार रहा था में उसके बूब्स को दबा रहा था वो बोलने लगी मुझे छोड़ दो। अजय कन्डोम लेकर आया हम तीनो ने अपने कपड़े उतारे उसकी जीन्स में उतार रहा था पर उतर ही नही रही थी दीपक ने उसके दोनो पैर पकड़े फिर मैने उसकी जीन्स उतार दी वो अब चुप हो गई थी बोलने लगी एक एक करके चोदना प्लीज मैने आज तक किसी से नही चुदवाया है यह सुन कर हम हंसने लगे मैने उसकी टांगे खोली चूत बिल्कुल साफ दिख रही थी में अपने हाथो को उस पर रगड़ रहा था वो उतना ही ज़ोर से चिल्ला रही थी ऐसा मत करो मेरे साथ में रंडी बन जाउंगी.

मेंने एक उँगली उसकी चूत मे डाली वो उचकने लगी और बोली संजय प्लीज मत कर निकाल इसे प्लीज में ओर ज़ोर से करने लग गया वो बोली कुत्ते क्यों कर रहा है मेंने दूसरी उँगली भी उसकी चूत मे डाल दी वो चिल्ला उठी ऐसा मत कर ना हाहहह मुझे क्यों चोद रहे हो तुम लोग आआआआ में बोलने लगा हाँ तूने काम ही ऐसे किये है तो अब तुझे रंडी तो बनना पड़ेगा ओर जोर से अपना लंड उसकी चूत मे डाल दिया वो चिल्ला उठी आआआ अयाया आआआ मादरचोद मत कर निकाल इसे कुत्ते आआआ निकाल इसे मैने ओर जोर से पूरा लंड डाल दिया वो पागल हो गई। आ आआआ अयाया अयाया मत कर मर जाउंगी में आआआाह पर जैसे ही उसकी चूत से खून निकला दीपक ने बोला.. मत कर छोड़ यार दर्द हो रहा है इसे। मैने भी अपना लंड निकाल दिया वो चूत को देखने लगी.

मुझसे रहा नही गया मैने फिर से उसके बूब्स पकड़े ओर लंड डाल दिया ओर ज़ोर ज़ोर से चोदने लगा पहले तो वो चिल्लाई लेकिन फिर उसने चिल्लाना छोड़ दिया उसे पता लग गया था की में चिल्लाती हूँ तो यह ओर ज़ोर से करता है फिर दीपक से नही रहा गया उसने अपना लंड उसके मुँह मे दे दिया वो पहले तो ले नही रही थी पर जैसे ही ज़ोर से निपल दबाये तो उसने अपना मुँह खोल दिया ओर उसके मुँह से एक ही आवाज़ आ रही थी इसस्सस्स इससस्स मत करो इसस्सस्स आआहा इसस्साआह में मर जाउंगी उसके बाद दीपक उसे चोदने लगा लेकिन अब वो कुछ बोल ही नही रही थी ना कोई आवाज़ निकाल रही थी दीपक को गुस्सा आ गया वो बोल रहा था चिल्ला कुत्तिया तुझे चोद रहा हूँ। में लेकिन वो कुछ नही बोल रही थी फिर दीपक ने अपना लंड निकाला उसे उल्टा किया ओर उसकी गांड पर अपना लंड रखा वो चिल्ला उठी। नही दीपक मत कर प्लीज तुझे चूत मारनी है मार ले गांड मत मार प्लीज दीपक ने एक ज़ोर से धक्का दिया वो बहुत ज़ोर से चिल्लाई ओर दीपक का लंड उसकी गांड मे चला गया.

मुझे याद है उसे उस टाइम खून निकला था बहुत सारा वो रोने लगी सालो तुमने तो मुझे आज रांड़ बना दिया आआआः इसस्स्स्स आह दीपक ने मुझे बोला तू इसकी चूत मार में गांड मारूंगा वो बोली मार लो जितना मार सकते हो जितना तुम लोगो मे दम है मार लो मेंरी मैने उसे सीधा किया ओर चूत मे लंड डाल दिया ओर दीपक उसकी गांड मार रहा था ओर वो भी अब मज़े ले रही थी ओर बोलने लगी ओर जोर से चोदो मुझे रंडी बना दो मुझे कुत्तो आआआहह फिर हम दोनो झड़ गये वो भी अधमरी हो गई लेकिन शायद उसको गुस्सा आ रहा था तो उसने अजय को बोल दिया चूतिये तू नही चोदेगा क्या इस पर अजय को गुस्सा आ गया उसने उसकी दोनो टाँगे पकड़ी ओर ज़ोर से खोली अपना लंड उसकी चूत पर रखा ओर ज़ोर ज़ोर से चोदने लगा.

उसकी आँखों से आंसू बंद ही नही हो रहे थे वो बोलने लगी बस इतना ही दम है अह्ह्ह्हह्ह क्या तेरे में इसस्स हाआआाह्ह्ह दीपक को पता नही क्या हुआ उसने अजय को बोला तू इसका मुँह चोद में अब दिखाता हूँ कितना दम है हम मे। फिर दीपक ने बड़े बड़े डॉट वाला कंडोम निकला। में तो डर ही गया ये क्या कर रहा है अजय उसके मुँह को चोद रहा था इसलिये वो कुछ बोल नही पा रही थी। दीपक ने कन्डोम लगा लिया ओर एक झटके से उसकी चूत में अपना लंड दाल दिया। जैसे ही लंड चूत में गया मैने देखा था वो कैसे उछली थी ओर इतना जोर से चिल्लाई आआअहह की अजय ने अपना लंड उसके मुँह से निकाल दिया और दीपक चोदने लगा.

शिखा का मुँह पूरा लाल हो चुका था। वो पागल हो गई थी पर दीपक उसे बहुत टाइट पकड़ कर चोद रहा था फिर वो बेहोश हो गई हम लोगो ने अपने कपड़े पहन लिए थोड़ी देर बाद जब वो उठी तो वो बाथरूम मे बाल्टी मे पानी ले कर अपनी चूत पर लगा रही थी फिर वो बोली मुझे मज़ा तो आया लेकिन तुम लोगो ने मुझे रांड बना दिया फिर पूरी रात हम उसे चोदते रहे लेकिन आज भी कुछ गम है शायद वो ऐसा नही करती तो आज किसी एक की होती ओर रंडी नही बनती उस दिन में भी थोड़ा तो रोया ही था की मैने अपने पहले प्यार को ही रांड बना दिया।

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भाभी और उसकी सहेली रीना https://sexstories.one/bhabhi-aur-uski-saheli-rina-ki-mast-chudai/ Sat, 04 Dec 2021 06:32:44 +0000 https://sexstories.one/?p=3367 मुझसे अब रहा नहीं गया और में उसके मुँह में झड़ गया, उसने चूस चूसकर मेरा सारा वीर्य पी लिया, आअहह मेरी तो जैसे जन्नत की सैर हो गयी। फिर उसने अपना चेहरा साफ किया और बाहर जाने लगी...

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Bhabhi Aur Uski Saheli Rina Ki Mast Chudai – मेरा नाम आशीष है और में चंडीगढ़ में किराए से एक रूम लेकर रहता हूँ। दोस्तों मेरी उम्र 41 साल और में शादीशुदा हूँ, लेकिन मेरी पत्नी हिमाचल के एक छोटे से गावं में रहती है और में यहाँ पर रहकर अपनी एक प्राइवेट कम्पनी में नौकरी करता हूँ। मेरे पड़ोस वाले रूम में एक बहुत सेक्सी भाभी रहती है, उनका नाम रिचा है और उनकी उम्र लगभग 32 साल के आसपास होगी, लेकिन वो फिर भी दिखने में बहुत हॉट, सेक्सी है और उनके चेहरे से उनकी उम्र का अंदाजा नहीं लगता और उसके फिगर का साईज़ 34-30-36 है, उनका वो भरा हुआ बदन, मोटी गांड और बड़े बड़े बूब्स..

में जब भी देखता तो मेरा लंड खड़ा हो जाता था, हालाँकि बिल्कुल पास वाले कमरे होते हुए भी में उनसे शुरू शुरू में ज्यादा बात नहीं करता था, लेकिन में कभी कभी उसकी मटकती हुई गांड, झूलते हुए बड़े बड़े बूब्स के मज़े जरुर लेता था। फिर जब वो कपड़े धोती या झाड़ू लगाती तो उसके बड़े बड़े बूब्स उछल उछलकर ब्रा से बाहर आने को तैयार हो जाते थे और उसका यह नज़ारा देखकर मैंने कई बार मुठ मारी, लेकिन डर की वजह से मेरी कभी उन्हें छूने की हिम्मत नहीं हुई, में बस उन्हें दूर से देखकर मज़े लेता था।

एक दिन मेरे ऑफिस की छुट्टी थी तो में सुबह देर से उठा और सीधा ब्रश करने वॉशरूम की तरफ़ चला गया। मैंने देखा कि वो उस समय वहाँ पर बैठकर कपड़े धो रही थी और झुककर कपड़े धोने की वजह से उनके आधे आधे बूब्स बाहर आ रहे थे। फिर में भी वहाँ पर जाकर पास ही खड़ा होकर ब्रश करने लगा और उस नज़ारे के मज़े लेने लगा। कुछ देर खड़े रहकर मज़े लेने के बाद अब मुझे पानी चाहिए था, लेकिन नल के नीचे उनकी बाल्टी लगी हुई थी। फिर वो समझ गई और जैसे ही वो अपनी बाल्टी को उठाने के लिए झुकी तो मुझे उसके झूलते, लटकते हुए पूरे बूब्स के दर्शन हो गये और मेरा लंड वो सब देखकर एकदम तनकर खड़ा हो गया। मैंने उस समय लोवर पहन रखा था और उसमें मेरा लंड खड़ा होकर पूरा टेंट बन गया, उसको शायद उसने भी देख लिया था। फिर उसने मुझसे पूछा कि आपका घर कहाँ है?

मैंने कहा कि हिमाचल और वो मुझसे कहने लगी कि हिमाचल से ही है। फिर हमारे बीच थोड़ी देर बहुत इधर उधर की बात हुई और उसके बाद में अपने कमरे में चला गया और फिर में खाना ख़ाकर और उसके नाम की मुठ मारकर सो गया। फिर उसके बाद से हमारे बीच धीरे धीरे थोड़ी बहुत बातें होने लगी। फिर एक बार उसने मुझसे पूछा कि क्यों तुम्हें कभी अपनी बीवी की याद नहीं आती क्या? तो मैंने भी हंसते हुए कहा कि भाभी क्या करूं आती तो बहुत है? और अब शादीशुदा होते हुए भी मुझे मजबूरी में इतनी सर्दियों में अकेला सोना पड़ता है तो भाभी हँसने लगी और बोली कि इसमें क्या है, तुम अपनी वाईफ को भी यहाँ पर ले आओ? फिर मैंने कहा कि जब तक में पूरी तरह से सेट नहीं हो जाता तब तक उसे यहाँ पर लाना बहुत मुश्किल है।

भाभी : तो क्या हुआ यहाँ कोई सहेली बना लो।

में : अब हमे लड़कियाँ पटाने का टाईम मिलता ही कहाँ है? और वैसे भी लड़कियाँ हम जैसे शादीशुदा लोगों में कम रूचि लेती है भला वो हम शादीशुदा से बात क्यों करने लगी?

भाभी : (शरारती मुस्कान के साथ मुझसे बोली) तो क्या हुआ तुम भी कोई अच्छी सी शादीशुदा सहेली देखकर पटा लो यहाँ कौन सी कमी है?

फिर मैंने कहा कि बात तो आप एकदम सही कह रही है, लेकिन मेरे पास इतना टाईम ही नहीं होता और आप ही अपने जैसी अपनी कोई एक सहेली से मेरी सेटिंग करवा दो। अब भाभी मुस्कुराने लगी और बोली कि मेरे जैसी ही क्यों? फिर मैंने कहा कि मेरी नई सहेली आपकी तरह सुंदर, अनुभवी भी तो होनी चाहिए तभी तो मज़ा आएगा। फिर भाभी मुझसे पूछने लगी कि कैसा मज़ा? तो मैंने कहा कि आप तो मुझसे ऐसे अंजान बनकर पूछ रही हो जैसे आपको कुछ पता ही नहीं।

फिर भाभी ज़ोर से हँसने लगी और वो किसी काम से अपने रूम में चली गई और अब मुझे लगा कि मेरी लाईन साफ है और में भी अब उसके साथ थोड़ी बहुत डबल मतलब की बातें करने लगा और वो भी जानबूझ कर बिल्कुल अंजान बनकर पूरे मज़े लेती थी। एक दिन मैंने उनसे पूछा कि क्यों भाभी क्या आपने मेरी बात कहीं चलाई? तो वो मुझसे बोली कि जो भी मेरी दोस्त मेरे पास आती है तो तुम देखकर बता देना कौन सी ठीक है, में सेट करा दूँगी। फिर मैंने कहा कि वो भाभी में कल ही आपको बता देता हूँ। दोस्तों वैसे तो मैंने उनकी दोस्त को देखा नहीं था और अगले दिन में बाथरूम में नहा रहा था तो भी भाभी वहाँ पर पास में आ गई और ज्यादातर समय में दरवाज़ा बंद नहीं करता, क्योंकि में अंडरवियर पहनकर ही नहाता हूँ।

अब भाभी बाथरूम के बाहर बाल्टी में कपड़े भिगोने लगी और चोरी चोरी तिरछी निगाहों से मुझे देखने लगी और उसको ऐसे घूरते हुए देख सर्दियों के दिनों में भी ठंडे पानी से नहाते हुए मेरा लंड खड़ा हो गया और में अपने लंड पर रगड़ रगड़कर साबुन लगाने लगा, लेकिन मेरा हाथ मेरी पीठ तक नहीं पहुँच रहा था और यह देखकर वो मुझसे बोली कि क्या हुआ आशु हाथ नहीं पहुँच रहा क्या? मैंने कहा कि नहीं भाभी वो बोली कि में लगा दूँ क्या और हँसने लगी? फिर मैंने कहा कि नेकी और पूछ पूछ, प्लीज लगा दो। फिर वो बोली कि में तो मज़ाक कर रही थी, नहीं कोई देख लेगा।

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फिर मैंने कहा कि हम दरवाजा बंद कर लेंगे, वो तुरंत अंदर आ गई और दरवाज़ा बंद कर दिया और साबुन लेकर मेरी पीठ पर लगाने लगी, वाह क्या मजा आ रहा था, मुझे लगा वो भी गरम हो गयी है इसलिए बड़े प्यार से सहला रही थी, लेकिन मुझे सीधा हाथ डालने में डर लग रहा था। फिर मैंने भाभी से पूछा कि आप कैसे नहाती हो आपके हाथ भी पीठ पर नहीं पहुंचते होंगे? तो वो बोली कि हाँ मैंने कहा कि आपने मेरी मदद की है और में आपकी मदद कर देता हूँ, आपकी पीठ पर साबुन लगा देता हूँ और बाकी आप खुद नहा लेना। फिर वो शरमाते हुए बोली कि नहीं। फिर मैंने बोला कि कोई बात नहीं भाभी में लगा देता हूँ और वो ज्यादा  मना करते हुए बोली कि ठीक है तुम अपना मुँह दूसरी साईड करो। फिर मैंने अपना मुहं दूसरी तरफ कर लिया। फिर उसने अपनी कमीज़ खोली और मेरी तरफ पीठ करके बैठ गयी और फिर मुझसे बोली कि लगाओ और में जैसे मुड़ा वाह क्या सीन था? में उसकी नंगी पीठ और सफेद ब्रा की डोरी देखकर पागल हो गया और में उसकी पीठ पर साबुन लगाने लगा। उसने आँखे बंद कर ली और में उसकी पीठ सहलाने लगा।

फिर कुछ देर बाद मैंने उनसे कहा कि भाभी आपकी ब्रा की डोरी दिक्कत कर रही है। फिर उसने तुरंत बोला कि खोल दो और मैंने जल्दी से उसकी ब्रा को खोल दिया और उसने अपने बूब्स पर हाथ रख लिए। अब उसकी सलवार पूरी तरह भीग गयी थी और पैरों से चिपक गयी थी और जिसकी वजह से उसकी काली कलर की पेंटी साफ साफ दिख रही थी और मेरा लंड बिल्कुल टाईट हो गया था और में साबुन लगते हुए उसके पेट पर हाथ घुमाने लगा और उसकी नाभि को सहलाते हुए में उसके बूब्स की तरफ अपना हाथ ले गया जो उसने अपने हाथों से ढक रखे थे। फिर मैंने पीछे से सलवार के अंदर हाथ डाल दिया और में उसके गोल गोल चूतड़ को मसलने लगा और वो सिसकियाँ लेने लगी और मेरे हाथ पकड़कर बाहर निकालने लगी। जैसे ही उसने मेरा हाथ पकड़ने के लिए अपने बूब्स से हाथ हटाया तो मैंने उसके बूब्स पकड़ लिए और ज़ोर ज़ोर से दबाने लगा और अपना लंड अंडरवियर से बाहर निकालकर उसकी पीठ पर रगड़ने लगा और वो मोनिंग करते हुए अभी भी हटाने लगी।

भाभी : आशु प्लीज यह सब मत करो, आहह।

में : ( में उसके बूब्स मसलते हुआ गर्दन पर किस करते हुए) भाभी इस दिन का तो मुझे कई दिनों से इंतज़ार था तो में ऐसे कैसे इस मौके को अपने हाथ से जाने दूंगा।

अब भाभी बिल्कुल गरम हो गई थी, उसने भी अपने हथियार डाल दिए और खड़ी होकर मुझसे चिपक गई और मेरे होंठो को अपने होंठो से चूसने लगी। फिर मैंने उसकी सलवार का नाड़ा खोल दिया। दोस्तों भाभी क्या सेक्स की देवी लग रही थी, उसका वो भीगा बदन। वो अब सिर्फ़ काली कलर की पेंटी में खड़ी थी, उसके गीले बाल उभरे और कसे हुए बूब्स गोल गांड, हम दोनों बस मदहोश होकर एक दूसरे को अपनी गरमी दे रहे थे। अब मैंने उसकी पेंटी को भी खोल दिया और मैंने देखा कि उसकी काली झांटो से चूत पूरी तरह ढकी हुई थी। फिर मैंने उसकी झांटो को एक साईड किया और अपनी उंगली को उसकी चूत में डाल दिया तो वो एकदम से तड़प उठी और मेरे लंड को पकड़कर दबाने लगी, जितनी स्पीड से में उसकी चूत में उंगली डाल रहा था उतनी स्पीड से वो मेरे लंड को हिला रही थी। फिर वो मेरे आगे झुक गयी और मेरे लंड को चाटने लगी। दोस्तों वो बिल्कुल ब्लूफिल्म की तरह मेरा लंड चाट रही थी और फिर वो मेरा पूरा लंड अपने मुँह में लेकर चूसने लगी और इतनी देसी भाभी को लंड चूसते देख में बिल्कुल हैरान हो गया।

फिर मैंने उनसे पूछा कि क्यों भाभी कभी अपने पति का चूसा है? तो वो बोली कि नहीं। फिर मैंने कहा कि इतनी अच्छी तरह कैसे चूस लेती हो? फिर वो बोली कि मैंने अपने फोन पर चोरी से ब्लूफिल्म देखी है और मुझे बहुत दिल करता था किसी का लंड चूसने का, लेकिन में अपने पति के सामने इतनी खुलकर कह नहीं सकती और आज मुझे यह मौका मिला है। फिर मैंने कहा कि आआहह भाभी चूसो आज पूरी कर लो अपनी सब इच्छाए, वो पूरा मन लगाकर चूस रही थी, उसने मेरे लंड पर थूका और उसे अपनी जीभ से मेरे लंड पर गोल गोल घुमाने लगी और में सच में बिल्कुल हैरान था और में अब इतना उत्तेजित था जैसे कोई चुदाई का भूखा हो। अब वो मेरा लंड पूरा गले तक ले रही थी। दोस्तों वाह क्या नज़ारा था? फिर मेरी नज़र उसकी चूत पर पड़ी और मैंने कहा कि बस भाभी चोदने दो। अब वो मुझे शरारत भरी नज़र से देखती हुई मेरा लंड चूसती रही। फिर मैंने ज़बरदस्ती उसे वहाँ से हटाया और उसे वाशबेसिन पकड़कर घोड़ी बना दिया और वो अपनी गांड को हिलाते हुए मेरे लंड को अपनी चुदाई करने की दावत दे रही थी।

फिर मैंने उसकी कमर को पकड़कर उसकी चूत पर लंड रखा और उसने अपने एक हाथ से मेरा लंड अपनी चूत पर सेट करते हुए पीछे से धक्का मारा, आअहह क्या गरम चूत थी, मेरा आधा लंड अंदर घुस गया तो वो थोड़ी सी चीखी और उसने दूसरा धक्का मारा और मेरा पूरा लंड अपनी चूत के अंदर ले लिया और रुक गयी। दोस्तों अब मुझसे रहा नहीं जा रहा था। मैंने उसकी गांड को पकड़कर ज़ोर ज़ोर से धक्के मारने लगा और भाभी आहह आईईईइ उह्ह्ह्हह्ह मेरे राजा चोद मुझे फाड़ दे आज अपनी भाभी की चूत को और ज़ोर से धक्का मार आह्ह्ह्हह हाँ और थोड़ा अंदर डाल उह्ह्ह्ह।

अब में दनादन लंड उसकी चूत में डाल रहा था और उसके बूब्स ज़ोर ज़ोर से हिल रहे थे और वो भी पूरे मज़े लेकर मुझसे चुदवा रही थी और सिसकियाँ लेते हुए बड़बड़ा रही थी, ऊह्ह्ह्ह आह्ह्हह्ह आशु डाल अपना पूरा लंड मेरी चूत में आह्ह्ह चोद और फिर वो गालियाँ बकने लगी साले चोद भाभीचोद। में करीब दस मिनट तक लगातार उसे चोदता रहा और अब भाभी की चीखने, चिल्लाने की आवाज़ तेज होने लगी और वो ज़ोर ज़ोर से सिसकियाँ ले रही थी आअहह और उसके पैर अकड़ गए और वो मेरे लंड को अपनी चूत से भींचने लगी तो में समझ गया कि भाभी झड़ रही है। फिर मैंने और तेज धक्के मारने शुरू कर दिए और फिर भाभी झड़ गयी और मेरा लंड पूरा गीला हो चुका था। फिर मैंने कहा कि भाभी क्या में अंदर ही निकाल दूँ? तभी वो एकदम से हटी और उसने मेरा लंड अपने मुँह में ले लिया और चूसने लगी और बोली कि मुझे तेरा माल पीना है और ज़ोर ज़ोर से चूसने लगी।

मुझसे अब रहा नहीं गया और में उसके मुँह में झड़ गया, उसने चूस चूसकर मेरा सारा वीर्य पी लिया, आअहह मेरी तो जैसे जन्नत की सैर हो गयी। फिर उसने अपना चेहरा साफ किया और बाहर जाने लगी, लेकिन मेरा मन अभी भी भरा नहीं था तो मैंने कहा कि भाभी अब मेरे रूम में चलो तो वो भी तुरंत समझ गई कि अभी भी उसकी और चूत घिसाई होनी है और उसने अपनी कमीज़ पहनी सलवार तो गीली थी तो कमीज़ पहनकर ही मेरे रूम में भागती हुई पहुंच गई। मैंने भी टावल लपेटा और उसके पीछे रूम में पहुँच गया।

फिर मैंने अंदर जाते ही दरवाज़ा बंद कर दिया और भाभी से बाथरूम में मज़ा लेने के बाद अब में उसे बेड पर चोदना चाहता था, लेकिन हम दोनों इतने गर्म हो चुके थे कि मैंने उसे वही दीवार से चिपका दिया। अब में उसके हाथ पकड़कर उसे स्मूच करने लगा और अब भाभी भी पूरी तरह से गर्म थी, अब वो भी पूरा मज़ा ले रही थी। अब हम एक दूसरे के मुहं में अपनी जीभ डाल रहे थे, वो अपनी गीली सलवार बाथरूम में ही छोड़ आई थी और में भी सिर्फ़ टावल में था।
अब मैंने उसे दीवार से चिपका कर अपना पूरा वजन उस पर डाल दिया और अब मेरे टावल में टेंट बन गया था जो कि मेरे लंड के हार्ड होने की वज़ह से था। अब भाभी पागलों की तरह तड़पती मछली की तरह हो गयी थी और मौन कर रही थी। फिर उसने टावल के ऊपर से ही मेरा लंड पकड़ लिया और ज़ोर-ज़ोर से भींचने लगी।

फिर में भी उसकी कमीज़ ऊपर उठाकर उसकी चूत में उंगली करने लगा। अब में भाभी को और तड़पाना चाहता था, लेकिन वो इतनी गर्म थी कि वो मेरे लंड को पकड़कर अपनी चूत पर रगड़ने लगी और खड़े-खड़े ही अंदर घुसाने लगी। दोस्तों अब में सातवें आसमान पर था, अब में अपनी तरफ़ से लंड घुसाने की कोई हरकत नहीं कर रहा था बस उसकी तड़प का मज़ा ले रहा था।

अब वो कभी अपनी टाँगे चौड़ी करके मेरे लंड को पकड़कर चूत में डालती तो कभी अपनी टाँगे उठाकर खुद ही खड़े-खड़े धक्के मारती, लेकिन एक दो धक्को के बाद मेरा लंड बाहर निकला जा रहा था। अब वो कुछ नहीं बोल रही थी, बस मौन कर रही थी। अब उसकी चूत से रस टपक कर फर्श पर गिर रहा था, अब काफ़ी तड़पने के बाद उसने अपनी चुप्पी तोड़ी और बोली कि आशु बहुत हो गया अब चोदेगा या में खुद चूत में उंगली कर लूँ। अब यह बात सुनकर मुझे मज़ा भी आया और मेरा लंड भी और तन गया।  फिर मैंने उसे वहीं किचन पट्टी पकड़कर घोड़ी बना दिया और उसकी कमर पकड़कर सीधा अपना लंड उसकी चूत में घुसा दिया। अब उसकी चूत के पानी से उसकी चूत एकदम चिकनी हो चुकी थी और मेरा लंड सीधा उसकी चूत को चीरता हुआ जड़ तक जा घुसा और मैंने ताबड़तोड़ धक्के मारने शुरू कर दिए आआहह, अब वो ज़ोर-जोर से मौन करने लगी थी।

फिर मैंने उसके मुँह पर हाथ रखा ताकि पड़ोसी सुन ना ले और उसे चोदने लगा। अब वो भी अपनी गांड हिला-हिलाकर मेरे लंड को अंदर ले रही थी, अब पूरे रूम में फ़च-फच की आवाज़ आने लगी थी। अब मेरी टाँगे उसकी जांघो पर हर धक्के के साथ तपाक से टकरा रही थी और वो ज़ोर-जोर से बड़बड़ाये जा रही थी। अब में अपनी पूरी स्पीड से उसे चोद रहा था। फिर वो वहाँ से हटी और मेरे बेड पर टांगे चौड़ी करके लेट गयी और बोली कि आशु आज फाड़ दे मेरी चूत को, मेरी चूत का भोसड़ा बना दे। फिर मैंने उसकी टाँगे अपने कंधे पर उठाई और उसे ज़ोर-ज़ोर से चोदना शुरू कर दिया। अब वो बहुत जोर से चिल्ला रही थी, आआआआआअ आशु फाड़ और घुसा दे। अब उसकी टांगे अकड़ने लगी थी और वो उसके नाख़ून मेरी पीठ पर चुभा रही थी तो अब में समझ गया कि उसका होने वाला है, शायद उसका पहले भी हुआ हो, लेकिन इस बार तो मुझे ऐसा लग रहा था कि जैसे इतना पानी निकलेगा कि मेरा लंड पूरा भीग जायेगा।

अब उसकी आँखें बंद हो गयी और वो नीचे से धक्के मारने लगी। तभी मेरी नज़र खिड़की पर पड़ी जो कि आधी खुली थी, अब उसमें से हमें कोई देख रहा था। अब मेरा भी होने वाला था तो में रुक नहीं पाया और उसे चोदता ही रहा। अब वो ज़ोर-ज़ोर से साँस लेती हुई और मौन करते हुए झड़ गयी। फिर थोड़ी देर के बाद मैंने भी अपना सारा पानी उसके मुँह पर छोड़ दिया। अब हम हांफते हुए बेड पर लेट गये। फिर उसने अपनी कमीज़ के साथ मेरा पजामा पहना और अपने रूम में जाने लगी। हमारा रूम पास-पास में ही था तो जैसे ही उसने दरवाज़ा खोला तो उसकी सहेली रीना बाहर खड़ी थी। रीना भी शादीशुदा थी, गोरी और सुडोल शरीर, बड़े-बड़े बूब्स और उसकी गांड पीछे से बाहर निकली हुई थी, क्योंकि वो ज्यादातर स्किन टाईट कपड़े पहनती है तो इसलिए उसकी गांड बाहर निकली हुई लगती थी, लेकिन कमाल की गांड है उसकी, फिगर 34-30-36 है। अब में समझ गया था कि ये वही है जो हमें खिड़की से देख रही थी, लेकिन मैंने सब अनसुना कर दिया। अब रिचा उसे देखकर डर गयी और उससे नज़रे मिलाए बिना ही वहाँ से जाने लगी। अब रीना उसे देखकर हंस रही थी और उसके पीछे-पीछे उसके रूम में चली गयी। फिर मैंने भी अपने कपड़े पहने और यह जानने के लिए कि रीना अब क्या करेंगी? उनकी खिड़की के पास छुप गया।

रीना : अरे वाह, रिचा तू तो बहुत बड़ी खिलाड़ी निकली अकेले-अकेले मज़े ले रही है तो रिचा डरते हुए बोली किसी को मत बताना। फिर रीना ने उसकी गांड पर एक शरारती थप्पड़ मारा और अपनी चूत पर  हाथ फैरते हुए बोली कि यार तुम दोनों की चुदाई देखने का मज़ा आ गया। अब मुझे रिचा की सहेली की आँखो में हवस नज़र आ रही थी और मुझे लगा कि अब तो किस्मत खुल गयी और दूसरी भी तैयार है। फिर रिचा अपने बेड पर लेट गयी और उसकी सहेली उसकी सलवार में उसकी चूत के पास अपना मुँह करके लेट गयी।

रिचा बोली क्या कर रही है? तो वो बोली कि तेरी चूत से तेरे यार के लंड की खुशबू ले रही हूँ, अब मुझे तो ये सब सपना सा लग रहा था। फिर उसकी सहेली ने उसका नाडा खोला और उसकी चूत सूंघने लगी। अब में यह सब देखकर हैरान हो गया और अब में समझ नहीं पा रहा था कि यह कहीं लेस्बियन तो नहीं है। फिर वो उसकी चूत का रस अपने हाथ से लगाकर अपनी सलवार के अंदर डालकर अपनी चूत पर मलने लगी और सिसकारी लेती हुई बड़बडाई कि उसका लंड ना सही, लेकिन उसका पानी तो मेरी चूत तक पहुँच गया और वो दोनों हंसने लगी। अब रिचा जो काफ़ी देर से उसे देख रही थी, अब हंसते हुए नॉर्मल लग रही थी। फिर रिचा कपड़े बदलने लगी और उसकी सहेली वहीं लेटी हुई थोड़ी-थोड़ी देर में सलवार के ऊपर से ही अपनी चूत पर हाथ घुमा रही थी। अब उसकी आँखे हवस से भरी हुई थी और अब मेरा दिल तो किया कि वहीं जाकर उसे चोद दूँ, लेकिन मुझे लगा कि रिस्क क्यों लेना?

फिर उसने रिचा से कहा कि यार तेरा तो पति से भी सुंदर है। फिर इसके चक्कर में कैसे पड़ी? तो रिचा बोली कि एक बार इससे चुदकर देख सब पता चल जायेगा। फिर उसकी सहेली ने आह भरते हुए कहा कि हाय वो दिन कब आयेगा? तुम दोनों की पलंगतोड़ चुदाई देखकर मेरा मन भी चुदने का हो रहा है, यह कहकर वो अपनी चूत को ज़ोर-जोर से रग़ड रही थी। अब में आउट ऑफ कंट्रोल हो गया और कमरे में चला गया तो उसने हड़बड़ा कर चादर अपने ऊपर खींच ली। फिर मैंने कहा कि यार मैंने सब कुछ सुन लिया है और देख लिया है, अब छुपाने का क्या फायदा है? फिर में उसके ऊपर चढ़ गया। अब रिचा हमें आश्चर्य से देखे जा रही थी। फिर रीना कुछ नहीं बोली और चुपचाप मेरी आँखो में देख रही थी, जैसे उसे वो मिल गया हो जो वो चाहती थी।

फिर मैंने अपने होंठ उसके होंठो पर रख दिए और उसके गुलाबी होंठो को जी भरकर चूसने लगा। अब वो भी मेरा पूरा साथ देने लगी थी। अब में अपने पूरे शरीर को उसके शरीर पर रग़ड रहा था। मुझे सबसे ज्यादा प्यारी उसकी गांड लगती है। फिर मैंने उसे उल्टा करके लेटा दिया और उसकी गांड की दरार में अपना लंड घुसाने लगा, अयाया क्या मज़ा आ रहा था? और उसके बूब्स दबा रहा था।

फिर मैंने एक हाथ उसकी पेंटी में डाल दिया, अया क्या गर्म चूत थी उसकी? बिल्कुल गीली हो चुकी थी।  फिर मैंने उसकी कमीज़ उतारी और उसकी पीठ चाटने लगा, अब वो भी अपनी आँखे बंद करके मज़े ले रही थी। फिर मैंने उसकी सलवार भी उतार दी, अब वो मेरे सामने वाईट ब्रा और ब्लू पेंटी में उल्टी लेटी हुई थी। फिर मैंने उसकी पेंटी को थोड़ा साईड में करके उसकी गांड पर थूक लगाया और अपना लंड टिका दिया, उसकी चूत पर थोड़ी-थोड़ी झांटे थी। फिर मैंने उसकी गांड पर धक्का मारा तो वो बहुत ज्यादा टाईट थी तो मेरा लंड अंदर नहीं गया और वो ज़ोर से चिल्लाई और वो मेरे नीचे से फिसल कर साईड में हो गयी और बोली कि गांड में नहीं सीधा चूत में डाल नहीं तो में चली जाउंगी।

फिर मैंने उसे ओके बोला और उसे घोड़ी बनने को कहा तो वो बन गयी और बोली कि कहा ना गांड में मत डालना तो मैंने कहा कि ओके। फिर मैंने पीछे से उसकी चूत पर अपना लंड रखा, उसकी चूत बहुत गीली थी और ज़ोर से धक्का मारा तो वो थोड़ी चिल्लाई और मेरा लंड पूरा अंदर घुस गया। वो शादीशुदा होते हुए भी उसकी चूत टाईट थी। फिर में उसकी कमर पकड़कर ज़ोर-ज़ोर से धक्के मारने लगा। अब वो मौन करने लगी, हाईईई उउउईईई माँ, चोद मुझे, पूरा डाल जड़ तक, डाल आआआआ। अब में उसे ज़ोर-ज़ोर से चोदने लगा था, उधर रिचा भी हमारी चुदाई देखकर गर्म हो गयी थी और कुर्सी पर बैठकर अपनी चूत में उंगली कर रही थी। फिर मैंने उसे पास में बुलाया और अब वो मेरे पास में आकर बैठ गयी। अब मेरा लंड रीना की चूत में था और रिचा के बूब्स मेरे मुँह में थे, आअहह दोस्तों क्या मज़ा था? एक साईड में रीना की चुदाई कर रहा था तो दूसरी साईड में रिचा के बूब्स चूस रहा था और उसकी चूत में उंगली कर रहा था।

अब वो दोनों बहुत गर्म हो चुकी थी और ज़ोर-ज़ोर से सिसकारियाँ ले रही थी, अब मुझे भी बड़ा मज़ा आ रहा था। तब रीना अपनी गांड आगे पीछे करके मेरा लंड अपने आप ले रही थी, तभी मुझे शरारत सूझी तो मैंने रिचा के कान में कहा कि रीना की टांगे पकड़ो और उसे हिलने मत देना। फिर रिचा ने मेरी तरफ शरारत भरी नज़र से देखा और उसकी टाँगे पकड़ ली। अब मैंने रीना की चूत से लंड बाहर निकाला जो पूरा गीला था और उसकी गांड पर रख दिया। फिर वो बोली कि कहा था ना गांड में मत डालना, लेकिन तब तक मैंने एक ज़ोर का धक्का मारा और मेरा आधा लंड उसकी गांड में जाकर फँस गया। फिर वो ज़ोर से चिल्लाई उूउउइईई माँ माररर डाला निकाल इसे, अब वो भागने लगी थी, लेकिन रिचा ने उसे कसकर पकड़ा हुआ था, अब वो छटपटाने के अलावा कुछ नहीं कर सकती थी।

रीना : रिचा छोड़ मुझे, यह मेरी गांड फाड़ देगा, आआअहह बहुत दर्द हो रहा है।

फिर रिचा हँसने लगी और मैंने अपना पूरा दवाब उसकी गांड पर डाल दिया। अब मेरा लंड पूरे से थोड़ा कम उसकी गांड में था। अब वो चिल्ला रही थी, मुझे नहीं चुदवाना, छोड़ो मुझे। फिर मैंने बुरी तरह से उसकी गांड मारनी शुरू कर दी। अब उसकी चीखे निकल रही थी। फिर धीरे-धीरे उसका दर्द कम हुआ और उसकी चीखे सिसकियों में बदलने लगी। अब वो मजे लेने लगी थी और बोलने लगी कि आशु फाड़ मेरी गांड, मेरे राजा मुझे ज़ोर से चोद। अब रिचा बहुत गर्म हो गयी थी। फिर उसने अपनी चूत रीना के मुँह पर लगा दी, आआहह क्या नज़ारा था? अब में रीना की गांड मार रहा था और रिचा अपनी चूत रीना से चटवा रही थी। अब मेरा होने वाला था फिर मैंने कहा कि कहाँ निकालूं? तो रीना बोली कि मेरी चूत में निकाल दो।

फिर मैंने उसे सीधा किया और अब मैंने उसकी एक टाँग उठाकर अपना लंड उसकी चूत में डाल दिया और रिचा रीना के मुँह पर बैठ गयी। अब रीना बड़े मज़े से अपनी जीभ उसकी चूत में डाल रही थी और में रीना को चोदने लगा, आआहह आआआ आज़ा मेरे राजा आज तूने मेरी चूत और गांड फाड़कर रख दी और फाड़ आआआहह। अब में लगातार उसे चोदता रहा और रीना झड़ गयी और में भी उसकी चूत में ही झड़ गया और साईड में होकर लेट गया। अब सब बेड पर पड़े थे, तभी मेरा माल रीना की चूत से थोड़ा-थोड़ा टपकने लगा था। अब रिचा यह देखकर रीना की चूत चाटने लगी और पूरा रस अपने मुँह में भरकर रीना को किस करते हुए उसके मुँह में छोड़ दिया। फिर उन दोनों ने मेरा माल पिया और फिर मेरे लंड को चाटकर साफ किया ।।

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सुहागरात पर तिन लोगों ने चोदा मुझे https://sexstories.one/group-me-chod-gaye-suhagraat-pe/ Thu, 04 Nov 2021 08:44:39 +0000 https://sexstories.one/?p=3266 चोदो भचाभच और देख अगर मुझे मज़ा नहीं आया तो मैं तेरी गांड पर लात मारूंगी ? वह बोला भाभी लात नहीं तू मेरा लण्ड काट कर फेंक देना अगर मैं तेरी चूत का तेल पहले न निकाल लूं . तेरी चूत क्या मैंने बड़े बड़े भोषडा का तेल निकाल है . मैं तेरी माँ का भोषडा भी चोद डालूँगा...

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3 Log chod gaye suhagraat pe कितनी सुहावनी रात थी वो जिस दिन मैंने सुहागरात मनाई थी . पहले तो आया मेरे हाथ में मेरे शौहर का लौड़ा. मैंने खूब मजे से चुदवाया फिर अचानक मेरे हाथ में एक टन टनाता हुआ नया लण्ड आ गया . मैंने जब उसका चेहरा देखा तो वह मेरा नंदोई .था .उसने खड़ा लण्ड चुपके से मेरे हाथ में रख दिया था . मैं मन ही मन बहुत खुश हुई लेकिन दिखावे के लिए ना नुकुर करने लगी . फिर मुठ्ठी में भर कर सहलाने लगी लौड़ा . मुझे बड़ा मज़ा आ रहा था क्योंकि लौडा मेरी पसंद का निकला ?

फिर 2 मिनट के बाद उसने कहा भाभी ये मेरे दोस्त का लौडा है इसे भी पकड़ लो प्लीज ? मेरे लण्ड की ही तरह है इसका लण्ड ? हां भाभी इसका लण्ड मेरी बीवी बहुत पसंद करती है . इसलिए मेरी बीवी इससे चुदवाती है और इसकी बीवी मुझसे चुदवाती है . दोनों कर लेती है मर्दों की अदला बदली . मुझे तो इसकी बीवी चोदने में ज्यादा मज़ा आता है और इसको मेरी बीवी चोदने में . फिर हम दोनों इसी तरह एक दूसरे की बीवी चोदने लगे .

भाभी, मर्दों की अदला बदली करके चुदवाने में वाकई ज्यादा मज़ा आता है. न मानो तो तुम अपनी नन्द से पूंछ लो ?

तुम बड़ी नसीब वाली हो भाभी, जिसको आज से ही लन्ड की अदला बदली का मौका मिल रहा है . आज से ही पराये मर्दों से चुदवाने की आज़ादी मिल रही है . हां भाभी तुम चिंता न करो तेरा शौहर इस बात के लिए राज़ी है . तभी तो वह इसकी बीवी बगल के कमरे में चोद रहा है और ये मेरे साथ तुम्हे चोदने आया है .अब आज से हम तीनो मैं, मेरा दोस्त और तेरा शौहर मिलकर एक ही कमरे में एक दूसरे की बीवियां चोदा करेंगे ? धीरे धीरे और भी कपल शामिल हो जायेंगे .
बस ये सुन कर मैंने उसका लण्ड जोर से पकड़ लिया और फिर मस्त होकर दोनों लण्ड चाटने लगी मेरा नाम है कम्मो, मेरा नंदोई आसिफ और उसका दोस्त कादर . कादर की बीवी नाजिया है . .

मेरा निकाह जब हुआ तो मेरे शौहर ने मुझे गोवा ले जाने का प्रोग्राम बनाया . हां जी हनीमून मनाने . मैं बहुत खुश थी . होटल में चेक इन किया . उस होटल में बहुत सारे कपल आये थे . सबको हनीमून मनाना था . मैं कपल को आते जाते देखती थी . बीवियों को कम मर्दों को ज्यादा देखती थी . मैं मन ही मन उन मर्दों के लण्ड के बारे सोचने लगी . हाय अल्ला, कितना प्यारा होगा इसका लौड़ा ? कितना मोटा होगा उसका लौड़ा ? कैसे चोदता होगा ये मर्द ? कैसे बुर लेता होगा वो मर्द ? बस यही सब सोचने में लगी थी . मैं आपको बता दूं मुझे दुनियां में सबसे अच्छा “लण्ड” ही लगता है .

मैं तो अल्ला से दुआ करती हूँ की ये खुदा मुझे दुनिया बस खाना और चुदाना दे ? मेरा निकाह आज हुआ है लेकिन मैं बहुत सारे लण्ड पकड़ चुकी हूँ . कॉलेज में लडको के लण्ड और घर में जीजू का लण्ड, अंकल का लण्ड, खालू का लण्ड, और कजिन भाई जान का लण्ड पकड़ चुकी हूँ . अपनी बुर में पेल चुकी हूँ . ये बात मेरी अम्मी के अलावा कई लोग जानते है .

खैर होटल में आने के बाद हम लोग घूमने चले गए . मेरा शौहर करीम बड़ा स्मार्ट और रोमांटिक किस्म का आदमी है . निकाह के पहले मैं उससे कभी नहीं मिली . हा मैं उसे पसंद जरुर करती हूँ . शाम को एक पार्टी रखी गयी जिसमे मेरा नदोई भी था . वह अकेला ही आया था . मेरी नन्द नहीं थी . उसका एक दोस्त कादर था और उसकी बीवी नाजिया . दारू पीने की पार्टी थी . मैं भी पीती हूँ लेकिन वहां ना नुकुर करने लगी तो मेरे हसबैंड ने कहा यार पी लो सबका मन है . सबका साथ दो . बस मैं भी पीने में शामिल हो गयी . पीते पीते हंसी मजाक शुरू हो गयी . मेरा नंदोई मादर चोद ज्यादा ही मस्ती के मूड में था

वह बोला :- दारू के साथ और कुछ पीना चाहोगी ? मेरा मन हुआ की मैं कहूं हां लण्ड पियूंगी ? पर मैं चुप रही . मना कर दिया मैंने .

नाजिया बोली :- हां भाभी मैं तो पीती हूँ . ये बहन चोद शराब अकेले नहीं पी जाती .

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आसिफ (नंदोई) बोला :- तो पी लो यार जो चाहो ?

नाजिया बोली :- तुम भोषडी के भाभी की बड़ी मक्खन बाज़ी कर रहे हो ? उसकी गालियाँ सुन कर मज़ा आया . मेरा शौहर बोला :- नाजिया भाभी तुम जो पियो उसे मेरी बीवी को भी पिलाओ . बड़ी शर्मीली है मेरी बीवी ?

नाजिया बोली :- यार यही तो कमी है इसमें .पीने में बेशरम होना चाहिए .

मैंने कहा :- नहीं भाभी मैं बेशरम ही हूँ . आज थोडा डर रही हूँ .

नाजिया बोली :- अरे डरने की क्या जरुरत है . आज की रात तो निडर होकर लण्ड पकड़ने का है .

आसिफ बोला :- भाभी लण्ड ही नहीं चूंचियाँ भी पकड़ने की रात है .

नाजिया बोली :- तू माँ का लौड़ा मानेगा नहीं .

मैंने कहा :- मैं जब इसकी गांड मारूंगी तब यह मानेगा .

मेरा ऐसा कहते ही सब लोग खिलखिलाकर हंस पड़े .

खैर रात के 12 बजे हम सब अपने अपने कमरे में चले गए . मेरा शौहर मेरे कपडे उतारने लगा . मैं नशे में थी . जल्दी नंगी हो गयी . वह भी हो गया नंगा , मैंने उसका लौड़ा देखा तो जान में जान आयी . लौड़ा तगड़ा भी था और कड़क भी . मैंने जम कर चुदवाया रात में . मैं बाथ रूम गयी और जब वापस आयी तो मुझे शौहर नहीं दिखाई पड़ा ? लेकिन मेरे सामने एक खड़ा टन टनाता हुआ लण्ड आ गया . मेरे हाथ में आ गया लण्ड . लण्ड खूबसूरत था . मैंने जब उसका चेहरा देखा तो मुह से निकला तुम हो भोषडी के आसिफ ? तेरी माँ का भोषडा साले आज तो मेरे शौहर की रात है तू माँ का लौड़ा यहाँ क्या कर रहा है ? जा मैं नहीं पकडती तेरा लौड़ा ? अपनी माँ के भोषडा में पेल अपना लौड़ा ? जा नहीं तो मैं यही तेरी माँ चोदूंगी अभी के अभी ? . मेरी गालियाँ सुन सुन कर उसका लौड़ा और टन्नाता जा रहा था .

मैं मन से गालियाँ नहीं दे रही थी . उसके लण्ड में जोश भरने के लिए बक रही थी . मुझे लण्ड पसंद आया और फिर मैं मुस्करा कर लण्ड सहलाने लगी ? इतने में एक और लौड़ा अपना सर हिलाता हुआ मेरे सामने आ गया . उसका सुपाडा बहन चोद सबसे ज्यादा फूला हुआ था . एकदम जैसे गुब्बाडा ? आसिफ बोला भाभी के कादर है का लौड़ा है ? मैंने कहा तो क्या कादर भी मादर चोद चोदेगा मेरी चूत ? आसिफ बोला भाभी तेरा शौहर बगल के कमरे में इसकी बीवी नाजिया को चोद रहा है . इसलिए ये तेरी बुर चोदेगा ? मुझे यकीं नहीं हुआ मैंने कहा दिखाओ मुझे पहले ?

मैंने उसके साथ गयी और झांक कर देखने लगी . मैंने देखा की मेरा मियां का लण्ड नाजिया की चूत में घुसा है और वह मस्ती से चुदवा रही है . बस फिर क्या ? मैं वापस आयी और कादर का लौड़ा अपनी बुर में मुह पर रखा और कहा घुसेड मादर चोद अपना लौड़ा और भकाभक चोदों मेरी चूत ? वह चोदने लगा और मैं आसिफ का लण्ड मुह में लेकर चूसने लगी . दोनों लौड़े मस्त थे . अब मैं भी हो गयी थी बड़ी बेशरम. निर्लज्ज और बेहाया ? कादर से चुदवाने का मज़ा उठाने .लगी फिर मैंने कहा अबे आसिफ भोषडी अब तू पेल अपना लौड़ा मेरी बुर में और कस के चोद मेरी बुर चोदी बुर को .

आसिफ तो इसी ताक में था ही ? वह बोला भाभी जाने कबसे मैं तेरी चूत चोदने के फिराक में था . आज मेरी तमन्ना पूरी.हुई . इतना कहा और लौड़ा उसकी बुर के अन्दर . मैंने कहा अबे साले तेरा लौड़ा तो कुछ मोटा लगता है ? चोदो भचाभच और देख अगर मुझे मज़ा नहीं आया तो मैं तेरी गांड पर लात मारूंगी ? वह बोला भाभी लात नहीं तू मेरा लण्ड काट कर फेंक देना अगर मैं तेरी चूत का तेल पहले न निकाल लूं . तेरी चूत क्या मैंने बड़े बड़े भोषडा का तेल निकाल है . मैं तेरी माँ का भोषडा भी चोद डालूँगा ? मैंने कहा अबे पहले तू मेरा भोषडा चोद फिर मेरी माँ का भोषडा चोदना ? उधर कादर का लौड़ा साला मेरी चूंचियों पर शैर कर रहा था .

थोड़ी देर में मैंने कहा यार आसिफ तू मुझे पीछे से चोद . बीच बीच में मेरी गांड में भी घुसेड दे लांड ? अब मैं बुर और गांड दोनों एक साथ चुदवाने लगी ?

इतना मज़ा मुझे पहले कभी नहीं आया ? फिर मैंने एक एक करके दोनों लण्ड पर बैठ कर चुदवाया ? मैंने सोचा की क्यों न दोनों लण्ड एक साथ पेलू चूत में ? मैंने आसिफ को नीचे लिटा दिया और उसकी तरफ गांड करेके बैठ गयी लण्ड पर . मैं चित लेट गयी आसिफ के ऊपर . मेरी चूत फ़ैल गयी जिसमे पहले से ही आसिफ का लौड़ा घुसा था . तब मैंने कादर से कहा अब तू भी पेल अपना लौदा मेरी चूत में . उसने पेला और मैं दोनों लण्ड से चुदाने लगी बुर . मुझे लगा की यह मेरी बड़ी कामयाबी है . जब लण्ड झड़ने को आये तो दोनों का मुठ्ठ गचागच मारा और मज़ा लिया

तब तक सुबह के 4 बज चुके थे . मैं नंगी नंगी ही सो गयी . मैं जब उठी तो मेरे मियां ने पूंछा :- उन दोनों के लण्ड पसंद आये तुम्हे कम्मो ? उन दोनों ने ठीक से चोदा तुम्हे की नहीं ?

मैंने कहा :- लण्ड तो बड़े मस्त थे और चोदा भी भोषडी वाले ने खूब ? ( मैं बिलकुल रंडी की तरह बात कर रही थी .) अच्छा तुम बताओ तुम्हे नाजिया की बुर कैसी लगी ? तुम्हारा लण्ड उसे पसंद आया ?

वह बोला :- हां वह तो चुदाने में बिलकुल मस्त हो जाती है . खुल कर चुदवाती है बुर चोदी ? वो तो मेरे जैसे ही लण्ड पसंद करती है . बस अब मेरा रास्ता साफ़ हो चुका था . मैं समझ गयी की अब मैं किसी से भी खुल कर चुदा सकती हूँ और कहीं भी चुदा सकती हूँ . मेरी हिम्मत बढ़ गयी .

अब जब भी मुझे कोई स्मार्ट आदमी मिलता है तो मैं उसके लण्ड के बारे में सोचने लगती हूँ . और सोचने लगती हूँ कैसे इसका लण्ड पकडूं ?

दो दिन बाद उसी होटल में मैं सवेरे सवेरे बैठी हुई नास्ता कर रही थी . अचानक मेरी पीठ पर हाथ मारते हुए किसी ने कहा अरी कम्मो ? तू किसके साथ आयी है अपनी सुहागरात मनाने ? सवाल बड़ा अटपटा था ? सुहागरात मनाने तो हर कोई अपने मर्द के साथ ही आती है यार ?

मैंने जबाब दिया ? फिर कहा अरे तू प्रीती यहाँ कैसे आयी है . तेरी शादी कब हुई यार ?

प्रीती बोली :- अभी दो दिन पहले ?

मैंने कहा :- तो क्या तू किसी और के साथ सुहागरात मनाने आयी है .

प्रीती बोली :- हां, और नहीं तो क्या ? अपने मर्द के साथ सुहागरात मनाना तो पुराणी बात हो गयी है . मैं तो गैर मर्दों के साथ मना रही हूँ सुहागरात ? आज दूसरा दिन है ?

मैंने कहा :-अरे यार क्यों मजाक कर रही हो ?

प्रीती बोली :- मजाक नहीं हकीकत है यार ? देख बड़ी मजेदार बात है . हम तीन कपल है . सब एक ही कमरे में मनाते है सुहागरात . उनमे से कोई भी अपनी बीवी नहीं चोदता . तीनो एक दूसरे की बीवी चोदते है और वो भी सबके.सामने इस तरह मैं दोदो गैर मर्दों से चुदवा रही हूँ कल से . बड़ा मज़ा आ रहा है यार ?

प्रीती बोलती जा रहा थी . मैं तो अकेली ही चली थी . टूरिस्ट बस में मुझे दो कपल मिल गए . रिया साजन और लूसी डेविड . दिन भर उनके साथ घूमते फिरते रहे और फिर शाम को एक साथ बैठ बातें करने लगे . वह कमरा मेरा ही था . दारू का प्रोगाम बन गया और फिर बिना रोक टोक सबको पीना पड़ा शराब .

नशा चढ़ने के बाद लूसी बोली :- आज की रात मैं एक नया खेल करना चाहती हूँ . देखो हमसब लोग सुहागरात मानाने आये है . मेरा कहना है की वैसे तो हर एक बीवी अपने मियां के साथ ही सुहागरात मनाती है पर मेरा सुझाव है की आज की रात हम लोग दूसरों मर्दों के साथ सुहागरात मनाएं ? .हां अपने मियां से चुदवाना तो ज़िन्दगी भर होता रहेगा पर ऐसा मौका कभी नहीं मिलेगा की हम एक साथ एक दूसरे मर्द से चुदवाये ? अपनी अपनी मर्जी से चुदवायें ? मर्द भी अपनी अपनी मर्जी से एक दूसरे की बीवी चोदें और जवानी का पूरा मज़ा ले ? यहाँ न कोई हमें जानता है और न ही पहचानता है . इसलिए कोई खतरा भी नहीं है . यह बात हम तीनो के बीच गुप्त रहेगी .

साजन बोला :- भाभी आपका तर्क सही है . हां मैं तैयार हूँ और मेरी बीवी भी राजी है .

मैंने कहा (प्रीती) :- हां मैं भी और मेरे हसबैंड को कोई ऐतराज नहीं है .

फिर जानती हो कम्मो क्या हुआ ? सबसे पहले लूसी ही नंगी हो गयी सबके सामने . फिर मैंने सारे कपडे उतारे और मेरे बाद रिया ने . हम तीनो बीवियों को नंगी देख कर मर्दों के लण्ड आसमान ताकने लगे . खड़े हो गए बहन चोद लण्ड ? खड़े खड़े अपना अपना सर हिलाने लगे मादर चोद सभी लण्ड ? उसके बाद होने लगी भकाभक चुदाई . हर एक बीवी ने दो दो पराये मर्दों से चुदवाया और हर एक मर्द ने दो दो परायी बीवियां चोदी . कल जब इतना मज़ा आया तो आज भी वही होगा

मैंने कहा :- प्रीती आज तुम मुझे भी शामिल कर लो . मेरा मियां तैयार है .

तब तक नाजिया, आसिफ और कादर चले गए थे . उस रात मैं अपने मियां ताहिर को लेकर प्रीती के कमरे में चली गयी . अब चार कपल हो गए . मैं कम्मो ताहिर, प्रीती विक्रम, रिया साजन और लूसी डेविड

इन चारों कपल ने मिलकर चुदाई का खूब धमाल मचाया . सभी बीवियों ने तीन तीन गैर मर्दों से चुदवाया और सभी मर्दों ने तीन तीन परायी बीवियां चोदीं

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बीवी और डोली भाभी https://sexstories.one/biwi-aur-doli-bhabhi-xxx/ Wed, 20 Oct 2021 05:43:39 +0000 https://sexstories.one/?p=3075 मेरा लंड उसकी चूत में पूरा का पूरा सटा सट अंदर बाहर हो रहा था. 10 मिनिट की चुदाई के बाद प्रिया फिर से झड़ गयी. मैने अपना लंड उसकी चूत से बाहर निकाल लिया तो उसने मेरे लंड को तुरंत पकड़ लिया और कहने लगी, बाहर क्यों निकाल रहे हो. अभी मुझे और मज़ा लेना है...

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Biwi Aur Doli Bhabhi XXX तो डोली भाभी बाहर बैठी थी. उन्होने मुझसे पूछा, काम हो गया. मैने कहा, हाँ. वो बोली, मैं गरम पानी से उसकी चूत की सिकाई कर देती हूँ. इससे उसका दर्द कम हो जायेगा. मैं चुप रह गया क्योंकी मैने तो प्रिया की चूत को अभी तक छुआ ही नहीं था. मैने तो उसकी गांड मारी थी. में प्रिया के पास चला गया. डोली भाभी पानी गरम करके ले आई. वो बोली, मैं पानी गरम करके लाई हूँ, अंदर आ जाऊं. मैने कहा , आ जाओ. प्रिया बोली, मैं एकदम नंगी हूँ और तुम दीदी को यहाँ बुला रहे हो. मैने कहा, तो क्या हुआ. वो कुछ नहीं बोली.

डोली भाभी अंदर आ गयी. उन्होने प्रिया से कहा, लाओ मैं तुम्हारे छेद की सिकाई कर दूँ. इससे तुम्हारा दर्द कम हो जायेगा. प्रिया ने करवट बदल ली तो डोली भाभी ने कहा, तुमने करवट क्यों बदल ली. अब मैं कैसे तुम्हारे छेद की सिकाई करूँगी. उसने अपनी गांड के छेद की तरफ इशारा करते हुये कहा, इसी में तो इन्होने अपना औज़ार घुसाया था. डोली भाभी के मुहँ से निकला, क्या. डोली भाभी की नज़र प्रिया की गांड पर पड़ी. उसकी गांड खून से लथपथ थी. मैने अभी तक अपना लंड साफ नहीं किया था. मेरा लंड भी खून से भीगा हुआ था. डोली भाभी आँखें फाडे कभी मेरे लंड को और कभी प्रिया की गांड को और कभी मेरे चेहरे को देखने लगी. डोली भाभी ने गरम पानी से प्रिया की गांड की सिकाई की. उसके बाद उन्होने मुस्कुराते हुये प्रिया से कहा, प्रिया तुमने तो एक ही बार में मैदान मार लिया है. अब दूसरा मैदान मारना और बाकी है. वो बोली, दीदी, मैं समझी नहीं.

डोली भाभी ने प्रिया की चूत पर हाथ लगाते हुये कहा, अभी तो तुम्हें इस छेद में भी इसका औज़ार अंदर लेना है. प्रिया को बहुत दर्द हो रहा था. डोली भाभी की बात सुनकर वो गुस्से में आ गयी. उसने अपनी चूत की तरफ इशारा करते हुये कहा, एक छेद के अंदर इनका औज़ार लेने में ही मेरा इतना बुरा हाल हो गया और आप कह रही हो की अभी इस छेद में भी अंदर लेना है. मैं अब किसी छेद में इनका औज़ार अंदर नहीं लूँगी. मुझे बहुत दर्द होता है. आप खुद ही इनका औज़ार अपने छेद में ले लो. डोली भाभी ने मुस्कुराते हुये कहा, मेरे अंदर लेने से क्या होगा. आख़िर तुम्हें भी तो इसका औज़ार अपने इस छेद में अंदर लेना ही पड़ेगा.

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जैसे एक बार तुमने दर्द को सहन कर लिया है उसी तरह से एक बार और दर्द को सहन कर लेना. प्रिया ने डोली भाभी की चूत की तरफ इशारा करते हुये कहा, पहले तुम इनका औज़ार अपने इस छेद में अंदर ले कर दिखाओ. उसके बाद ही मैं इनका औज़ार अपने इस छेद में अंदर लूँगी. डोली भाभी मेरा मुझे देखने लगी और मैं उनको. प्रिया बोली, क्यों अब क्या हुआ. आप मुझे फसा रही थी लेकिन मैने आप को ही फसा दिया. दिखाओ इनका औज़ार अपने छेद के अंदर लेकर. डोली भाभी ने कहा,अच्छा बाबा, अभी दिखा देती हूँ लेकिन उसके बाद तो तुम मना नहीं करोगी.

वो बोली, पहले आप दिखाओ उसके बाद मैं इनका औज़ार अंदर ले लूँगी भले ही मुझे कितनी भी तकलीफ़ क्यों ना हो. डोली भाभी ने मुझसे कहा, देवर जी, प्रिया ऐसे नहीं मानेगी. अब तुम अपना औज़ार मेरे अंदर डाल ही दो. मैने कहा, प्रिया के सामने. प्रिया बोली, तो क्या हुआ. जब ये मुझे तुम्हारा औज़ार अंदर लेते हुये देखेगी तब ही तो ये तुम्हारा औज़ार अंदर लेगी.

डोली भाभी ने अपने कपड़े ऊतार दिये और प्रिया के बगल में लेट गयी. मैं डोली भाभी के पैरों के बीच आ गया तो डोली भाभी ने प्रिया से कहा, अब तुम बैठ जाओ और देखो की कैसे मैं इसका औज़ार पूरा का पूरा अंदर लेती हूँ. प्रिया डोली भाभी के बगल में बैठ गयी. मैने डोली भाभी की चूत में अपना लंड घुसाना शुरू कर दिया. धीरे धीरे मेरा पूरा का पूरा लंड डोली भाभी की चूत में समा गया. प्रिया आँखें फाडे देखती रही. उसके बाद मैने डोली भाभी की चुदाई शुरू कर दी. प्रिया मेरे लंड को डोली भाभी की चूत में सटा सट अंदर बाहर होते हुये देखती रही.

5 मिनिट की चुदाई के बाद डोली भाभी झड़ गयी तो प्रिया ने कहा, दीदी, तुम्हारे छेद में से क्या निकल रहा है. डोली भाभी ने कहा, ये मेरी चूत का पानी है. अब ये कई बार निकलेगा. जब ये तुम्हारी चूत में भी अपना लंड घुसा कर तेज़ी से अंदर बाहर करेगा तब तुम्हारी चूत में से भी ऐसा ही पानी निकलेगा. चूत से पानी निकालने पर बहुत मज़ा आता है. तुम खुद ही देख लो की मुझे कितना मज़ा आ रहा है. मैने डोली भाभी को लगभग 25 मिनिट तक खूब जम कर चोदा. प्रिया आँखें फाडे देखती रही. लंड का सारा पानी डोली भाभी की चूत में निकाल देने के बाद मैने अपना लंड बाहर निकाल लिया तो प्रिया बोली, तुम्हारे लंड पर तो ज़रा सा भी खून नहीं लगा है. मैने कहा, खून तो केवल पहली पहली बार घुसने में ही निकलता है. वो कुछ नहीं बोली. डोली भाभी ने प्रिया से कहा, अब तो तैयार हो इसका लंड अपनी चूत में लेने के लिये. वो बोली, हाँ, लेकिन दीदी, बहुत दर्द होगा.

डोली भाभी ने कहा, पगली, केवल एक ही बार तो दर्द होगा. उसके बाद तो तू खुद ही इससे बार बार कहेगी की अपना लंड मेरी चूत में डाल दो. वो बोली, भला मैं ऐसा क्यों कहूँगी. डोली भाभी ने कहा, क्योंकी तुझे इसमें मज़ा जो आयेगा. मैं डोली भाभी के बगल में लेट गया. प्रिया मेरे लंड को देखती रही. थोड़ी देर बाद वो बोली, इनका लंड अब खड़ा क्यों नहीं हो रहा है. डोली भाभी ने कहा, अभी इसने मुझे चोदा है ना इसीलिये तू इसके लंड को सहलाना शुरू कर दे. थोड़ी ही देर में ये फिर से खड़ा हो जायेगा. डोली भाभी की चुदाई देख कर प्रिया को भी थोड़ा जोश आ गया था. उसने अपना हाथ धीरे से मेरे लंड पर रख दिया. थोड़ी देर तक वो मेरे लंड को देखती रही. उसके बाद उसने मेरे लंड को सहलाना शुरू कर दिया.

15-20 मिनिट के बाद मेरा लंड फिर से खड़ा होने लगा. मैने देखा की उसकी आँखें कुछ गुलाबी सी होने लगी. लंड खड़ा होते देख प्रिया जोश में आ गयी और डोली भाभी से बोली, दीदी, अब तो इनका लंड खड़ा हो गया. डोली भाभी बोली, अब तू लेट जा. इतना कह कर डोली भाभी उठ कर बैठ गयी और प्रिया लेट गयी. डोली भाभी ने मुझसे कहा, तू मेरे साथ ज़रा बाहर आ. मै डोली भाभी के साथ बाहर आ गया. डोली भाभी ने कहा, इस बार प्रिया के ऊपर ज़रा सा भी रहम मत करना. पूरी ताक़त के साथ धक्का लगाते हुये पूरा का पूरा लंड अंदर घुसा देना. ज़्यादा देर भी मत करना. उसके बाद उसकी किसी दुश्मन की तरह खूब जम कर चुदाई करना. समझ गये. मैने कहा, ठीक है, मैं ऐसा ही करूँगा.
डोली भाभी ने कहा, मैने कभी तेरे भैया से गांड नहीं मरवाई थी, मेरी गांड कब मारेगा.

मैने कहा, जब तुम कहो. वो बोली, ठीक है, मैं तुझे बता दूँगी. अब चल मेरे साथ कमरे में. मैं डोली भाभी के साथ कमरे में आ गया. प्रिया बेड पर लेटी हुई थी. डोली भाभी ने मुझसे कहा, अब तू अपने लंड पर तेल लगा ले और प्रिया की चुदाई शुरू कर. मैं इसके पास ही बैठ जाती हूँ. डोली भाभी प्रिया के बगल में बैठ गयी. मैने अपने लंड पर ढेर सारा तेल लगा लिया और प्रिया के पैरों के बीच में आ गया. जैसे ही मैने अपना लंड प्रिया की चूत पर रखा तो डोली भाभी ने कहा, ऐसे नहीं. मैं बताती हूँ. मैने कहा, बताओ. डोली भाभी ने कहा, तू अपना हाथ इसके पैरों के नीचे से डाल कर इसके कंधे को ज़ोर से पकड़ ले. उसके बाद अंदर घुसा.

मैने प्रिया के पैरों के नीचे हाथ डाल कर प्रिया के कंधे को ज़ोर से पकड़ लिया. डोली भाभी ने कहा, अब जैसा मैने तुझे समझाया था ठीक उसी तरह अंदर घुसा दे. मैने प्रिया की चूत के मुहँ पर अपने लंड का सुपाड़ा रख दिया. जैसे ही मैने धक्का लगाया तो डोली भाभी ने प्रिया के मुहँ को ज़ोर से दबा कर पकड़ लिया. प्रिया के मुहँ से गू गू की आवाज़ ही निकल पाई. डोली भाभी मुझसे बोली, घुसा दे जल्दी से पूरा का पूरा. मैं तो ताकतवर था ही. मैने अपनी सारी ताक़त लगाते हुये फिर से एक धक्का मारा.

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प्रिया की चूत से खून की धार निकलने लगी. मेरा लंड खून से नहा गया. वो अपने हाथों को ज़ोर ज़ोर से बेड पर पटकने लगी. उसकी सारी की सारी चूड़ीयां टूट गयी और उसका हाथ लहुलुहान हो गया. मुहँ दबा होने की वजह से उसके मुहँ से केवल गू गू की आवाज़ ही निकल पा रही थी. मैने फिर से एक धक्का लगाया. इस धक्के के साथ ही मेरा लंड प्रिया की चूत में 7″इंच तक घुस गया. प्रिया तड़प रही थी. उसकी आँखों से आँसू बह रहे थे. बेड की चादर पर भी ढेर सारा खून लग गया था. भाभी बोली, जल्दी कर.

मैने एक धक्का और मारा तो मेरा लंड 8″इंच घुस गया. मैने गहरी सांस लेते हुये फिर से ज़ोर का धक्का लगाया. इस धक्के के साथ ही मेरा पूरा का पूरा लंड प्रिया की चूत में समा गया. डोली भाभी बोली, अपना पूरा लंड बाहर निकाल कर एक ही झटके में फिर से अंदर कर दे. मैने वैसा ही किया. डोली भाभी ने कहा, शाबास, ठीक इसी तरह से 4-5 बार और कर. मैने 4-5 बार फिर से वैसा ही किया. प्रिया तड़प रही थी. उसका सारा बदन पसीने से नहा गया थी. उसकी साँसें बहुत तेज चल रही थी और सारा बदन तर तर कांप रहा था. मैने प्रिया की चुदाई शुरू कर दी.

डोली भाभी अभी भी उसका मुहँ दबाऐ हुये थी. उसके मुहँ से गू गू की आवाज़ निकल रही थी. उसकी चूत ने मेरे लंड को बुरी तरह से जकड़ रखा था. मेरा लंड आसानी से उसकी चूत में अंदर बाहर नहीं हो पा रहा था. पूरी ताक़त के साथ मैं लगभग 10 मिनिट तक उसकी चुदाई करता रहा. प्रिया अब कुछ हद तक शांत हो चुकी थी. डोली भाभी ने अपना हाथ उसके मुहँ पर से हटा लिया तो प्रिया सिसक सिसक कर रोते हुये कहँने लगी, दीदी, आप दोनो ने मिलकर मुझे मार ही डाला. बहुत दर्द हो रहा है. डोली भाभी ने कहा, अब तो पहले जैसा दर्द नहीं है ना. वो बोली, नहीं, अब पहले से बहुत कम है. डोली भाभी ने कहा, थोड़ा सब्र कर, अभी बाकी का दर्द भी चला जायेगा. मैं तेज़ी के साथ उसकी चुदाई कर रहा था. अब वो चीख नहीं रही थी केवल आहें भर रही थी. मैने उसे 5 मिनिट तक और चोदा तो प्रिया झड़ गयी.

उसकी चूत और मेरा लंड एक दम गीला हो गया. अब मेरा लंड थोड़ा आसानी से उसकी चूत में अंदर बाहर होने लगा था. मैने अपनी स्पीड बढ़ा दी. प्रिया ने धीरे धीरे सिसकारियाँ भरनी शुरू कर दी. डोली भाभी ने पूछा, अब कैसा लग रहा है. वो बोली, अब कुछ कुछ मज़ा आ रहा है लेकिन दर्द अभी भी है. डोली भाभी ने कहा, अब इस दर्द को जाने में समय लगेगा. उसके बाद बिल्कुल भी दर्द नहीं होगा. वो बोली, समय क्यों लगेगा. डोली भाभी ने कहा, जब ये तुम्हें 3-4 बार चोद देगा तब तुम्हारी चूत इसके लंड के साइज़ की हो जायेगी. उसके बाद ये दर्द अपने आप चला जायेगा.

मैने और ज़्यादा ज़ोर ज़ोर के धक्के लगाने शुरू कर दिये थे और उसे तेज़ी के साथ चोद रहा था. प्रिया ने भी अब धीरे धीरे अपना चूतड़ उठना शुरू कर दिया था. वो भी अब मस्ती में आ रही थी. 5 मिनिट में ही वो फिर से झड़ गयी. उसने मेरे होठों को चूम लिया और कहा, अब मुझे बहुत अच्छा लग रहा है.

मैने उसकी चुदाई जारी रखी. 2 मिनिट भी नहीं गुज़रे थे की डोली भाभी ने कहा, प्रिया अब तुम इसका लंड अपने दूसरे छेद में ले लो. वो बोली, फिर से दर्द होगा. डोली भाभी ने कहा, अब ज़्यादा दर्द नहीं होगा क्योंकी तुम इसका लंड पहले ही अंदर ले चुकी हो. वो बोली, फिर इनसे कह दो की धीरे धीरे करेंगे. डोली भाभी ने कहा, ये धीरे धीरे ही करेगा. मैं हूँ ना यहाँ पर. अगर ये बदमाशी करेगा तो मैं इसे बहुत मारूँगी. वो बोली, ठीक है. मैने अपना लंड प्रिया की चूत से बाहर निकाला और उसकी गांड में घुसाने लगा. मेरे लंड पर प्रिया की चूत का ढेर सारा पानी लगा हुआ था.

धीरे धीरे मेरा लंड 7″इंच तक उसकी गांड में घुस गया. उसके बाद जब मैने और ज़्यादा घुसाने की कोशिश की तो उसे फिर से दर्द होने लगा और वो चीखने लगी लेकिन इस बार उसने मुझे रोका नहीं. वो बोली, अब रहने दो, दर्द हो रहा है. डोली भाभी ने कहा, बस थोड़ा सा ही तो बाकी है. उसे भी अंदर ले लो. वो कुछ नहीं बोली .

डोली भाभी ने मुझे आँख मारी तो मैने ज़ोर का धक्का लगा दिया. मेरा बाकी का लंड भी उसकी गांड में समा गया. वो ज़ोर से चीखी तो डोली भाभी ने कहा, बस हो गया. उसके बाद मैने उसकी गांड मारनी शुरू कर दी. थोड़ी देर चीखने के बाद वो शांत हो गयी. अब उसे गांड मरवाने में भी मज़ा आने लगा था. लगभग 5 मिनिट तक मैने उसकी गांड मारी तो डोली भाभी ने कहा, अब रहने दो.

मैने कहा, अभी तो मेरे लंड का पानी ही नहीं निकला है. वो बोली, मैं मना थोड़े ही कर रही हूँ. अब तुम इसकी चूत में अपना लंड डाल कर इसे चोदो. मैने अपना लंड प्रिया की गांड से निकाल कर उसकी चूत में डाल दिया. उसके बाद मैने पूरी ताक़त के साथ ज़ोर ज़ोर से उसकी चुदाई शुरू कर दी. 5 मिनिट में ही प्रिया फिर से झड़ गयी. मैं इसके पहले 2 बार प्रिया की गांड मार चुका था और डोली भाभी को चोद चुका था. इसलिये मेरे लंड का पानी निकलने का नाम ही नहीं ले रहा था. मैं ज़ोर ज़ोर के धक्के लगाते हुये प्रिया को चोद रहा था. वो भी अपना चूतड़ उठाने लगी थी.

थोड़ी देर बाद वो बोली, दीदी, अब मुझे बहुत अच्छा लग रहा है. इनसे कह दो की थोड़ा और ज़ोर ज़ोर से धक्का लगाये. डोली भाभी ने मुझसे कहा, तुमने सुना ये क्या कह रही है. मैने कहा, हाँ. वो बोली, तो फिर तुम इसका कहा मानो और अपनी ताक़त दिखा दो इसे. मैने पूरी ताक़त लगाते हुये बहुत ही ज़ोर ज़ोर के धक्के लगाने शुरू कर दिये. डोली भाभी ने प्रिया से पूछा, अब ठीक है. वो बोली, हाँ, अब मुझे ज़्यादा मज़ा आ रहा है. प्रिया अब चूतड़ उठा उठा कर मेरा साथ दे रही थी.

मेरा लंड उसकी चूत में पूरा का पूरा सटा सट अंदर बाहर हो रहा था. 10 मिनिट की चुदाई के बाद प्रिया फिर से झड़ गयी. मैने अपना लंड उसकी चूत से बाहर निकाल लिया तो उसने मेरे लंड को तुरंत पकड़ लिया और कहने लगी, बाहर क्यों निकाल रहे हो. अभी मुझे और मज़ा लेना है. मैने कहा, मैं तुम्हें अभी और मज़ा दूँगा. अब तुम घोड़ी की तरह हो जाओ. वो डोगी स्टाइल में हो गयी तो मैं उसके पीछे आ गया. मैने अपना लंड उसकी गांड में घुसा दिया और उसकी गांड मारने लगा. वो जोश के मारे सिसकारियाँ भरने लगी.

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5 मिनिट तक उसकी गांड मारने के बाद मैं अपना लंड उसकी गांड से निकाल कर उसकी चूत में डाल दिया और उसकी चुदाई करने लगा. मैं उसकी कमर को पकड़ कर उसे बहुत ही बुरी तरह से चोद रहा था. वो भी अपना चूतड़ आगे पीछे करते हुये मेरा साथ देने लगी थी. 10 मिनिट उसकी चुदाई करने के बाद मैं झड़ गया. मेरे साथ ही साथ प्रिया भी फिर से झड़ गयी.

मैने अपना लंड बाहर निकाला तो डोली भाभी ने प्रिया से कहा, अब तुम इसके लंड को चाट लो. वो बोली, मैं इनके लंड को नहीं चाटूँगी. इनका लंड गंदा है. डोली भाभी ने कहा, गंदा कहा है. इसके लंड पर तुम्हारी चूत का और इसके लंड का पानी ही तो लगा है. इसे चाटने से प्यार बढ़ता है. चाट लो इसे. वो बोली, मैं नहीं चाटूँगी. मुझे घिन आती है. डोली भाभी ने कहा, मैं ही चाट लेती हूँ. फिर आगे से तुझे ही चाटना पड़ेगा. वो बोली, ठीक है, पहले तुम चाट कर दिखाओ, बाद में मैं चाट लूँगी. डोली भाभी मेरे लंड को चाटने लगी. प्रिया देख रही थी.

मेरे लंड पर लगा हुआ थोड़ा सा पानी डोली भाभी ने चाट लिया फिर प्रिया से बोली, अब बाकी का तुम चाट लो. प्रिया ने शरमाते हुये मेरे लंड को चाटना शुरू कर दिया. उसने मेरे लंड पर लगे हुये बाकी के पानी को चाट चाट कर साफ कर दिया. डोली भाभी ने प्रिया से कहा, अब तुम्हें जब ये फिर से चोदेगा तो चिल्लाओगी तो नहीं. वो बोली, अब क्यों चिलाऊँगी. अब तो मुझे बहुत मज़ा आने लगा है. डोली भाभी ने कहा, फिर ठीक है, तुम आराम कर लो. जब तुम्हारा मन करे तो इसे बुला लेना. मैं इसके साथ अपने कमरे में जा रही हूँ. मुझे इससे कुछ बात करनी है. वो बोली, ठीक है, बुला लूँगी.

डोली भाभी बोली, मैं भी इसके साथ आऊँगी तुम्हारे पास और अपने सामने ही तुम्हारी चुदाई करा दूँगी. डोली भाभी बाहर चली गयी तो मैं भी उनके पीछे पीछे बाहर चला आया.

कहानी जारी रहेगी …

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दोस्त और उसकी बीवी के साथ ग्रुप सेक्स https://sexstories.one/dost-ke-biwi-ki-saath-groupsex/ Tue, 12 Oct 2021 08:01:29 +0000 https://sexstories.one/?p=2979 मैं रानी के स्तनों को अपने मुंह में ले रहा था और मेरा  दोस्त अब भी मेरी पत्नी को चोदने मे लगा हुआ था। मैंने उससे पूछा तुम्हारा अभी नहीं हुआ है वह कहने लगा नही यार मुझे बहुत मजा आ रहा है तेरी बीवी को चोदने में मैंने उसे कहा आज के बाद ऐसे ही चोदना। मैंने तुरंत रानी के मुंह में अपने लंड को दे दिया और वह मेरे लंड को चूसने लगी।

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antarvasna, groupsex stories हम लोगों का कपड़े का कारोबार है। मेरी दुकान बहुत ही अच्छी चलती है। मेरी पत्नी मेरी दुकान में काफी सहायता कर देती है। जब मैं दुकान पर नहीं होता हूं तो, वही दुकान का सारा काम संभालती है। मेरा नाम अजय है और मेरी पत्नी का नाम शालिनी है। जब से उसने दुकान में मेरा हाथ बटाना शुरू किया है तब से मेरा काम काफी अच्छे से चलने लगा है। जितनी भी लेडीस कस्टमर आती हैं उन सब को वहीं संभालती है। ताकी हमारे यहां जो भी लेडीस कस्टमर आये उन्हें  कोई समस्या न हो और वह उसके पास ही सारा सामान लेते हैं।

अब  कुछ समय बाद सर्दियां पढ़ने वाली है। तो हमने सोचा कि क्यों ना लुधियाना से ही सामान ले आए। वहां सर्दी का सामान काफी अच्छे और सस्ते दामों पर मिलता है। हम लोगों ने लुधियाना जाने का प्लान कर लिया। कुछ दिनों में मेरे एक दोस्त का फोन आया। उसकी भी कपड़ों की दुकान है। वह मुझे कहने लगा कि मैं भी सोच रहा था कि लुधियाना जाकर कुछ कपड़े ले आऊं। तो मैंने उससे कहा कि मैं और मेरी पत्नी भी वहां जा रहे हैं, तो तुम भी अपनी पत्नी को साथ में ले आओ। वह कहने लगा ठीक है। मैं भी अपनी पत्नी को अपने साथ ले आता हूं। कुछ दिन हम लोग वहां पर घूम भी लेंगे और अपना सामान भी ले आएंगे। मैंने उसे कहा ठीक है। इस तरीके का प्रोग्राम बना लेते हैं और  कुछ दिनों बाद  हम लोग लुधियाना के लिए  निकल पड़ेंगे।

मैंने अपने दुकान का जितना भी हिसाब किताब और जो भी लेनदेन बाकी था वह सब क्लियर करने के बाद अपने दोस्त को दोबारा से फोन किया। मेरे दोस्त का नाम सुमित है और उसकी दुकान भी बहुत अच्छी चलती है। जब भी मेरे पास कुछ सामान नहीं होता तो मैं उससे ही वह सामान मंगा लेता हूं। जब मैंने अपने दोस्त को फोन किया तो मैंने उसे बताया कि मेरा सारा काम हो चुका है। अगले हफ्ते हम लोग जाने का प्लान कर लेते हैं। दोस्त ने कहा ठीक है मैं भी तब तक 1 हफ्ते में अपना काम निपटा लेता हूं। उसके बाद हम लोग चल पड़ेंगे। मैंने उससे पूछा कि मैं टिकट करवाऊं या तुम ही टिकट करवा लोगे। तो उसने बोला कि तुम टिकट करवा लो। उसके बाद जितना भी पैसा होगा वह हम आपस में देख लेंगे। मैंने कहा ठीक है मैं टिकट करवा देता हूं अब मैंने ट्रेन की टिकट करवा ली और हमारा जाने का फाइनल हो गया।

Desi Groupsex तुम रोशनी को अपना लो

जब हम स्टेशन पहुंचे तो सुमित भी वहां अपनी पत्नी के साथ खड़ा था। सुमित ने अपनी पत्नी से हमें मिलाया। मैं उसकी पत्नी से पहली बार ही मिला था। क्योंकि उसके घर पर मेरा आना जाना इतना नहीं था। उसने अपनी पत्नी नाम बताया। उसकी पत्नी का नाम रानी था। अब हम लोग ट्रेन में बैठ गए और अगले दिन लुधियाना पहुंच गए। हमने उस दिन तो आराम किया। क्योंकि हम लोग काफी थक चुके थे। अब हम शाम को मार्केट निकल गए और जो हमारी पहचान के कपड़ो की दुकाने थी उन सब से हमने अपना सामान पैक करवा लिया। हम लोगों ने अपना सारा सामान ट्रांसपोर्ट से ही भिजवा दिया था। हम लोग घूमने के प्लान से भी आए थे तो हम लोग लुधियाना ही घूमने लगे। आसपास की जितने भी घूमने की जगह थी वहां पर भी हम काफी घूमे। मैंने सुमित से कहा कि एक काम करते हैं, आज रात को डिनर पर कहीं अच्छी जगह चलते हैं।

अब हम लोग एक अच्छे से रेस्टोरेंट में चले गए। वहां हम लोगों ने काफी अच्छे से बात किया। हम सब बहुत हंसी मजाक कर रहे थे।मेरी पत्नी का नेचर भी बहुत ज्यादा फ्रैंक है और उसकी पत्नी का भी नेचर फ्रेंक था। दोनो का नेचर बहुत अच्छा था। उन दोनों की आपस में बहुत अच्छी दोस्ती हो गई थी। मुझे बहुत ही अच्छा लग रहा था जब हम लोग काफी इंजॉय कर रहे थे। क्योंकि बहुत समय बाद ऐसा हुआ था कि मुझे कहीं बाहर जाने का समय मिल पाया था। नहीं तो मैं सिर्फ अपनी  दुकान में ही रहता था। मैंने सुमित से कहा यार बहुत अच्छा लग रहा है। काफी समय बाद ऐसा माहौल बना है। वह भी बहुत खुश था कि इतने समय बाद वह भी कहीं घूमने के लिए गया था। अब हम लोग वापस होटल चले गए। हम चारों ने बहुत ही एंजॉय किया।

हम दोनों ने रास्ते में बात कर ली थी कि हम दोनों एक दूसरे की बीवी को आज चोदेंगे। यह बात हमारी पत्नियों पता नहीं थी और जैसे हम होटल में पहुंचे तो हम दोनों एक दूसरे के कमरे में चले गए। मेरा दोस्त मेरी पत्नी के कमरे में चला गया और मैं उसके कमरे में चला गया। हमारी पत्नियां हमें देख कर बहुत ज्यादा शॉक्ड हो गई हम दोनों उनके सामने नंगे थे। मेरी पत्नी शालिनी मुझे कहने लगी तुम दूसरे कमरे में क्या कर रहे हो। मैंने उसे पकड़कर किस कर लिया और मेरे दोस्त ने भी अपनी पत्नी को किस कर लिया। हम दोनों उन्हें वही बिस्तर पर लेटा कर किस करने लगे।

मैंने अपने  लंड को अपने दोस्त की बीवी के मुंह में घुसेड़ दिया और मेरे दोस्त ने शालिनी के मुंह में अपना लंड डाल दिया। अब वह दोनों हमारे लंड को अच्छे से चूसने लगी और हम दोनों बड़ी तेज आवाज में चिल्ला रहे थे। मुझे तो बहुत ही मजा आ रहा था जब उसकी बीवी मेरे लंड को अच्छे से चूस रही थी। हमने ऐसे ही अब उन्हें बिस्तर पर लेटा दिया मैंने रानी की चूत को चाटना शुरु किया और उसने मेरी पत्नी शालिनी की चूत को चाटना शुरू किया। वह दोनों बहुत ही ज्यादा मस्त हो गई थी और बड़ी तेज सिसकियां लेने लगी। हम दोनों भी ऐसे काफी देर तक उन्हें चाटते रहे।

अब मैंने थोड़ी देर अपनी पत्नी की भी योनि में चाटना शुरु किया और अपनी पत्नी शालिनी की चूत में अपना लंड डाल दिया। थोड़ी देर तक तो मैं उसे ही चोदता रहा लेकिन अब मैंने रानी की चूत मे अपना लंड डाल दिया और मेरे दोस्त ने मेरी पत्नी शालिनी की चूत मे अपना लंड डाल दिया। हम दोनों ने उन दोनों को ऐसा चोदा कि वह बड़ी तेजी से चिल्ला रही थी। उनकी तेज आवाज पूरे होटल में गूंजने लगी लेकिन हम दोनों रुकने का नाम ही नहीं ले रहे थे। जिस पोज में मैं उसकी पत्नी को चोद रहा था वह भी उसी पोज में मेरी पत्नी को चोद रहा था। मेरा वीर्य तो जल्दी ही गिर गया लेकिन मेरे दोस्त क अभी भी नहीं गिरा था और शालिनी बड़ी तेजी से चिल्लाए जा रही थी।

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मैं रानी के स्तनों को अपने मुंह में ले रहा था और मेरा  दोस्त अब भी मेरी पत्नी को चोदने मे लगा हुआ था। मैंने उससे पूछा तुम्हारा अभी नहीं हुआ है वह कहने लगा नही यार मुझे बहुत मजा आ रहा है तेरी बीवी को चोदने में मैंने उसे कहा आज के बाद ऐसे ही चोदना। मैंने तुरंत रानी के मुंह में अपने लंड को दे दिया और वह मेरे लंड को चूसने लगी।

मेरा लंड खड़ा हो गया जैसे ही मेरा लंड खड़ा हुआ तो मैंने उसे वही बिस्तर पर लेटा दिया और उसके चूतड़ों को पकड़ते हुए उसकी चूत मे अपना लंड डाल दिया। जैसे ही मैंने अपने लंड को दोबारा से उसकी योनि में डाला तो वह बड़ी तेजी से चिल्लाने लगी और मैं उसकी चूतडो को पकड़ते हुए ऐसे ही बड़ी तीव्र गति से झटके मारता जाता। जिससे कि उसका पूरा शरीर हिल रहा था और उसकी चूतडे बड़ी तेजी से मेरे आगे आ रही थी और मैं ऐसे ही उसे धक्के देकर शांत कर देता। अब मेरे दोस्त ने भी शालिनी के मुंह में अपना वीर्य गिरा दिया था और उसने वीर्य निगल लिया था।

उसने भी मेरी पत्नी को घोड़ी बनाकर चोदना शुरू कर दिया और वह बड़ी तेजी से उसे धक्के देते जा रहा था। वह तो इतनी तेजी से झटके मार रहा था कि मुझे ऐसा लग रहा था कि कहीं वह बेहोश ना हो जाए। मैंने भी रानी को बड़ी तीव्र गति से धक्के देना शुरू किया और उसके चूतड़ों से फच फच की आवाज आने लगी। जैसे ही मैं उसे चोदता तो मेरा दोस्त शालिनी को बड़े गंदे तरीके से चोद रहा था। उसका पूरा शरीर हिल रहा था जो कि मुझे साफ दिखाई दे रहा था उसके स्तन बहुत ही बड़े थे। इस बार मेरे दोस्त का वीर्य जल्दी से गिर गया लेकिन मेरा वीर्य अब भी नहीं गिरा था और मैं ऐसे ही उसे चोदता जा रहा था 5 मिनट के बाद मेरा वीर्य गिरने को हो गया।

मैंने वह रानी के मुंह के अंदर ही डाल दिया। अब हम चारों ऐसे ही बैठ कर बातें करने लगे हम चारों यह बात कर रहे थे।

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रंडी बहन की सामूहिक चुदाई https://sexstories.one/randi-bahan-ki-samuhik-chudai/ Wed, 21 Jul 2021 03:25:53 +0000 https://sexstories.one/?p=3960 हैल्लो दोस्तों.. मेरा नाम राजीव है और में मुंबई का रहने वाला हूँ. में एक सीधा साधा सा दिखने वाला लड़का हूँ.. मुझे सेक्स का बहुत शौक है और में जब भी अपनी सभी कामों ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हैल्लो दोस्तों.. मेरा नाम राजीव है और में मुंबई का रहने वाला हूँ. में एक सीधा साधा सा दिखने वाला लड़का हूँ.. मुझे सेक्स का बहुत शौक है और में जब भी अपनी सभी कामों से फ्री होता हूँ तो में वेबसाईट पर सेक्सी कहानियाँ पढ़ता हूँ. दोस्तों में आज आप सभी को अपने जीवन की एक सच्ची घटना सुनाने जा रहा हूँ.. जिसको में आप सभी को सुनाने की बहुत समय से सोच रहा था.. लेकिन मुझे अब लिखने का समय मिला और अब में थोड़ा अपने परिवार का परिचय आप सभी से करा देता हूँ.

दोस्तों मेरे घर में मेरी मम्मी में और मेरी बड़ी दीदी रहती है.. मेरी उम्र 22 साल है और मेरी दीदी की उम्र 26 साल है. में एक प्राइवेट कम्पनी में नौकरी करता हूँ और काम के लिए सुबह जल्दी घर से निकल जाता हूँ.. मेरा पापा का अपना एक बिजनेस है और अब कुछ समय पहले पापा की म्रत्यु होने के बाद में खुद उसे चला रहा हूँ. तो में हर सुबह घर से 9 बजे निकल जाता हूँ और घर पर 11 बजे तक आ जाता हूँ और मेरी मम्मी की बहन (मतलब मेरी मौसी) हमसे एक घंटे की दूरी पर रहती है.

तो घर पर अकेले होने के कारण मम्मी ज़्यादातर मौसी के घर चली जाती है.. लेकिन मेरी बहन घर पर पूरा दिन एकदम अकेली रहती है. मेरी बहन का नाम सलोनी है और वो थोड़ा सावले रंग की है.. लेकिन उसकी कमर, फिगर बहुत मस्त है और वो एक बहुत सुंदर दिखने वाली लड़की है. उसके पीछे बहुत लड़के पड़ते है और वो भी उन लड़कों से मोबाइल पर घंटों बात करती रहती है.. लेकिन मैंने कभी भी उनसे उस बारें में कुछ नहीं कहा.

एक दिन में सुबह उठकर अपने ऑफिस जाने के लिए तैयार हुआ और फिर मम्मी ने कहा कि आज वो अपनी बहन के घर पर जाएगी और में तैयार होकर ऑफिस के लिए निकल पड़ा. तो मैंने वहां पर पहुंच कर देखा कि ऑफीस में कुछ ज़्यादा काम नहीं था इसलिए मैंने सोचा कि क्यों ना आज में घर जल्दी चला जाऊँ और कोई अच्छी फिल्म देख लूँ. तो में जल्दी घर के लिए निकल पड़ा और घर के दरवाजे की एक चाबी मेरे पास भी थी.

तो में घर पर आया और वो दोपहर का टाईम था.. तो मैंने सोचा कि शायद दीदी सो रही होगी में उसे नींद से उठाकर परेशान नहीं करूँगा और फिर मैंने धीरे से दरवाजा खोला और घर के अंदर घुसते ही मुझे कुछ अजीब आवाजें आने लगी.. तो मैंने सोचा कि शायद दीदी बेडरूम में टीवी देख रही होगी और हो सकता है कि यह उसी की आवाज हो?

मैंने उस आवाज पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया और में अपने कमरे में पहुंचकर कपड़े बदले लगा और फिर में कपड़े बदल कर अचानक से अपनी दीदी के बेडरूम में चला गया.. लेकिन दीदी के बेडरूम का वो नज़ारा देखकर मेरी आखें खुली की खुली रह गयी. मैंने वहां पर देखा कि मेरी दीदी अपने बेड पर पड़ी हुई है और उन्होंने अपने दोनों पैरों को फैलाया हुआ है और वो अपनी चूत में उंगली डाल रही थी.

तो यह सब देखकर मेरा लंड बहुत बुरी तरह से तनकर खड़ा हो गया और मेरे पूरे शरीर में एकदम जोश आ गया और में दरवाज़े के कोने से उन्हें देख रहा था और अपने लंड को सहला रहा था और अब कुछ देर बाद मैंने अपना लंड हिलाना शुरू कर दिया.

फिर कुछ मिनट बाद उन्होंने अपनी स्पीड बड़ा दी और फिर वो झड़ गई और एकदम शांत होकर बेड पर पड़ी रही और उनकी चूत से रस बहता हुआ बाहर आने लगा. दोस्तों उन्हे इस हालत में यह सब करता हुआ देखकर एक बार तो मैंने सोचा कि में अभी जाकर अपनी दीदी को जबरदस्ती पकड़कर चोद डालूं..

लेकिन उस वक्त मैंने अपनी भावनाओ को काबू में रखा और उस पल को हमेशा याद रखने के लिए मैंने उसका वीडियो बना लिया और अब में हर रात को सोते समय उस वीडियो को देखकर अपना लंड हिलाता हूँ और मुठ मारकर अपने लंड को शांत करता हूँ. दोस्तों जब से मैंने अपनी दीदी को उस हालत में वो सब करते हुए देखा है..

तब से में उसे चोदने की तरकीब ढूँडने लगा और मैंने कई बार अपनी मम्मी की गैर हाज़री में दीदी को अपनी तरफ कई बार आकर्षित करने की कोशिश की.. दोस्तों में कभी कभी अंडरवियर में अपना लंड खड़ा करके दीदी के पास खड़ा हो जाता.. लेकिन उससे कुछ खास काम नहीं बना.

फिर एक दिन मेरी मम्मी फिर से अपनी बहन के घर जाने वाली थी और उस दिन मैंने ऑफिस से घर पर जल्दी आने का प्लान बनाया और फिर में उस दिन की तरह घर पर जल्दी आ गया. तो जब में अपनी बिल्डिंग में लिफ्ट की तरफ जा रहा था.. तब मेरी सोसाइटी के एक बच्चे ने मुझसे बोला कि यह लिफ्ट खराब है और वॉचमेन उसे ठीक करने के लिए छत पर गया हुआ है.

दोस्तों हमारा घर आखरी मंजिल पर है और बिल्डिंग एकदम नई थी.. इसलिए बहुत कम लोग ही लोग उसमे रहने आए थे. फिर में सीड़ियों पर चलता हुआ अपने घर पर पहुंच गया और मैंने वहां पर पहुंच कर बहुत धीरे से घर का दरवाज़ा खोला और अंदर घुसते ही मुझे उस दिन की तरह वही आवाज़ आ रही थी.

तो मैंने सोचा कि शायद दीदी आज फिर से अपनी चूत में उंगली डाल रही है? तभी मैंने एक नाटक करने के बारे में सोचा और मैंने अपने कपड़े खोले और पूरा नंगा होकर अपनी बहन के बेडरूम में अंजाने में जाने का प्लान बनाया और फिर में वैसे ही चला गया. तो आज जब में कमरे के अंदर गया तो नज़ारा और भी चौंकाने वाला था.

दोस्तों मेरी रंडी बहन अपने दोनों पैरों को फैलाए हुए बेड पर पड़ी हुई थी और वो वॉचमेन नीचे जमीन पर खड़ा हुआ अपना लंड मेरी रंडी बहन की चूत में डालकर ज़ोर ज़ोर से धक्के दे रहा था और यह सब देखकर मेरा लंड तो एकदम खड़ा हो गया.. लेकिन अब मुझे बहुत गुस्सा भी आ रहा था कि वो वॉचमेन मेरी बहन की चूत मारकर जा सकता है और अब तक में कुछ नहीं कर पाया.

फिर मेरी बहन की चूत में वॉचमेन करीब एक घंटे तक लंड डालता रहा.. वो उनकी चूत पर ताबड़तोड़ धक्के दे रहा था और वो नीचे पड़ी पड़ी सिसकियाँ ले रही थी. तभी अचानक से उसने अपनी स्पीड और बड़ा दी और कुछ धक्को के बाद उसने अपना वीर्य मेरी बहन की चूत में डाल दिया और वो सब चुदाई के द्रश्य मैंने अपने मोबाईल में रिकॉर्ड कर लिए थे.

फिर में कमरे से बाहर आकर अपने कपड़े पहनकर जल्दी से घर के बाहर चला गया और जब वॉचमेन मेरे घर से बाहर निकल गया.. तब मैंने अपने घर की घंटी बजाई और मेरी दीदी ने दरवाज़ा खोला और वो मुझे देखकर एकदम चकित हो गई.. लेकिन वो मुझसे कुछ नहीं बोली और में भी उसे देखकर समझ गया कि यह अपनी चुदाई से बहुत थक चुकी है.. वो उसके चेहरे से झलक रहा था.. उसके बिखरे हुए बाल और चेहरे का उड़ा हुआ रंग साफ साफ बता रहा था कि वो अभी अभी चुदकर आ रही है

फिर वो मेरे आगे आगे अपनी गांड मटकाती हुई चलने लगी और में उसके पीछे पीछे उसकी गांड को देखता हुआ अंदर चला आया. फिर मैंने थोड़ा नाश्ता किया और हॉल में दीदी और में साथ बैठकर फिल्म देखने लगे और मैंने सोच ही लिया था कि आज इस साली रंडी को में किसी भी हालत में जरुर चोदूंगा.

में टीवी देखते हुए एकदम से उठा और अपने बेडरूम में चला गया और कुछ देर के बाद सिर्फ़ अंडरवियर और बनियान में बाहर आया. फिर मैंने अपनी दीदी के थोड़ा पास आकर कहा कि मेरे पास एक बहुत अच्छी नयी फिल्म आई है और अब हम उसे देखेंगे तो उसने हाँ कर दिया.. लेकिन उसकी नजर मेरे खड़े हुये लंड पर थी और मेरी उसके बड़े बड़े बूब्स पर.. जो मुझे अपनी और आकर्षित कर रहे थे. तो मैंने फिल्म शुरू की.. पहले तो फिल्म ठीक ठाक चल रही थी.. लेकिन थोड़ी देर बाद उसमे गंदे गंदे सीन चालू हो गये और फिर धीरे धीरे उसमे चुदाई वाले सीन चालू हो गए.

मेरी बहन एकदम उठकर खड़ी हुई और वो बनावटी गुस्से में मुझसे बोली कि यह क्या बदतमीजी है? यह तुम मुझे क्या दिखा रहे हो.. में तुम्हारी बड़ी बहन हूँ और में यह सब गंदी चीज़े नहीं देखती और अभी के अभी यह सब बंद करो. फिर में उठकर खड़ा हुआ और मैंने सबसे पहले उसे अपनी चूत में उंगली डालने वाली वीडियो दिखाई.. वो उसे देखकर एकदम भड़क गयी और उसने मुझे एक जोरदार थप्पड़ लगा दिया और कहा कि तुम भी तो बाथरूम में जाकर अपना लंड हिलाते हो.. तुमने मेरा ऐसा वीडियो क्यों लिया?

और हिलाते तो सब ही है और हाँ, में भी कभी कभी चूत में ऊँगली करती हूँ.. लेकिन मैंने कभी किसी के साथ सेक्स किया नहीं है. तो मैंने फिर उसे वॉचमेन से उसकी चुदाई वाली वो वीडियो दिखाई और फिर पूछा कि अब बोल साली रंडी तब तो पैर फैलाकर बड़े मज़े से लंड ले रही थी और जब मैंने कुछ सेक्स वाली फिल्म दिखाई तो मेरे ऊपर भड़क गयी? तो वो ज़ोर ज़ोर से रोने लगी और मेरे पैरों पर गिर पड़ी और वो मुझसे माफ़ी मांगने लगी.. बोली कि प्लीज़ मुझे माफ़ कर दो.. मैंने बहुत बड़ी ग़लती कर दी.

(TBC)…

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Roshan Ko Gogi Aur Sodhi Ne Choda https://sexstories.one/roshan-ka-group-xxx-story/ Wed, 06 Jan 2021 22:29:14 +0000 https://sexstories.one/roshan-ko-gogi-aur-sodhi-ne-choda-xxx-storiez/ Yahan Roshan bhabhi or sodhi gogi ko sulaane ki koshish kar rahe hai taaki wo log apni pichli raat ki adhoori chudai poori kar sake. Lekin Gogi sone ka naam hi nahi le raha hai. ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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Yahan Roshan bhabhi or sodhi gogi ko sulaane ki koshish kar rahe hai taaki wo log apni pichli raat ki adhoori chudai poori kar sake. Lekin Gogi sone ka naam hi nahi le raha hai. group xxx

Gogi- Oye papa mai sirf ek shart pe sounga.

Sodhi(khushi mai)- Kaisi shart puttar bata mughe?

Gogi- Mai bhi baloon phulanunga?

Roshan- Kaisi balloon dikra? group xxx

Gogi- wohi balloon jo papa kal raat phula rahe the.

Or fir gogi roshan ke boobs ki taraf ishara karte hue kehta hai. Yeh sunke Roshan and Roshan ki sitti bitti gul ho gaye or unhe nahi pata tha ki gogi ki is baat ka kaisi jawab de or yeh bhi soch rahe the ki gogi ko unke sex ke baare mai kaise pata? Fir sodhi or roshan kamre ke bahar aate hai.

Roshan- hamare sex ki baat gogi ko kaisi pata, kahi tune ne to nahi bataya roshan?

Sodhi- Na roshan meri jaan, mai bhu yeh he soch aha hoon ki gogi ko ye baat kaisa pata. Chal ussi se poochte hai

Roshan- wo to thik hai lekin wo nahi mana to…

Sodhi- to tughe usse apni chuchiya chuswani padegi..

Roshan- Nah re bava… group xxx

Sodhi- Fir to hamari chudai fir adhoori reh jayegi.

Chudai ki baat sunte he roshan taiaar ho jati hai or fir wo dono gogi ke room mai chale jaate hai.

Roshan- gogi dikra tune papa ko mere baloon fulaate kab dekha?

Anal sex

Sodhi- haa puttar bol. group xxx

Gogi- wo mammi papa jab kal raat aap dono nange the tab.

Yeh baat sunke ek baar fir sodhi or roshan ke pairo tale zammeen nikal gayi.

Roshan- Gogi dikra wo mere chest mai dard ho raha tha isliye papa use daba rahe the.

Gogi- Acha.

Sodhi-Oye gogi puttar ab tu soja.

Gogi-Nahi papa!!

Sodhi- Kyu

Gogi- Mughe bhi ab phookh marni hai.

Roshan ko ab haan bolna hi pada kyuki uske paas ab koi chaara nahi tha. Roshan ka faisla sunke sodhi thoda hakka bakka reh gaya lekin usne kuch nahi kahah. Ab roshan ne apne white suit khola aur fir…

Jaise jaise Roshan apna suit khol rahi thi waise waise sodhi or gogi ke lund khade hote gaye.

Ye dekh ke Roshan sharma jati hai par usse ye karna he padta hai.

Suit utaarne ke baad Roshan gogi se phookh marne ke liye bolti hai par gogi mana karta hai or bra bhi utaarne ke bolta hai.

Ye sunke Roshan ko bahut sharam aati hai par wo bra kholti hai. group xxx

Ye sab hote dekh Sodhi se raha nahi gaya or usne upna lund nikal ke Roshan ke panty fad ke uski gaand me daa diya.

Ye dekh kar Roshan or gogi ke hosh udd jaate hai par ab Roshan kuch nahi kar sakti thi.

Ab gogi ne bhi Roshan ke boobs ko choosna shuru kar diya tha or roshan ko ab maza aane laga tha.

Fir gogi ne apne baap ki tarah apne lund nikal kar Roshan ke mooh mai daal diya or Roshan usse choosne lagi.

Karib 5-7 minute baad sodhi jhaad gaya or gogi ne ab apni maa ki choot maari or sodhi ne roshan ko uska lund chooskar saaf karne ko kaha.

10 minute ke andar gogi jhaad gaya or roshan bhi jhaad chuki thi, fir sab log nange he so gaye. group xxx

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थ्रीसम चुदाई का सुख https://sexstories.one/indian-groping/ Thu, 19 Nov 2020 10:21:08 +0000 https://sexstories.one/?p=1534 मेरे कॉलेज में गर्मी की छुट्टिया चल रही थी. हम चार लोग है घर में मैं, भैया, माँ और पापा. मैं एकदिन मेरे मामा के घर गया था. उनकी बेटी की शादी तय हो गयी ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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मेरे कॉलेज में गर्मी की छुट्टिया चल रही थी. हम चार लोग है घर में मैं, भैया, माँ और पापा. मैं एकदिन मेरे मामा के घर गया था. उनकी बेटी की शादी तय हो गयी थी और पापा ने मुझे पहले ही उनके घर भेज दिया. क्योंकि लड़की वालो के घर में कुछ काम ज्यादा ही होता है. जब मैं मामा जी के यहाँ पर गया, तो हम खूब खुश हुए. indian groping

कॉलेज के चक्कर में, मैं कहीं नहीं जा पाता था और मैं उनके घर पर भी काफी दिनों के बाद गया था. मामा – मामी, नाना – नानी, भैया – भाभी सभी बहुत से लोग आये हुए थे शादी में. वो सब मुझे देख कर बहुत खुश थे. खास कर भैया की बीवी मुझे देख कर बहुत खुश थी. मेरी उनसे बहुत अच्छी पटती थी. मैं जब भाभी के यहाँ होता था, तो उनके इर्द –गिर्द मंडराता रहता था. यह कहानी हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर पढ़ रहे रहे ।

भाभी बहुत ही सुंदर थी. indian groping

उनका नाम पिंकी है. उनका रंग एकदम गोरा और नीली आँखे एकदम नशीली है. उनके शराबी होठ और देखने का अंदाज़ एकदम से होश उड़ा देता है. उनके चेहरे पर हर समय एक क्युटी सी स्माइल होती है, जो उन्हें परी की तरह सुंदर बना देती है. उस दिन तो वो ब्लैक साड़ी में कयामत लग रही थी. उनकी ऐज २८ की होगी और फिगर का तो पुछो मत.. क्या मस्त है फिगर उनका ३६ – २८ – ३८ का होगा. कोई भी देख ले, तो उसके मुह में पानी आ जाए. पता नहीं भैया की किस्मत इतनी अच्छी कैसे थी. भाभी ने मुझे फ्रेश होने के लिए एक रूम में ले गयी और खुद नीचे चली गयी.

मैंने फ्रेश होकर नीचे गया और खाना खा कर काम में लग गया. indian groping

२ बीत जाने के बाद, थोड़ा आराम करने का टीम मिला. तो मैं भाभी के रूम में टीवी देखने लगा. भाभी तभी चाय लेकर आ गयी. हम दोनों ने साथ में बैठ कर चाय पी और बातें करने लगे.

मैंने कहा – भाभी काम नहीं है क्या? भाभी ने जवाब दिया – यार, पूरा शरीर दुःख रहा है. थोड़ा आराम करना चाहती हु. मैंने कहा – ओके भाभी. आप आराम कीजिये. मैं बाहर जाता हु. भाभी बोली – बैठ जा यहीं. बातें करते रहनेगे. भाभी ने पूछा – तू आता नहीं है. याद नहीं आती है क्या हमारी?

मैं – ऐसी बात तो नहीं है भाभी. बस टाइम ही नहीं मिलता. पढाई में बिजी रहता हु. देखो, टाइम मिलते ही आ गया आप लोगो से मिलने.

भाभी – बस कर. पढाई या लड़की. वैसे तेरी गर्लफ्रेंड का क्या हुआ?

मैं – भाभी, ब्रेकअप हो गया. (भाभी मुझ से पहले से ही खुल कर बातें करती थी) अब दूसरी बनाने की तैयारी में हु.

भाभी – अच्छा, कौन है? indian groping

मैं – आपकी बहन पूजा. मुझे बहुत पसंद है. कुछ हेल्प कर दो.

भाभी – अच्छा बच्चू. मेरी बहन पर नज़र है तेरी. वैसे वो पटने वाली नहीं है तुझसे.

मैं – क्यों? क्या कोई है पहले से उसका?

भाभी – पता नहीं. लेकिन वो प्यार के खिलाफ है. उसे प्यार में ट्रस्ट नहीं है.

मैं – ओह, अब तो अकेले ही रहना पड़ेगा. वैसे भाभी, आपका और भाई का प्यार तो मस्त होगा ना. ( भाभी पहले ये सुनकर एकदम से उदास हो गयी और फिर चुप हो गयी. मैं एकदम से चुप रहा). मुझे कुछ गड़बड़ लगा और फिर मैं ने उन से पूछ लिया – क्या हुआ भाभी? आपके चेहरे पर उदासी क्यु है? आप मुझे बता सकती हो. हम दोनों दोस्त है ना…

भाभी – प्यार बहुत करते है. कभी घर की याद नहीं आने देते है. हमेशा खुश रखते है. किसी भी चीज़ की कमी नहीं होने देते है. इनके घर वाले भी मुझे एकदम बेटी की तरह से रखते है.

मैं – तो प्रॉब्लम क्या है? फिर भाभी ने जो कहा – मैं एकदम से चौक गया. वो बोली – मैं कभी माँ नहीं बन पाऊँगी और वो एकदम से रोने लगी. मैंने कहा – ओएम्जी.. भाभी ने डॉक्टर को दिखाया.

वो बोली – देखा, तुमने भी मुझे ही बोला ना. प्रॉब्लम मुझ में नहीं.. तुम्हारे भाई में है. ये बात मुझे और सिर्फ तुम्हारे भाई को ही मालूम है. घर में किसी को पता नहीं है. लोग जान जायेंगे.. तो बड़ी बदनामी होगी… घर वाले भी दुखी होंगे.. मैंने नहीं चाहती, कि किसी की बदनामी हो.

मैं – पर भाभी, कब चुप रहोगे आप लोग? कभी ना कभी तो बताना पड़ेगा और दूसरा कोई उपाय भी तो नहीं है.

भाभी – उपाय है. लेकिन तुम्हे मेरी हेल्प करनी पड़ेगी. indian groping

मैं – क्या मतलब? कैसे उपाय और कैसी हेल्प? (भाभी ने जो कहा, उसको सुनते ही.. मेरे पैरो के तले से जमीन सरक गयी).

भाभी – तुम्हारे भाई और मैंने डीसाईड किया है, किसी के बच्चे को अपने पेट में लेना है और फिर हम किसी को पता नहीं चलने देंगे.

मैं – भाभी क्या बोल रहे हो? और किसका बच्चा?

भाभी – तुम्हारे भाई चाहते है, कि तुम मुझे बच्चा दो.

Samuhik chudaiमेरी चुत की चटाई और हॉट चुदाई

मैं – मैं कैसे भाभी? नहीं भाभी और मैं चुप हो गया. लेकिन मुझे पता ही नहीं चला, कि कब भैया हमारे बातें सुन रहे थे. भाई आये और बोले – राज.. प्लीज हम लोगो की हेल्प करो. वो मेरे पैर पड़ने लगे और मैं बहुत सोचा और फिर मुझे ठीक लगा और मैंने उनको ओके बोल दिया. वो दोनों एकदम से खुश हो गये और फिर फिर भैया बोले – तुम दोनों को २ दिन के लिए बाहर भेजने की तैयार कर देता हु.

थोड़ी देर बाद उन्होंने हमसे आ कर कहा, कि मैंने घर वालो को बोला है, भाभी की सहेली बहुत बीमार है और भाभी को जाना है. सब मान गये है. यह कहानी हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर पढ़ रहे रहे । अगले दिन, मैं और भाभी एक होटल में गये और एक कमरा ले लिया और रेस्ट करने लगे. कुछ देर हम खामोश रहे और फिर मैंने भाभी को डायरेक्ट लिप किस करना शुरू कर दिया.

भाभी भी पूरा साथ देने लगी और किस करते – करते दोनों पुरे नंगे हो गये और एक दुसरे को चूमने लगे. मैंने भी भाभी के बूब्स को चूमना शुरू कर दिया और भाभी अहः अहः अहः अहः उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ करके मोअन करने लगी. indian groping

मैंने कहा – भाभी चुदाई के लिए तैयार हो? भाभी ने कहा – अभी नहीं. पहले मैं तुम्हारे लंड से खेलना चाहती हु. चुदाई के लिए बहुत टाइम है. पर मैं नहीं माना और भाभी के ऊपर आ गया और मैंने फिर अपने लंड को उनकी चूत पर सेट किया और एक जोर का धक्का मारा. मेरा आधा लंड उसकी चूत में घुस गया. भाभी जोर से चिल्लाई – आहाहह्हा अहहह्हा मर गयी… तुम्हारा लंड, तो तुम्हारे भाई के लंड से बहुत बड़ा है… अहहः अहहाह अहहाह… मुझे उनकी सिस्कारिया सुन कर जोश आ रहा था और मैंने फिर से एक और धक्का मारा और मेरा पूरा लंड उसकी चूत में उतर गया.

भाभी दर्द से काँप रही थी और उनकी आँखों में आंसू आने लगे थे. वो बोल रही थी – राज धीरे करो.. मैंने होले – होले उनको चोदता रहा.. हाहाह अहः अहः. भाभी को अब मज़ा आने लगा था और वो बोलने लगी – राज अब जोर से चोद… और जोर से मेरी चुदाई करो हाहाह अहः अहहाह अह्हह.. वो सिस्कारिया और आहे भर रही थी और मैं उनकी जोरदार चुदाई करता रहा.

वो बोलने लगी – राज… आज आया है असली चुदाई का मज़ा… इतने साल में. अहहहा अहहाह चोदो मुझे… आई लव यू… अहहहा अहहाह अहः ऊउफ़ुफ़ुफ़ुफ़ चोद मुझे चोद डाल हाहाह अहहाह अहः… मैंने उनको कहा… भाभी मुझे पूजा को चोदना है… वो बोली – साले.. पहले मुझे तो माँ बना दे… फिर पूजा को भी चुदवा दूंगी… अहहह अहहाह.. मस्त… एस एस… चोदो मुझे और जोर से चोदो… मैंने कहा – भाभी, मैं आपको हमेशा से ही चोदना चाहता था.

हम दोनों की चुदाई पुरे ३५ मिनट तक चली और इस बीच भाभी ३ बार झड चुकी थी. जब मैंने आने वाला था, तो मैंने अपना माल भाभी की चूत में छोड़ दिया. फिर मैंने भाभी को २ दिन लगातार मस्त जोरदार चोदा और फिर मेरी इस चुदाई से भाभी मेरे बच्चे की माँ बन गयी.

उन्होंने उसका नाम आकाश रखा है. indian groping

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एक दुसरे की बहन के साथ ग्रुप चुदाई https://sexstories.one/behan-ki-nangi-chudai/ Mon, 02 Nov 2020 19:28:49 +0000 https://sexstories.one/?p=1426 हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम योगेश है और जो में आज आप लोगों को बताने जा रहा हूँ वो मेरी लाईफ की एक सच्ची घटना है। दोस्तों मैं इस साईट का रेगुलर रीडर हूँ ये रोजाना ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम योगेश है और जो में आज आप लोगों को बताने जा रहा हूँ वो मेरी लाईफ की एक सच्ची घटना है। दोस्तों मैं इस साईट का रेगुलर रीडर हूँ ये रोजाना मेरी रात को खास बना देती है मुझे इस पर भाई बहन की सेक्स कहानियाँ बहुत पसंद है। दोस्तों अब में अपनी कहानी पर आता हूँ. nangi chudai

यह कहानी भाई बहन के ग्रुप सेक्स की है और इसमें बहुत सारे लोग शामिल है जिनका परिचय में कहानी के साथ ही करवाता रहूँगा और सबसे पहले में अपनी बड़ी बहन का परिचय दे दूँ। nangi chudai

दोस्तों मेरी दीदी का नाम माधुरी है वो अपनी पढ़ाई मुंबई के एक कॉलेज में कर रही है और मेरे पापा और मम्मी हमारी एक कम्पनी को सम्भालते है इसलिए वो अधिकतर समय बाहर ही रहते है और इसलिए घर पर सिर्फ़ में और मेरी बहन ही रहते है। मेरी बहन बहुत ही सुंदर है और उसका फिगर तो एकदम कमाल है 36- 28- 38। दोस्तों भगवान ने मेरी दीदी को हर एक चीज़ एकदम अच्छी दी है उसके बूब्स, उसकी कमर, उसकी गांड, उसकी जांघे, उसका चेहरा, उसके बाल, उसकी हाइट, उसकी आवाज़ हर एक चीज़ अच्छी है।

मेरी दीदी का जिस्म ऐसा है कि उसको देखकर इंसान तो क्या जानवरों के भी लंड खड़े हो जाए, मेरी दीदी में सिर्फ़ एक ही कमी है उसका नखरा और उसमे नखरा बहुत ज्यादा है जिसकी वजह से दीदी का कोई भी बॉयफ्रेंड नहीं है और ना ही ज़्यादा दोस्त है। दोस्तों इस कहानी का एक और किरदार है जो मेरी ही बिल्डिंग में रहता है, उससे मेरी बहुत अच्छी दोस्ती हो गई और उसका नाम सुरेन्द्र है। nangi chudai

एक बार में और सुरेन्द्र बाहर खड़े हुए थे तो एक बहुत ही हॉट और सेक्सी लड़की आई तो मैंने सुरेन्द्र से कहा कि यार देख क्या मस्त आईटम जा रही है, फिर उसने देखा और फिर अपना मुहं दूसरी तरफ कर लिया, लेकिन में उसको ही देख रहा था और उसको बोल रहा था कि यार इसके क्या मस्त फिगर है? देख इसके तो बूब्स गांड सब कुछ बहुत मस्त है और इसके साथ सेक्स करने में कितना मजा आएगा? तभी मैंने देखा कि वो मेरी ही बिल्डिंग में घुस गई। अब में और भी खुश हो गया और मैंने सुरेन्द्र से पूछा कि यार क्या वो अपनी ही बिल्डिंग में रहती है? तो वो कुछ नहीं बोला और फिर कुछ देर बाद वो मुझसे बोला कि चल हम कहीं घूमकर आते है और फिर हम घूमने चले गये।

दूसरे दिन रविवार था उसने मुझे अपने घर पर बुलाया, में उसके घर पर गया और मैंने दरवाजा खटखटाया तो दरवाजा खुल गया तभी मैंने देखा कि ठीक मेरे सामने वही सेक्सी आईटम खड़ी हुई थी और में उसको देखकर बहुत चकित हो गया। में कुछ देर उसको घूरता रहा और फिर मैंने उससे कहा कि मुझे सुरेन्द्र से मिलना है तो उसने मुझसे कहा कि आप अंदर आ जाओ, सुरेन्द्र अपने रूम में है, में अभी उसे बुला देती हूँ या फिर आप खुद चले जाईए। nangi chudai

अब मैंने उसको धन्यवाद बोला और में खुद सुरेन्द्र के रूम में चला गया और अंदर जाते ही उससे पूछने लगा कि यह यहाँ पर कैसे? तब वो मुझसे बोला कि यह मेरी दीदी है, में उसके मुहं से यह शब्द सुनकर बहुत डर गया और उससे बोला कि यार तू मुझे माफ़ कर दे, कल मैंने जो भी कहा उन सभी बातों के लिए प्लीज और अब उसके चेहरे पर स्माइल थी और वो मुझसे बोला कि नहीं यार तू मुझसे माफ़ी क्यों मांग रहा है मेरी दीदी है ही इतनी सेक्सी कि कोई भी ऐसा बोलेगा।

दोस्तों पहले तो में समझ नहीं पाया, लेकिन फिर कुछ देर बाद में समझ गया कि यह भी मेरी तरह अपनी बहन से बहुत प्यार करता है, अब मैंने उससे कहा कि हाँ यार यह बात तो तू एकदम सही कह रहा है, तेरी बहन एकदम जबरदस्त माल है और जिसके साथ एक बार सो जाए उसकी तो किस्मत ही बदल जाएगी। तभी वो बोला कि हाँ यार और तेरी भी बहन कोई कम नहीं है, वो तो सबकी पहली पसंद है और मैंने कई बार यहाँ के लड़को को तेरी बहन के बारे में बातें करते हुए सुना है। फिर मैंने उससे पूछा कि तूने क्या सुना है? वो बोला कि यही कि तेरी बहन मस्त माल है और तेरी बहन के सामने दुनिया की सारी हिरोईने भी बेकार है और तेरी बहन के बारे में जब भी वो लोग बात करते है तो वो अपना लंड भी रगड़ते है।

दोस्तों मुझे पता नहीं क्यों उसकी बातें सुनकर अजीब सा लग रहा था, लेकिन बिल्कुल भी बुरा नहीं लग रहा था और में उसकी बातें सुनकर बहुत ही खुश हो रहा था। फिर मैंने कहा कि हाँ यार यह तो है मेरी दीदी बहुत ही सेक्सी और सुंदर भी है और अब हम दोनों एक दूसरे की बहनों के बारे में बातें करते रहे जिसकी वजह से अब हमारे लंड खड़े हो गये और हम दोनों को बहुत मजा आ रहा था। nangi chudai

दोस्तों ऐसे ही मेरे 6 और दोस्त बन गए जो अपनी सेक्सी हॉट और सुंदर बहन को चोदना चाहते थे या कह लीजिए कि अपनी बहन को चोदने के लिए इच्छा रखते थे। हम सब मिलते थे और एक दूसरे की बहन के नाम की मुठ मारते थे और एक दूसरे से उनकी बहनों के बारे में पूछते थे क्योंकि ऐसा करने में हम सभी को बहुत मजा आता था।

फिर हम सब और भी खुल गये और अपनी अपनी बहनों की ब्रा, पेंटी भी लेकर आने लगे और एक दूसरे की बहनों की ब्रा, पेंटी लेकर उसको अपने लंड पर रगड़ते कभी पहनते भी और गंदे गंदे शब्द बोलते थे, ऐसा करते करते एक महीना निकल गया और फिर मेरे एक दोस्त ने मुझसे कहा कि काश सोचने की जगह सच में हमारी बहनें हमसे चुदाई करवाती।

फिर मैंने कहा कि दोस्तों हम अपनी खुद की बहनों को पटा नहीं सकते क्योंकि हमें अपने घरवालों का डर लगता है, लेकिन हम एक दूसरे की बहनों को तो जरुर पटा सकते है, तुम खुद सोचो कि हमारी बहनें बाहर कभी किसी और से चुदवाएगी तो इससे अच्छा है कि हमारी बहनें हमारे ही किसी दोस्त से चुदवा ले और इससे हमको पता भी रहेगा कि हमारी बहनें कहाँ और किससे चुदवा रही है? nangi chudai

दोस्तों सभी को मेरा यह विचार बहुत पसंद आया और सभी ने कहा कि हम अपनी बहन को पटवाने में मदद भी कर देंगे और इस काम के लिए हम सब सुरेन्द्री हो गये और हमने एक दूसरे की बहन को पटाकर चोदने के लिए चुन लिया था। फिर मैंने सुरेन्द्र की बहन को चुना और योगेश ने मेरी दीदी को और ऐसे ही सबने पसंद कर लिया था, तभी मैंने योगेश से कहा कि तू अभी मेरे घर पर चल में तुझे अपनी दीदी से मिलवा देता हूँ, वो बोला कि ठीक है और हमने कपड़े पहन लिए और अपने काम पर लग गए और मैंने योगेश का परिचय अपनी दीदी से करवा दिया।

दीदी ने उसको हैल्लो बोला, हाथ मिलाया और थोड़ी बातें भी की और बोली कि मुझे माफ़ करना, मुझे इस समय कहीं जाना है और फिर वो चली गई। दोस्तों मेरी दीदी के भाव बहुत है और हो भी क्यों नहीं, वो इतनी सुंदर जो है? तो मैंने योगेश से कहा कि यार मेरी दीदी का जिस्म चाहिए तो तुझे मेहनत तो बहुत करनी होगी। तभी मेरे पास सुरेन्द्र का कॉल आया और वो मुझसे बोला कि मेरे घर पर आ जा, में तेरा परिचय अपनी दीदी से करा दूँ और में उसके घर पर चला गया और उसने मेरा परिचय अपनी दीदी से करवा दिया और मैंने थोड़ी देर उसकी दीदी से बात की और अपने घर पर आ गया।

फिर सुरेन्द्र का मेरे पास कॉल आया और वो मुझसे बोला कि मेरी दीदी सुबह 8 बजे अपने कॉलेज के लिए निकलती है तो तू अपनी बाइक पर उसको छोड़ देना। दोस्तों आप ये कहानी हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर पढ़ रहे है। nangi chudai

दोस्तों उसके मुहं से यह बात सुनते ही मेरा लंड एकदम टाइट हो गया और मैंने उससे कहा कि ठीक है कल सुबह तेरी बहन मेरी बाइक पर होगी और फिर मैंने योगेश को कॉल करके बोला कि मेरी बहन 9 बजे अपने कॉलेज जाती है तू कल जाकर उसको लिफ्ट दे देना, वो भी बहुत खुश हो गया और दूसरे दिन में सुबह 7.30 बजे ही तैयार होकर उसका इंतजार करने लगा और वो ठीक 8 बजे आ गई।

फिर मैंने उसको हाए बोला और उसको मेरे साथ बैठने को कहा तो उसने पहले मना किया, लेकिन फिर मान गई और ऐसे ही हर दिन में उसको लिफ्ट देने लगा और हम अच्छे दोस्त हो गये और एक हफ्ते में ही बहुत खुलकर बातें करने लगे और फिर मैंने उसको एक दिन फिल्म देखने जाने को बोला और वो मान गई और वो उस दिन अपने कॉलेज से बंक कर गई।

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भाई और उसके चार दोस्तों ने खूब चोदा https://sexstories.one/meri-grop-sex-kahani/ Sat, 24 Oct 2020 16:00:07 +0000 https://sexstories.one/?p=1355 हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम मिनी है, में 18 साल की हूँ। मेरी यह स्टोरी मेरे और मेरे भाई के दोस्त शिवा, विजय, केसरी और हरी के बीच की है। में आशा करती हूँ कि आपको ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम मिनी है, में 18 साल की हूँ। मेरी यह स्टोरी मेरे और मेरे भाई के दोस्त शिवा, विजय, केसरी और हरी के बीच की है। में आशा करती हूँ कि आपको मेरी यह स्टोरी बहुत पसंद आएगी। मेरी हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर यह पहली स्टोरी है। अब में आपको मेरे बारे में बता देती हूँ। में 18 साल की एकदम गोरी चिठ्ठी लड़की हूँ। grop sex

मेरा फिगर साईज 34-24-34 है, भूरी आँखें, हाईट 5 फुट 5 इंच, मेरे पापा और भैया मुंबई में एक कंपनी में काम करते है। ये 2 महीने पहले की बात है, मम्मी को सुबह जॉब के लिए जाना पड़ता था। हमारी नौकरानी ही हमारे लिए ब्रेकफास्ट और लंच बनाती थी और डिनर मम्मी ही बनाती थी। मेरे बी.एस.सी फर्स्ट ईयर के एग्जॉम ख़त्म हो चुके थे। अब में बिल्कुल फ्री थी, मेरे भैया का दोस्त शिवा मुंबई से दिल्ली कुछ काम से आया था, उसके साथ उसके 3 दोस्त भी आए थे विजय, केसरी और हरी।

अब हम सब आपस में बहुत घुलमिल गये थे। grop sex

अब हम सारा दिन हंसी मज़ाक करते रहते थे। फिर एक दिन अचानक से मम्मी ने कहा कि मुझे अपनी दोस्त के साथ कानपुर जाना है। फिर शिवा ने कहा कि चाची हम लोग नहीं जाएँगे, आप चली जाओ, मिनी भी हमारे साथ ही रह लेगी तो मैंने भी कहा कि मम्मी मुझे नहीं जाना है, तुम चली जाओं, में यहीं रहूंगी। तो मम्मी ने कहा कि ठीक है, कमला भी यही तुम्हारे पास रहेगी, तो मैंने कहा कि ठीक है।

फिर दूसरे दिन मम्मी 3 दिन के लिए कानपुर चली गयी। उस दिन मैंने रेड टॉप और ब्लेक स्कर्ट पहन रखी थी। फिर विजय ने मुझे देखा और बोला कि तुम आज बहुत ही सेक्सी लग रही हो, तो में हंस पड़ी। फिर मैंने देखा कि उन सबकी नजर मेरी चूचीयों पर थी तो में थोड़ा शर्मा गयी। तो तभी इतने में कमला ने कहा कि खाना तैयार है, तुम सब आ जाओ और खाना खा लो। grop sex

फिर हम सबने खाना खाया और खाना खाने के बाद कमला ने कहा कि आज मुझे घर जल्दी जाना है, में रात को आकर खाना बना दूँगी। तो शिवा ने कहा कि कोई बात नहीं है रात को हम लोग बाज़ार जा रहे है तो रात का खाना हम लोग बाहर ही खा लेंगे, तुम सुबह आ जाना। फिर कमला बोली कि ठीक है और फिर कमला चली गयी। अब में हैरान हो गयी थी और शिवा को देखने लगी थी।

Bhabhi ki chut chudai – पड़ोस वाली भाभी की जमके चुदाई

तो तभी शिवा बोला कि इसमें हैरान होने की कोई बात नहीं है, आज हम लोग खूब मज़े करेंगे और यह कहकर शिवा हँसने लगा और साथ ही साथ उसके तीनों दोस्त भी हँसने लगे थे। अब मुझे कुछ समझ में नहीं आ रहा था और फिर में अपने रूम में चली गयी और अपनी बुक्स को उठाकर अलमारी में रखने लगी। तो तभी मेरे पीछे शिवा मेरे रूम में आ गया और बुक्स रखने में मेरी मदद करने लगा। grop sex

अब में बुक्स रख रही थी और वो भी मेरे पीछे से आकर बुक्स रखने लगा था। grop sex

फिर तभी मुझे एहसास हुआ कि कोई चीज मेरे कूल्हों को टच कर रही है, वो शिवा ही था, वो अपना लंड मेरी गांड से घिस रहा था। अब मुझे उसके लंड का स्पर्श अंदर से बहुत अच्छा लग रहा था, लेकिन मैंने जाहिर नहीं होने दिया था। फिर शिवा ने कहा कि हम लोग मूवी देख रहे है, तुम भी हमारे साथ चलकर मूवी देखो। में भी मूवी की बहुत शौकीन थी इसलिए में झट से शिवा के साथ उसके बेडरूम में चली आई।

फिर केसरी ने सी.डी ऑन कर दी, वो एक इंग्लिश ब्लू फिल्म थी। grop sex

अब में ब्लू फिल्म देखकर घबरा गयी थी। फिर शिवा ने मुझे अपने पास आकर बैठने को कहा, लेकिन में भागकर अपने रूम में चली गयी। तो तभी मेरे पीछे-पीछे विजय मेरे रूम में आ गया। अब उसने मुझे पीछे से पकड़ लिया था और ज़ोर-ज़ोर से मेरे बूब्स को दबाने लगा था। तो में चिल्ला उठी और उसने मुझे 3-4 थप्पड़ मेरे गाल पर मारे और मुझे उठाकर शिवा के बेडरूम में ले आया और बेड पर लेटा दिया। फिर मैंने उठकर भागने की कोशिश की तो हरी ने दौड़कर बेडरूम का दरवाज़ा अंदर से लॉक कर दिया और चाबी शिवा की तरफ फेंक दी।

फिर शिवा ने मुझसे कहा कि मिनी, तुम हमारे साथ सेक्स को इन्जॉय करो और अगर नहीं करोगी तो हम लोग करवाना अच्छी तरह से जानते है। अब में डर के मारे बुरी तरह से कांप रही थी। फिर हरी ने मुझे वापस से बेड पर खींच लिया और ब्लू फिल्म ऑन कर दी। अब विजय अपनी शर्ट उतार चुका था और केसरी ने मेरी टॉप निकाल दी थी और विजय ने मेरी स्कर्ट एक झटके से उतार दी थी। अब में उन सबके सामने सिर्फ़ ब्रा और पेंटी में थी और शिवा, केसरी, विजय और हरी अब सिर्फ़ चड्डी में ही थे। फिर वो सभी बेड पर आ गये और में उनके बीच में लेटी हुई थी। फिर शिवा ने मुझे पकड़कर किस करना शुरू कर दिया। फिर थोड़ी देर तक किस करने के बाद उसने मेरी ब्रा के हुक को खोल दिया।

अब मेरे बूब्स एकदम आज़ाद हो गये थे। grop sex

फिर हरी ने मेरे लेफ्ट बूब्स को काटना करना शुरू कर दिया, तो शिवा मेरे राईट बूब्स को चूसने लगा। अब में उनसे बार-बार रिक्वेस्ट कर रही थी कि मुझे छोड़ दो, लेकिन उन सबने मेरी एक ना सुनी। फिर मेरे बहुत ज़्यादा ज़िद करने पर विजय ने मेरे मुँह पर एक थप्पड़ जड़ दिया और चुप रहने को कहा। अब में बहुत ज़्यादा डर गयी थी और चुप हो गयी थी। फिर केसरी ने एक झटके से मेरी पेंटी निकाल दी, अब में एकदम नंगी हो गयी थी। अब केसरी ने मुझको सहलाना शुरू कर दिया था। फिर विजय ने अपना अंडरवेयर उतार दिया। अब विजय का लंड देखकर तो मेरी साँसें ही रुक गयी थी। फिर उसने कहा कि तुमको मेरा ये लंबा और मोटा लंड पूरा अपनी कुँवारी चूत के अंदर लेना पड़ेगा, तो में और डर गयी। अब वो सभी एकदम नंगे हो चुके थे, उन सबका लंड एक से बढ़कर एक था। फिर हरी ने कहा कि साली आज 4-4 लंड तेरी चुदाई करने के लिए बेताब है।

फिर तभी विजय ने अपना लंड मेरे मुँह में डाल दिया और मेरे लेफ्ट बूब्स के साथ खेलने लगा।

फिर थोड़ी ही देर के बाद उसने मेरे मुँह में अपना लंड अंदर बाहर करना शुरू कर दिया। grop sex

अब केसरी किसी पागल कुत्ते की तरह मेरी चूत को चाट रहा था। अब में भी जोश में आ गयी थी और मुझे भी मज़ा आने लगा था। फिर हरी और शिवा ने मुझसे अपना लंड सहलाने को कहा तो में उन दोनों का लंड सहलाने लगी। अब उधर विजय मेरे मुँह में ही एक बार झड़ चुका था, तो मैंने उसका पानी थूकना चाहा। तो उसने मुझे थूकने नहीं दिया और बोला कि तुम ये सारा पानी पी जाओ।

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