bhai behan ki chudai kahani Archives - Antarvasna https://sexstories.one/tag/bhai-behan-ki-chudai-kahani/ Hindipornstories.org Wed, 21 Jul 2021 10:06:01 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.1 एक भाई की दो हॉट बहने https://sexstories.one/bhai-ki-do-hot-bahne/ Wed, 21 Jul 2021 10:04:36 +0000 https://sexstories.one/?p=3997 हैल्लो दोस्तों, मेरे बारे में आप सभी पहले से ही जानते है, क्योंकि में भी आप सभी की तरह अब तक ना जाने कितनी कहानियों के मज़े ले चुका हूँ और आज की मेरी इस ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हैल्लो दोस्तों, मेरे बारे में आप सभी पहले से ही जानते है, क्योंकि में भी आप सभी की तरह अब तक ना जाने कितनी कहानियों के मज़े ले चुका हूँ और आज की मेरी इस कहानी से पहले भी मैंने अपनी घटना को आप सभी की सेवा में हाजिर किया था. दोस्तों में फिर भी अपनी कहानी को शुरू करने से पहले अपना परिचय दे देती हूँ.

मेरी उम्र 22 साल है और में अभी एक कॉलेज से बी.कॉम की पढ़ाई कर रही हूँ और आज में बहुत दिनों के बाद अपनी एक सच्ची घटना को लिखने जा रही हूँ. दोस्तों ऐसा इसलिए हुआ, क्योंकि में आज कल पढ़ाई में बहुत व्यस्त रहती हूँ इसलिए मुझे लिखने का समय नहीं मिलता, लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं है कि मैंने सेक्सी कहानियों को पढ़ना बंद कर दिया है. अब भी में आप लोगों की घटनाओ को पढ़कर मज़े जरुर करती हूँ. दोस्तों में आज आप सभी को अपनी एक सच्ची घटना बताने जा रही हूँ, उस खेल में मुझे भी बहुत मस्त मज़ा आया और आज आप सभी को भी जरुर मज़ा आएगा ऐसा मेरा मन कहता है और अब शुरू करते है. दोस्तों यह बात उन दिनों की है जब मेरे पेपर के बाद कुछ दिनों की छुट्टियाँ चल रही थी और इसलिए में अपने घर में ही थी.

फिर मुझे दो दिन के बाद पता चला कि मेरी चचेरी बहन जिसका नाम सुमन है, उसकी उम्र 20 है वो हमारे घर आने वाली है और वो मेरे साथ ही कुछ दिन रहेगी. दोस्तों वो रिश्ते में मेरे मामा जी की लड़की थी, लेकिन उसको मिले हुए मुझे करीब तीन चार साल हो चुके थे और इस बीच हम दोनों कभी नहीं मिले. फिर वो लोग रविवार के दिन ही हमारे घर आ गए और सुमन भी उनके साथ ही थी, लेकिन में उसको इतने दिनों के बाद मिलने की वजह से पहचान भी नहीं सकी. दोस्तों वो दिखने में बहुत ही सुंदर थी, इसलिए में उसकी तरफ बड़ी आकर्षित थी, क्योंकि उसका वो गोरा बदन बड़े आकार के एकदम गोलमटोल बूब्स मेरे पूरा ध्यान अपनी तरफ खीच रहे थे.

अब हम दोनों ने एक दूसरे की तरफ मुस्कुराते हुए बड़े ही प्यार से हालचाल पूछने के बाद बैठकर बहुत सारी बातें की मुझे उसके साथ बैठना बातें करना बहुत अच्छा लगा और इसलिए मुझे पता ही नहीं चला कि इतनी जल्दी रात भी हो गई. फिर हम दोनों ने साथ में बैठकर खाना खाया, मुझे उसका व्यहवार बात करने का तरीका बड़ा पसंद आया और कुछ देर के बाद रात को वो मेरे कमरे में सोने के लिए आ गयी और उसने उस समय मेक्सी पहनी हुई थी. दोस्तों मैंने भी उस समय मेक्सी पहनी हुई थी, वो बहुत हॉट सेक्सी नजर आ रही थी और बार बार मेरी नजर उसके बदन को घूरने लगी थी. अब हम दोनों बातों ही बातों में बहुत अच्छी तरह से खुल चुके थे, इसलिए अब हम बातें हंसी मजाक करने लगे थे.

में : सुमन यार एक बात तो तुम मुझे सच सच बताओ क्या तुम्हारा कोई बॉयफ्रेंड है?

सुमन : हाँ है ना यार और वैसे आजकल यह सभी का होता है.

में : अच्छा तो यह बात है.

सुमन : और तुम्हारा है कि नहीं वो भी तो तुम मुझे बताओ?

में : हाँ यार मेरा भी है.

सुमन : अच्छा मतलब कि तुम भी पीछे नहीं हो.

में : अच्छा ठीक है, अब तुम मुझे सच सच एक बात बताओ क्या कभी तुमने उसके साथ कुछ किया है?

सुमन : मतलब वो नहीं ऐसा मैंने कुछ भी नहीं किया.

में : सच में.

सुमन : हाँ मैंने नहीं किया, लेकिन क्या तुमने किया है?

में : सच बताऊँ तो हाँ मैंने उसके साथ कई बार किया है.

सुमन : ओह क्या तुम सच कह रही हो? अच्छा यह बताओ कि वो सब करने में कैसा लगता है?

में : बहुत अच्छा लगता है और बहुत मज़ा भी आता है.

सुमन : अच्छा ऐसा है, लेकिन क्या वो सब करने से डर नहीं लगता?

में : जब उस काम को करने में मज़ा आने लगता है, तो उसके बाद बिल्कुल भी डर नहीं लगता.

सुमन : अच्छा मुझे लगता है कि उस काम को करने में बहुत मज़ा आता है यह बात मुझे तुम्हारे चेहरे से पता चल रही है.

में : हाँ तुमने ठीक पहचाना, मेरी ब्रा का नंबर 34 इंच है और तुम्हारा क्या आकार है?

सुमन : मेरी ब्रा का आकार 32 इंच है.

में : वैसे यार तेरा पिछवाड़ा बहुत अच्छा है.

सुमन : हाँ आपका भी बहुत अच्छा है.

अब मेरा मन करने लगा कि अगर बॉयफ्रेंड नहीं है तो क्यों ना में अपनी बहन के साथ ही मज़ा ले लूँ? और में अब यह बात अपने मन में सोचकर उत्साहित होकर उसको उकसाने लगी थी.

में : यार क्या कभी तुमने किसी के साथ चुम्मा किया है?

सुमन : नहीं यार मुझे यह सब करने से बहुत डर लगता है.

में : अच्छा तुम्हारा मन तो यह सब करने के लिए करता ही होगा ना? मेरा तो बहुत दिल करता है.

सुमन : हाँ, लेकिन में क्या करूँ मुझे बहुत डर भी लगता है?

में : क्या तुम वो सब करना चाहोगी?

अब वो मेरे मुहं से यह बात सुनकर एकदम चकित होकर मेरी तरफ बहुत ध्यान से देखने लगी थी, लेकिन वो चुप ही रही शायद उसके मन में यह काम करने की इच्छा थी.

में : सुमन चलो आज हम दोनों एक दूसरे को मज़ा देते है, चलो आ जाओ सुमन आज हम दोनों अलग दुनिया में चले जाते है

दोस्तों अब तब तो गरम हो चुकी थी और अब उसका भी चेहरा मेरे साथ यह बातें करके पूरा लाल हो गया था और अब में अच्छी तरह से समझ सकती थी कि उसका मन दो तरफ जा रहा है और वो मन ही मन सोच रही है कि में क्या करूं हाँ करूं या ना? मैंने उसको अपने हाथों में उसके चेहरे को जकड़ लिया और इससे पहले कि वो कुछ बोलती, मैंने उसके होंठों पर अपने होंठ रख दिए.

फिर उसी समय में जब उसके होंठों को चूस रही थी तब मैंने महसूस किया कि उसने भी अब जोश में आकर मुझे कसकर जकड़ लिया है और इस वजह से में प्रसन्न होकर उसके होठों को कस कसकर चूस रही थी और मेरी बाहों में जकड़े होने की वजह से उसके बूब्स भी मेरे बूब्स से दबे हुए थे और रगड़ खा रहे थे. फिर मैंने बिना देर किए उसकी मेक्सी को खोल दिया और बिना समय खराब किए मैंने तुरंत ही उसको अपने सामने नंगा कर दिया और देखा कि वो बिना कपड़ो के बहुत ही अच्छी लग रही थी. अब मैंने अपनी मेक्सी को भी उतार दिया और अब हम दोनों एक दूसरे के सामने बिल्कुल नंगे हो चुके थे और अपनी चकित नजरों से हम एक दूसरे के नंगे गोरे बदन को लगातार घूरकर देख रहे थे, लेकिन अब वो थोड़ा सा शरमा रही थी.

अब में उसके पास गयी और मैंने तुरंत ही उसके एक बूब्स को अपने मुहं में भर लिया और फिर में गपगप करके चूसने लगी, जिसकी वजह से उसको भी अब बहुत मज़ा आने लगा था. अब उसने मज़े और जोश के मिलेजुले असर की वजह से हिम्मत करके मेरे बूब्स की निप्पल को मसलना शुरू कर दिया और मैंने खुश होकर उसका साथ देते हुए उसके दोनों बूब्स को बार बार बूब्स को अपने हाथ से दबाते हुए चूसा और उसकी उठी हुई निप्पल को छोटे बच्चो की अपने मुहं में भरकर अच्छी तरह चूसा और चूस चूसकर एकदम लाल कर दिया.

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Priti Ki Behan Ko Bhi Chod Diya https://sexstories.one/girlfriend-ki-behan-ko-choda/ Sun, 14 Feb 2021 05:21:07 +0000 https://sexstories.one/priti-ki-behan-ko-bhi-chod-diya-xxx-storiez/ में दीप भोपाल का रहने वाला हूँ। में आपके लिए लाया हूँ एक और नई कहानी, मैंने अपनी पहली कहानी मे प्रीति के बारे मे बताया था कि मौका मिलते ही हम दोनो सेक्स करते ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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में दीप भोपाल का रहने वाला हूँ। में आपके लिए लाया हूँ एक और नई कहानी, मैंने अपनी पहली कहानी मे प्रीति के बारे मे बताया था कि मौका मिलते ही हम दोनो सेक्स करते थे। उसके घर पर, यह बात दिसम्बर की है। प्रीति ने अपने जन्मदिन पर मुझे अपने घर बुलाया और हम सभी ने उसकी फेमली और मैंने मिलकर जन्मदिन मनाया और रात का डिनर भी उनके घर ही किया। Girlfriend ki behan ko choda

अब मुझे वहाँ पर रात बहुत हो चुकी थी। Girlfriend ki behan ko choda

अब में जाने को तैयार हो गया था, लेकिन इस खास मौके पर ना प्रीति ने मुझे ना मैंने उसे कोई अनमोल गिफ्ट नही दिया था।

इसलिए हम दोनो मौका तलाश कर रहे थे, लेकिन हमे मौका नहीं मिला था, तभी प्रीति के पापा ने कहा कि आज तुम यही पर रुक जाओ ना हम सब रात को यहाँ पर बहुत मजे करेंगे और आंटी भी कहने लगी थी, तो मे भी रुक गया अब मुझे लगा रात मे तो मौका मिलेगा ही। अब रात के करीब 11 बज रहे थे और हम सभी एक साथ बैठ कर गेम खेलने लगे थे। प्रीति मम्मी के पास जा कर बैठ गई और वो मेरे ठीक सामने थी, उसने उस दिन सूट पहन रखा था। उसमे वो बहुत ही सेक्सी लग रही थी। मेरे पास उसकी दीदी और पापा थे उसके पापा तो गेम के साथ साथ ड्रिंक का भी मजा ले रहे थे।

तभी मेरे मन मे एक प्लान आया.. Girlfriend ki behan ko choda

कि क्यों ना सबको कुछ नशा करा दूँ ताकि सब सो जाए और हम दोनो सेक्स कर सके, मैंने अपना मोबाइल लिया और उसमे मैसेज टाइप किया कि मेरा मन हो रहा कि कुछ स्पेशल हो हमारे बीच लेकिन तुम्हारी फेमेली तो कुछ नहीं करने देगी तो तुम चाय बनाने के बहाने जाओ और तुम्हारे घर मे जो नींद कि गोलिया है, उन्हें सबकी चाय मे एक एक गोली डाल दो और मैंने मैसेज लिखकर प्रीती को मैसेज भेज दिया और मैंने आंटी से कहा कि आंटी ठंड है। थोड़ा हॉट पी लिया जाए मुझे चाय या कॉफी बहुत पसंद है आंटी मान गई थी।

फिर वो चाय बनाने जाने लगी थी. Girlfriend ki behan ko choda

तभी प्रीति ने कहा कि में बना लाती हूँ और वो चली गई और हम सब गेम खेलते रहे, थोड़ी देर मे प्रीति वहाँ पर चाय लाई और अपने हाथो से सबको दी। उसकी दीदी ने चाय ली और कहा कि वो अब सोएगी नींद आ रही है और वो तो अपने रूम पर चली गई थी और फिर हम सभी ने चाय पी और थोड़ी देर मे आंटी को भी नींद आने लगी थी और वो अंकल और बेटे को लेकर सोने चल दी और मुझको प्रीति के पड़ोस वाला रूम दिया गया था। जो कि ऊपर था प्रीति ने नीचे लाइट बंद की और हम ऊपर जाने लगे। मैंने उसके ऊपर जाते ही पकड़ कर ज़ोरदार किस दिया और बूब्स दबाने लगा था और वो भी ज़ोर से किस कर रही थी। तभी प्रीति ने कहा कि तुम अपना रूम खुला रखना मे थोड़ी देर मे आती हूँ। दीदी को चेक कर लूँ कि वो सोई है कि नहीं।

में अपने रूम मे जाकर सिर्फ़ अंडरवियर मे कंबल के अंदर लेट गया.. Girlfriend ki behan ko choda

सोचा कि थोड़ी देर मे तो मजे लूँगा ही तो ड्रेस क्यों चेंज करूं और फिर थोड़ी देर मे प्रीति आ गई, उसने भी लोवर और टी-शर्ट पहन रखी थी। उसके बूब्स हिल रहे थे, उससे पता चल रहा था कि उसने ब्रा नहीं पहनी है। शायद वो चुदने के लिये तैयार थी। अब मैंने भी देर ना करते हुए उसको अपने बिस्तर में खींचा और ज़ोर ज़ोर से किस करते हुए उसकी गर्दन को चूमने लगा और टी-शर्ट के अंदर हाथ डालकर बूब्स को दबा रहा था और प्रीति भी अपने हाथ से मेरा लंड पकड़ कर सहला रही थी और अब मैंने जल्दी से उसकी टी-शर्ट निकाल दी और लोवर को भी निकाल दिया और उसकी टांगे फैला कर अपना लंड उसकी चूत पर थोड़ी देर सहलाया और चूत के अंदर लंड डाल दिया था।

अब उसने थोड़ी आवाज़ की और मुझसे लिपट गई ठंड बहुत थी, लेकिन हमारी बॉडी भी बहुत गर्म थी, मैंने उसके होठो को चूसना शुरू किया और अपने हाथो से उसकी पीठ सहला रहा था और बीच बीच मे उसके चूतडों को भी नोच रहा था। जिससे वो तड़प उठी वो भी मेरे सर पर हाथ फेरती कभी मेरे लंड को अपने एक हाथ से बाहर से सहलाती और मेरे होंठो पर भी काटती लेकिन उसकी चूत से पानी बहुत निकल रहा था। अब वो बहुत कामुक हो चुकी थी और लंड भी उसकी चूत में फूच्छक् फूच्छक् कि आवाजें कर रहा था।

अब हम दोनो बहुत जोश मे थे.. Girlfriend ki behan ko choda

फिर मैंने उसको धीरे से कहा कि जन्म दिन मुबारक हो और कहा कि आज में तुमको नये अंदाज मे चोदता हूँ और मैंने उसको डॉगी स्टाइल के लिए तैयार किया और पीछे से लंड डाल कर ज़ोर ज़ोर से चोदने लगा था। मैंने अपने हाथ से उसके बूब्स सहला रहा था उसने मेरी एक ऊँगली अपने मुहं मे ले ली और चूसती रही और इस बीच वो दो बार झड़ भी चुकी थी और मैंने भी आज उसकी चूत की गहराईयो मे अपना सारा वीर्य छोड़ दिया था।

वो मजे से मजे ले रही थी। उसने चुदने के बाद मेरा सर अपनी गोद मे रखकर बात कर रही थी, कि अचानक उसकी दीदी कमरे में घुस आई और गेट बंद कर दिया। अंदर से हम दोनो एकदम नंगे थे। उसकी दीदी के सामने मेरा झुका हुआ लंड था और प्रीति की बहती हुई चूत। तभी हम दोनो ने जल्दी से कम्बल उठाकर लपेट लिया और कुछ नहीं बोले उसकी दीदी ने कहा कि ये सब क्या है।

तुम दोनो तो बहुत गंदे हो। Girlfriend ki behan ko choda

हम दोनो बहुत डरे और उसने हमे बहुत भला बुरा कहा और मम्मी पापा को सब कुछ बताने की धमकी देने लगी। अब तो हम दोनो और भी ज्यादा डर गये थे। कुछ थोड़ी देर बाद उसकी दीदी थोड़ा नर्म पड़ी और कहने लगी कि मे समझती हूँ, कि सेक्स के लिये ज़्यादातर लोग बहक जाते है और तभी मैंने दीदी से पूछा कि दीदी आपको नींद नहीं आई दीदी ने मुस्कुराते हुए कहा कि अगर में सो जाती तो तुम दोनो कि ये सीन चुदाई कैसी देख पाती और ना ही तुम दोनो कि चोरी पकड़ी जाती। मैंने दीदी से कहा कि हमने तो चाय मे नींद कि गोली मिला दी थी और फिर भी आप जाग रहे हो। दीदी ने कहा बच्चो तुम अभी बहुत छोटे हो और मैंने तुम्हे प्रीति को मैसेज भेजते देख लिया था और वो मैंने चाय फेंक दी थी।

में सोने का नाटक कर रही थी। प्रीति तो एकदम खामोश हो गई थी। जैसे साप सूंघ गया हो प्रीति ने धीरे से कहा कि दीदी प्लीज पापा मम्मी को मत बताना प्लीज़, दीदी ने पहले तो उसको कुछ जवाब नहीं दिया, फिर कहा कि एक शर्त पर प्रीति ने कहा कि क्या, दीदी ने उसके पास जा कर उसके कान मे कुछ कहा प्रीति का चेहरा देखने लायक था और प्रीति ने भी दीदी को कान में ही जवाब दिया और दीदी रूम से चली गई। मैंने प्रीति से पूछा कि तुमने क्या कहा तो बोली सीक्रेट है, नहीं बताउंगी पांच मिनट मे उसकी दीदी फिर से रूम मे आ गई और कमरे का दरवाजा बंद करके प्रीति से बोली चलो आगे बात करते है और प्रीति ने मेरा कम्बल उठा दिया और मेरे लंड को हाथ मे लेकर सहलाने लगी थी, मुझे तो शरम आ रही थी।

लेकिन उसकी दीदी भी मजे ले रही थी, दीदी के गाल लाल हो गये थे मे भी समझ गया कि दीदी भी सेक्स करना चाहती है। मेरा लंड भी खड़ा हो गया था और मे भी जोश मे आ गया था। में उठकर दीदी के पास जाकर बोला कि दीदी लंड दूर से लेना है या मे आपकी मदद करूं और वो हंस पड़ी, अब मैंने उनको पकड़ कर बेड पर ले आया और उनका लोवर और कुरती निकाल दी। दीदी मेरे सामने खुली हुई एक किताब कि तरह पड़ी थी। उनकी पेंटी गीली थी स्किन का कलर साफ था, गौरी खाल चमक रही थी, उनके बूब्स थोड़े छोटे थे लेकिन शेप बहुत प्यारी थी, अब मैंने दीदी के होठो पर अपनी ऊँगली से सहलाना शुरू कर दिया था।

लेकिन दीदी तो पहले से ही गर्म थी और वो ज़ोर से सिसकियां भरने लगी थी। Girlfriend ki behan ko choda

अब प्रीति भी कहने लगी में दीदी कि चूत चूसना चाहती हूँ और तभी वो दीदी कि पेंटी उतार कर चूत पर टूट पड़ी उसने जब उनकी पेंटी उतारी तो मैंने देखा कि बहुत गर्म चूत थी। बाहर तो पिंक कलर की थी उस पर अंदर का छोटा गोल दाना और वो भी बहुत रसीली चूत बिल्कुल क्लीन शेव फूली हुई चूत थी। अब प्रीति ने तो दीदी कि चूत को ऐसे चाटना शुरू किया कि जैसे कोई आईस का गोला चूस रहा हो। मैंने तो दीदी के होठो पर अपने होंठ रखकर उनको तड़पाने लगा था। अब उनकी भूख और बड गई तो उन्होने ही मुझको पकड़ कर किस करना शुरू कर दिया था और मे उनकी ब्रा का हुक खोलने में लगा और मैंने उनकी ब्रा अलग कि तो बूब्स कि शेप देखकर तो मेरा मन हुआ कि अभी चोदकर सारा वीर्य बूब्स पर डाल दूँ।

अब मे दीदी के बूब्स के निप्पल को चूसने लगा था.. Girlfriend ki behan ko choda

कि तभी दीदी झटका मारते हुए झड़ गई और प्रीति का सारा मुहं पानी से भीग गया था। प्रीति उठकर दीदी के साथ किस करने लगी थी, दोनो बहने एक दूसरे के बूब्स भी दबा रही थी और किस भी कर रही थी तभी मैंने कहा हम लोग आज ग्रुप सेक्स करेगे और वो दोनों तैयार हो गई और हम सेक्स करने लगे। फिर हम लोग ऐसे ही शुरू हो गये थे कि में कभी प्रीति कभी दीदी के बूब्स दबाता और मजे लेता, दीदी की चूत का पानी बहुत ही ज्यादा था और थोड़ी देर के बाद हम एक एक करके झड़ते गये और हम सभी एक दूसरे का पानी पी गये थे। तभी दीदी ने मुझसे कहा कि मुझे तुम्हारा लंड चूसना है और तभी मैंने अपना लंड उनके मुहं मे डाल दिया था। मे प्रीति कि चूत चूसते हुए उसके बूब्स दबाने लगा था और प्रीति दीदी के बूब्स दबा रही थी।

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अब मेरा लंड खड़ा हुआ तो मैंने दीदी को कहा कि चलो अब में आपको फिर से चोदता हूँ। दीदी पीठ के बल लेट गई फिर मैंने उनकी टाँगे फैलाकर अपना लंड उनकी चूत पर रगड़ने लगा। उनकी चूत बहुत गर्म थी। प्रीति ने भी उनके मुहं मे अपनी चूत दबा दी। दीदी जीभ डाल कर चूत को चोद रही थी, तभी मैंने दीदी की चूत मे ऊँगली डालने को जैसे तैयार हुआ, तभी दीदी ने कहा कि तुम तो सीधी चूत फाड़ दो, मुझे बहुत सालो से लंड नहीं मिला है। अब तुम लंड डाल दो इस चूत मे, अब ज़्यादा मत तड़पाओ और अब मैंने उनकी चूत के छेद पर लंड टिकाया और पूरी ताक़त के साथ एक धक्का मारा। मेरा लंड दीदी की चूत को फड़ता हुआ अंदर चला गया पूरा का पूरा, लेकिन दीदी दर्द के कारण चीखने लगी थी।

तभी प्रीति ने अपनी चूत उसके होंठो पर अड़ा दी और उसके बूब्स को ज़ोर से मसलने लगी थी, कि तभी दीदी के तो आँसू निकल आए थे और मे भी लंड अंदर डालकर पागल हो रहा था और मेरा आज लंड भी आग की भट्टी मे जलने लगा था। उसकी चूत बहुत गर्म थी, मैंने भी प्रीति के होठो को चूसना शुरू कर दिया था तभी प्रीति कहने लगी कि तुम आज दीदी को चोदो, देखो ये बेचारी दीदी कितनी तड़पती होगी बिना सेक्स के। तभी मैंने भी धीरे धीरे धक्के मारने शुरू कर दिए थे।

तभी कुछ मिनट बाद ज़ोर ज़ोर से धक्के मारने लगा था और दीदी भी चूतड़ उठाकर मेरा पूरा साथ दे रही थी। दीदी बीच बीच मे प्रीति की चूत पर हल्के से काट रही थी। प्रीति भी दीदी के मुहं पर कई बार झड़ गई थी, लेकिन दीदी तो सारा पानी पी गई उसकी चूत का। में भी मजा ले रहा था और दीदी को उसके होंठ नोच कर तड़पा कर चोद रहा था। दीदी चुदाई के दौरान दो तीन बार झड़ भी गई थी, मेरा लंड दीदी के पानी से पूरी तरह भीग गया था, एक दो बार लंड चूत से बाहर भी निकल गया था चुदाई के दौरान, में भी बहुत देर चोदने के बाद दीदी की चूत मे ही झड़ गया था।

फिर दीदी के ऊपर किस करते हुए लेट गया था। Girlfriend ki behan ko choda

प्रीति भी मेरे पेट पर आकर नंगी लेट गई ठंड के महीने भी थे और हम तीनो नंगे थे। लेकिन हमे ठंड नहीं लग रही थी। अब मैंने धीरे से दीदी से पूछा कि दीदी जब आपको चुदवाना ही था तो ज्यादा क्यों बहाने किये, तभी दीदी ने नॉटी स्माईल मे कहा पागल स्टाईल है यार। मैंने कहा दीदी आप कमरे से बाहर क्यों गये थे। दीदी ने बताया कि मे प्रेग्नेंट ना हो जाऊ इसलिए गोली खाने चली गई थी, क्योंकि मे तुम्हारा वीर्य चूत मे ही लेना चाहती थी और उस रात मैंने बारी बारी से दीदी और प्रीति को दो दो बार और चोदा, फिर मे जब भी उनके घर जाता तो ग्रूप सेक्स या एक एक करके दोनो को चोदता था। प्रीति को दीदी के सामने और दीदी को प्रीति के सामने। मैंने उन दोनों को कई बार चोदा वो दोनों आज भी मेरा हमेशा साथ देती है।

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पूस की रात में बहन का साथ https://sexstories.one/poos-ki-raat/ Sat, 14 Nov 2020 15:15:34 +0000 https://sexstories.one/?p=1495 हैल्लो दोस्तों, में भूपेन हूँ और मेरी उम्र इस समय 23 साल है और में अपनी बड़ी बहन अर्चना के साथ रहता हूँ। मेरे पिताजी एक सरकारी ऑफिस में नौकरी करते थे और उनकी मौत ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हैल्लो दोस्तों, में भूपेन हूँ और मेरी उम्र इस समय 23 साल है और में अपनी बड़ी बहन अर्चना के साथ रहता हूँ। मेरे पिताजी एक सरकारी ऑफिस में नौकरी करते थे और उनकी मौत के बाद मेरी बहन अर्चना, जो कि उस समय ग्रेजुयेशन कर रही थी कि तभी उसको नौकरी में रख लिया गया, वो शहर मैं अकेली रहती थी और में उसके साथ पिछले 10 साल से रह रहा हूँ। मेरी माँ अभी भी गाँव में ही रहती है, क्योंकि हम लोगों की बहुत सी ज़मीन ज़ायदाद गाँव में है तो उसकी देखभाल के लिए माँ वहीं रहती है। poos ki raat

मेरी उम्र इस समय 23 साल है। में एक हट्टा-कट्टा लड़का हूँ और मेरी कद काटी भी अच्छी है। मेरी हाईट करीब 5 फीट 8 इंच, वजन 70 किलोग्राम और गोरा रंग है। में दिखने में खूबसूरत हूँ। मेरी बहन करीब 5 फुट 2 इंच की है, गोरी, भरा बदन और लंबे बाल, काली खूबसूरत आँखें है। में क्लास 5वीं में था, जब बहन के साथ रहने आया था। poos ki raat

फिर देखते-देखते ही समय बीत गया और में क्लास 12वीं में आ गया और मेरा खूब भरा पूरा शरीर हो गया और साथ में जवान लड़को वाली हरकतें भी आ गयी थी। अब में अक्सर दोस्तों के साथ बैठकर ब्लू फिल्म देखता और नंगी किताबें देखता और कभी-कभी तो रात में पॉर्न बुक्स घर भी ले आता, जिसमें चुदाई के सीन मुझे बहुत पसंद आते थे।

अब में घंटो देखता रहता और सोचता कि चोदने वालों की क्या ज़िंदगी है? तो मेरा लंड बेवजह ही खड़ा हो जाता, जो बैठने का नाम ही नहीं लेता और जब बैठता तो मेरा अंडरवेयर भीग गया होता। फिर में अपनी इस हरकत को छुपाने के लिए अपना अंडरवेयर खुद धोता और सूखने डाल देता और मेरी बहन को कानों कान कोई खबर ना होती।

फिर जब मेरी बहन ऑफिस में होती तो में उनकी ब्रा पहनकर उसमें कपड़ा भरकर खुद चूची समझकर दबाता और सेक्स का आनंद लेने की कोशिश करता और बहन की पेंटी, ब्रा को सूंघने का मज़ा लेता। अब यह सब हरकतें करने के बाद भी में कॉलेज में अच्छे नंबर लेकर पास होता था, तो मेरी बहन को मुझसे कोई शिकायत नहीं होती थी और फिर एक दिन गजब हो गया। में क़िसी दोस्त से किताब माँगकर लाया था और वापस देने के लिए कॉलेज बैग में ले गया, लेकिन दोस्त छुट्टी पर था, तो में वो किताब वापस घर ले आया।

अब वो किताब कॉलेज बैग में पड़ी थी, तो में रविवार को क्रिकेट खेलने पार्क में चला गया, तो घर पर मेरी बड़ी बहन ने मेरा बैग चैक कर लिया और बैग में से वो किताब निकाली। अब मुझे पता नहीं दीदी ने वो किताब देखी कि नहीं, लेकिन जब में घर आया तो दीदी का मूड उखड़ा हुआ था और वो मुझे बहुत घूर-घूरकर देख रही थी।

फिर में डर गया और मेरे बैग को देखने को भागा.. poos ki raat

तो मैंने देखा कि वो किताब गायब है तो मेरे चेहरे का रंग उड़ गया। फिर दीदी ने पूछा कि क्या हुआ? तो मैंने कहा कि कुछ नहीं, तो वो किताब मेरी तरफ फेंकते हुए बोली कि यही तलाश रहे होना। फिर मैंने कुछ नहीं कहा और अपना सिर झुकाकर खड़ा हो गया। दोस्तों आप ये कहानी हिंदी पोर्न स्टोरीज डॉट ऑर्ग पर पढ़ रहे है l

अब मुझे पता था कि मुझे सजा मिलेगी और मिली और उन्होंने मेरा बैग उठाकर फेंक दिया और बोली कि निकल जा घर से, में तेरी शक्ल नहीं देखना चाहती। अब में चुपचाप खड़ा था और दीदी को देख भी नहीं पा रहा था कि दीदी ने मेरी बाजू को पकड़ा और घर से बाहर का दरवाजा दिखाकर दरवाजा बंद कर लिया। फिर में धीरे से बोला कि दीदी अच्छा कल में माँ के पास चला जाऊंगा, लेकिन आज में घर से बाहर ही रहूँगा।

ये करीब दोपहर के 2 बजे की घटना है. poos ki raat

तो में घर के सामने पार्क में जाकर बैठ गया और वही भूखा प्यासा बैठा रहा। फिर किसी तरह से दिन निकला और शाम हुई, तो शाम को अचानक से बरसात शुरू हो गयी, लेकिन मैंने भी ठान रखा था कि अब में घर नहीं जाऊंगा तो में बरसात में बैठा रहा और भीगता रहा, लेकिन घर नहीं गया।

फिर इतने में मेरे घर का दरवाजा खुला तो मैंने देखा कि दीदी मेरी तरफ ही आ रही थी और उसने मुझे कसकर पकड़ लिया और बोली कि इतनी बरसात हो रही है तो तू बरामदे में ही आकर बैठ जाता। फिर मैंने कहा कि नहीं दीदी अब मेरा ठिकाना मेरा गाँव है, जहाँ मेरी माँ है जो मुझे ग़लती करने पर समझा देती है, लेकिन ऐसे घर से नहीं निकालती और भूखा तो बिल्कुल नहीं रहने देती।

फिर यह सुनकर मेरी दीदी मुझसे चिपक गयी और रोने लगी और मुझसे बोली कि अरे पगले में कोई तेरी दुश्मन थोड़ी ही हूँ। मुझे बुरा लगा तो मैंने बोल दिया, अब घर चल वहीं बात करेंगे, पहले गीले कपड़े बदल ले, तो में दीदी के समझाने पर घर आ गया।

फिर दीदी ने मेरे कपड़े निकाले और मुझे बदलने को बोला और गर्म कॉफी पिलाई और बोली कि अब बता तू यह सब क्यों करता है? यह सब करने की तेरी कोई उम्र थोड़ी है। फिर में बोला कि दीदी मेरे मन में सौ सवाल उठते है, क्यों मेरा लंड सुबह खड़ा हो जाता है? और लाख बैठाने पर भी नहीं बैठता, क्यों उसमें से सफेद रंग का पानी सा कुछ निकलता है? और में क्यों ठंडा पड़ जाता हूँ?

Sexy bhabhi – भाभी की जवानी बनी मेरी परेशानी

यह सवाल तो में अब आपसे पूछ नहीं सकता तो दोस्तों से पूछता हूँ और दोस्त जो जवाब देते है, वो आपके सामने है। मेरे दोस्त यही बताते है कि यह सब शरीर की भूख है जिसे एक औरत ही इस तरह ठंडा कर सकती है और वो सब में देखता हूँ और सोचता हूँ। अब आपके पास इन बातों का कोई जवाब है?

फिर दीदी चुप हो गयी और बोली कि में क्या जानू इन बातों को? मैंने तो अपने मन को मार लिया है और में यह सब नहीं सोचती हूँ। फिर में बोला कि आपको सोचना पड़ेगा दीदी, इस तरह तो आप घुट- घुटकर मर जाओगी। आप देखो और सोचो दीदी में छोटा ज़रूर हूँ, लेकिन जिस्म की भूख को समझने लगा हूँ।

अब दीदी की आँखों में आँसू थे और वो मुझसे बुरी तरह चिपक गयी और बोली तू छोटा ज़रूर है, लेकिन तू बातें बड़ी-बड़ी करता है, आ खाना खा ले और फिर बेड पर लेटकर बातें करेंगे। फिर मैंने कहा कि ठीक है दीदी और फिर मैंने मुँह हाथ धोकर खाना खाया और फिर थोड़ी देर तक टी.वी देखने के बाद हम लोग बिस्तर पर चले गये। हम सोते तो रोज़ ही साथ थे, लेकिन आज कुछ नई बात थी।

अब दीदी कुछ सोच रही थी और मेरे हाथ में वो पॉर्न बुक थी। फिर मैंने दीदी को बताया कि कुछ ज़रूरते ऐसी होती है जो सिर्फ़ शरीर ही पूरी कर सकते है, इसमें अपने मन को मारने जैसी कोई बात नहीं है। poos ki raat

फिर दीदी बोली कि अब यह सब में अगर छोटे भाई से करूँ, तो समाज क्या कहेगा? तो में बोला कि समाज क्या हमको रोटी देने आ रहा है? आप जो बात है खुलकर कहो। फिर दीदी कुछ नहीं बोली और मुझसे चिपककर बोली कि जो तेरा मन हो वो कर, अब में तेरे हवाले हूँ।

दोस्तों में जीत गया और दीदी से ज़ोर से चिपक गया और दीदी को किस करने लगा। अब में दीदी के शरीर से ज़्यादा से ज़्यादा मज़ा लेना चाहता था तो मैंने धीरे से उनका ब्लाउज खोल दिया, तो उनके आम जैसे बूब्स बाहर निकल आए, दीदी ने शायद ब्रा नहीं पहन रखी थी। फिर मैंने उनके एक बूब्स को अपने मुँह में डाला और चूसने लगा, तो दीदी के शरीर में कुछ हरकत हुई और वो सिसकियाँ लेने लगी। फिर मैंने उनका दूसरा बूब्स अपने एक हाथ से पकड़कर दबाना शुरू कर दिया।

अब दीदी की हालत बुरी होने लगी थी और वो ज़ोर से मेरे साथ चिपक गयी। फिर मुझे ऐसा लगा कि वो मेरे शरीर में घुस जाना चाहती है। फिर मैंने धीरे से उनका पेटीकोट खोल दिया और उसे उनके पैरों के नीचे खिसका दिया। अब मैंने उनके ब्लाउज को भी निकाल दिया था, तो वो बिल्कुल नंगी हो गयी और बोली कि मेरे तो सब कपड़े निकाल दिए और खुद ने सारे के सारे कपड़े पहन रखे है।

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फिर में बोला कि तो आप निकालो, तो वो बोली कि मुझे शर्म आती है। फिर मैंने कहा कि अब किस बात की शर्म? तो वो धीरे से मेरी पेंट की चैन खोलने लगी, तो मैंने उनकी मदद की और मेरी टी-शर्ट उतार दी। फिर मुझको नंगा करके उन्होंने मेरे लंड पर अपनी निगाह मारी और अपनी उंगली की तरफ इशारा करके बोली कि यह इतना छोटा सा हुआ करता था, अब देखो कितना बड़ा हो गया है?

तो में उनकी चूची पर अपना एक हाथ रखकर बोला कि दीदी यह भी तो कैरेम बोर्ड की तरह सपाट होते थे, अब देखो कितने बड़े बूब्स हो गये है? तो वो शर्मा गयी और बोली कि तुमसे कोई नहीं जीत सकता, बताओ अब आगे क्या करना है मेरे भाई? तो में बोला कि आराम से करेंगे बहन। दोस्तों फिर इसके आगे मैंने उसे खूब चोदा और आज तक भी चोद रहा हूँ ।

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दीदी के ख़ुशी के लिए https://sexstories.one/didi-ke-khushi-ke-liye/ Tue, 14 Jul 2020 15:15:45 +0000 https://sexstories.one/?p=602 हैंल्लो फ्रेंड्स .. मेरा नाम अजीत हैं और मेरी उमर १९ साल हैं!मेरी फेमिली में मम्मी पप्पा और मेरी दो बहने आशा और आंशु हैं!आशा दीदी और में जुड़वाँ हैं पर दीदी मुझसे 7मिनिट बड़ी ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हैंल्लो फ्रेंड्स .. मेरा नाम अजीत हैं और मेरी उमर १९ साल हैं!मेरी फेमिली में मम्मी पप्पा और मेरी दो बहने आशा और आंशु हैं!आशा दीदी और में जुड़वाँ हैं पर दीदी मुझसे 7मिनिट बड़ी हैं और मुझसे बड़ी दीदी की शादी को 3 साल हो चुके हैं। पर अभी तक वो माँ नहीं बनी और दीदी की सास उसे बहुत बुरा भला बोलती हैं और उसे बांज कहती हैं पर मेरे जीजू का स्वाभाव दीदी के प्रति बहुत अच्छा हैं और वो दीदी को बहुत प्यार करते हैं। behan ki chudai

पिछले महीने जब आशादीदी हमारे घर रहने को आई और एक दिन जब मम्मी घर पर नहीं थी और आंशु स्कुल गयी हुई थी और घर में में और दीदी दोनों थे तब दीदी मेरे पास आई कहने लगी अजीत मुझे तुमसे बात करनी हैं!मेने कहा बोलो, तो कहने लगी की अजीत क्या तू चाहता हैं की तेरी दीदी ऐसे ही अपनी सास की बाते सुनती रहैं जब की मेरा कोई कसूर नहीं हैं।

मेने कहा दीदी तुम क्या कहना चाहती हो में कुछ समजा नहीं, दीदी ने कहा अजीत बात ऐसी हैं की मुझ में कोई कमी नहीं तेरे जीजू में कमी हैं!और वह मुझे माँ नहीं बना सकते, मेने कहा में क्या कर सकता हु? तो दीदी ने कहा की जो तेरे जीजू करते हैं।

Bhai behan ki chudai – भैया के साथ सुहागरात मनाई

दीदी की बात सुनकर में दीदी को कहा की यह क्या कह रही हो? तुम मेरी दीदी हो और मेरी बात सुन कर वह रोने लगी और अपने रूम में चली गयी, में दीदी के पीछे रूम में गया और बोला दीदी प्लीज़ रो मत में आपको रोते नहीं देख सकता, दीदी ने कहा तो तु मेरी बात क्यों नहीं मानता?

दीदी की बात सुन कर में चुप हो गया और दीदी कहने लगी अजीत प्लीज़ मेरी बात मान लो अगर कोई बहार वाला कोई मेरे साथ सब कुछ करे और में पकड़ी जाऊ तो बदनामी होगी और अगर तू करे तो कोई डर नहीं हैं और फिर दीदी मेरे पेंट के ऊपर से मेरा लंड सहलाने लगी और मेरा लंड खड़ा होने लगा।

फिर दीदी ने मेरी पेंट खोली और अंडरवियर में हाथ डाला और मेरा लंड पकड़ लिया और मेरा हाथ अपने चुचे पर रख दिया, मेंरा लंड एकदम अकड गया।

फिर दीदी ने लंड बहार निकाल दिया और 9इंच लम्बा और 3 इंच मोटा लंड देख कर ओह्ह आऔउ करने लगी और मेरे लंड को चूम लिया, और कहा आह क्या मस्त लंड हैं कह कर मेरा लंड अपने मुह में ले लिया और चूसने लगी अब दीदी के लंड चूसने से मुझे मजा आने लगा और मेने भी दीदी के चुचे मसलने लगा और दीदी की शर्ट ऊपर से उतार दी।

अब दीदी ब्रा में थी और फिर दीदी ने मेरा लंड मुह से निकाल कर बेड पर लेट गयी और मुझे अपने ऊपर खीच लिया। मेने दीदी की सलवार का नाडा खोल दिया और सलवार निकाल दी।

अब दीदी मेरे सामने ब्रा पेंटी में थी और में उसका बदन देख कर गर्म हो गया, फिर दीदी ने वह भी उतार दिया और नंगी हो गयी और मुझे भी दीदी ने नंगा कर दिया। और अपना दूध पिने को कहा। में दीदी का एक चुचा अपने मुह में ले कर चूसने लगा और एक चुचे को मसलने लगा,।

Bhai behan ki chudai ka kamuk kissaपति ने रण्डी बनाया

फिर दीदी ने मेरा लंड अपने मुह में ले लिया और मुझे अपनी चूत चाटने को कहा, में भी उसकी चूत चाटने लगा और हम 69 पोज में आ गए, मुझे चूत चाट कर बहुत मजा आ रहा था।

फिर दीदी ने लंड मुह से निकाल दिया और अपनी टाँगे फैला कर बेड पर लेट गयी और मेरा लंड अपनी चूत के सुराख़ पर रख कर मुझे धक्का देने को कहा, और मेने धक्का मारा तो आधा लंड अंदर चला गया और दीदी दर्द से आह्ह उऔऔ उऔ कर रही थी और में अपना लंड निकालने लगा तो दीदी ने रोकते हुए कहा की लंड मत निकालो और में रुक गया।

फिर दीदी अपने चुत्तड उठा कर मेरा लंड चूत में लेने लगी और मेने फिर एक जोरदार धक्का मारा और अपना सारा लंड दीदी की चूत में डाल दिया और फिर दीदी की चूत में अंदर बहार करने लगा, दीदी की चूत से बहुत पानी निकालने लगा। मेने दीदी को कहा दीदी चूत से इतना पानी क्यों निकल रहा हैं? तो दीदी ने कहा की आज पहली बार मेरी चूत की इतनी मस्त चुदाई हो रही हैं और बहुत मजा आ रहा हैं।

और यह बोलकर दीदी अपने चुतड उठा कर चुदती हुई आह उऔ ओह्ह हां हा हो अह ह्येस ह्स्श्स हहस ह ओह हहह करने लगी और कह रही थी की बहुत मजा आ रहा हैं और जोर से चोदो और में दीदी को जोर से चोदने लगा और मेरा वीर्य निकालने को हो गया।

मेने कहा दीदी मेरा निकालने वाला हैं!behan ki chudai

दीदी ने कहा मेरी चूत में निकाल दो और मेने निकाल दिया और दीदी बोली मजा आ गया और जब मेने अपना लंड निकाला तो चूत से खून निकल रहा था दीदी अपनी चूत देख कर बोली वाह मेरे अजीत आज तेरे वीर्य से मेरी चूत भर गयी।

मैंने पुछ दीदी जीजू के लंड से वीर्य नहीं निकलता क्या? तो दीदी ने कहा उनके लंड से तिन चार बूंद वीर्य निकलता हैं। तभी तो में माँ नहीं बनी और अब तेरा वीर्य मेरी बच्चेदानी में जायेगा और तू अपने बच्चे के मामा बनेगा. फिर हमने कपड़े पहन लिए और उसके बाद में रोज रात को दीदी को चोदने लगा और जब दिन में मौका मिलता में दीदी की चुदाई कर देता.

और 25 दिन बाद दीदी ने कहा की वह माँ बनने वाली हैं। और में यह सुन कर एकदम खुश हो गया और दीदी ने जीजू को फोन कर के अपने माँ बनने की बात बताई.

और फिर दीदी ने यह बात घर में बताई तो सारे घर वाले बहुँत खुश हो गये और फिर आंशु दीदी को लेकर मार्केट गयी.

Behan ki chudai – दोस्त की गर्लफ्रेंड को पटाकर चोदा

और करीब २ घंटे बाद दीदी और आंशु मार्केट से आई और में जब रात को दीदी के पास गया और दीदी को चूमने लगा तो दीदी ने मुझे गोद में बिठाकर कहा आआओ मेरे राजा भैया तूने मुझे माँ बनाकर मेरी जिंदगी को खुशियों से भर दिया हैं।, अब में तुजे क्या गिफ्ट दू, मैंने कहा दीदी तुम खुश हो यही मेरे लिए गिफ्ट हैं।.

तो दीदी ने कहा की में तो तेरे लिए एक खुबसुरत गिफ्ट लायी हुँ. मैंने कहा क्या? फिर दीदी ने कहा की थोडा सब्र करो और फिर मेरे लंड को चूमा और फिर अपने मुह में ले कर चूसने लगी और चूसती रही.

मैंने कहा दीदी छोडो मेरा लंड वीर्य निकालने वाला हैं। दीदी ने इशारे से मुझे कहा के निकाल दे और में अपना वीर्य दीदी के मुह में छोड़ने लगा और दीदी मेरा वीर्य पि गयी और फिर मेरा लंड चाट कर मेरे लंड पर लगा हुँआ वीर्य चाट गयी.

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फिर दीदी बेड से उठी और सिंदूर ले कर मुझे बिठाकर मेरी टांगो के बिच में बैठ गयी एयर मेरा लंड अपने मुह में ले कर मुझे अपनी मांग भरने को कहा.

मेंने कहा दीदी में आपकी मांग कैसे भर सकता हुँ.. behan ki chudai

दीदी मुझे गाली देते हुँए बोली साले भेन्चोद अपनी बहन को चोद कर उसकी कोख तो भर सकता हैं। और मांग नहीं भर सकता. मैंने दीदी के हाथ से सिंदूर ले कर दीदी की मांग में भर दिया और दीदी ने कहा के मेरा असली पति तो तुम हो और फिर उठकर बाथरूम में गयी और कुछ देर बाद जब वापस आई तो दीदी के साथ आंशु भी थी.

में दीदी के साथ आंशु को देख कर हैरान हो गया तभी दीदी ने कहा मेरे अजीत यह हैं। तेरा गिफ्ट और अब तू मेरे साथ आंशु को भी चोद और दीदी ने जट से मेरा लंड पकड़ लिया और आंशु को मेरा लंड दिखाते हुँए बोली देख आंशु इसी लंड ने मेरी लाइफ बना दी वरना में पूरी जिंदगी बांज ही रहती और फिर दीदी ने मेरा लंड आंशु के हाथ में दे दिया और आंशु ने मेरा लंड पकड़ लिया और आगे पीछे करने लगी और मैंने भी आंशु के चुचे पकड़े.

फिर दीदी ने एक एक कर के आंशु के कपड़े उतार दिए.. behan ki chudai

में आंशु का गोरा मस्त और गदराया जिस्म देख कर मस्त हो गया और मैंने जट से आंशु के चुचे पकड़ लिए मेरे चुचे पकड़ने से आंशु मस्ती में आह हां उऔउ जहह करने लगी और मेरा लंड पकड़ कर मेरी मुठ मारने लगी और दीदी मेरा लंड चूसने लगी.

फिर जब मैंने आंशु की चूत देखि तो आंशु की चूत दीदी की चूत से भी टाईट थी और में अपनी ऊँगली आंशु की चूत में डालने लगा पर मेरी उंगली आंशु की चूत में नहीं गयी. आंशु ने दीदी को कहा दीदी मेरी चूत में अब भैया की उंगली भी नहीं जा रही फिर उनका बड़ा लंड कैसे मेरी चूत में जायेगा. दीदी ने कहा के तू फिकर मत कर, जैसे यह मेरी चूत में गया हैं। वैसे ही तेरी चूत में भी जायेगा.

फिर दीदी ने आंशु को बेड पर लेटा दिया और उसकी दोनों टाँगे खोल कर मेरा लंड उसकी चूत के होल पर रख कर बोली अजीत रुक और फिर एक कंडोम निकाल कर मेरे लंड पर लगाने लगी, पर वह नहीं लग रहा था क्योंकि मेरा लंड कंडोम से बड़ा था तो फिर मैंने दीदी को कहा की दीदी अब क्या होगा?

Behan ki chudai – सुहागरात पर पहली बार चुदाई

दीदी ने कहा तू चिंता मत कर, में गर्भ ना रहने वाली टेबलेट भी लेकर आई हुँ, और आंशु का सर अपनी गोद में रख कर मुझे आंशु की चूत में लंड डालने को कहा और मैंने आंशु की चूत पर अपना लंड रखा और एक धक्का लगाया और मेरा लंड का टोपा आंशु की चूत में फस गया और मैंने एक धक्का लगाया और मेरा लंड आंशु की चूत में चला गया और आंशु दर्द से चिल्लाने लगी.

दीदी ने आंशु के मुह पर अपने हाथ रख दिए और बोली की अजीत अपना लंड आंशु की चूत से मत निकालना, मैंने कहा दीदी आंशु को बहुँत दर्द हो रहा हैं। और अगर इसके चिल्लाने से मम्मी पापा को पता चल गया तो दिदि ने कहा की में उन्हैं।ं दूध में नींद की टेबलेट मिला कर दे चुकी हुँ और अब वह ९ बजे से पहले नहीं उठने वाले हैं।.

और मुझे अपना बाकि लंड भी आंशु की चूत में डालने को बोली, और मेने फिर एक जोरदार धक्का मारा और अपना सारा लंड आंशु की चूत में डाल दिया और आंशु दर्द से चिल्लाने लगी पर दीदी का हाथ आंशु के मुह पर था और उसकी आवाज गले में ही अटक गयी, थोड़ी देर आंशु का दर्द कम हुँआ और उसे दर्द के साथ मजा आने लगा और में धीरे धीरे आंशु की चूत में धक्के देने लगा.

और आंशु भी अपनी गांड को ऊपर निचे कर के मजे लेने लगी, मेने भी अपनी स्पीड बढ़ा दी और जोर से आंशु को चोदने लगा आंशु भी अहह औउ उह उःह करने लगी और मेरा वीर्य निकालने को हुँआ और मेने दीदी को कहा दीदी मेरा निकलने वाला हैं।. दीदी ने कहा इसकी चूत में ही छोड़ दो और तभी मेरा लंड से वीर्य की पिचकारी आंशु की चूत में निकल गयी.

और फिर जब मेने आंशु की चूत से अपना लंड निकाला तो आंशु की चूत से खून निकला और मेने दीदी को कहा दीदी आंशु की चूत से वहुँत खून निकल रहा हैं।, दीदी ने कहा मेरे अजीत तेरे लंड से आंशु की चूत की सिल टूट गयी हैं। और इसलिए उसकी सिल टूटने से इतना खून निकल रहा हैं।, तुम चिंता मत करो.

फिर आंशु को ले कर बाथरूम में गयी और आंशु से चला भी नहीं जा रहा था कुछ देर बाद दीदी आंशु की चूत को साफ करने आई तो आंशु बहुँत खुश थी और फिर मेने दीदी को भी चोदा.

अब दीदी अपने पति यानि मेरे जीजू के पास हैं। behan ki chudai

और में रोज रत को आंशु की चुदाई करता हुँ और उसे गर्भ ना रहने की गोली खिला देता हुँ, ताकि वो माँ ना बन जाये.

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प्यारी दादी की चुदाई https://sexstories.one/www-indian-hot-didi/ Fri, 03 Jul 2020 05:29:06 +0000 https://sexstories.one/?p=915 हेलो दोस्तों मेरा नाम रतन है मेरी उम्र 18 साल है मेरे हाइट 5.8फिट है और दिखने में मैं गोरा और अच्छा दिखता हूं मैं 12वीं कक्षा में पढ़ता हूं और घर में है सब ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हेलो दोस्तों मेरा नाम रतन है मेरी उम्र 18 साल है मेरे हाइट 5.8फिट है और दिखने में मैं गोरा और अच्छा दिखता हूं मैं 12वीं कक्षा में पढ़ता हूं और घर में है सब मुझसे बहुत प्यार करते हैं मे मेरी मम्मी और पापा को लाडला हो और सबसे ज्यादा प्यार मुझे मेरे दादी करती है.. padhiye sexy chut aur moti gand wali hot indian didi ki mast www chudai ki kahani jisme unki choot ka baajaa baja diya maine.

हर किसी को बचपन से ही सेक्स की इच्छा और भूक रहते है. उसी तरह मुझे भी सेक्स की बहुत ही अच्छा और है. मैं मेरे दादी मां का बहुत लाडला हु वह मुझसे बहुत प्यार करती हैं.

Hot Indian WWW Kahani > जीजू ने ईशा की सेक्स की आग बुझाई

मेरी दादी मां का नाम सुष्मिता है उनकी उम्र 56 साल है. पर वो इतनी भी भुड़ी नहीं लगती क्योंकि उनका रंग बहुत हो गोरा है.

मैं पोर्न मूवी देखने में बहुत इंटरेस्ट रखता हूं और इसलिए मुझे में सेक्स की इच्छा बहुत रहती है. मैं बॉयज के कॉलेज में पढ़ते हो वहां पर लड़कियां नहीं है और मैंने स्कूल भी ऑल बॉयज के ही स्कूल में किया था इसलिए मेरा दूर-दूर तक से लड़कियों से संबंध नहीं था..

हमारे घर में मेरी मां पापा दादी और मैं रहते हैं राम सब खुश रहते हैं जैसे-जैसे मेरी उम्र बढ़ती जा रही थी पोर्न ज्यादा देखने लगा और मुठ ज्यादा मारेगा लगा पर मुझे संतुष्टि नहीं मिल पाती थी मुझे चुत को चोदने की लालसा लग गई थी..

मैंने पहली बार एक रंडी को चोदा था पर उसमें इतना भी मजा नहीं आया क्योंकि रंडियां सिर्फ चुत देती है बाकी का प्यार के लिए भी उन्हें पैसे देने पड़ते हैं और वह भाव खाती है..

एक दिन मेरी मां और पप्पा किसी के शादी में गए और मैं और दादी मां घर पर ही थे हमने खाना खाया और टीवी देखने लगे बस कुछ देर टीवी देखने के बाद हम सोने गए जब मैं मेरे रूम में गया तब मुझे मेरे पापा का फोन आया की वे आज घर नहीं आने वाली यह बात बताने के लिए मैं दादी मां के पास गाया..

Hot Indian WWW Kahani > बगलवाली मस्त पड़ोसन – भाग २

मेरी दादी मां साड़ी पहनती है उनकी हाइट 5.6 फुट के आस-पास है जो दिखने में थोड़ी मोटी पर बहुत दुलारी है मेरे मन में उनके प्रति संभोग की भावना कभी भी नहीं थी बस जब मैंने उन्हें बताया की मम्मी और पापा घर नही आने वाले दोनों ने मुझे अपने साथ सोने को कहा मैंने भी कहा ठीक है और मैं उनके साथ ही सो गया..

रात को मुझे पोर्न देखने की आदत है और दादी के सोने के बाद पोर्न देख रहा था फोन देखने से शरीर में उत्तेजना बढ़ती है मेरा 7 इंच का लंड पूरी तरह से खड़ा हो गया मैं पूरी तरह से गर्म था मैंने सोचा कि चलो मुट्ठ मार ली जा और मैं बेड पर ही मुठ मारने लगा जब मैं झड़ने वाला था तो मैं बाथरूम में गया और वहां झड़ गए बाद में में सो गया था.

सुबह में जो उठा तू दादी मां भी उठ रही थी मैंने उनसे कहा कि आप नहा लो मैं आपके लिए नाश्ता बनाता हूं तो उस तरह वो नहाने गई. मेरी दादी मां बाथरूम में थी मैं उनसे यह पूछने के लिए बाथरूम में गया कि नाश्ते में क्या बनाऊं तो मैंने देखा कि मेरी दादी मां सिर्फ ब्लाउज और पेंटी मे थी और वहां से वह टॉयलेट जाने लगी तब उसने सिर्फ ब्रा और पेंटी ही पीनी थी मैं यह देख कर अचंभित कि मैंने मेरे जादू को दादी को पहली बार ऐसा देखा और मेरा लंड खड़ा हो गया मुझे मुठ मारने की बहुत इच्छा हो रही थी मैं झड़ना चाहता था इसलिए मैंने अपनी पैंट उतारी..

Hot Indian WWW Kahani > गांव की अनजान लड़की को चोदकर मां बनाया

मेरी दादी मां टॉयलेट में थी और मैं पूरा नंगा हो गया था मैंने सोचा की दादी मां मुझसे इतना प्यार करती है मेरे इतना ख्याल रखती है बचपन से उन्होंने मुझे खुद से जुदा नहीं होने दिया तो वह मेरा यह प्रॉब्लम तो समझ सकती हैं मैं पूरी तरह पागल सा हो गया था और अपना लंड हिलाते हुए टॉयलेट की तरह गया..

मेरी दादी मां टॉयलेट का दरवाजा लगन भूल गई थी यह बात मुझे समझ में आई मैं थोड़ी देर रुका जब मुझे फ्लैश की आवाज सुनाई दी तो मैं धीरे से अंदर चला गया मेरा लंड पूरी तरह से खड़ा था और मैंने देखा मेरी दादी मां का मुंह दीवार की तरफ था और उनकी पीठ मेरी तरफ थी मैंने 1 सेकंड भी देर न करते हुए..

मेरा लंड उनकी चुत में डालने लगा जब मेरा लंड उनकी चुत में था और जोर से चिल्लाने लगी क्योंकि उनकी उनकी चुत बहुत टाइट थी मैं उस वक्त बहुत गर्म था मेरे दिल की धड़कन जोरों से धड़क रही थी मैंने दो से तीन धक्के मारे और चुत में ही झड़ गया उनको कुछ भी समझ में नहीं आया था.

जब मैं उनसे अलग हुआ तो उनके चुत में से मेरा सारा पानी नीचे गिर रहा था और वह मुझे घूर के देखने लगी मैंने पहली बार दादी को मुझ पर गुस्सा होते हुए देखा था मैं वहां से तुरंत ही बाहर गया पता नहीं दादी को कैसा लगा होगा..

Hot Indian WWW Kahani > मौसी की चूत में मेरा लंड

मैंने उनके लिए उनका मनपसंद नाश्ता बना या वह नहा कर बाहर आई और मैं भी नहाने गया जब मैं नहा कर बाहर आया थोड़ा नाश्ता कर रही थी और मुझे अनदेखा कर रही थी मैंने भी उनको थोड़ा अनदेखा किया हूं और मेरे रूम में चला गया उस बात को सोचते सोचते मेरा लंड फिर से सख्त हो गया मैंने सोचा कि दादी से माफी मांग लेता हूं अगर उन्हें कोई एतराज नहीं तो फिर से चोद लूंगा..

मैं दादी के कमरे में गया उस वक्त वह बैठी थी मैं उनके पैरों के पास जाकर बैठा और उनसे माफी मांगने लगा पर वह कुछ बोल नहीं रही थी उन्हें ऐसा देखकर मुझे बुरा लगा पर जाने क्यों मेरी चोदने की उच्च इच्छा जग रही थी मेरा लंड पहले से ही सख्त था मैंने मन ही मन में ठान लिया की दादी को अगर सुबह की बात का कोई ऐतराज होता तो वह मुझसे जरूर कहती….

मैंने अपने सारे कपड़े उनके सामने उतार दिए और अपना लंड उनके मुंह में डालने लगा पता नहीं किस वह मेरा लोन लैंड जोरों से चूसने लगी शायद उन्हें मजा आ रहा था.

वह मेरा नाम 10 मिनट तक चूसते रहे मेरे मुंह से आहा की आवाजें निकल रही थी 10 मिनट बाद मैं उनके मुंह में ही झड़ गया और उन्होंने सारा पानी मुझे दिखा कर पीलिया और फिर से मेरा लंड चूसने लगी और मुझे पता था क्या दादी मां को चोदवाना है 2 मिनट बाद मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया लंड चूसते चूसते दादी मां ने मेरी गांड पर भी जीप डाली थी जिससे मुझे बहुत अच्छा लगा और मुझ में और उत्तेजना बड़ी..

Hot Indian WWW Kahani > झांटो के चंगुल में फंस गया

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बहन के साथ रंगरलियां https://sexstories.one/kamuk-kahaniya-mast-behan/ Thu, 09 Apr 2020 18:41:27 +0000 https://sexstories.one/?p=582 दोस्तो. काफी सालों से मैं और हिंदी चुदाई कहानियाँ पढ़ रहा हूँ। मेरा नाम गुड्डू है, मैं बिहार में रहता हूँ। मैं दिखने में स्मार्ट हूँ इसलिए घर और बाहर हर जगह थोड़ी तारीफ हो ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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दोस्तो. काफी सालों से मैं और हिंदी चुदाई कहानियाँ पढ़ रहा हूँ। मेरा नाम गुड्डू है, मैं बिहार में रहता हूँ। मैं दिखने में स्मार्ट हूँ इसलिए घर और बाहर हर जगह थोड़ी तारीफ हो जाती है। यह जो कहानी मैं सुनाने जा रहा हूँ मेरी पहली चूदाई की कहानी (kamuk kahaniya) है उम्मीद है कि आप लोगों को पसंद आएगी।

एक साल पहले गाँव में मेरे मामा की बड़ी बेटी की शादी थी, सब लोग आ रहे थे, मेरे अभी अभी एग्जाम खत्म हुए थे तो मैं भी जाने का प्रोग्राम बना लिया।

kamuk kahaniyaमेरे मामा की चार बेटी हैं जिनमें से मैं अभी तक सिर्फ दो को ही देखा था क्योंकि वो ज्यादा लखनऊ में रह कर पढ़ती हैं।

Kamuk Kahaniya – भीगी भीगी रात में

शादी का टाइम करीब आने लगा और मैं अपनी फैमिली के साथ वहां पहुंच गया। हमें देख कर सब बहुत खुश हुए। साथ ही मैं देखा कि एक लड़की ऊपर खड़ी होकर स्माइल पास कर रही है तो मैं भी उसको स्माइल पास कर दी और वो मुस्कुरा कर चली गई।

बाद में पता चला कि वो मेरे मामा की बेटी स्मिता थी। मैं जाकर उससे मिला,, दिखने में स्मिता काफी खूबसूरत है और काफी पॉर्नी भी,,

हमने थोड़ी देर बैठ कर बात की तो उसमे मुझे बताया कि उसने मेरे बारे में बहुत सुना था।

शाम हुई तो सब छुपा छुपाई खेलने लगे, थोड़ी देर बाद स्मिता ने आकर साथ खेलने के लिए बोला, मैं बहुत मना किया पर वो नहीं मानी और मुझे लेकर चली गई।

मैं घर के पीछे खेतों में छुपा हुआ था कि तभी वहां स्मिता आकर बैठी और बोली- मुझे अँधेरे से डर लगता है इसलिए मैं तुम्हारे साथ छुपूंगी।

Kamuk Kahaniya – स्कूल के लड़कों से चुदाई

मैं कहा- ठीक है।

तभी पीछे से उसने मेरी पीठ पर हाथ फेरना शुरू कर दिया, मैं समझा कि मजाक कर रही है। उसके बाद पीछे से उसने मुझे कस के पकड़ लिया और मेरी गर्दन पर पागलों की तरह किस करने लगी।

अपनी ममेरी बहन की कामुकता देख कर कुछ देर तो मुझे समझ नहीं आया कि करूं तो क्या?

पहले तो सोचा कि जब लड़की खुद ही चूदाई के लिए आ रही है तो मैं क्यों पीछे हटूं?

मैं मुड़ कर उसको किस करना शुरू कर दिया और वो बहुत मज़े से मेरा साथ देने लगी।

किस करते करते मैं उसकी बुबुस दबाना शुरू कर दी जो मेरे हिसाब से 34″ की होंगी। उसने टॉप के अंदर ब्रा नहीं पहनी थी इसलिए उसकी बुबुस काफी मुलायम लग रही थी दबाने में,,

तभी मामी ने खाने के लिए आवाज़ लगा दी और मेरे खड़े लंड पे हथौड़ा चल गया।

Kamuk Kahaniya – ऑफिस के लड़के मारी मेरी चूत

वो चली गई और मैं बाथरूम में जाकर उसके नाम की पहली बार मुठ मारी।

दो दिन ऐसे ही निकल गए, शादी को तीन दिन बाकी थे, मैं तो बस अब इसी सोच में था कि कब मुझे उसकी चूत चूदाई करने का मौका मिले।

वो रात भी बहुत जल्दी आई, मैं अकेला कमरे में लेटा हुआ फोन पर चैटिंग कर रहा था। लाइट नहीं थी, कमरे में एकदम अँधेरा था।

तभी स्मिता की आवाज़ आई- क्या मैं अंदर आ जाऊँ?

मैं- हाँ आओ स्मिता।

स्मिता- यहाँ क्या कर रहे हो अकेले?

मैं- मन नहीं लग रहा मेरा,, और कोई मन लगाने वाला है भी नहीं।

स्मिता- मैं हूँ न,, बोलो क्या करूँ तुम्हारे लिए?

मैं- जो उस रात को कर रही थी।

Kamuk Kahaniya – शादी में मेरी पहली चुदाई

वो शर्मा गई और जाने लगी, मैं तुरंत उसका हाथ पकड़ कर अंदर खींच लिया और दरवाज़ा बंद कर दिया।

वो कहने लगी- कोई आ जायेगा यहाँ।

मैं बोला- इतने लोगों में यहाँ कौन आ रहा है?

उसने कुछ नहीं कहा।

मैं उसकी हाँ समझी और उसको बिस्तर पे लिटा दिया और किस करने लगा। वो भी मेरा पूरा साथ दे रही थी।

मैं सोच लिया था कि अगर आज इसकी चूत चूदाई नहीं कर पाया तो कभी मौका नहीं मिलेगा।

मैं तुरंत उसके कपड़े उतार दिए और उसकी बुबुस को पागलों की तरह चूसने लगा, कामुकता वश वो सिसकारी लेने लगी, मैं अपने कपड़े उतार फेंके और उसके भी,, अब मैं उसकी बुबुस को चूस रहा था और उसकी चूत जिस पर एक भी बाल नहीं था, उसमें उंगली करने लगा।

Kamuk Kahaniya – चलती ट्रक में चूत और चूची का मज़ा

वो बहुत गर्म होने लगी और ज़ोर ज़ोर से सिसकारी लेने लगी, उसकी चूत के बारे में क्या बताऊँ दोस्तो,, एक मुलायम चूत फूली हुई चिकनी मक्खन की तरह,, मन कर रहा था कि खा जाऊँ उसकी चूत को,, लेकिन उसमें अभी लंड जो डाल कर उसकी चूदाई करनी थी ना,, इसलिए रुक गया।

मैं उसको अपना लंड चूसने को कहा, वो तुरंत राज़ी हो गई और बहुत प्यार से मेरे लंड को चूसने लगी। वो जिस तरह से लंड चूस रही थी, उससे लग रहा था कि इसने पहले भी चूदाई करवाई हुई है।

मैं उसकी गर्म चूत में अपना मुंह डाल कर चूसने लगा। ओहो,, क्या बताऊँ यार,, क्या मजा आ रहा था उसकी चूत को चूसने में,,

चूत को चूसते चूसते वो झड़ गई मेरे मुंह में,,

अब मेरेसे बर्दाश्त नहीं हो रहा था, मैं उसकी कमर के नीचे एक तकिया लगाया जिससे उसकी चूत मेरी लंड के पास आ गई, अब मैं लंड उसकी चूत पे रगड़ने लगा जिससे वो पागल हो गई, कहने लगी- भाई, अब मत तड़पाओ, जल्दी मेरी चूत में लंड डालो अपना।

Kamuk Kahaniya – मेरी सुहागरात की कहानी

मैं उसकी चूत के मुख पर लंड रख कर एक धक्का मारा और आधा लंड उसकी चूत में घुस गया, उसकी चीख निकल गई लंड घुसते ही,,

मैं उसका मुख बंद किया और एक और ज़ोरदार धक्का मारा और पूरा लंड चूत में की अंदर में चला गया।

अब मैं जोर जोर से चूत की चूदाई करने लगा और उसकी सिसकारियाँ निकलने लगी ‘उम्म्ह,, अहह,, हय,, याह,, ह्ह अह्ह चोदो मेरी चूत को जान,, उफ कब से प्यासी थी चूत मेरी।

और मैं चूदाई करते हुए मैं उसकी बुबुस को मसल रहा था जिससे उसे और भी मजा आ रहा था……

थोड़ी देर में वो झड़ गई, उसके बाद मैं भी अपना माल उसकी चूत में गिरा दिया, उसके बाद से आज तक मैं उसको बहुत बार चोद चुका हूँ।

आपको मेरी ममेरी बहन की चूत चूदाई की अन्तरवासना कहानी कैसे लगी, मुझे मेल करके बतायें

Kamuk Kahaniya – चुत चुदाई गन्ने के खेत में

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मिला मौका बहन को चोदने का https://sexstories.one/sex-katha/ Fri, 03 Apr 2020 05:28:33 +0000 https://sexstories.one/?p=551 हेल्लो दोस्तों ! मैं एक बार फिर आप लोगों को मेरी ज़िन्दगी में हुई असली और सच्ची सेक्स कथा (sex katha) लिखने जा रहा हूँ। बात उन दिनों की है जब मैं कोलकाता में एक ... >> पूरी कहानी पढ़ें

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हेल्लो दोस्तों ! मैं एक बार फिर आप लोगों को मेरी ज़िन्दगी में हुई असली और सच्ची सेक्स कथा (sex katha) लिखने जा रहा हूँ। बात उन दिनों की है जब मैं कोलकाता में एक आर्ट कॉलेज में पढ़ता था। मेरे साथ संपा दीदी पढ़ती थी जो मुझसे एक साल सीनियर थी। अंडमान आइलैंड से हम दोनों ही थे हमारे कॉलेज में, इस लिए संपा दीदी मुझे अपनी भाई की तरह मानती थी। गर्मियों की छुट्टी शुरू होने वाली थी तो दीदी ने कहा- संजय चलो इस बार हम दोनों शिप (जहाज) से अंडमान जायेंगे !

मैंने कहा – ठीक है दीदी मैं टिकेट ले लूँगा।

sex kathaऔर फिर हम लोग निर्धारित दिन में जहाज में चढ़ गए।

Sex Katha – पडोसी की बेटी का भोसड़ा

कोलकाता से अंडमान आने के लिए ४ दिन लगते है। मैंने एक ही केबिन के टिकेट लिए थे। जहाज में चढ़ कर हमने खिड़की में से देखा कि शाम को ५.०० बजे जहाज बन्दर से छूटा और फिर धीरे धीरे कोलकाता का खिदिरपुर डॉक हमसे दूर होता जा रहा था। शाम के वक्त लाइट बहुत सुंदर दिख रही थी।

तभी दीदी ने कहा- भाई देखो कितनी सुंदर दृश्य नज़र आ रहा है, इस सीन का लैंड स्केप बना सकते है।

मैंने भी हाँ में हामी भरी। वक्त कटता गया, शाम के ७.०० बजे डिनर होता है जहाज में, इसलिए हम ७.३० तक डिनर खाकर अपने केबिन में आ गए। दीदी ने कहा- संजय ! इस केबिन में तो चार सीट हैं फिर हम दोनों के अलावा और किसी को इस केबिन का टिकेट नहीं मिला क्या?

Sex Katha – मेरा पहला सेक्स अनुभव

मैंने कहा- दीदी शायद जहाज खाली जा रहा है, इसलिए जहाज में लोग भी कम नज़र आ रहे हैं।

थोड़ी देर की खामोशी के बाद दीदी बोली- भाई इतनी जल्दी तो नींद नहीं आने वाली ! चलो कपड़े बदल लेते हैं और फिर हम एक दूसरे के स्केच बनाते हैं। मैंने भी हाँ कहा और बाथरूम जाकर फ्रेश होकर एक नेक्कर और बनियान पहनकर बेड में बैठ गया।

दीदी ने कहा- दरवाजा बंद कर दो।

और बाथरूम जाकर फ्रेश होकर एक स्कर्ट और हल्का सा टाप पहन कर बाहर आई। मैं देखता रह गया कि दीदी कितनी सुंदर लग रही हैं, इससे पहले दीदी को कभी इन कपड़ो में नहीं देखा था।

दीदी को पता चला तो बोली – संजय ! क्या देख रहे हो ? तुमको ठीक से मेरी फिगर दिखाई दे इसलिए ही इन कपड़ो को पहना है ताकि तुमको मेरी स्केच बनने कोई परेशानी न हो !

Sex Katha – ऑफिस में माधुरी को चोदा

फिर हम दोनों एक दूसरे के स्केच बनाने लगे।

मेरी नज़र तो बार बार संपा दीदी की छाती पर जाकर रुक जाती थी और मेरे लिए अपने लण्ड को हाफ पैन्ट में छुपाना मेरे लिए मुश्किल हो रहा था क्योंकि दीदी की उभरी हुयी चुंचियाँ टॉप के भीतर से झाँकने लगी थी।

दीदी को शायद पता चला या नहीं अचानक दीदी ने कहा- भाई क्या हुआ तुमको? क्या देख रहे हो? क्या कुछ दिक्कत हो रही है स्केच बनाने में या ठीक से दिख नहीं रही है मेरी फिगर ? चलो तुम्हारे लिए और थोड़ी एडजस्ट कर लेती हूँ, लकिन तुम भी अपना बनियान उतार कर बैठो, और फिर दीदी ने अपने स्कर्ट और टाप उतार दी।

मेरी तो हालत ख़राब हो रही थी।

पर मैं चुपचाप से दीदी की ब्रा में बंद उनके बड़े बड़े बूब्स को ही देख रहा था।

Sex Katha – सुहागरात पर पहली बार चुदाई

तभी दीदी ने कहा- क्या हुआ संजय? जल्दी से अपनी बनियान उतार दो, मुझे भी तो तुम्हारा स्केच बनाने है। और इस तरह क्या देख रहे हो? ठीक से स्केच बनाओ !

मैंने धीरे से अपने बनियान उतार दिया और फिर स्केच बनने लगा, पर मेरा लण्ड को हाफ-पैन्ट में छुप नहीं पा रहा था और मैं इधर उधर देखने लगा। शायद दीदी को मेरा लण्ड हाफ-पैन्ट में खड़ा होता दिख गया।

दीदी ने कहा- संजय ! क्या हुआ ? कभी इस तरह किसी लड़की को नहीं देखा क्या? तुम्हारी नियत तो ठीक है न ?

मेरा झूठ पकड़ में आ रहा था मेरा लण्ड पैंट के ऊपर से उफनता हुआ दिख रहा था।

“क्या बात है….. तुम्हारा मुंह लाल क्यूँ हो रहा है…….?”

Sex Katha – सहेली के जीजू का लंड

मेरी नजरों के सामने दीदी की ब्रा में उभरी हुयी चुंचियाँ के भीतर से झाँकने लगी। मेरी नजरें उनके स्तनों पर गड़ गयी। दीदी ने नीचे से ही तिरछी नजरों से उसे देखा… और मुझे गर्माते देख कर सीधे चोट की……”संजय …. मेरी छाती में क्या देख रहे हो …झांक कर ?”

“हाँ… नही…. क्या….?” मैं बुरी तरह झेंप गया।

“अच्छा.. अब मैं बताऊँ……कि क्या देख रहे हो तुम…..” मैं एकदम से शरमा गया।

“दीदी … वो…नही….सो…. सॉरी…”

“क्या सॉरी….. एक तो चोरी…फिर सॉरी…….”

“दीदी …. अच्छी लग रही है देखने में …..सॉरी कहा न ”

मैं “हाँ… नही…. क्या….?” मैं बुरी तरह झेंप गया।

“अच्छा.. अब मैं बताऊँ……कि क्या देख रहे हो तुम…..” मैं एकदम से शरमा गया।

“दीदी … वो…नही….सो…. सॉरी…”

“क्या सॉरी….. एक तो चोरी…फिर सॉरी…….”

Sex Katha – शिमला में चुदाई

“दीदी … अच्छी लग रही थी…..सॉरी कहा न ”

दीदी मेरे पाइंट पर से लण्ड के उभार को देख रही थी। मैंने ऊपर हाथ रख लिया।

“नहीं देखो… इधर.. ” मैं शरमा गया। दीदी मुस्कुरा उठी।

“तो कान पकड़ो……..”

मैने अपने कान पकड़ लिए…… “बस…ना…”

हाथ हटाने पर लण्ड का उभार फिर से दिखने लगा। वो हंस पड़ी।

“नहीं देखो… इधर.. ” मैं शरमा गया। वो मुस्कुरा उठी।

Sex Katha – मेरी सुहागरात की कहानी

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