chodai stories Archives - Antarvasna https://sexstories.one/tag/chodai-stories/ Hindipornstories.org Wed, 15 Dec 2021 07:00:41 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.1 दीदी की रंगीन रातो का चौकीदार https://sexstories.one/didi-ne-chudwaya-ajnabi-se/ Wed, 15 Dec 2021 07:00:41 +0000 https://sexstories.one/?p=3508 अब पूरा माहौल बन गया था कमरे में सिर्फ़ बाजी की सिसकारियां और फच्च फक्च की आवाज़ मुझे रोमांचित करने लगी. मेरी बाजी मजे से लन्ड ले रही थी और मैं कुछ भी नहीं कर पा रहा था और करता भी क्या जब बाजी खुद मजे से लन्ड ले रही है..

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Didi ne chudwaya ajnabi se नमस्कार दोस्तों. मै दाशिन खान राजस्थान के छोटे से गांव का रहने वाला हूं मेरी उम्र 23 साल है सबसे पहले मै आपको अपने परिवार का परिचय करवा देता हूं मेरे घर में हम 6 भाई बहन है 3 बहने और 3 भाई मेरे से सब बड़े है सब की शादी हो चुकी है मेरे को छो़कर… यह कहानी मेरी सबसे बड़ी बाजी (दीदी) सुल्ताना की है जिसकी उम्र करीब 42 साल है शादी शुदा औरत है दिखने में भोली भाली और शरीफ लगती हैं व हमारे घर के पास में ही उनका ससुराल है जहां वो अपने पति के साथ रहती हैं उनके 4 बच्चे हैं

बाजी दिखने में सुंदर है ज्यादा गोरी तो नहीं फिर भी उनकी हाइट ज्यादा और थोड़ी मोटी होने से उनका फिगर कातिलाना है मोटी मोटी आंखे, बड़ी बड़ी चूचियां और जांघे और सबसे ज्यादा आकर्षित उनके बहुत बड़े बड़े चूतड जो चलने पर बहुत मस्त लगते थे ! गाव में औरतें घाघरा चोली ही पहनती हैं मेरी बाजी भी यही पहनती थी जीजाजी 45 साल के है और हट्टे कट्टे लगते हैं यहां गांव में ज्यादा तर का काम खेती का ही होता है हालाकि बाजी कभी कभी नौकरानी का काम भी कर लेती हैं बड़े घरो में खाना बनाने का

मै बचपन से ही अपनी बाजी के पास ज्यादा रहा हूं क्युकी हमारे गांव में स्कूल नहीं था इसलिए मैं उनके पास रहता था और पढ़ाई करता था जब मै छोटा था और मेरे में समझ कम थी तब रात को बाजी और जीजाजी रात को उठकर घर के अंदर जाते थे और 15-20 मिनट बाद वापस आ जाते थे बस मुझे बाजी की चूड़ीयो की और सिसकारी की आवाज आती थी पर मुझे उस समय पता नहीं था कि अंदर क्या होता था बाद में पता चला कि अंदर क्या होता था
खैर बात साल भर पुरानी है काफी समय बाद अब मै शहर में रहता था और पढ़ाई करता था जब भी मैं घर जाता तो पहले मै बाजी के घर जाता था क्यूकी शहर से जो बस जाती वो जीजा जी के गाव जाती आगे मै जीजाजी की बाइक लेकर घर जाया करता था

उस दिन भी मै शहर से रवाना हुआ जीजा जी को फोन लगाया तो बंद बता रहा था मैंने सोचा घर पर होगे तो आज उन्हें मिलकर सरपाइज देता हूं रात को करीब 10 बजे मै उनके गांव पहुंच गया बस स्टैंड से पास में ही उनका घर था तो मैं उनके घर की तरफ रवाना हुआ बाजी का घर बाकी घरों से सबसे अंतिम में है उनके घर में 2 गेट है एक सामने और एक पीछे

पीछे की तरफ गायो का बाड़ा बना हुआ है मै धीरे धीरे उनके घर के पीछे वाले हिस्से में पहुंचा था और सोचा जीजा जी कोल करू की आप आगे का गेट खोले मै आ रहा हूं

जैसे ही मै पीछे वाले गेट के पास पहुंचा मुझे बाजी के घर के पिछले रूम जो स्टोर रूम बना हुआ है उसमे से आवाज आई मै रुक गया थोड़ा रुका तो फिर लगा कोई आपस में बात कर रहे हैं मैंने सोचा कोन हो सकता है इतनी रात में वो भी स्टोर रूम में मै पीछे गेट से स्टोर रूम की खिड़की जो बाहर की तरफ थी उसके पास गया और आवाज सुनने लगा तो बाजी की आवाज सुनाई दी

आह धीरे से करो ना आज कोई नहीं है….

मुझे अजीब लगा दीदी और जीजू यहां क्यू आए हैं वो यह सब कुछ आगे वाले रूम में भी कर सकते थे ….

बाजी की आवाज फिर सुनाई दी आज सिर्फ बच्चे ही है और कोई नहीं आप आराम से करिए।।।

मेरा दिमाग खराब हो गया मतलब की बाजी के साथ जीजू नहीं थे कोई और था मै शोक हो गया पहले सोचा घर का आगे का गेट बजा देता हूं पर मै वही रुक गया और आवाज सुनने लगा कि बाजी के साथ और कोन है

मै बिल्कुल खिड़की के पास चला गया और अंदर देखने लगा तो लाइट बंद थी पर जो टूटी फूटी चारपाई थी उस पर बाजी लेटी हुई थी और एक आंदमी उस पर चढ़ा हुआ था शायद वो बाजी के चूचे दबा रहा था जिसे बाजी हल्की सी सिसकारी ले रही थी क्युकी चारपाई का मुंह खिड़की के पास में था इसलिए बाजी का सर बिल्कुल खिडकी से सटा हुआ था यानी कि बस कुछ ही दूरी पर मेरी बाजी को बजा रहा था.

थोड़ी देर तक बाजी की आवाज़ आई “अब राहा न जाता मुझे चोदो ना”

अब मुझे भी मजा आने लगा और मेरा हाथ अपने आप पैंट में चला गया और मैं अपने लन्ड को दबाने लगा

कुछ देर बाद पायल की आवाज सुनाई दी और वह बाजी को लिप किस करने लगा

अभी फिर उस आदमी की आवाज़ आई

‘मेरी जान तैयार हो’ उधर से बाजी की सिर्फ हम्ममम की आवाज़ आई

अचानक से बाजी जोर से चीखी

, मादरचोद आराम से मारेगा क्या’

उफ्फ आराम से उम्मम्मम हाय री’

अब बाजी की पायल की आवाज़ आने लगी और साथ में चारपाई की चू चू करती आवाज़

मेरा लन्ड पूरा तन गया था और मै भी मूठ मार रहा था

अब पूरा माहौल बन गया था कमरे में सिर्फ़ बाजी की सिसकारियां और फच्च फक्च की आवाज़ मुझे रोमांचित करने लगी

मेरी बाजी मजे से लन्ड ले रही थी और मैं कुछ भी नहीं कर पा रहा था और करता भी क्या जब बाजी खुद मजे से लन्ड ले रही है तो मुझे क्या दिक्कत

खैर कमरे से आती गालियों की आवाजे भी अब मुझे मधुर लगने लगी

बाजी- मादर चोद आराम से करो ना मै कोई रडी नही हूं

आदमी- साली हमेशा मैरा मोटा लन्ड लेती हो और बोलती हो रांड नहीं हो ।।।। ‘साली आज तेरी बुर् फाड़ दुगा” “साली रांड ले मेरा लन्ड पूरा”

बाजी बड़े मजे से लन्ड खा रही थी उसका छोटा भाई सिर्फ़ उसकी धमाके दार चुदाई देख रहा था

करीब 15 मिनट बाद उनका तूफान शांत हुआ वो आदमी बड़े जोर से चिल्लाता हुआ बाजी के भोसड़े में झड़ गया

उनके साथ मेरे लन्ड का पानी भी निकल गया और मैं धीरे से आगे वाले गेट पर आ गया और बाजी को आवाज़ लगाई

थोड़ी देर बाद बाजी बाहर आयी और मुझे देखकर बोली “अरे छोटे तू कब आया’

मैंने कहा “अभी आया हूं बाजी

बाजी थोड़ी सी डरी हुई थी और उसकी हालत थोड़ी थोड़ी खराब थी और होती थी क्यों नहीं अभी एक आदमी से जमकर अपना भोसड़ा मरवा के आय्यी हो

मै अंदर आ गया तो बाजी बोली “छोटू तुम रुको यहां मै तेरे लिए खाना लगा देती हूं”

और इतना कहकर वो पीछे वाले गेट की तरफ गयी शायद वो आदमी अभी पीछे वाले गेट पर ही था

मै भी उठा और पीछे की तरफ चला गया पीछे की तरफ देखा तो वहां कोई नहीं था थोड़ा और पीछे गया तो सामने बाड़े में उस आदमी ने मेरी बाजी को पकड़ रखा था क्युकी चांदनी रात थी इसलिए मुझे सब साफ दिख रहा था

एक लंबा सा और मोटा सा आदमी मेरी बाजी पकड़े हुए था मुझे तो बहुत आश्चर्य हुआ कि केसे इस सांड को बाजी ने अपने ऊपर लिया हुआ था

बाजी कराहा कर बोली “”जाओ जल्दी छोटा भाई आ गया है”

तो वो आदमी बोला “तो क्या हुआ भाई को भी देखने दे कि केसे उसकी बहन रात में अपनी चुदाई करवाती हैं”

इतना कहकर उसने मेरी बाजी के होठ अपने मुंह में ले लिया

मै मन हारकर रह गया कि कोई मेरी बाजी को मेरे सामने मसल रहा है और मैं सिर्फ़ देख रहा हूं

मै वापस आकर रूम में बैठ गया थोडी देर बाद दीदी वहां पर आई उसके बाल बिखरे हुए थे और गालों पर काटने जैसे निशान थे

मैंने कहा “बाजी इतनी देर कहा लगा दी”

तो वो बोली “छोटू गाय के बाड़े में सांड घुस गया था उसे निकालने गई थी”

मै मन में ही बोला “अभी तो वो सांड आपके ही ऊपर था”

खैर थोडी देर इधर उधर की बाते हुई और मै सो गया

सुबह बाजी ने उठाया और चाय दी

मैने चाय ली और कहा “बाजी जीजा जी कहा है

वो बोली”तेरे जीजा जी पास के गांव में गए है कुछ खेतो के काम से 2 दिन बाद आएगे”

मैने नहा धोकर खाना खाया और पीछे गेट पर आ गया और धूप सेकने लगा इतने में बाजी आ गई और हम बाते करने लगे

बाजी- “छोटे अब बता कैसी चल रही है तेरी पढ़ाई ”

मै बोला”बहुत ही अच्छी है बाजी”

Anjabi ne choda – टैक्सी ड्राइवर से बीवी को चुदवाया – भाग 2

बाजी- “घर कब जा रहे हो अम्मी के पास”

मै बोला”शाम को जीजा जी की बाइक लेकर जाऊगां”

पर वो बोली “बाइक तो तेरे जीजा जी ले गए”

थोड़ा सोचकर बोली “एक काम हो सकता है अपने स्कूल के सर जी पीछे ही रहते हैं उनके पास बाईक है तुम ले जाना और वापस आते हुए ले आना”

मैने कहा”तुम केसे जानती हो सर जी को” तो वह कहने लगी कि ‘स्कूल में प्रोग्राम होता रहता है इसलिए मै वहां खाना बनाने जाती हूं”

और बाजी ने सर जी को फोन किया और सब बात बताई तो वह बोला मैं आ रहा हूं 10 मिनट में

और थोडी देर बाद एक आदमी आया

अरे यह तो रात वाला ही आदमी है जो मेरी बाजी को चोदकर गया था

उसने कहा “यह लो चाबी छोटू शाम से पहले चले जाना यहां बहुत सर्दी है”

मुझे तो ऐसा लगा कि बो बोल रहा हो कि शाम से पहले चले जाना क्युकी रात में तेरी बाजी मेरे से भोसड़ा मरवाएगी

खैर वो बोलकर चला गया

और हम इधर उधर की बाते करने लगे

इतने में जीजा जी का कोल आया तो पहले बाजी बात करने लगी बाद में उसने मेरे बारे में बताया तो जीजाजी ने कहा कि यह यह तो बहुत ही अच्छा हुआ कि मुझे अभी 4-5 दिन और लग जाएंगे तुम छोटू को अपने पास में रहने देना
शायद बाजी को यह अच्छा न लगा और लगता भी केसे उसका प्लान खराब हो गया था

मै खुश हो गया और बाजी मायूस हो गई

मैने कहा “क्या हुआ बाजी”

वो बोली “कुछ नहीं”

ऐसे करके 2 दिन निकल गए

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मीटर बदलने का इनाम चूत चुदाई https://sexstories.one/meter-badalne-ka-inam-chut-chodai/ Tue, 16 Nov 2021 11:44:01 +0000 https://sexstories.one/?p=3319 क्या मुलायम होंठ थे मुझे उनके होंठों को चूसने में बड़ा मज़ा आ रहा था। फिर धीरे-धीरे मेरे हाथ उनके चूचों पर रेंगने लगे ओर उन्हें ब्लाउज के ऊपर से ही मसलने लगा। थोड़ी देर में मैंने उनके चूचों को उनके कपड़ों से आज़ाद कर दिया...

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Meter badalne ka inam chut chodai – मैं कोटा सिटी में रहता हूँ और बिजली विभाग में जॉब करता हूँ। बात कुछ समय पहले की है, जब मैं विभाग के एक उपभोक्ता का बिजली का मीटर लगाने गया था। कनेक्शन किसी सुनीता जैन महिला के नाम से इश्यू हुआ था। मैं मीटर ले कर अपनी बाइक से उनके घर पहुँचा तो वो घर के बाहर ही कुर्सी पर बैठी थीं।

मुझे देखते ही वो खड़ी हो गईं और मैं उनसे बोला – आपका बिजली कनेक्शन इश्यू हो गया ओर मैं आपके घर मीटर लगाने आया हूँ।

अब इधर पहले मैं आप लोगों को सुनीता जी के बारे में बता दूँ। मेरे अनुमान से उनकी उम्र 30-32 साल की होगी.. उनका रंग बिल्कुल साफ़ था और चूचे तो उनके बड़े ही मस्त थे। उनके जिस्म का साइज़ शायद 34-30-36 के आस-पास
था। जिस वक्त मैं उनके घर गया था उस वक्त ब्लाउज तो उन्होंने बिल्कुल खुले गले का पहना हुआ था… जिसके कारण उनके चूचे मुझे साफ़ दिखाई दे रहे थे और उन चूचों की घाटी की गहराई तो देखने लायक थी।

कुल मिला कर ऊपर वाले ने उनको बड़ी फ़ुर्सत से बनाया था। शायद उन्होंने मुझे पकड़ लिया था कि मेरी नज़र उनके चूचों पर थी। फिर वे मुझे अपने घर में मीटर लगाने के लिए बोलीं। मैं उनका मीटर लगा रहा था तो मेरी नज़र बार-बार उनके चूचों पर ही जा रही थी।

मेरी इस हरकत पर वो मुस्कुरा रही थीं। थोड़ी देर में मैंने उनका मीटर लगा दिया। उसके बाद उन्होंने मुझे अन्दर बैठने के लिए बोला। मैं जाकर एक सोफे पर बैठ गया। थोड़ी देर बाद वो चाय लेकर आईं और झुक कर कप में चाय डालने लगीं। इस कारण मुझे उनके बड़े-बड़े चूचों के सम्पूर्ण दर्शन हो रहे थे।

उनको मस्त चूचों को देखते ही मेरा लंड तो पैन्ट के अन्दर ही तंबू हो गया था और सुनीता जी ने भी इसे भाँप लिया था।

वो मेरे पास आकर बैठ गईं और मुझे चाय देते हुए बोलीं – आपको मेरे घर पर नया मीटर लगाने का इनाम तो देना ही पड़ेगा।

ऐसा कहते हुए उन्होंने मेरा लंड पैन्ट के ऊपर से ही पकड़ लिया और उसे सहलाने लगीं। मुझे ऐसी उम्मीद नहीं थी कि वो ऐसा करेंगी। फिर भी उनकी तरफ से ग्रीन सिग्नल मिलते ही मैं तो उनके ऊपर टूट पड़ा। मैं अपने होंठों से उनके होंठों का रसपान करने लगा। क्या मुलायम होंठ थे मुझे उनके होंठों को चूसने में बड़ा मज़ा आ रहा था। फिर धीरे-धीरे मेरे हाथ उनके चूचों पर रेंगने लगे ओर उन्हें ब्लाउज के ऊपर से ही मसलने लगा। थोड़ी देर में मैंने उनके चूचों को उनके कपड़ों से आज़ाद कर दिया।

Sexy Chut Chodai story सेक्सी भाभी के साथ सेक्स का गर्म मजा

सुनीता जी ने काले रंग की ब्रा पहन रखी थी.. जिसमें से उनके गोरे-गोरे चूचे चमक रहे थे। मैंने उसको भी निकाल फेंका और उनके एक मम्मे को पकड़ कर पागलों की तरह चूसने लगा। मैं एक को चूसता और दूसरे को मसलता..

इस तरह करते हुए मुझे 15 मिनट के ऊपर हो गए थे और सुनीता जी अपनी मस्ती में अपने चूचों को मसलवाने का मज़ा ले रही थीं और बड़बड़ा रही थीं, ‘ओर मसलो.. और ज़ोर-ज़ोर से दबाओ इन्हें… सारा दूध निकाल दो इनका…’

मैंने देर ना करते हुए हम दोनों के बाकी के कपड़े भी उतार दिए। अब हम पूरी तरह नंगे थे। फिर सुनीता मेरा लंड अपने मुँह में लेकर उसे लॉलीपॉप की तरह चूसने लगीं। उस समय मेरे पूरे शरीर में हाई-वोल्टेज का करंट दौड़ रहा था।वाकयी में सुनीता जी लंड चूसने में माहिर थीं। उस समय मेरे मुँह से मज़े में अजीब-अजीब सी सिसकारियाँ निकल रही थीं। थोड़ी देर में ही मेरा जिस्म अकड़ने लगा और सुनीता जी मेरा पूरा वीर्य गटक गईं।

अब बारी मेरी थी..

मैंने उनको बिस्तर पर लिटाया और उनके जिस्म को चूमने लगा। थोड़ी देर बाद जैसे ही मैंने उनकी चूत के दाने को अपनी ज़ुबान से चाटा तो वो एकदम से अपनी गाण्ड मटकाने लगीं। फिर तो मैं उनकी चूत को रस ले-ले कर चूस और चाट
रहा था। अब तो मैं एक तरह से अपनी ज़ुबान से उनकी चूत चोद रहा था।

सुनीता जी अपनी गाण्ड उचका-उचका कर अपनी चूत चटवा रही थीं।

वो बोलीं- अब देर ना करो और अपना लंड मेरी चूत में पेल दो.. क्योंकि अब मुझसे बर्दाश्त नहीं हो रहा है।

मैंने उनकी टाँगों को अपने कन्धों पर रखा और लंड के टोपे को चूत के मुँह पर टिका कर एक ज़ोर का धक्का लगाया और मेरा लंड सुनीता जी की चूत की गहराइयों में ‘गच्छ’ की आवाज़ के साथ उतरता चला गया।

जैसे ही मेरा लंड उनकी चूत में गया.. उन्होंने अपने पैरों का घेरा मेरी कमर पर बना लिया। मेरे लंड के धक्के लगातार उनकी चूत को चोद रहे थे। चूत गीली होने की वजह से लंड चूत से ‘फ़चक.. फ़चक..’ की आवाजें आ रही थीं।

सुनीता जी अपनी पूरी मस्ती से चुदवा रही थीं और मेरे लंड के हर धक्के का जवाब वो अपनी गाण्ड उचका कर दे रही थीं। फिर करीब 20-30 धक्कों के बाद उनका जिस्म अकड़ने लगा और चूत से फॅक-फॅक की आवाजें आने लगीं। थोड़ी देर बाद मेरे लंड ने भी अपना लावा उनकी चूत में उड़ेल दिया।

फिर हम दोनों के जिस्म थोड़ी देर के लिए किसी चुंबक की तरह चिपक गए। फिर हमने अपने-अपने कपड़े पहन लिए।

वो मुझसे बोलीं – ये तुम्हारे मीटर लगाने का इनाम था।

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