hindipornstories Archives - Antarvasna https://sexstories.one/tag/hindipornstories/ Hindipornstories.org Sat, 29 Jan 2022 07:37:43 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.1 चूत मरवाने के लिए चली गई https://sexstories.one/maine-apni-chut-marwai/ Sat, 29 Jan 2022 07:37:43 +0000 https://sexstories.one/?p=4527 मेरे शरीर से इतनी ज्यादा गर्मी निकलने लगी कि मैं अपने आप पर काबू नहीं रख पा रही थी उन्होंने कपड़े खोलकर मुझे नंगा कर दिया, उन्होंने मेरी चूत को चाटा और मुझे कहने लगे तुम्हारी चूत बहुत ही टाइट है...

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Maine apni sexy chut marwai एक दिन मामा जी हमारे घर पर आये और वह मुझे कहने लगे कि तुम्हारी मम्मी कहां है, मैंने मामा जी से कहा मामा जी मम्मी तो अभी कहीं गई हुई हैं और पापा भी अभी कुछ देर में आने वाले होंगे। मामा घर में बैठ गए और वह मुझसे बात करने लगे वह मुझसे पूछने लगे बेटा तुम्हारी पढ़ाई कैसी चल रही है मैंने उन्हें कहा मामा जी बस ठीक ही चल रही है, आप सुनाइए आप कैसे हैं तो मामा कहने लगे बेटा मैं भी ठीक हूं। मैंने मामा से पूछा आज आप काफी दिनों बाद घर आ रहे हैं मामा कहने लगे हां बेटा तुम्हें तो पता ही है कि मैं अपने काम की वजह से कितना बिजी रहता हूं लेकिन अब कुछ समय बाद मैं रिटायर होने वाला हूं उसी के लिए मैंने घर में एक छोटी सी पार्टी रखी है जिसमें कि अपने सारे रिश्तेदारों को मैं बुलाना चाहता हूं और इसीलिए मैं आज तुम्हारे घर आया था, मैंने मामा से पूछा मामा आप कब रिटायर हो रहे हैं वह कहने लगे बस अगले महीने मैं रिटायर होने वाला हूं।

मेरे मामाजी दिल के बहुत अच्छे हैं और वह बड़े ईमानदार आदमी भी हैं उनकी सब लोग बहुत तारीफ करते हैं, जैसे ही मेरी मम्मी आई तो वह मुझे कहने लगी तुमने मामा को चाय पानी कुछ पिलाया मैंने मम्मी से कहा हां मम्मी मैंने मामा को कॉफी पिला दी थी फिर मम्मी और मामा साथ में बैठ गए मामा जी ने मम्मी से कहा कि मैंने अगले महीने अपने रिटायरमेंट की पार्टी रखी है और आप लोगों को घर पर आना है मम्मी कहने लगी अगले महीने तुम रिटायर हो रहे हो? मामा जी ने कहा हां बहन मैं अगले महीने रिटायर हो रहा हूं।

मम्मी और मैं मामा के साथ मैं भी बैठे हुए थे, मम्मी ने कहा देखो समय कितनी तेजी से चलता है समय का कुछ पता ही नहीं चला अब तुमने अपने बच्चों की भी शादी कर दी है और हमारी भी बच्चों की शादी हो चुकी है बस प्रियंका की शादी होनी बची है और सब कुछ कितने जल्दी से हो गया तुम अब रिटायर भी होने वाले हो मम्मी मामा से कहने लगी तो मामा जी ने भी कहा हां बहन तुम बिल्कुल सही कह रही हो समय का तो बिलकुल पता ही नहीं चला कैसे समय इतनी तेजी से गुजर गया मुझे भी अपनी नौकरी का भी कुछ पता नहीं चला कि मुझे इतने वर्ष नौकरी करते हुए हो गए मुझे कुछ मालूम ही नहीं पड़ा।

मैंने मामा जी से कहा मामा जी आप फिर पार्टी में क्या क्या कर रहे हैं मामा कहने लगे बेटा तुम आ जाओ अभी से बता कर कोई फायदा नहीं है, मैंने मामा से कहा ठीक है मामा जी मैं तो वैसे भी आऊंगी और थोड़ी देर बाद मामा जी घर चले गए जब मामा जी चले गए तो उसके कुछ देर बाद ही पापा आ गए और मैंने पापा से कहा पापा आज मामा जी आए थे मम्मी भी कहने लगी कि वह अगले महीने रिटायर हो रहे हैं और वह हमें बुलाने के लिए आए थे, पापा कहने लगे चलो यह तो अच्छी बात है। कुछ समय बाद हम लोग मामा के घर चले गए जब हम लोग मामा के घर गए तो वहां पर काफी भीड़ थी हम लोगों ने मामा जी को रिटायरमेंट की बधाइयां दी और उन्हें कहा अब आप का आगे का जीवन बड़ा ही अच्छा बीते आपने इतने समय अपने नौकरी को दिए हैं अब कुछ समय अपने परिवार को भी दीजिए, पापा ने उन्हें गले लगा लिया और मम्मी ने भी उन्हें बहुत बधाइयां दी इस बात से मामा जी भी बहुत ज्यादा खुश हो गए थे और मामा जी कहने लगे आप लोग आज हमारे घर ही रुकेगा पापा ने कहा ठीक है आपकी बात कैसे टाल सकते हैं आज आप इतने खुश हैं तो और आज के बाद आप तो अपने परिवार को ही समय देंगे।

मैं भी बहुत ज्यादा खुश थी इतने समय बाद हमारा पूरा परिवार एक साथ था मैं सब को देख कर बहुत खुश थी और सब लोग बड़े ही मस्ती में थे मामा जी ने भी उस दिन डांस किया उनका डांस देखकर मुझे बहुत हंसी आ रही थी लेकिन उनकी खुशी में हम लोग शामिल होने आए थे और मैंने भी उस दिन जमकर डांस किया लेकिन जब एक व्यक्ति वहां पर डांस करने आये तो वह बड़ा ही अच्छा डांस कर रहे थे उनकी तरफ सब देख रहे थे और सब लोग तालियां बजा रहे थे मैं उन्हें जानती नहीं थी लेकिन उनके डांस से बहुत ज्यादा प्रभावित हो गई थी मैं उनके बारे में जानना चाहती थी और मैंने उनसे ही यह बात पूछ ली, उन्होंने मुझे कहा मेरा नाम अमित है और मैं यही पास में रहता हूं।

मैंने उन्हें बताया कि आप का डांस मुझे बहुत अच्छा लगा तो वह कहने लगे मैं आपका बहुत बहुत धन्यवाद कहता हूं जो आपने मेरे डांस की तारीफ की और उसके बाद मैं उनसे बात कर के अपने आप को बहुत अच्छा महसूस करने लगी, उनकी बातों में भी जैसे एक अलग ही जादू था मैं उनकी तरफ पूरी तरीके से खिंची चली गई मेरे साथ पहली बार ही ऐसा हुआ था कि कभी मैं किसी की बातों से ज्यादा प्रभावित हुई थी और कोई व्यक्ति मुझे इतना ज्यादा प्रभावित कर पाया था मैंने अमित जी से कहा की सर क्या आप मुझे भी डांस सिखाएंगे तो वह कहने लगे क्यों नहीं आपको जब भी मौका मिले तो आप मुझे मिल लीजिएगा मैं आपको जरूर डांस सिखाऊंगा।

उनके चेहरे पर बहुत ही खुशी थी लेकिन उस खुशी के पीछे शायद उनका दर्द भी छुपा हुआ था, मैं उनके बारे में ज्यादा नहीं जानती थी लेकिन जब मुझे मेरे मामा जी ने बताया कि वह दिल के बहुत ही अच्छे हैं वह जिस भी पार्टी में जाते हैं तो वहां पर वह चार चांद लगा देते हैं लेकिन उनके साथ बहुत ही बुरा हुआ, मैंने मामा जी से पूछा कि आखिर ऐसा क्या हुआ तो मामा जी कहने लगे अमित की शादी करीब 5 वर्ष पहले हुई थी हम लोग भी वहां पर गए थे और हम लोग शादी में बड़ा ही इंजॉय कर रहे थे क्योंकि अमित सबकी खुशियों में हमेशा शरीक होते हैं और वह सब के दुख में भी शरीक होते हैं वह दिल के बहुत ही अच्छे व्यक्ति हैं।

उन्होंने लव मैरिज की थी और जिस लड़की से उनकी शादी हुई थी वह भी उनसे बहुत प्यार करती थी लेकिन ना जाने ऐसा क्या हुआ कि एक दिन वह घर से भाग गई और इस बात का अमित पर बहुत ज्यादा बुरा प्रभाव पड़ा लेकिन उसके बाद भी वह बिल्कुल नहीं बदले हैं वह हमेशा खुश रहने की कोशिश करते हैं और उन्हें देखकर कोई भी यह नहीं कह सकता कि वह इतनी ज्यादा तकलीफ में है लेकिन वह किसी से भी यह बात नहीं कहते हैं। इस बात को सुनकर मुझे भी बहुत बुरा लगा और लगा कि अमित के साथ कितना ज्यादा बुरा हुआ मैं उनकी बातों से बहुत ज्यादा प्रभावित होती, उनसे मैंने उसके बाद काफी देर तक बात की उस दिन हम लोग वहीं रुकने वाले थे इसलिए मैंने मम्मी से कहा मम्मी मैं अभी आती हूं, मैं जब रात के वक्त छत में टहल रही थी तो मेरे दिमाग में सिर्फ यही बात आ रही थी कि अमित जी के साथ कितना बुरा हुआ और उनके जैसे व्यक्ति को उनकी पत्नी ने कैसे छोड़ दिया वह दिल के बहुत अच्छे हैं और ना जाने ऐसा उनके साथ क्या हुआ कि उनकी पत्नी को उन्हें छोड़ना पड़ा मैं इसी दुविधा में थी और मेरे दिमाग में सिर्फ यही बात चल रही थी।

Bur Chudai रेशमा की काली चूत

मैंने अपनी एक सहेली को फोन किया और उसे अमित जी के बारे में बताया तो वह कहने लगी अरे यार उनके साथ तो बहुत बुरा हुआ और ऐसे लोगों के साथ इतना गलत होना वाकई में बहुत ही बुरा है। मैंने जब फोन रखा तो मेरी मम्मी मुझे आवाज देने लगी और मुझे वह नीचे बुलाने लगी मैंने मम्मी से कहा मम्मी बस कुछ देर बाद आती हूं। मैंने देखा सामने की छत में कोई व्यक्ति सिगरेट पी रहे थे लेकिन उनका चेहरा नहीं दिखाई दे रहा था वह मेरी तरफ देख रहे थे तब मैंने अपने मोबाइल की टॉर्च से देखा तो मुझे पता चला वह तो अमित जी हैं, मैं उन्हें देखते रही।

वह मुझे हाथ से इशारे करने लगे और कहने लगे तुम छत में क्या कर रही हो। मैंने उन्हें कहा बस ऐसे ही टहल रही हूं लेकिन मेरा उनसे मिलने का मन होने लगा। जब रात को सब लोग सो गए तो मैं चुपके से घर से बाहर निकल आई अमित जी उस वक्त भी छत पर ही थे मैं उनके साथ उनके घर में चली गई। मुझे नहीं पता था कि उनके घर में कोई नहीं है जब हम दोनों साथ में थे तो वह मुझे अपनी दुख भरी कहानी सुनाने लगे। मै उनकी तरफ पूरी तरीके से खींची चली गई, उन्होंने मुझे कहा मैं क्या कर सकता हूं लेकिन मुझे खुश रहना पड़ता है। मुझे भी उन पर दया आने लगी मैंने उनके होठों को किस कर लिया जब मैंने उनके होठों को चूमना शुरू किया तो वह भी मुझे अपनी बाहों में लेने लगे उन्होंने मुझे वहीं नीचे लेटा दिया, उन्होंने मेरे स्तनों को चुसना शुरू किया तो मेरे अंदर से गर्मी निकलने लगी और मुझे बहुत अच्छा महसूस होने लगा।

मेरे शरीर से इतनी ज्यादा गर्मी निकलने लगी कि मैं अपने आप पर काबू नहीं रख पा रही थी उन्होंने कपड़े खोलकर मुझे नंगा कर दिया, उन्होंने मेरी चूत को चाटा और मुझे कहने लगे तुम्हारी चूत बहुत ही टाइट है, तुम्हारी चूत में एक भी बाल नहीं है उन्होंने मेरी चूत का बहुत देर तक रसपान किया। जब उन्होंने अपने 10 इंच मोटे लंड को मेरी योनि के अंदर डाला तो मैं चिल्लाने लगी मुझे दर्द होने लगा मेरी योनि से खून का बाहव होने लगा। मैंने उन्हें कहा आपने तो मेरी चूत फाड़ दी अमित जी ने कुछ नहीं कहा। वह मुझे धक्के देते रहे उनके धक्के इतने तेज थे मेरा शरीर पूरा तरीके से हिलने लगा। मुझे ऐसा लगा उनका लंड मेरे पेट के अंदर तक जा रहा है परंतु उन्होंने मेरे साथ बहुत देर तक संभोग किया, मेरी चूत में बहुत ज्यादा दर्द होने लगा था।

मैंने उन्हें कहा मैं अब चलती हूं मैं वहां से चुपचाप रात के वक्त चली आई, रात भर मेरी योनि में दर्द होता रहा लेकिन मुझे उसके बाद बहुत प्यारी नींद भी आ गई, मेरी सील अमित जी ने तोड़ दी थी।

उसके बाद में अमित जी से कभी नहीं मिली लेकिन उनकी यादें अब भी मेरे दिल में है।

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रेशमा की काली चूत https://sexstories.one/reshma-ki-jawani-kaali-choot/ Mon, 24 Jan 2022 07:11:12 +0000 https://sexstories.one/?p=5119 थोड़ी देर हम दोनों लिपट कर बातें करने लगे , रेशमा बोलने लगी कि अब तो हर रात उसे मेरे साथ रंगीन करनी है , और वह मेरी रंडी बनकर मेरे साथ चुदती रहेगी , रेशमा के ऊपर लेटते हुए उसकी बातें सुनकर लन्ड फिर से खड़ा हो गया...

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Reshma ki Jawani aur Kaali Choot – नमस्कार मेरे चूत के दीवानों और लंड की मस्तानियों! मेरा नाम विशाल शर्मा है और मैं एक 28 साल का नौजवान लड़का हुँ , मैं जयपुर में रहता हुँ , ये कहानी मेरी और एक जवान लड़की रेशमा के बीच की अद्भुत सेक्स कहानी है जिसने मेरी जिंदगी को बदलकर रख दिया , रेशमा मेरे पड़ोसी अंकल की बहु है जो 30 साल की है और जिसकी शादी जैद से हो गयी थी , मेरी कहानी शुरू करने से पहले उसके कामुक बदन की सैर कर लीजिए..

रेशमा करीब 5 फुट 5 इंच की भरे पूरे गदराए बदन की मालकिन है , जिसका फिगर देख कर ही लंड पागल होकर फड़कने लग जाता है , रेशमा 36-32-38 फिगर की मालकिन है , और एक बात जो रेशमा को सबसे खास बनाती है वो है उसका काला रंग , इस बारे में हम आगे जानने वाले हैं, रेशमा की शादी 18 साल की उम्र में ही जैद से ही चुकी थी , जैद शादी के 1 महीने बाद ही दुबई में नौकरी करने चला गया था , जैद कभी कभी साल में 1 , 2 बार घर आता है लेकिन जब भी आता है रेशमा को चोद चोदकर बुरा हाल करके ही जाता ..

यह मुझे तब पता चला जब एक बार मैंने गलती से छत पर उन्हें चुदाई करते देख लिया था, लेकिन रेशमा फिर भी जैद से खुश नही थी , इसका कारण था जैद का दुबई से मोहब्बत करना , असल मे जैद घर पर बहुत कम रुकता था यहां तक कि दुबई से इंडिया आने के बाद भी वो घर न आकर जगह जगह घूमता रहता था इसके पीछे का राज उसकी हवस थी , जिसके बारे में मुझे बाद में पता चला , यूं तो रेशमा का फिगर किसी भी लंड की पिचकारी निकालने के लिए काफी है लेकिन जैद रेशमा को पसंद नही करता था क्यों कि रेशमा देखने मे खूबसूरत नही थी…

इसके बावजूद भी रेशमा की चूत के पीछे कई लोग पागल थे , अब थोड़ा मेरे बारे आप को बता दूं , मैं जयपुर में एक फ्रीलेन्सर हु और अच्छी खासी कमाई हो जाती है साथ ही मेरे पास खाली समय भी रहता है जिसमे मुझे तरह तरह की लड़कियों की चूत मारने का समय मिल जाता है कभी टिंडर से तो कभी किसी मस्त चिकनी लड़की को पटाकर उसकी चूत का भोसड़ा बनाने का मौका मिल जाता है लेकिन रेशमा के फिगर को देखकर कई बार उसके नाम की मुठ मारकर लन्ड की हालत खराब कर दी…

असल मे मुझे ऐसी लड़कियां काफि पसंद आती है जो देखने मे बदसूरत लगे लेकिन उनके फिगर को देखकर किसी का भी पानी निकल जाए साथ ही काली चूत का मैं हमेशा से दीवाना रहा हु , न जाने गोरी चूत से ज्यादा काली चूत चोदने में मुझे ज्यादा मजा क्यों आता है खैर….! रेशमा अधिकतर घर के काम काज में व्यस्त रहती थी इसलिए मुझे कभी उस से अकेले में बात करने का मौका नही मिला नही तो मैं उसे कब का अपनी जान बनाकर चूत की धज्जियां उड़ा देता , पर संयोग से एक दिन रेशमा छत पर घूम रही थी ,छत पर वह बुर्का लगाकर रहती है कसम से बुर्के में उसे देखकर लन्ड अचानक पेंट से बाहर निकलने के लिए तड़प उठता लेकिन जैसे तैसे मैने खुद को संभाला और रेशमा के गदराए बदन पर अपनी हवस भारी नजर डाली , मैं बेशर्म होकर उसे देख रहा था और रेशमा भी मुझे देख रही थी ।

हमारी छत एक दूसरे के पास थी इसलिए वह मुझसे ज्यादा दूर नही थी , जब वह कपड़े सुखाते सुखाते मेरी तरफ आयी तब मैंने कहा

और भाभी आप तो पहली बार दिखाई दिए हो मुझे तो पता ही नही था इस घर मे कोई लड़की रहती भी है या नही ( रेशमा से एक दो बार उसके की मौजूदगी में मेरा परिचय हो रखा था )

रेशमा – शर्माते हुए , क्या करे काम काज बहुत रहता है

मैं बोला – और भाभी जैद भैया कब आने वाले है उनके बिना आप अकेले कैसे रह लेती हो

रेशमा -अब क्या बताऊँ वो तो साल में एक दो बार ही दर्शन देते हैं बाकी समय तो मैं मन मसोस कर……

मैं – ओह्ह यह तो बड़ी परेशानी है शादी के 10 साल से ज्यादा हो गए फिर तो आप जैद भैया के साथ ज्यादा देर तक राह नही पाए , दुबई जाने से पहले के दिन तो आपके लिए यादगार होंगे

रेशमा – कौनसे दिन , आपके भैया तो मुझे बिल्कुल पसंद नही करते , उन्हें मेरी शक्ल बिल्कुल पसंद नही , बस शरीर को ही नोच….. (इतना कहते ही रेशमा भाभी रुक गयी क्यों कि जैद का ठरकी बाप ऊपर आ चुका था । में भी सोचने लगा असली point की बात आते ही ये मादरचोद कबाब में हड्डी बनके आ गया अब भाभी नीचे चली गयी और मैं उस ठरकी अंकल से politics को लेकर बकचोदी करने लग गया )

इसके बाद रेशमा भाभी कई बार छत पर आने जाने लगी और हमारी नॉर्मल बातें होती रही , बीच बीच में मैं रेशमा भाभी की दुखती रग पर हाथ रख देता जिस से उनकी उत्तेजना बढ़ जाती , वो समझ चुकी थी कि मैं बार बार उनकी सेक्स life के बारे में indirectly क्यों जिक्र करता हूँ )

एक दिन मैंने पूछ लिया भाभी आप उस दिन क्या कह रही थी , जो कहते कहते रुक गयी ।

तब रेशमा भाभी ने मुझे बताया कि वो जैद से बहुत परेशान है , न तो वो उसे पसंद करता है , न उससे प्यार से सेक्स करता है , शादी उसने जबरदस्ती ही कि थी क्यों कि वो दिखने में काफी बदसूरत है और रेशमा भी गरीब परिवार से थी , सो दोनों तरफ से जबरदस्ती शादी हुई ,जैद को रेशमा की शक्ल बिल्कुल पसंद नही थी , न जाने उसे करीना कपूर जैसी सुंदर और गोरी लड़की क्यों चाहिए थी जबकि खुद दिखने में राजपाल यादव जैसा था और 8 वी फैल पर सपने बड़े बड़े

भाभी ने यह भी बताया कि शुरुआत में कुछ समय तक तो औरत का भूखा जैद उनसे मजे लेकर सेक्स करता था लेकिन 1 महीने बाद जब वो दुबई गया और एक साल बाद वापस आया तो वह उनसे मार पिटाई करके wild सेक्स करता था , जो रेशमा को पसंद नही आता था और जैद साल में 1,2 बार ही घर आता था , जिससे रेशमा की फुदकती चूत की आग बढ़ती ही जा रही थी ।

रेशमा भाभी ने बताया कि जैद दुबई में रहकर अच्छे पैसे कमाकर रंडियों के साथ चुदाई करता था उसने कई गोरी चिट्टी लड़कियों को पटा रखा था साथ ही जब इंडिया में आता तो यहां भी रंडियों के पास ही रात गुजरता , वह अपने ज्यादा पैसे इसी अय्यासी में उड़ा देता था , कभी बेंगलोर कंही पुणे जाकर होटल में किसी सुंदर रांड को बुलाकर उसके साथ हमबिस्तर होता था ।

ये वजह थी कि रेशमा की सेक्स life बिल्कुल सुनी थी ।

मैंने पूछा भाभी आपको ये सब कैसे पता चला ?

तब भाभी ने कहा ये हरामी खुद ही मुझे ये सब बताता है ताकि मैं परेशान हो जाउ और कहता है कि तू बिल्कुल सुंदर नही मैं तो सुंदर लड़कियों के ही मजे लेता रहूंगा , पैसे दे देकर

खैर….. मैने बात बदलते हुए कहा

छोड़ो भाभी , आपका पति तो आपको संतुष्ट नही कर सकता लेकिन आपकी जवानी अभी काफी बाकी है इस से अच्छा आपको भी कोई और रास्ता खोजना चाहिये ।

भाभी बोली – क्या मतलब ?

मैंने कहा – क्या आप खुद को कंट्रोल कर पाते हो सेक्स के लिए

तो भाभी ने कहा – बिना सेक्स के मेरी हालत खराब हो जाती है लेकिन जैसे तैसे करके मुझे कंट्रोल करने ही पड़ेगा अब क्या करू आपके पास कोई रास्ता ह क्या ? (भाभी और मैं एक दूसरे को हवस भरी नजरों से देख रहे थे )
मैंने जानबूझकर कहा – आपको तो अब अपनी उंगली से ही काम चलाना पड़ेगा अब यही रास्ता बचा है

तो भाभी बोली – उंगली से ही तो 10 साल निकाल दिये, मैने तो सोचा आप कोई मर्दों वाली बात करोगे

तो मैंने कहा – मेरी मर्दानगी आपकी चीखें निकाल सकती

रेशमा ने कहा – अब चाहे कितनी चीखें निकले मुझे परवाह नही

यह सुनकर मै अपनी छत से उनकी छत पर गया और जैसे ही रेशमा भाभी के पास गया तो वो दूर हट गई

तो मैंने कहा – लगता है आपकी भी गांड में दम नही

रेशमा भाभी – ने शर्म लाज छोड़कर अपना पल्लू गिराके मेरे लंड की तरफ देखकर अपने होठों को काटते हुए मेरे पास बढ़ी

मैने लपक कर भाभी को अपनी बाहों में भर लिया और उसके मोटे मोटे होटों पर अपने होंठ रख कर बेतहासा चूमने लगा , होंठ चूमते हुए मेरा एक हाथ भाभी की पीठ को सहला रहा था तो एक हाथ उसकी मोटी गांड को दबा रहा था
5 मिनट तक रेशमा के काले होंठो रस पीने के बाद हम एक बार के लिए एक दूसरे से अलग हुए

रेशमा बोली चलो कमरे में चलते है

रेशमा ने छत का दरवाजा बंद कर दिए और मैं उसे अपनी गोदी में उठाकर कमरे में ले गया , और कमरे में ले जाकर मैने उसे बिस्तर पर पटक कर गिरा दिया

उसका पल्लू गिर चुका था , उसके मोटे मोटे boobs बाहर आने को बेताब थे ।

उसके चेहरे पर सालों की प्यास आसानी से दिखाई दे रही थी और मेरा लन्ड भी एक काली चूत की गहराइयो में जाने को बेताब हो रहा था ।

मैं रेशमा के ऊपर टूट पड़ा

फिर से उसके होंठों को चूमते हुए एक हाथ उसके मोटे मोटे काले काले मम्मों को ब्लाउज के ऊपर से दबा रहा था और दूसरे हाथ उसके सर को कस के पकड़ कर उसके होठों को मैं खा रहा था ।

बेतहासा चूमते हुए मैंने रेशमा को लिटाते हुए अपना हाथ उसकी साड़ी ऊपर करके उसकी चूत के ऊपर ले गया और मेरा हाथ उसकी चूत को चड्डी के ऊपर से मसलने लगा , रेशमा की चूत पानी छोड़ने लगी ।

रेशमा को लगातार kiss करते हुए मेरा हाथ उसकी चूत की गहराई में जाने को तड़प रहा था और वहीं रेशमा ने अपने हाथ से मेरे लन्ड को कच्छे के ऊपर से मसलना शुरू कर दिया ।

10 मिनिट तक उसके होंठों को चूसने के बाद रेशमा ने मेरी पेंट की जिप खोली और मेरे लौड़े को बाहर निकाल कर आजाद कर दिया ।

2 सेकेंड़ के लिए मेरे uncut लौड़े को देखकर उसने अपनी लार टपकाते हुए लौड़े पर एक प्यासी नजर से देखा और तपाक से पूरे लौड़े को मुंह मे ले लिया

मेरा लन्ड रेशमा के होंठो की गिरफ्त में आ चुका था , रेशमा किसी लॉलीपॉप की तरह लंड को मस्त चुन्स रही थी ।

सालों से प्यासी रेशमा लन्ड पर ऐसे टूट पड़ी जैसे प्यासा पानी पर टूट पड़े ।

किसी पोर्नस्टार की तरह मस्ती से आह आह उम्म उम्म करते हुए रेशमा मेरे लन्द को बेतहासा आगे पीछे करते हुए चुन्स रही थी

में जन्नत की सैर कर रहा था

Hindipornstories वेट्रेस के साथ गैंगबैंग

5 मिनिट तक लौड़े की बेतहासा चुसाई के बाद मैंने रेशमा को पकड़ कर लिटा दिया और एक एक करके उसके सारे कपड़े खोल दिए

रेशमा को नंगी बदनं के साथ कोई एक बार देख ले तो उस से सुंदर दुनिया मे कोई औरत नही लग सकती

रेशमा के मोटे मोटे पहाड़नुमा मम्मे देखकर मैं पागल हो गया

उसके nipples काफी लंबे थे यह देख मेरा लन्ड फड़क उठा

नीचे देखते ही लंड हिलोरे मारने लगा , रेशमा की काली चूत उसकी भूरी झांटो के पीछे छिपी हुई शर्मा रही थी ।

अब मुझसे रहा नही गया

मैम रेशमा की चूत पर टूट पड़ा

69 पोज़िशन मैं और रेशमा नंगे होकर एक दूसरे के अंग को चुन्स रहे थे ।

एक तरफ मैं रेशमा की काली चूत को बेतहासा चूँस चूँस कर चूत को गीला करता जा रहा था वहीं रेशमा उतने ही जोश से मेरे लन्ड की भयंकर चुदायी कर रही थी ।

रेशमा कभी तो लन्ड के टोपी को जीभ से चारो तरफ घुमा कर चुंसती तो कभी पूरा लन्ड आगे पीछे कर मुंह मे अंदर तक लौड़े को सैर करवाती ।

वहीं मैं रेशमा की चूत के अंदर जीभ डाल डाल कर जीभ से उसे चोदते हुए चूत रस पान कर रहा था ।

रेशमा मेरे लौड़े को अपने गले के अंदर तक उतार उतार कर अपनी मुंह की चुदायी करने लगी

अब लंड जवाब देने लगा ,

रेशमा के गले मे उतरते हुए लन्ड ने पिचकारी छोड़ दी और रेशमा ने पूरा माल सीधे गले मे ही गटक लिया

इधर रेशमा भी कुछ देर बाद चूत चुसाई से अपने रस छोड़ने लगी ।

अब थोड़ी देर हम दोनों लिपट कर बातें करने लगे , रेशमा बोलने लगी कि अब तो हर रात उसे मेरे साथ रंगीन करनी है , और वह मेरी रंडी बनकर मेरे साथ चुदती रहेगी , रेशमा के ऊपर लेटते हुए उसकी बातें सुनकर लन्ड फिर से खड़ा हो गया
इस बार मैंने ज्यादा समय न गवांकर रेशमा को तुरंत उल्टा किया और उसके बाल खींचते हुए गांड की तरफ अपना लन्ड उसकी चूत में डाल दिया

और रेशमा के बालों को खींचते हुए उसे पीछे से चोदने लगा

रेशमा जोर जोर से बोलने लगी

हाय अल्लाह मेरी चूत का भोसड़ा बना दे

चोद साले चोद बहनचोद अपनी रंडी को

चोद मेरी काली चूत को

बुझा दे मेरी बरसो की प्यास

इधर में उसकी गंदी बातें सुनते हुए उसकी चूत में धक्के पेल रहा था , रेशमा की काली चूत में मैं आसानी से पेलम पेलाई कर रहा था और उसे गालियां देकर अपनी रंडी बनाकर चोद रहा था ।

उसके मुंह को घुमाकर उसके होंठों को चुंस्ते हुए उसकी चूत का भोसड़ा बनाने लगा ।

रेशमा जोर जोर से चुदने लगी

अब रेशमा मेरे ऊपर बैठकर cowgirl पोजिशन में आ चुकी थी और तूफान एक्सप्रेस की drive करने लगी और अपनी चूत को आगे पीछे करके चुदवाने लगी

क्यों साली तेरा पति तेरी चूत नही चोदता क्या

बहन की लौडी

ले ले मेरा लौडा

गालियां दी देकर उसकी चूत का बाजा मैं बजाता रहा रेशमा भी जोश में गंदी बाते बोलकर चुदवा रही थी

साले हरामी मादरचोद

मेरी काली चूत का भोसड़ा बना

मेरा पति नामर्द है बहुत दिन बाद एक मर्द हाथ लगा तेरे लन्ड को पूरा निचोड़कर कर ही मानूँगी

मार मेरी छिनाल चूत को , फाड़ दे इस काली रंडी को

अब मैंने उसे फिर से उल्टा लिटाकर उसकी चूत बजानी शुरू कर दी इसी बीच मैनी अचानक अपना लंड चूत से निकालकर उसकी गांड में डालने लगा

रेशमा की गांड के छेद ने मेरे लौड़े को आसानी से अपने अंदर ले लिया मानो रेशमा को इसी का इंतजार था

मैने सोचा – जरूर रेशमा ने अपनी गांड कई लोगो से मरवाई होगी वर्ना बिना थूंक लगाए इतनी आसानी लौडा अंदर नही जा सकता था

जरूर रेशमा ने अपने मर्द के गैर मौजूदगी में कई लौंडों से अपनी प्यास बुझाई होगी

ये सोचकर मैं लगातार उसकी गांड फाड़कर चोदने लगा

रेशमा बोली चोद भोसडीके चोद

फाड़ दे मेरी काली गांड को

मैं रेशमा की मोटी 38 इंच की गांड को मस्ती से चोदने लगा

करीब 15 मिनिट बाद मैं रेशमा की गांड में ही झड़ गया ।

अब रेशमा और मैं एक दूसरे से लिपटकर बतियाने लगे कि अचानक उसकी ठरकी ससुर ने उसे नीचे से आवाज लगाई इसलिए उसे जाना लेकिन रात में 8 बजे रेशमा फिर से ऊपर और फिर करीब 1 घण्टे फिर से मैंने रेशमा की चूत और गाँड़ के मजे लिए ।

इस तरह पिछले 2 साल से रेशमा और मैं चूत लंड की मस्त दुनिया मे घूम रहे हैं । रेशमा के साथ मैने आगे और क्या क्या गुल खिलाये कैसे रेशमा के नए राज खुले , किसे उसकी बहन और सहेलियों को मैंने पटाकर उनकी चूत ली यह बताऊंगा मैं आपको अगले हिस्से तो दोस्तो इस कहानी पर अपना प्यार जरूर बरसाए और मुझे जरूर बताएं कि आपको ये कहानी कैसी लगी मेरी mail id पर मुझे प्रतिक्रिया जरूर दें ताकि मैं जल्द से जल्द दूसरा भाग आपके लिए ला सकूं ।

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मेरा लंड मैडम का साथी https://sexstories.one/mera-lund-madam-ke-choot-ka-saathi/ Sat, 18 Dec 2021 07:22:31 +0000 https://sexstories.one/?p=3485 डायरेक्टर सर का जब भी मन करता था मैडम को चोदने का तो वो अपने बंगले में मैडम को बुला कर खूब चोदते थे | स्कूल में हम लोगो का लास्ट साल था मेरा मन तो नहीं कर रहा था इस स्कूल से जाने का क्योकि मुझे मैडम को चोदना था..

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Mera lund madam ke choot ka saathi दोस्तों आज मैं आप लोगो को अपने स्कूल की प्रिंसिपल मैडम की रियल कहानी बताने जा रहा हूँ | इस कहानी पढने में आप लोगो को चोदने की खूब उत्सुकता मिलेगी और आप लोगो को पढने में भी बहुत मजा आएगा | इस कहानी के पढने के बाद चोदने के लिए आप लोग बेताब हो जाओगे और सोचोगे कि काश कोई लड़की चोदने के लिए मिल जाये |

दोस्तों मैं भोपाल का रहने वाला हूँ और मेरा नाम अतुल है मेरी उम्र 26 साल है और लम्बाई 6 फीट २ इंच है | मेरे चेहरे का रंग सांवला है और अब जबलपुर में रहता हूँ | जबलपुर में मैं टाटा कंपनी में मनेजर हूँ | मेरे मम्मी पापा भोपाल मैं ही रहते है | हां तो दोस्तों अब आप लोग तैयार हो जाओ क्योकि अब मैं आप लोगो को अपनी कहानी बताने जा रहा हूँ |

दोस्तों जब मैं 19 साल का था तो मैं एन के जे हाई सेकेन्ड्री स्कूल भोपाल में पढता था | मेरे स्कूल में एक बहुत ही सेक्सी प्रिंसिपल मैडम थी | उनका नाम सुल्जा कोरी था पूरा स्कूल उनकी खूबसूरती का दीवाना था | स्कूल के सभी सर लड़के और कर्मचारी तक मैडम को पटाने में लगे हुए थे | मुझे भी मैडम बहुत अच्छी लगती थी ऐसा लगता था कि बस एक बार मैडम चोदने को दे दें | मुझे उनको चोदने का खूब मन करता था | वो बहुत ही ज्यादा सेक्सी थी और खूब गोरी थी उनके उनके दूध बहुत ही अच्छे थे जब भी मैं उनके सामने जाता था तो उनको देख कर मेरा लंड खड़ा हो जाता था और उनको चोदने का खूब मन करता था |

मैडम मुझसे बहुत अच्छे से बात किया करती थी स्कूल में हम दो तीन दोस्त बहुत ही फेमस थे क्योकि स्कूल में जब कोई भी कार्यक्रम होता था तो हम लोग ही पूरे कार्यक्रम की तैयारी करते थे | मैं स्कूल का प्रेसिडेंट भी था तो मेरी मैडम से अच्छी बनती थी | फिर एक दिन पता चला कि डायरेक्टर सर भी मैडम को पाटने में लगे हुए है | डायरेक्टर सर भी दिखने में बहुत स्मार्ट थे | वो प्रिंसिपल मैडम से खूब बात किया करते थे | इसी तरह धीरे धीरे प्रिंसिपल मैडम डायरेक्टर सर की लाइन में आ गई और डायरेक्टर सर से पट गई | प्रिंसिपल मैडम डायरेक्टर सर से बहुत चुदती थी डायरेक्टर सर मैडम को अपने बंगले में बुला कर बहुत चोदते थे | उस टाइम मैडम कि शादी नहीं हुई थी और प्रिंसिपल मैडम डायरेक्टर सर से इसलिए पट गई थी क्योकि मैडम के पास जो कुछ भी गाड़ी घर था वो सब डायरेक्टर सर ने मैडम को दिया था |

Antrawasna एक चुडक्कड़ परिवार की कहानी

मैडम बाहर से थी वो बिहार की रहने वाली थी प्रिंसिपल मैडम की पूरी फैमिली बिहार में ही रहती थी | प्रिंसिपल मैडम अपनी जॉब के कारण यही रहती थी | डायरेक्टर सर से खूब चुदती थी | डायरेक्टर सर का जब भी मन करता था मैडम को चोदने का तो वो अपने बंगले में मैडम को बुला कर खूब चोदते थे | स्कूल में हम लोगो का लास्ट साल था मेरा मन तो नहीं कर रहा था इस स्कूल से जाने का क्योकि मुझे मैडम को चोदना था लेकिन मैं क्या करता मेरी पढाई पूरी होने वाली थी फिर उसके कुछ दिन बाद हम लोगो की बिदाई हो गयी | बिदाई होने के बाद प्रिंसिपल मैडम ने हम लोगो को अपने ऑफिस में बुलाया और हम लोगो का मोबाइल नंबर ले लिया और कहा जब भी इस स्कूल में कोई भी कार्यक्रम होगा तो मैं तुम लोगो को फ़ोन करके स्कूल में बुलाऊंगी और तुम लोगो को स्कूल आना पड़ेगा | उसके बाद जब भी स्कूल में कार्यक्रम होता था तो प्रिंसिपल मैडम हम लोगो को जरुर बुलाया करती थी |

हम लोग हमेशा स्कूल जाया करते थे जब भी स्कूल में कार्यक्रम होता था | मैं तो मैडम से हमेशा मिलने जाया करता था क्योकि मुझे मैडम बहुत अच्छी लगती थी और मुझे उनको चोदना था | मैं जब भी उनसे मिलने के लिए जाता था तो मेरी नजर सीधे उनके दूध में जाती थी और मेरा लंड खड़ा हो जाता था उनको चोदने का खूब मन करता था पर अफ़सोस डायरेक्टर अपनी माँ चुदा रहा था | उसके एक साल बाद मैडम की शादी हो गयी और अपनी शादी में भी मैडम ने हम लोगो को भी बुलाया था | शादी हो जाने के बाद भी प्रिंसिपल मैडम अपने पति के साथ यही रहती थी और डायरेक्टर सर से खूब चुदती थी | यह बात मैडम के पति को नहीं मालूम थी कि मैडम डायरेक्टर सर से पटी है और और उनके बंगले में जाके उनसे खूब चुदती है | फिर उसके कुछ महीनो बाद मैडम को लड़का हो गया |

दो लोगों से चुदती थी इसलिए इतनी जल्दी मैडम को लड़का हो गया था | सब लोगो को तो शक भी था कि ये लड़का मैडम के पति का है कि डायरेक्टर सर का क्योकि सबको यह बात पता थी कि मैडम डायरेक्टर सर से चुदती है | जब मैं एक दिन मैडम के लड़के को देखने स्कूल गया तो उनका लड़का बहुत सुंदर था उसका नाम मैडम ने आदि रखा था | फिर एक दिन मैडम का फ़ोन मेरे पास आया और मैडम मुझसे कहने लगी कि अतुल तुम आज मेरे घर आ सकते हो मुझे तुमसे कुछ काम है | मैंने मैडम से कहा बिलकुल आ जाऊंगा मैडम मैं आपके घर |

यह बात सुनकर मेरा मन खुश हो गया मुझे लग रहा था कि शायद आज मुझे मैडम को चोदने मिल जाये | जब में मैडम के घर पहुंचा और जब मैडम को देखा तो देखता ही रह गया क्योकि घर में मैडम ने गाउन पहना था और वो उसमे में बहुत ही ज्यादा सेक्सी लग रही थी उनके दूध भी दिख रहे थे | मेरा लंड खड़ा हो गया था | मैंने मैडम से बोला आपको क्या काम था मुझसे तो मैडम बोलने लगी कुछ काम नहीं है आदि के बाल कटवाना है तुम इसे अपने साथ ले जाओ और अपने जैसे बाल कटा दो |

मैंने मैडम से बोला ओके मैडम कटवा दूंगा बाल | प्रिंसिपल मैडम को मेरे बाल और हेअर स्टाइल बहुत अच्छी लगती थी इसलिए उन्होंने मुझे आदि के बाल कटवाने को बोला | जब मैडम ने आदि के बाल कटे देखे तो खुश हो गयीं और मुझसे कहने लगी कि अतुल तुम अभी जाना नहीं मैं खाना बना रही हूँ खाना खा कर जाना और सबसे पहले आदि को नहला के सुला दिया | मैडम खाना बनाने लगी पर मुझे तो उस टाइम बस मैडम को चोदने का मन कर रहा था में तो बैठे बैठे मैडम को ही देख रहा था और उनके दूध भी दिख रहे थे | मैं तो उनके दूध को ही देख रहा था और सोच रहा था कि कब मैडम के दूध पीने मिलेंगे | और मेरा लंड भी खड़ा था बेठने का नाम भी नहीं ले रहा था |

मैडम ने मुझे देख लिया कि मैं उनके दूध को देख रहा हूँ और उनकी नजर भी मेरे लंड में पढ़ गयी और फिर मैडम मेरे पास आकर बैठ गयीं | वो मुझसे कहने लगी अतुल मैं बहुत देर से देख रही हूँ तुम मेरे दूध देख रहे हो और जब भी तुम मुझसे मिलने आते थे तो तुम्हारा लंड खड़ा रहता था और आज भी खड़ा है | क्या मुझे चोदने का मन कर रहा है ? मैंने मैडम से बोला आपको देख कर किसका लंड खड़ा नहीं होगा और चोदने का मन नहीं करेगा आप हो ही इतनी सेक्सी, किसी का भी लंड आपको देख कर खड़ा हो जायेगा और चोदने का मन करेगा |

यह बात सुनकर मैडम ने अपने गाउन के आगे की चेन पूरी दी और मेरा मुंह पकड़कर अपने दूध में लगा दिया | मैं बहुत खुश हो गया फिर मैं उनके मस्त दूध पीने लगा | उसके बाद मैडम ने मेरा लंड अपने हाथ से पकड़कर बाहर निकाला और पीने लगी | उसके बाद मैडम ने अपना गाउन उतार दिया और फिर मैंने मैडम को पलंग में लेटा कर उनके दूध के बीच में लंड हिलाने लगा | मैडम मुझसे कहने लगी कि अब मेरे दूध से ही खेलते रहोगे कि चोदोगे भी | वो मेरा लंड अपनी चूत में डालने को कहने लगी | फिर मैंने अपना लंड में की चूत में डाला और उनको बहुत चोदा |

मैं मैडम को बहुत तेज मन लगा कर चोद रहा था | मैडम आह्ह आह्ह्ह्ह आह्ह्ह ऊह्ह्ह कर रही थी और कह रही थी कि अतुल मुझे तुमसे चुदने में बहुत मजा आ रहा है और खूब आह्ह्हह्ह अह्ह्ह्हह्ह ऊह्ह्ह्हह उह्ह्हह्ह कर रही थी | मैडम ने उस दिन अपने घर मैं ही रोक लिया मुझे और पूरी रात मुझसे चुदती रही | उनको मुझसे चुदने में बहुत मजा आ रहा था और मुझे तो मजा आ गया था | मेरा मन तो कर रहा था कि बस चोदता ही जाऊ | मेरा सुपाडा मैडम को चोदने के बाद फूल गया था | मैडम अब बस मेरे लंड से ही अपनी प्यास बुझाती थी |

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होने वाली भाभी की बहन https://sexstories.one/hone-wali-bhabhi-ki-behan/ Tue, 19 Oct 2021 07:28:59 +0000 https://sexstories.one/?p=3059 मैं उसकी नंगे बदन पर चिपकी उसकी चूचियों को ही देखता रह गया। साली की चूचियाँ मौसम्मी के आकार की थीं। मैं उसकी चूचियों को अपने मुँह में भर कर चूसे जा रहा था और मेरा एक हाथ उसकी पैंटी में अपना कमाल दिखा रही थीं। उधर उसके मुँह से सिसकारियाँ निकल रही थीं...

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Hone Wali Bhabhi Ki Behan यह कहानी दो वर्ष पहले की है। जब मेरे भैया की शादी पटना शहर में ही तय हो गई थी। मैं उस समय बी.कॉम. फर्स्ट-ईयर में पढ़ता था। भैया की ससुराल मेरे कोचिंग के रास्ते में ही पड़ती थी।
एक दिन की बात है जब मैं कोचिंग से आ रहा था। तो रास्ते में मुझे मेरी होने वाली भाभी मिल गई और मैंने बाइक रोक दी। उन्होंने मुझे तुरन्त पहचान लिया, हम लोग सगाई पर मिल चुके थे। वो बाज़ार अपने निज़ी सामान लेने आई थीं।

मैंने कहा- आइए भाभी, आपको घर छोड़ दूँ।

उन्होंने ‘हामी’ भरी और मैंने उन्हें घर छोड़ दिया। वो अन्दर आने को कहने लगीं। मैंने मना कर दिया क्योंकि उस समय शाम के 5 बज़ रहे थे। परंतु उनके ज्यादा जोर देने पर मैं मना नहीं कर पाया और उनके पीछे अन्दर चला गया।
उस समय घर उनके और उनकी छोटी बहन जिसका नाम रूपा था, के सिवाए कोई नहीं था। सभी लोग पड़ोस में मेंहदी समारोह में गए हुए थे।

वो खाना खाने के लिए कहने लगीं, तो मैंने मना कर दिया। इतने में उनकी छोटी बहन रूपा आई।

क्या कमाल की छोरी थी, रंग तो उसका गेहुँआ था पर साली की फिगर कमाल की थी। उसने उस समय फ्रॉक पहनी हुई थी। हम लोग उनके बैडरुम में बैठकर इधर-उधर की बातें करने लगे। उससे पूछने पर पता चला इसी वर्ष उसने बारहवीं में प्रवेश किया है। उसकी निगाहें बड़ी चंचल थीं उसके हावभाव बताते थे कि वो मुझ पर कुछ अधिक आकर्षित थी। बात बात में उसकी आँख मारने की अदा बड़ी कामुक थी।

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इतने में पड़ोस की आंटी ने भाभी को किसी काम से बुला लिया। हम लोग फिर से बातें करने लगे। थोड़ी देर बाद मुझे जोरों से ‘एक नम्बर’ लगी। मैंने संकोचवश बाथरूम पूछा, उसने बता दिया। मैंने बाथरूम से आते समय देखा कि मेरा फोन उठाकर गैलरी में छिप कर ब्लू-फिल्म देख रही है और अपने चूचियों पर हल्के-हल्के हाथ रगड़ रही है।

मैं वहीं दरवाजे के पीछे खड़े होकर पर्दे के चिलमन से सब-कुछ देख रहा था। अब मेरा सब्र भी टूट रहा था और मेरा लण्ड भी तनकर ‘एफिल-टॉवर’ बन चुका था। मैंने पीछे जाकर फ्रॉक के ऊपर से ही उसकी चूचियों को दबाने लगा।
पहले तो वो चौंक गई लेकिन मुझे पाकर वो शांत हो गई। अब मैंने उसकी चूचियों को आहिस्ते-आहिस्ते मसलना शुरु किया, अब उसे भी मज़ा आने लगा था। धीरे-धीरे मैंने अपना एक हाथ उसकी पैंटी में घुसा दिया और उसकी चूत को सहलाने लगा। अब उसके मुँह से सिसकारियाँ निकलने लगीं।

मैंने उसे बेड पर लिटा दिया और उसके होंठों को जोर-जोर से चूसने लगा। मैने अपनी जीभ उसके मुँह में दे दी। वो मेरी जीभ को लॉलीपॉप की तरह चूसे जा रही थी। हम दोनों को थोड़ी-थोड़ी गर्मी लगने लगी थी। उसने मेरी टी-शर्ट उतारी और मैने उसकी फ्रॉक उतारा।

मैं उसकी नंगे बदन पर चिपकी उसकी चूचियों को ही देखता रह गया। साली की चूचियाँ मौसम्मी के आकार की थीं। मैं उसकी चूचियों को अपने मुँह में भर कर चूसे जा रहा था और मेरा एक हाथ उसकी पैंटी में अपना कमाल दिखा रही थीं। उधर उसके मुँह से सिसकारियाँ निकल रही थीं।

मुझसे अब रहा नहीं जा रहा था। मैंने तुरंत उसकी पैंटी उतारी और उसक चूत को बुरी तरह चूसने लगा। वो तो जैसे तड़प उठी, मैं अभी भी उसकी चूत को चूसे जा रहा था। इसी बीच वो मेरे मुँह में ही झड़ गई। मैंने सारा रस चट कर दिया। अब मैं अपनी जीभ से उसकी चूत को चोदे जा रहा था।

उसे भी मज़ा आ रहा था, अब वो फिर से अपने उफान पर आ रही थी। उसकी गहरी गुलाबी चूत को छोड़ने का मन ही नहीं कर रहा था। अब मैं थोड़ा ऊपर आकर उसकी दोनों टाँगों को अलग-अलग फैलाकर अपने लण्ड को उसकी चूत पर जोर-जोर से रगड़ने लगा। उसकी सिसकारियाँ भी जोर पकड़ने लगीं, तभी मुझे अपने लण्ड पर गीलापन महसूस हुआ, वो फिर से झड़ चुकी थी।

अब मैंने भी देर ना करते हुए अपना लण्ड उसकी चूत में घुसाने लगा, चिकनाई की वज़ह से लण्ड थोड़ा अन्दर चला गया। मैंने एक जोर का धक्का मारा लण्ड पूरा अदंर चला गया। दर्द के मारे उसके मुँह से जोर की चीख निकली, मैंने अपना एक हाथ उसके मुँह पर रख दिया, उसकी आँखों से आँसू निकल पड़े।

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अब मैंने लण्ड को पीछे करके एक धक्का और मारा। अबकी बार लण्ड सीधा बच्चेदानी से जा टकराया, इस बार भी उसके मुँह से चीख निकल पड़ी, लेकिन इस बार का दर्द पिछली बार से कम था मैं कुछ देर इसी मुद्रा में रहा। जब दर्द थोड़ा कम हुआ तो मैंने अपने लण्ड को आगे-पीछे करना शुरु कर दिया।

अब उसकी सिसकारियाँ भी आह-आह की आवाज़ में बदल चुकी थी, जिसने मेरी स्पीड बढ़ा दी। 20 मिनट तक मैंने जोरदार झटकों से उसे चोदा। उसके मुँह से ‘उँउँउँ…ईईई…ऊँऊँ” की आवाज़ें निकल रही थीं।

अब उसकी साँसें भी तेज़ होने लगी बदन ऐंठने लगा, ‘ओओओ…’ और उसकी चूत से झरना बह गया। मैंने भी समय की नज़ाकत को समझते हुए पांच मिनट बाद अपना खौलता हुआ लावा उसकी चूत में उड़ेल दिया। हम लोग कुछ देर इसी हालत में रहे। थोड़ी देर बाद हमने अपने-अपने कपड़े पहन लिए और बैठ कर बातें करने लगे।

तभी दरवाजे की घण्टी बजी, रूपा ने कहा- लगता है दीदी आई है।

दरवाजा खोलने के पहले हमने एक-दूसरे की जोरदार चुम्मी ली और मै़ने उसके चूची को तीन-चार बार मसला। फिर वो दरवाजा खोलने चली गई, भाभी अदंर आईं।

मैंने पूछा- आप इतनी देर से कहाँ थीं?

भाभी ने कहा- मैं पड़ोस में मेहंदी समारोह में गई हुई थी।

रात के 9 बज़ चुके थे तो भाभी ने मुझे रुकने को कहा।

मैंने कहा-मैं यहाँ रुका तो घर पर सभी लोग परेशान होंगे और डाँट भी पड़ेगी।

भाभी ने कहा- अगर ऐसी बात है तो मैं घर पर फोन करके कह देती हूँ कि आज तुम यहीं रुकोगे। तब तो कोई परेशान नहीं होगा?

मेरे तो मन मे जैसे मन मे लड्डू फूट रहे थे, तो मैंने भी कह दिया- जैसा आप ठीक समझें।

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गांव की एक लड़की को पूरी रात पेला https://sexstories.one/gaon-ki-ladki-ki-chudai/ Mon, 13 Sep 2021 07:00:35 +0000 https://sexstories.one/?p=4295 दोस्तो, मैंने मेरे आफिस में काम करने वाली एक गांव की लड़की की चुदाई की। मेरा नाम रॉकी है और मैं धनबाद का रहने वाला हूँ. मेरी उम्र 27 साल हैं, मैं एक कम्पनी में ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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दोस्तो, मैंने मेरे आफिस में काम करने वाली एक गांव की लड़की की चुदाई की। मेरा नाम रॉकी है और मैं धनबाद का रहने वाला हूँ. मेरी उम्र 27 साल हैं, मैं एक कम्पनी में जॉब करता हूँ. बात आज से तीन महीने पहले की है जब हमारे आफिस में एक नई लड़की ने जॉइन किया था, उसका नाम पूजा था, उसकी उम्र 21 साल थी दिखने में एकदम सीधी सादी, गोरा रंग, कसा हुआ शरीर, लंबे बाल। padhiye sexy gaon ki ladki ki chudai ki kahani.

वो धनबाद के पास ही किसी गांव से यहाँ जॉब करने आयी थी, उसका पहला दिन था आफिस में तो वो किसी से कोई ख़ास बात नहीं कर रही थी.

लंच टाइम हो गया था तो मेरे साथियों ने मुझे बोला उससे बात करने को, तो मैंने उसके पास जाकर उसको लंच के लिए पूछा.

एक बार तो उसने मुझे मना कर दिया किन्तु मेरे कुछ जोर देने पर वो मान गयी, फिर हमने साथ में लंच किया तो बातों बातों में पता चला कि वो यहाँ अकेली रहती थी और उसे धनबाद आये काफी समय हो गया था, और पहले वो कहीं और जॉब करती थी।

वो लंच नहीं लायी थी तो मैंने उससे अपना लंच शेयर किया इसलिए मेरा पेट नहीं भरा.

जब कुछ समय बाद मुझे फिर से भूख लगने लगी तो मैं कुछ खाने के लिए बाहर जाने लगा, मैं अपने केबिन से बाहर निकला तो उसने मुझसे बोला कि उसे भूख लग रही है.

तो मैं उसे भी अपने साथ ले गया और हम पास ही के एक रेस्टोरेंट में जाकर कुछ खाने लगे।

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उस समय मेरे पूछने पर उसने मुझे अपनी लाइफ के बारे में बताया और ये भी बताया कि उसका कुछ दिन पहले ही उसके बॉयफ्रेंड से ब्रेकअप हुआ है. यह सुनते ही मैं समझ गया कि अब इसे एक कंधे की जरूरत है… तो क्यों ना वो कंधा मेरा ही हो।

और फिर वहाँ हमने अपने फोन नंबर एक दूसरे को दिये।

थोड़ा बहुत खा पीकर फिर हम वापस आफिस में आ गए और अपने अपने काम में लग गए।

फिर हम एक दूसरे से चैट करने लगे, धीरे धीरे फिर हम कॉल पर बात करने लगे, कुछ दिन ऐसे ही बीत गए।

एक रात करीब 11 बजे मुझे उसका कॉल आया, मैंने बात की तो वो रो रही थी. मेरे पूछने पर वो कहने लगी- मुझे तुमसे अभी मिलना है. कैसे भी बस… अभी मिलना है।

मेरा और उसका घर कोई 4-5 किलो मीटर के फासले में होगा, मैं उसके पास गया रात का वक़्त था तो मैंने कार ले जाना ही सही समझा.

मैं उसके घर पहुँचा तो वो बाहर ही खड़ी थी और मैं उससे बात करने के लिए कार से बाहर आया तो वो ‘मुझे यहाँ से चलो!’ कह कर मेरी कार में बैठ गयी।

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मैंने कार स्टार्ट की और वहाँ से चल दिए, रास्ते में उसने मुझे बताया कि उसको उसके बॉयफ्रेंड की याद आ रही थी तो इसलिए मुझे बुला लिया थोड़ा टाइम पास करने के लिए।

फिर ऐसे ही कुछ दूर कार चलाते चलाते हम हाईवे पर आ गए और थोड़ी दूर मुझे एक रेस्टोरेंट दिखाई दिया तो मैंने उससे पूछा कि उसे कुछ खाना हैं क्या?

तो उसने बोला- नहीं, खाना कुछ नहीं लेकिन पीना है!

पहले तो मैं उसकी यह बात सुन कर चौंक गया, फिर मैंने उससे पूछा कि पहले कभी पी है?

तो उसने ना में सर हिलाया.

तो मैंने उसे पीने से मना किया, लेकिन वो मुझे पिलाने के लिए जोर देने लगी. कुछ दूर आगे जाकर हमें एक बार दिखाई दिया, वहाँ जाकर हमने बियर पी, कुछ देर बाद उसे चढ़ने लगी।

फिर जब वो अपना होश खोने लगी तो मैं उसे वहाँ से लेकर जाने लगा पर उसे इतनी चढ़ गई थी कि वो सही से चल भी नहीं पा रही थी. मैंने उसे सहारा दिया और हम दोनों वहाँ से चल दिये.

उस समय करीब रात के 12 बज चुके थे, रास्ते में मैंने उससे कहा कि उसे उसके रूम पर छोड़ देता हूं तो उसने मना कर दिया और बोलने लगी कि इतनी रात को घर का गेट कोई नहीं खोलेगा तो अब वो सुबह ही जा सकती हैं।

अब मेरे पास भी कोई जगह नहीं थी उसे ले जाने के लिए तो मैंने उसे रात किसी होटल में गुजरने के लिए बोला और वो फट से मान गयी.

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फिर कुछ दूर आगे जा कर मुझे एक होटल दिखाई दिया और मैंने गाड़ी रोक कर उस होटल में रूम के लिए बात की और हमें रूम मिल गया।

मैं उसे रूम में ले गया और उसे सुला कर वापस नीचे लॉबी में आ गया, कुछ देर बाद मैं रूम में गया तो वो जग रही थी, मैंने उससे पूछा- क्या हुआ?

तो उसने मुझे और बियर पीने के लिए बोला.

मैंने वहीं होटल से दो बियर ली और फिर मैं रूम में आ गया।

जब मैं रूम में गया तो मैंने देखा कि उसने अपना टॉप उतार रखा था और वो सिर्फ ब्रा में बैठी टीवी देख रही थी, मैंने उससे पूछा तो कहने लगी गर्मी लग रही थी तो उतार दी, जबकि AC ऑन था।

फिर हमने वो बियर भी पी और कुछ देर बाद वो फिर से होश खोने लगी और उल्टी सीधी हरकते करने लगी, मैं समझ गया इसे चढ़ गई हैं, मैंने उसका नशा कम करने के लिए उसे उठा कर बाथरूम में ले गया और उसे शावर के नीचे खड़ा कर दिया और जैसे ही मैं शावर खोल कर बाहर जाने लगा तो उसने मुझे पकड़ कर अपनी तरफ खींच लिया और मुझे कस के जकड़ लिया और हम दोनों ही शावर में भीग गए।

उसके बाद उसने अपने कपड़े उतारे और मैंने अपने और काफी देर तक हम शावर में भीगते रहे, फिर जब मैं उसे बाथरूम से बाहर लाया तो हम दोनों ही पूरे न्यूड थे और जैसे ही हम बाथरूम से बाहर आये तो एक तो हम भीगे हुए ऊपर से AC ऑन होने के कारण हमे बहुत तेज ठंड लगी और वो मुझसे चिपकने लगी.

फिर मैंने उसे बेड पर लिटाया और उसे कम्बल औढ़ा दिया और मैं भी उसके पास लेट कर टीवी देखने लगा।

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कुछ देर बाद मुझे लगा कि वो ठंड से कांप रही है तो मैंने AC बंद कर दिया. फिर भी उसे शायद ठंड लग रही थी और वो मुझसे चिपके जा रही थी, मुझे समझ नहीं आया कि क्या करूँ तो मैंने उसे बॉडी हीट देने के लिए अपने से चिपका लिया, फिर कुछ देर बाद मुझे लगा कि वो मेरे सीने पर किस कर रही है और धीरे धीरे वो मेरे होंठों की तरफ आने लगी और फिर उसने मुझे लिप किस किया, मैं भी अपना कंट्रोल खो रहा था और मेरा लंड भी अब खड़ा होने लगा था और उसकी जांघों पर छूने लगा था।

फिर उसने मेरे लंड को पकड़ लिया और उसे हिलाने लगी, हम अभी तक एक दूसरे को जगह जगह पर किस कर रहे थे फिर मैंने उसे सीधा लिटा दिया और उसके कयामती शरीर को चूमने और चाटने लगा, वो हल्की हल्की सिसकारियां ले रही थी और मैं कभी उसे किस करता कभी उसके बोबे चूसता कभी उनको जोर से दबाता.

फिर धीरे धीरे मैं उसकी चूत तक पहुँचा मैंने देखा कि उसकी चूत पर बाल नहीं थे, शायद उसने आज ही साफ किये थे, उसकी चूत देख कर मैं पागल हो गया एकदम क्लीन और गुलाबी रंग की चूत थी उसकी, और दोस्तो मुझे क्लीन शेव चूत बहुत पसंद है।

मैंने धीरे से उसकी चुत पर अपनी जीभ फिरना शुरू किया वो तो जैसे पागल ही हो गयी और जोर जोर से मेरा नाम ले कर सिसकारने लगी- ओह रॉकी ओह रॉकी

उसके मुंह से ये सब सुन कर मुझे भी काफी मजा आ रहा था और मैं अपनी पूरी जीभ उसकी रसीली चुत की गहराइयों में ले जा रहा था।

धीरे धीरे उसका शरीर अकड़ने लगा और वो मेरे मुंह को अपनी चुत पर दबाती हुई चिल्लाती हुई झड़ गयी। उसके चेहरे पर एक सुकून वाली खुशी थी जैसे कि उसे वो चीज मिल गयी हो जिसके लिए वो काफी समय से तड़प रही हो।
फिर हमने बहुत देर तक एक दूसरे को किस किया, मैं उसके ऊपर था और वो अपने पैरों को फैलाये हुए थी और मेरा लंड उसकी चुत को छू रहा था, फिर कुछ देर बाद उसने मेरे लंड को पकड़ कर अपनी चुत पे रख कर कहने लगी- कुणाल, अब प्लीज इसे अंदर डाल दो!

उसकी चुत एकदम गीली थी और मैंने भी देर न करते हुए एक जोरदार धक्के के साथ मेरा लंड उसकी चुत में डाल दिया लेकिन एक धक्के में लंड पूरा अंदर नहीं गया और उसे दर्द भी हुआ तो वो जोर से चिल्लाई और उसने मुझे रुकने को बोला.

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फिर कुछ देर मैं उसे फिर से किस करने लगा, उसके बोबे दबाने लगा, थोड़ी देर बाद उसने अपने कूल्हों को हिलाया और मुझे अपनी तरफ दबाने लगी, मैं समझ गया कि अब इसका दर्द कम हो गया है और अब इसे चुदना है।
मैंने फिर धीरे धीरे धक्के देना शुरू कर दिया और अपना 7 इंच लंबा और 3 इंच मोटा लंड पूरा उसकी चुत में डाल दिया, कुछ ही देर में उसे मजा आने लगा और वो उम्म्ह… अहह… हय… याह… करने लगी और मुझे और जोर से करने के लिए बोलने लगी.

मैं अभी ठीक से गर्म भी नहीं हुआ था कि वो फिर से अकड़ने लगी और कुछ देर बाद वो जोर जोर से आहें भरते हुए एक बार फिर झड़ गयी. लेकिन मैं अभी रुकने वाला नहीं था. फिर मैंने अपनी स्पीड बढ़ा दी और जोर जोर से उसकी चुत में अपना लंड अंदर बाहर करने लगा.

अब वो मुझे जगह जगह काटने लगी, अपने नाखून मेरे शरीर पर चुभाने लगी जिस वजह से मुझे और भी मजा आने लगा।

दोस्तो, जब कोई लड़की मुझे लव बाइट्स देती हैं तो मुझे बहुत मजा आता हैं।

उसके बाद करीब काफी देर तक मैं उसे चोदता रहा और जब मेरा निकलने वाला था तो मैंने उससे पूछा- कहाँ निकालूँ?

तो वो बोली- मेरी चुत के अंदर ही निकाल दो, मैं दवाई ले लूंगी.

फिर हम दोनों साथ ही झड़ गए। हम ऐसे ही एक दूसरे से चिपके हुए कुछ देर तक लेटे रहे, फिर मैं उठा और सिगरेट पीने बालकॉनी में चला गया. वो शायद थक गयी थी इसलिए वही लेटी रही. कुछ देर बाद मैं रूम में आया और उसे अपनी बाहों में लेकर लेट गया और हम दोनों एक दूसरे के अंगों से खेलते रहे, फिर हमारा वापस मूड़ बन गया और इस तरह मैंने उस रात उसकी 4 बार दमदार चुदाई की. हमें सुबह के 6 बज गए थे और फिर 10 बजे हमे चेकआउट करना था तो हमने थोड़ी देर सोना ही ठीक समझा और 10 बजे चेकआउट करके हम वहाँ से निकल गए.

एक देसी मां की सच्ची कहानी – 2

फिर जब हम आफिस में मिले तो वो बिल्कुल नार्मल थी और जैसे वो रोज मुझसे बाते करती थी वैसे ही बात कर रही थी।

उस दिन के बाद हम 4 बार और उसी होटल में गए और उसी रात की तरह हमने बियर पी और पूरी रात चुदाई के मजे लिए।

लेकिन अब वो वापस अपने गांव जा चुकी हैं शायद उसकी शादी होने वाली है, मुझे नहीं लगता कि अब हम दोबारा मिल पाएंगे।

दोस्तो, ये मेरी पहली कहानी थी. अगर मुझसे कोई गलती हुई हो तो प्लीज माफ करना और अपनी राय मुझे आप मेल भी कर सकते हैं.

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दरवाजा खुला रह गया https://sexstories.one/darwaza-khula-reh-gaya/ Mon, 13 Sep 2021 06:55:29 +0000 https://sexstories.one/?p=4302 मैं अपने परिवार के साथ शॉपिंग करने के लिए मॉल में गया हुआ था मैं जब मॉल में गया तो उस वक्त मुझे किसी ने आवाज लगाई मैंने जब पीछे पलट कर देखा तो वह ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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मैं अपने परिवार के साथ शॉपिंग करने के लिए मॉल में गया हुआ था मैं जब मॉल में गया तो उस वक्त मुझे किसी ने आवाज लगाई मैंने जब पीछे पलट कर देखा तो वह मनीष था। मनीष ने मुझे कहा कि रोहित तुम कितने दिनों बाद मुझे मिल रहे हो तो मैंने मनीष को कहा हम लोग करीब 7 वर्षों बाद मिल रहे हैं। कॉलेज खत्म होने के बाद हम लोगों की मुलाकात ही नहीं हो पाई और यह भी बड़ा अजीब इत्तेफाक था कि इतने वर्षों बाद हम एक दूसरे को मिल रहे थे। हम जब एक दूसरे को मिले तो हम दोनों को मिलकर काफी अच्छा लगा मैंने मनीष को कहा कि तुम क्या दिल्ली में ही रहते हो तो वह मुझे कहने लगा कि नहीं मैं अब दिल्ली में नहीं रहता मैं कोलकाता में नौकरी करता हूं और वहां मैं पिछले 5 वर्षों से काम कर रहा हूं। मैंने मनीष को कहा चलो यह तो बहुत ही अच्छी बात है मनीष मुझसे कहने लगा रोहित तुम क्या कर रहे हो तो मैंने उसे बताया कि मैं भी एक मल्टीनेशनल कंपनी में जॉब कर रहा हूं और पिछले काफी वर्षों से मैं वहीं पर नौकरी कर रहा हूं।

मैंने मनीष का नंबर ले लिया और उससे कहा कि तुम कितने दिनों तक रुकने वाले हो वह मुझे कहने लगा कि मैं इस हफ्ते तो घर पर हूं। मैंने मनीष को कहा अभी तो मैं अपनी फैमिली के साथ शॉपिंग करने के लिए आया हूं मैं तुमसे कुछ दिनों बाद मुलाकात करता हूं तो मनीष कहने लगा ठीक है। मनीष भी वहां से चला गया और मैं अपने परिवार के साथ शॉपिंग कर के अपने घर लौट चुका था हर रोज की तरह मैं अपने ऑफिस के लिए घर से निकला ही था कि तभी रास्ते में मेरी मोटरसाइकिल का टायर पंचर हो गया जिस वजह से मुझे उस दिन ऑफिस पहुंचने में देर हो गई। मैं अपने ऑफिस तो पहुंच चुका था लेकिन उस दिन मेरे मैनेजर ने मुझे काफी कुछ कहा उसी दिन जब मैं शाम के वक्त घर वापस लौट रहा था तो मनीष का मुझे फोन आया और मनीष मुझे कहने लगा कि रोहित क्या कल तुम फ्री हो। मैंने मनीष को कहा हां कल मैं फ्री हूं मनीष मुझे कहने लगा कि क्या कल तुम मुझे मिल सकते हो तो मैंने मनीष को कहा हां।

अगले दिन मेरे ऑफिस की छुट्टी थी इसलिए मैंने मनीष को कहा ठीक है मैं तुमसे कल मुलाकात करता हूं और अगले दिन जब मैं मनीष को मिला तो मनीष ने मुझे कुछ भी नहीं बताया था और उसने मुझे एक रेस्टोरेंट में बुला लिया। हम लोग एक रेस्टोरेंट में बैठे हुए थे हम लोग वहां पर बैठे हुए थे तो मैंने मनीष को कहा की तुमने मुझे यहां पर क्यों बुलाया है तो मनीष मुझे कहने लगा कि रोहित आज मैं तुम्हें किसी से मिलाना चाहता हूं। मैंने मनीष को कहा आज तुम मुझे किससे मिलाना चाहते हो हम दोनों आपस में बात कर रहे थे कि तभी एक लड़की आई वह जब आई तो मनीष ने मुझे कहा कि यह अंजली है। मैंने मनीष को कहा मनीष क्या तुम अंजलि को जानते हो तो मनीष कहने लगा हां, मनीष ने मुझे उस दिन पूरी बात बताई और कहने लगा कि अंजलि और मेरी मुलाकात ट्रेन में हुई थी उसके बाद हम दोनों में प्यार हुआ और अब हम दोनों शादी करना चाहते हैं।

मैंने मनीष को कहा मनीष यह तो बड़ी अच्छी बात है कि तुम शादी करना चाहते हो और अंजलि जैसी अच्छी लड़की तुम्हें मिल रही है। अंजली भी हमसे खुलकर बात कर रही थी और मनीष के साथ मैं काफी देर तक बात करता रहा मनीष के साथ मैंने बहुत देर तक बात की और उस दिन हम तीनों ने ही बहुत अच्छा समय साथ में बिताया उसके बाद अंजलि चली गई। मनीष ने मुझे पूरी बात बताई कि कैसे उसे अंजली मिली और उसके बाद उन दोनों में कैसे प्यार हुआ मैंने मनीष को कहा तुम बहुत ही खुश नसीब हो जो तुम्हें अंजलि जैसी लड़की मिल रही है। अंजली बहुत ही सुंदर थी और वह एक अच्छी कंपनी में एक अच्छे पद पर भी है मैंने मनीष को कहा मनीष मैं अभी अपने घर के लिए निकलता हूं मैं तुमसे दोबारा मुलाकात करूंगा।

मैं अपने घर के लिए निकल चुका था और फिर कुछ दिनों बाद मेरी मनीष से बात हुई वह कोलकाता वापस लौटने वाला था मैंने मनीष को कहा तुम कोलकाता से वापस कब आओगे मनीष कहने लगा कि मैं अब दो महीने के बाद ही वहां से आऊंगा। एक दिन मैं अपनी मोटरसाइकिल से अपने ऑफिस की तरफ जा रहा था उस दिन काफी बारिश हो रही थी तो मैंने अपना रेनकोट पहन लिया और मैं अपने ऑफिस के लिए निकल पड़ा। मैं जब अपने ऑफिस पहुंचा तो उस दिन भी मुझे ऑफिस पहुंचने में देर हो गई थी लेकिन उस दिन मेरे मैनेजर ने मुझे कुछ नहीं कहा।

मैं उस दिन शाम को घर वापस लौट रहा था तो रास्ते में मुझे अंजलि दिखाई दी मैंने अंजलि को देखते हुए अपनी बाइक को रोक लिया और उसके बाद मैं अंजली से मिला। जब मैं अंजली से मिला तो मैंने अंजलि को कहा तुम यहां पर कैसे तो अंजलि मुझे कहने लगी कि मैं किसी काम से यहां आई हुई थी। मैने अंजलि को कहा कि मैं यहां से गुजर रहा था तो सोचा तुम से मिल लूँ अंजलि कहने लगी कि तुमने बहुत अच्छा किया। मैंने अंजलि से कहा कि क्या तुम्हारी मनीष से बात होती रहती है तो वह मुझे कहने लगी कि हां मनीष से मेरी बात होती रहती है। उस दिन अंजलि ने मुझे बताया कि वह लोग जल्दी सगाई करने वाले हैं अंजलि ने अपने घर पर इस बारे में बता दिया था और शायद मनीष ने भी इस बारे में अपने परिवार वालों को बता दिया था जिसके बाद वह लोग अब सगाई करने वाले थे। मैंने अंजलि को उसकी सगाई के लिए बधाई दी और कहा यह तो बहुत अच्छी बात है कि तुम दोनों के परिवार वाले इस रिश्ते को मान चुके हैं। अंजलि कहने लगी की हां अब उन्हें मानना तो था ही।

अंजलि और मैं उस दिन काफी देर तक एक दूसरे से बात करते रहे उसके बाद भी अंजलि और मेरी मुलाकात होती रही। एक दिन अंजलि मुझे दिखी तो उस दिन काफी तेज बारिश हो रही थी। वह मुझे कहने लगी क्या तुम मुझे मेरे घर तक छोड़ दोगे? मैने अंजलि को कहा हां क्यों नहीं मैंने अंजलि को उसके घर तक छोड़ा हम दोनों ही काफी भीग चुके थे। उसने मुझे घर के अंदर ही बुला लिया और वह कहने लगी तुम घर पर ही आ जाओ। मैंने उसे पहले तो मना किया लेकिन फिर मैं घर पर चला गया जब मैं घर पर गया तो उस वक्त अंजलि के घर पर कोई भी नहीं था और अंजलि अपने कमरे मे कपडे बदलने लगी लेकिन उसने अपने दरवाजे को खुला ही रखा था।

जब मैंने दरवाजा खोला तो मैंने उसके बदन को  देख लिया था उसका गोरे बदन को देख कर मुझे बहुत अच्छा लगा। वह तौलया लपेटे हुए कमरे से बाहर आई और मुझे कहने लगी सॉरी रोहित मैं कमरे का दरवाजा बंद करना भूल गई। मैंने उसे कहा कोई बात नहीं लेकिन मेरी नजर तो सिर्फ उसके गोरे बदन पर थी मौसम भी बहुत ज्यादा सुहाना था तभी बादल बहुत तेज आवाज में गड़गडाहट कर रहे थे अंजलि मुझसे लिपट गई जब वह मुझसे लिपटी तो मैं उसके बदन को महसूस करने लगा। मेरा हाथ धीरे धीरे उसकी गांड की तरफ बढ़ने लगा वह मुझे कुछ नहीं कह रही थी। उसके अंदर की गर्मी बढ चुकी थी मैंने उसके स्तनों को दबाना शुरू किया और उसके स्तनों को अपने मुंह में लेकर चूसने लगा। मुझे अच्छा लग रहा था उसके स्तनों को मैंने काफी देर तक अपने मुंह में लेकर चूसा मेरे अंदर की गर्मी बहुत ज्यादा बढ़ चुकी थी।

हम दोनों के बदन से काफी गर्मी बाहर निकलने लगी थी मैंने अंजलि के स्तनों को बहुत देर तक चूसा उसके बाद मैंने उसकी पैंटी को उतारते हुए उसकी चूत के अंदर उंगली घुसाने की कोशिश की लेकिन उसकी चूत के अंदर उंगली नहीं जा रही थी। मैंने अपने लंड पर थूक लगाते हुए मैंने उसकी चूत मे लंड घुसा दिया वह बड़ी तेजी से चिल्लाई और मुझे कहने लगी तुमने तो मेरी चूत पूरी तरीके से फाड कर रख दी है।

मैंने उसकी चूत की तरफ देखा तो वह मुझे कहने लगी अब तुम मुझे ऐसे ही धक्के देते रहो मैंने उसे बड़ी तेज गति से धक्के दिए उसकी चूत की चिकनाई में बढ़ोतरी हो गई थी। वह मुझसे कहने लगी आप मुझे ऐसे ही धक्के देते रहो उसके धक्को मे लगातार बढ़ोतरी हो रही थी और उसकी गर्म सांसे मेरे कान मे सुनाई देती तो मैं उसके दोनों पैरों को कसकर पकड़ लेता और उसे तेजी से धक्के देता। उसके बदन से गर्मी बाहर निकलने लगी वह पसीना पसीना होने लगी थी। उसका बदन गिला हो चुका था मैंने जब उसकी चूत की तरफ देखा तो उसकी चूत से कुछ ज्यादा ही खून बहार निकलने लगा था। मैंने उसे बड़ी तेजी से धक्के दिए उसकी चूत के अंदर ही मैन अपने वीर्य को गिरा दिया। मैंने अब उसकी चूत से मेरे वीर्य को साफ किया। मैंने उसे घोड़ी बना कर दोबारा से चोदना शुरू कर दिया वह मेरा साथ बखूबी निभा रही थी वह मुझसे चूतडो को बार मिलाए जा रही थी।

मैंने उससे कहा मनीष और तुम्हारे बीच कभी पहले कुछ हुआ था? वह कहने लगी यदि हम लोगों के बीच कुछ होता तो क्या मेरी चूत से खून निकलता। मैंने उसे कहा लगता है तुम्हारी चूत का उद्घाटन मैने ही किया है। वह कहने लगी हां अब ऐसा ही तुम समझ लो वह मुझसे बड़ी तेजी से चूतडो को मिलाए जा रही थी और मेरे अंदर की गर्मी उसने इतनी ज्यादा बढ़ा दी थी कि मैं भी झड़ने वाला था। मै उसकी चूतडो पर कसकर प्रहार करता रहा कुछ देर बाद मेरा वीर्य बाहर की तरफ गिर चुका था। उसके बाद हम दोनों ने अपने कपड़े पहन लिए मैंने अंजलि से कहा तुम यह बात कभी मनीष को पता मत चलने देना। वह मुझे कहने लगी हां मैं कभी भी मनीष को पता नहीं चलने दूंगी उसके कुछ समय बाद ही उन दोनों की सगाई हो चुकी थी और जल्द ही उन दोनों की शादी होने वाली थी।

हम दोनों एक दूसरे की जरूरतों को पूरा करते हैं क्योंकि मनीष तो कोलकाता मे ही रहता है इसलिए अंजलि मुझे अपने घर पर बुला लिया करती है।

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साक्षी को चोदा https://sexstories.one/sakhsi-ko-choda/ Tue, 17 Aug 2021 03:25:02 +0000 https://sexstories.one/?p=3038 हेलो दोस्तों कैसे हैं आप सब लोग मैं योगेश, नैनीताल से आप सभी का स्वागत करता हूं वासना के इस दरिया में।अभी मेरी उम्र 24 साल है हाईट 5.8, लंड का साइज 7 इंच है। ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हेलो दोस्तों कैसे हैं आप सब लोग मैं योगेश, नैनीताल से आप सभी का स्वागत करता हूं वासना के इस दरिया में।अभी मेरी उम्र 24 साल है हाईट 5.8, लंड का साइज 7 इंच है।
बात सितंबर 2018 की है जब ग्रेजुएशन कंप्लीट करने के बाद मैंने मुखर्जी नगर में रहकर बैंक की कोचिंग करने की सोची, मेरा एक दोस्त मुखर्जी नगर में रहकर कोचिंग कर रहा था तो मैंने उसके साथ रहने का मन बनाया और चल पड़ा दिल्ली को।

मुखर्जी नगर ऐसा स्थान है जहां जवान चूतो और लंड की भीड़ रहती है। मैंने डी के क्लासेस का नाम सुना था तो सोचा यहां जाकर देखता हूं। पहले दिन जब मैं डेमो लेने जा रहा था तो मुझे गेट पर वह दिखी साक्षी माहेश्वरी नाम था उसका हाइट 5 फुट 2 इंच रंग सांवला और फिगर 34 28 36 सीधे कहूं तो चोदने लायक टंच माल। हम दोनों ने एक दूसरे को देखा नजरों से नजरें मिली और सेकंड फ्लोर की तरफ चढ़े।

2 3 दिन डेमो क्लास लेने पर स्टाफ फीस सबमिट करने के लिए बोलने लगा और इत्तेफाक से फीस भरने जब मैं ऑफिस गया तो वह भी उसी समय वहीं फीस भरने के लिए बैठी थी। अब हम दोनों अगल-बगल में बैठकर अपनी डीटेल्स बता रहे थे और मैं उसके डिटेल को बड़े ध्यान से सुन रहा था जो कि बाद में मेरे काम आई।

एक-दो दिन में टीचर्स ने व्हाट्सएप ग्रुप बनाने के लिए बोला उस ग्रुप में हमारे बैच के सभी स्टूडेंट के नंबर थे मेरी हीरोइन का भी। वैसे ग्रुप बनाया तो डाउट दूर करने के लिए था पर सबको पता होगा की तैयारी करने वाले बच्चे कितने बकचोद होते हैं। खैर कोचिंग सही चल रहा था मैं उसे देखता वो मुझे देखती पर समझ नहीं आ रहा था बात शुरू कैसे हो। इसी दौरान मेरा एक दोस्त बना जो यूपी का था और था एक नम्बर का लोंडियाबाज बकचोद लडका।

शाम को कोचिंग से आते टाइम उसने मुझे एक आईडिया दिया बोला यह नंबर उस लड़की का हो सकता है( लग तो मुझे भी यही रहा था ) जब भी ये ग्रुप में मैसेज करें तो तू इसे पर्सनल मैसेज करके पूछना आप कौन हो आइडिया अच्छा था मैं थोड़ा अन्तर्मुखी हूं तो यह कभी सोचा नहीं।

रात को ग्रुप में बोलचाल हुई तो मैंने उस नंबर पर मैसेज किया और पूछा तुम्हारा नाम क्या है ? तो उसका जवाब आया Eye Witness ( मतलब साक्षी या गवाह ) रिप्लाई देखकर मेरी धड़कन तेज हो गई मुझे 2 मिनट लगे उसके रिप्लाई को समझने में पर मजा आया की लड़की बकचोद है जल्दी दे सकती है। मेरी प्रोफाइल मैं योगेश नाम लिखा था जिससे वह मुझे पहचान गई पर उसके नंबर में इमोजी बने थे जिस वजह से मैं श्योर नहीं था अभी तक।

और यहीं से हमारी बातें शुरू हो गई मैंने उसे बताया कि हम दोनों ने एक साथ फीस जमा करी थी पर उसे ध्यान नहीं था पर मैं बोला कि मुझे तो आपके पापा का नाम तक याद है उसने पूछा बताओ तो तो मैंने मैसेज किया “दया दरवाजा तोड़ दो” ( क्योंकि उसके पिता का नाम प्रदुमन था जो की CID show का कैरेक्टर भी है ) इस बात पर उसने हंसने वाले इमोजी भेजें फिर बात चलती रही हमने कौन कहां से है क्या पढ़ाई करी क्या पढ़ना पसंद-नापसंद है यह सब बातें शेयर करी और हमारी रोज थोड़ी थोड़ी चैटिंग होने लगी हमने इंस्टाग्राम पर एक दूसरे को फॉलो भी किया अब हम एक दूसरे के अच्छे दोस्त बन चुके थे।

फिर नवंबर शुरू हुआ और दिवाली आने वाली थी उसे टिकट बुक करने में प्रॉब्लम हो रही थी तो मैंने बोला मैं कर देता हूं और जैसे तैसे मैंने दिल्ली से लखनऊ की ट्रेन का टिकट कंफर्म कर दिया और यह जानकर वह बहुत खुश हुई। दिवाली भी चली गई पर मुझे समझ नहीं आ रहा था कि इस पटाखे को कैसे बजाऊं।

जैसे जैसे समय बढ़ता जा रहा था हमारी नज़दीकियां भी बढ़ती जा रही थी हम एक दूसरे के साथ डबल मीनिंग बातें व नॉनवेज मीमस(meme) भी शेयर करने लगे फिर एक समय आया जब मैं ग्रुप स्टडी के लिए उसके रूम पर जाने लगा।

यह दिसंबर का महीना था और ठंडी पड़ रही थी एक शाम हम दोनों पढ़ रहे थे हमने एक ब्लैंकेट उड़ा था जो हमारे घुटनों तक था कभी-कभी उसके और मेरे पैर आपस में टच हो रहे थे आज उसके हाव-भाव कुछ बदले से थे। आज माहौल कुछ रोमांटिक सा था। उसने रेड कलर की एक स्वेटर पहनी थी जिसका गला काफी डीप था।

फिर वह मैं मैगी बनाती हूं बोलकर किचन में चली गई मुझे टॉयलेट आई और मैं वॉशरूम की तरफ चला मैं पहले भी उसका वॉशरूम यूज कर चुका था पर आज कुछ अलग था आज वाह लाल रंग की ब्रा लटक रही थी और एक मादक सी खुशबू थी। मैंने ब्रा पकड़ कर देखा तो उसमें 86cm(34 inch) लिखा था उसे छूते ही मेरा लंड खड़ा हो गया मैंने ब्रा को अपने लंड में लपेटा और हिलाने लगा लंड मानो फटने को तैयार।

अब मैं उससे उसी टाइम पटक कर चोदना चाह रहा था मैं ब्रा वेसे ही लटका कर वापिस रूम में आ गया पर मुझे यह बात कुछ खटकी शायद उससे भी अब नहीं रहा जा रहा था पर साली चाहती थी की पहल में करूं। मेरा लौड़ा अभी भी कडक था और लोअर में तंबू बना रहा था तो मैंने कम्बल पूरा कमर तक ढक लिया। इतने में वह दो प्लेट मेगी लेकर आई…

अब मैंने उससे कुछ पर्सनल बातें जैसे कि तुमने बॉयफ्रेंड को कभी किस किया है बातें करने लगा वह भी खुलने लगी क्योंकि ऐसी बातें करना हमारे लिए आम था।अचानक उसने मुझसे पूछ लिया यह ब्लैंकेट क्यों ओड़ा है इतनी सर्दी लग रही है क्या और यह बोलकर उसने ब्लैंकेट खींच लिया और मेरी लोअर में बड़ा सा तंबू बना हुआ देखा और शर्माने लगी फिर बोली यह खड़ा क्यों है मैंने बोला आज तुम्हें देखकर कुछ हो रहा है और उसकी आंखों में चमक आ गई जैसे कोई खजाना मिल गया हो…

मैंने पूछा क्या कभी अपने बॉयफ्रेंड के साथ सेक्स किया है उसने हां बोला फिर एक तो सेकंड चुप रहने के बाद वह बोली पर मजा नहीं आता उसका बहुत छोटा है इसी पर मैंने उससे पूछा तो उसके साथ क्यों हो वह बोली की लोकेश(उसका bf)मुझे बहुत प्यार करता है और मैं उसी से शादी करूंगी फिर वह चुप हो गई अब मैं बहुत गर्म हो गया था हम दोनों अगल-बगल में ही बैठे थे उसकी नजर मेरे तंबू पर थी और आंखों में एक अलग सी चुदासी जैसे मानो कह रही हो आओ मुझे खा जाओ मुझसे रहा नहीं गया..

मैंने अपना एक हाथ आराम से उसकी जांघ पर रखा और धीरे से पूछा तो कैसे बुझाती हो अपने प्यास को हम दोनों की आंखों में वासना डोल रही थी दोनों के चेहरे लाल थे बस कौन पहल करें इस बात का इंतजार था तो वह बोली कि लखनऊ मैं उसके और भी दोस्त हैं जो उसे खुश करते हैं पर दिल्ली मैं ऐसा कोई मिला नहीं उसके इतना बोलते ही मैंने सीधे अपने होंठ उसके होठों से मिला दिए और उसे कसकर पकड़ लिया…

उसने बिना किसी प्रतिरोध के मेरे होंठों को चूसना शुरू कर दिया हम दोनों ही पागल हो रहे थे फिर मैं बोला अब तुम्हें किसी की जरूरत नहीं होगी और एक दूसरे को जल्दी से जल्दी नंगा कर रहे थे कपड़े उतरने के बाद हम दोनों ने अपना होश हवास खो दिया और एक दूसरे के शरीर पर टूट पड़े मानो एक दूसरे को खा ही जाएंगे मैं अचंभित था की इतनी शांत दिखने वाली लड़की के अंदर वासना का ऐसा तूफान भी हो सकता है फिर मैंने उसके 34 इंच के बड़े-बड़े चूचक को मचलना शुरू किया और उसने कहराना शुरू किया वह मेरा लौड़ा देख कर पागल हुए जा रही थी शायद उसने इतना बड़ा पहली बार देखा था फिर वह बोली जल्दी से डाल दो अपने इस मोटे लंड को मेरी चूत में बहुत टाइम से प्यासी हूं..

मैंने जल्दबाजी ना करते हुएं पहले उसकी गर्दन और चूचियो को खूब चूसा व चाटा उसकी छोटी सी चूत को उंगलियों से टटोला और हम दोनों 69 की पोजीशन में आ गए क्या बताऊं क्या मीठी चूत थी उसकी यार मजा ही आ गया और चूसने मैं तो उसका कोई जवाब नहीं था जैसे प्रोफेशनल हो फिर हम दोनों से रहा नहीं गया और मैंने दरिया में डुबकी लगा दी चूत में लंड डाल दिया उसने काफी टाइम से सेक्स नहीं किया था तो उसे शुरू में थोड़ा दर्द हुआ वह बोली आराम से कर बहनचोद…

मैं उसके मुंह से गाली सुन कर और ज्यादा उत्तेजित हो रहा था फिर मुझे कुछ नहीं सूझा और मैं ताबड़तोड़ झटके मारने लगा वह भी पागलों की तरह चिल्लाने लगी हां मजा आ रहा है आअअअअहा अअअहा आहहहह कुछ देर तक झटके मारने के बाद हमने पोजीशन चेंज की और डॉगी स्टाइल मैं आ गए। उसे कुतिया बनाकर पीछे से चूत मारने मैं बड़ा मजा आ रहा था उसकी बड़ी सी गांड़ को मैं कभी नहीं भूल सकता..

मैंने उसकी गांड़ पर चपेट लगा कर लाल कर दी थी जो मुझे और ज्यादा पागल बना रही थी।हम दोनों ने ही काफी टाइम से सेक्स नहीं किया था तो हमने काफी देर तक अलग-अलग पोजीशन में सेक्स किया कभी वह मेरे ऊपर कभी मैं उसके ऊपर उसने इतना बड़ा लौड़ा पहले कभी नहीं लिया था वह तो मानो भांग के नशें मैं सुन पडी हो बस अआआआहहह ऊऊहहहह की आवाजें निकाल रही थी। काफी देर तक चुदाई के बाद हम दोनों की वासना शांत हुई और हम वैसे ही निढाल हो कर सो गए।

और जब तक कोचिंग पूरी नहीं हुई तब तक हमारा जब मन करता हम चुदाई करते।

कहानी कैसी लगी मेल या इंस्टाग्राम पर मैसेज करके जरूर बताएं ताकि मुझे आगे कहानी लिखने का प्रोत्साहन मिले जिसमें कैसे मैंने एक कपल के साथ थ्रीसम किया यह लिखूंगा।

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