Hindi Sex Kahaniya Archives - Antarvasna https://sexstories.one/category/hindi-sex-kahaniya/ Hindipornstories.org Thu, 17 Mar 2022 10:04:48 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.1 नेहा की कुंवारी चूत https://sexstories.one/neha-ki-kunwari-choot/ Thu, 17 Mar 2022 10:04:48 +0000 https://sexstories.one/?p=5164 मैंने उसके मम्मे चूसने शुरू किए और वो बिल्कुल गर्म हो गई थी, उससे खड़ा भी नहीं हुआ जा रहा था और वो मेरी बाँहों में झूलने लगी, मैंने उसे उठा कर बेड पर लिटा लिया...

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Kunwari Choot ki Chudai ki kahani – दोस्तो, मेरी जिन्दगी में भी ऐसा एक मौका आया जब मैंने बारहवीं कक्षा की पढ़ाई के लिए स्कूल जाना शुरू किया था। मेरे स्कूल का रास्ता एक ऐसी कालोनी से होकर गुजरता था जहाँ पर जयादातर लोग व्यापारी थे, उन घरों में आदमी सुबह जल्दी दुकानों पर चले जाते थे और देर शाम तक घर आते थे।

स्कूल से आते समय एक घर की खिड़की में एक लड़की अक्सर बैठी दिखाई देती, शुरू शुरू में तो ज्यादा ध्यान नहीं दिया पर कुछ ही दिनों में ऐसा लगने लगा कि वो भी मुझे देख कर मुस्कुरा देती है और नीचे देखने लगती है।

मुझे बहुत मज़ा आने लगा और यह हर रोज़ का काम हो गया, हम एक-दूसरे को देख कर मुस्कुराते, हाथ से इशारा करते और मैं अपने घर आ जाता।

एक दिन वो मुझे बैठी नहीं दिखाई दी तो मेरे मन जैसे बेचैन हो गया और दिल में बुरे बुरे ख्याल आने लगे कि कहीं किसी ने हम दोनों को इशारे करते हुए देख तो नहीं लिया और मैं अचानक उसके घर के सामने खड़ा हो गया कि शायद वो अभी आ जाएगी।

मैं लगभग आधा घंटा खड़ा रहा, पर वो नहीं आई।

उस रात मुझे नींद नहीं आई, सोचा कि चलो कल मुलाकात हो जाएगी, पर वो अगले दिन भी नहीं दिखाई दी तो दिल में एक दर्द सा का एहसास हुआ।

पर मेरी भी लाचारी थी और मैं घर आ गया।

कहते हैं सबर का फल मीठा होता है और मुझे भी शायद मीठा फल ही मिलना था।

अगले दिन मैं बुझे मन से स्कूल से आ रहा था कि वो मुझे उसे खिड़की में बैठी दिखाई दी, उसने मुझे देखा पर उसके देखने में वो चमक नहीं थी, बस हल्के से मुस्कुराई और उठ कर चली गई।

मेरा मन जैसे तड़प उठा क्यूंकि मुझे ऐसा लग रहा था कि कुछ न कुछ बात जरूर है पर मैं उससे पूछ नहीं सकता था।

खैर अगले दिन वो बैठी दिखाई दी, मैं भी थोड़ा दूर खड़ा हो गया और उसे मिलने का इशारा किया, वो भी जैसे तैयार बैठी थी, उसने खिड़की से नीचे एक कागज़ फेंका और अन्दर चली गई।

मैंने भाग कर वो उठाया और तेज़ कदमों से अपने घर आ गया और वो कागज़ खोल कर पढ़ा तो जैसे मुझे तो जैसे भगवान् मिल गया हो, उसमें उसने अपना मोबाइल नंबर लिखा था और बताया था कि रात को दस बजे के बाद ब्लैंक मेसेज कर देना, अगर मेरा जवाब आ गया तो हम चैट करेंगे।

मैं तो बस दस बजने का इंतज़ार करने लगा, और ठीक दसे बजे उसे ब्लैंक मेसेज कर दिया।

मेरा दिल जोर जोर से धड़कने लगा पर दो तीन मिनट के बाद एक मेसेज आया जिसमें उसने अपना नाम लिखा था और मेरा पूछा था। दोस्तो, हमारा बातचीत का सिलसिला शुरू हो गया था और हम दोनों देर रात तक मेसेज से बात करते और सो जाते।

बातों में हम बहुत खुल गए थे और सेक्सी बातें भी करने लगे थे। उससे बात करके मुझे ऐसा लगता था कि जैसे वो सेक्स के लिए उतावली है, शायद उसने ब्ल्यू फिल्में देख रखी हैं…

Chudai story घोड़ी बन गयी बबिता

दोस्तो, मैं बता दूँ कि उसका नाम मेघा था और वो भी बारहवीं कक्षा की छात्रा थी पर उसका स्कूल अलग था।

उसने बताया कि उसके मम्मी पापा दोनों काम से बाहर जाते हैं पर मम्मी जल्दी आ जाती हैं। शनिवार के दिन मम्मी लेट आती हैं क्यूँकि उनको घर का सामान लेन के लिए मार्किट जाना पड़ता है।

हमने शनिवार को मिलने का प्रोग्राम बनाया, देखते देखते शनिवार भी आ गया और मैं स्कूल से थोड़ा जल्दी आ गया क्यूंकि मुझे मेघा के साथ ज्यादा से ज्यादा समय बिताना था, वो भी जैसे बेसबरी से मेरा इंतज़ार कर रही थी, उसने इशारा किया और मैं सीधा ऊपर चला गया, उसने दरवाजा खोल के रखा था, मैं सीधा अन्दर गया और दरवाज़ा बंद कर दिया।

उसने मुझे सोफे पैर बैठने का इशारा किया पर मुझे सबर कहाँ था, मैंने उसका हाथ पकड़ा और अपने सीने से लगा लिया और उसे चूमने लगा।

उसने कहा- सांस तो ले लो!

पर मुझे तो जैसे होश ही नहीं था, मैं उसे दीवानों की तरह चूमे जा रहा था, मेरे हाथ उसके मम्मे दबाने लगे थे और मेरा लंड खड़ा हो चुका था, उसे शायद मेरा लंड चुभने लगा था, वो थोड़ा पीछे हुई तो मैंने उसे जोर से अपने से सटा लिया और जोर से उसके मम्मे दबाने लगा।

उसके होटों को तो जैसे मैं खा जाना चाहता था, बहुत रस भरी थी मेघा!

अब तक मेघा भी गरम होने लगी थी और मेरा साथ देने लगी, उसका हाथ मेरी पैंट पर गया और उसने मेरा लंड बाहर निकाल लिया और उसे हिलाने लगी।

लंड पकड़ कर तो वो और भी मस्त हो गई थी उसके मुख से सिसकारी निकलने लगी थी, मैंने आपना लंड उसके नरम होंटों पर लगाया तो पूरा लंड अपने मुंह में ले गई और जोर से चूसने लगी।

इतने में मैंने उसकी शर्ट के बटन खोल दिए थे और स्कर्ट उतार दी थी, वो सिर्फ ब्रा और पेंटी में मेरे मेरा लंड चूस रही थी। मैंने उसकी ब्रा खोल कर उतार दी।

यारो, इतनी मस्त लड़की मैंने पहली बार देखी थी, और सही तो यह है कि इस हालत में लड़की ही पहली बार देखी थी।

मैंने उसके मम्मे चूसने शुरू किए और वो बिल्कुल गर्म हो गई थी, उससे खड़ा भी नहीं हुआ जा रहा था और वो मेरी बाँहों में झूलने लगी, मैंने उसे उठा कर बेड पर लिटा लिया और उसके ऊपर आकर उसका नंगा बदन चूमने लगा।

दोस्तो, वो मुझे ऐसे लग रही थी जैसे माखन में मिसरी मिली हो, उतनी ही चिकनी और उतनी ही मीठी… मैंने उसकी पेंटी में हाथ डाला और उसकी चूत को ऊपर से सहलाने लगा।

वो जैसे मचल उठी और बेकाबू हो कर मुझसे लिपट गई, उसकी चूत बहुत भीगी हुई थी, मैंने उसकी पेंटी उतार दी और अपने होंठ उसकी भीगी चूत पर रख दिए, उसकी चूत की खुशबू से मैं भी दीवाना हो गया था, बस अब रुका नहीं जा रहा था और मैं अपना लंड उसकी कुंवारी चूत में डालना चाहता था।

वो बहुत मस्त हो रही थी पर शायद चुदाई से डर रही थी।

मैंने उसके कान में कहा- डरो नहीं, इसमें बहुत मज़ा है।

मेरे कहने पर वो मान गई, मैंने अपना लंड उसकी चूत पर रखा और जोर से धक्का दिया, वो चिल्लाने लगी और चूत से लंड बाहर निकालने की कोशिश करने लगी, पर मुझे पर तो जैसे काम सवार था मैंने उसे जोर से पकड़े रखा और अपना लंड उसकी चूत से निकलने नहीं दिया बल्कि उस पर लेट कर उसके मम्मे चूसने और दबाने लगा।

वो कुछ देर में ही अपना दर्द भूल कर मेरा साथ देने लगी, मैंने भी मौका देखा और उसकी चूत में अपना लंड अन्दर बाहर करने लगा, वो भी अपने चूतड़ उठा कर चुदाई में साथ देना लगी, पूरा कमरा उसकी सिसकारियों से गूंजने लगा।

दस मिनट के बाद मैंने अपना लंड निकाल लिया और उसके नरम नरम पेट पर अपना वीर्य गिरा दिया।

कुछ देर बाद उसने मुझे बताया कि थोड़ी देर में ही उसकी मम्मी आ जाएगी तो मुझे अब जाना चाहिए।

मन तो नहीं कर रहा था लेकिन मज़बूरी थी और मैं वहाँ से अपने घर आ गया, उसके बाद तो जैसे हर शनिवार को हम हनीमून मनाने लगे। उसने बताया कि उसके चाचा की लड़की भी छुट्टियों में आ जाएगी..

दोस्तो आगे की बात अगली कहानी में!

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बंद कमरा, मैं और वो https://sexstories.one/chudas-padosan-ko-choda/ Mon, 28 Feb 2022 09:05:27 +0000 https://sexstories.one/?p=4322 वह अपनी चूत के अंदर उंगली कर रही थी और मैंने जब उनकी चूत के अंदर अपनी उंगली को डाला तो वह मुझे कहने लगी मुझे अच्छा लग रहा है। मैंने उनकी चूत के अंदर बाहर अपनी उंगली को करना जारी रखा..

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Chudas Padosan ko Choda हमारा पूरा परिवार अभी संयुक्त परिवार में रह रहा है घर में छोटी मोटी अनबन तो होती ही रहती हैं लेकिन फिर भी मेरी मां ने आज तक घर की बागडोर संभाल कर रखी हुई है और वह परिवार को एकजुट करने में हमेशा ही लगी रहती हैं। पिताजी के देहांत के बाद हम चारों भाइयों ने हीं घर की जिम्मेदारी को अपने कंधों पर संभाल लिया घर में मैं ही सबसे बड़ा था इसलिए मेरे ऊपर ही सब की जिम्मेदारी है। मेरी पत्नी मीना ने भी मेरा बहुत साथ दिया और हम लोग अभी भी सब साथ में रहते हैं हम चारों भाइयों ने मिलकर अपना कारोबार शुरू किया और अभी तक हम उस कारोबार को करते आ रहे है हमारा काम बहुत ही अच्छे से चल रहा है। मेरी पत्नी कई बार मुझे कहती है कि तुमने अपने परिवार के लिए इतना कुछ किया है लेकिन तुम्हारे भाई तुम्हें बिल्कुल भी नहीं मानते हैं। मैंने अपनी पत्नी को कई बार समझाया कि तुम ऐसी बातें मेरे सामने मत किया करो क्योंकि मुझे नहीं लगता कि तुम कुछ सही कहती हो।

मेरी पत्नी एक बड़े घराने की है और वह चाहती थी कि हम लोग अलग हो जाएं लेकिन मैं कभी भी अपने भाइयों से अलग नहीं होना चाहता था और ना ही वह मुझसे अलग होना चाहते थे। हमारे पत्नियों के बीच में हमेशा ही झगड़े होते रहते थे लेकिन उसके बावजूद भी मेरी मां ने अपने घर को एकजुटता में बांधा हुआ था। अब हम लोग अपने कारोबार को और बढ़ाना चाहते थे और उसके लिए हम लोगों ने दिल्ली तक काम करने के बारे में सोच लिया था क्योंकि दिल्ली में हम लोगों के कारोबार की खबर बहुत ज्यादा होने वाली थी इसलिए हम लोग अब दिल्ली में अपना काम शुरू करना चाहते थे। लखनऊ से हम लोगों ने दिल्ली में अपना काम शुरू करने के बारे में सोचा तो मैंने कुछ दिन दिल्ली में रहने के बारे में अपने मन में ख्याल बना लिया। मैं कुछ दिनों तक दिल्ली में ही था मैं अपने मसाले के बिजनेस के लिए ढूंढ रहा था ताकि मुझे कोई डिस्ट्रीब्यूटर मिल सके और हमारे सामान को बाजार तक पहुंचा पाए।

मेरी एक दो डिस्ट्रीब्यूटर से बात तो हुई थी लेकिन उनके साथ कुछ बात नहीं जमी इसलिए मैंने फिलहाल तो दिल्ली में अपना काम शुरू करने के बारे में अपने दिमाग से ख्याल निकाल दिया था लेकिन कुछ ही समय बाद जब मुझे एक डिस्ट्रीब्यूटर का फोन आया और वह कहने लगे कि मुझे आपका नंबर रतन ने दिया है। मैंने उन्हें कहा हां भाई साहब कहिये तो वह मुझे कहने लगे कि मैं आपसे यह कहना चाहता हूं कि आप दिल्ली में कारोबार शुरू करना चाहते हैं तो मैं उसमे आपकी मदद कर सकता हूं। मैंने उन्हें कहा यदि आप मेरी मदद कर दे तो मुझे बहुत खुशी होगी और आपको भी उसमें मुनाफा हो जाएगा वह मुझे कहने लगे कि क्या आप मुझसे मिलने आ सकते हैं। मैंने उन्हें कहा हां क्यों नहीं मैं आपसे मिलने के लिए आ जाता हूं।

मेरा छोटा भाई रतन जो कि काम को लेकर बहुत ही ज्यादा ईमानदार और वफादार है रतन ने हीं मेरा नंबर अभिषेक को दिया था। अभिषेक से मिलने के लिए मैं जब दिल्ली गया तो मेरी और अभिषेक की बात हुई अभिषेक ने मुझे कहा कि भाई साहब आप बिल्कुल भी फिक्र ना करें मैं आपके कारोबार को यहां दिल्ली में पूरी तरीके से सेट कर दूंगा। मैंने अभिषेक से कहा चलो यदि ऐसा हो जाता है तो आपको भी हम लोग उसमें अच्छा खासा मुनाफा दे देंगे। वह मुझे कहने लगे कि देखिए अजय भाई साहब मुझे काम शुरू करने में कोई भी परेशानी नहीं है लेकिन यदि आप मुझे बता देते कि आप मुझे सामान किस दाम में देने वाले हैं तो आगे चलकर भी हम लोगों का व्यापार अच्छा रहेगा।

मैंने अभिषेक को सब कुछ बता दिया तो अभिषेक भी मान गए अब अभिषेक ने दिल्ली में काम करना शुरू कर दिया था दिल्ली में हमारे मसाले का कारोबार चलने लगा था और धीरे-धीरे वह और भी आगे बढ़ने लगा। हमारे पास अब दिल्ली से काफ़ी ऑर्डर आने लगा था यह सब अभिषेक की वजह से ही हो पाया था इसलिए अभिषेक को हम लोगों ने दिल्ली में डिस्ट्रीब्यूटर बना दिया था और वही अपने माध्यम से बाजार में सामान बेचा करते थे। मुझे भी काफी मुनाफा हो रहा था इसलिए मैंने दिल्ली में ही अब एक छोटी सी फैक्ट्री डालने के बारे में सोच लिया था जिससे कि थोड़ा बहुत पैसा बच सके। दिल्ली में मैंने अब एक फैक्ट्री शुरू कर दी थी और हम लोगों का मसाला काफी बिकने लगा था इसलिए मुझे अब दिल्ली में ही काम संभालना पड़ा।

मेरे तीनो भाई लखनऊ में ही काम संभाल रहे थे क्योंकि लखनऊ में बहुत ज्यादा काम था इसलिए वहां पर वह तीनों मिलकर काम कर रहे थे। दिल्ली में भी अब काम बहुत अच्छा चलने लगा था अभिषेक से मेरी मुलाकात हर रोज हो जाया करती थी मुझे दिल्ली में और भी लोगों के फोन आ रहे थे लेकिन मैंने सब को मना कर दिया था क्योंकि अभिषेक के साथ मेरा व्यवहार बहुत ही अच्छा था और वह मुझे अच्छा काम भी कर के दे रहे थे मुझे और किसी की जरूरत ही नहीं थी। अब धीरे-धीरे दिल्ली के आसपास के जितने भी छोटे-मोटे इलाके थे वहां तक भी हमारा सामान पहुंचने लगा था अभिषेक के साथ मेरी अच्छी बोल चाल हो गई थी तो मैं उनसे मिलने के लिए उनके घर पर चला जाया करता था। अभिषेक के परिवार में भी अब सब लोग मुझे पहचानने लगे थे और अभिषेक मुझे कहने लगे कि अजय भाई साहब आप की बदौलत ही आज मैंने यह घर खरीदा है। अभिषेक ने कुछ दिनों पहले ही नया घर खरीदा था और वह सब अच्छा कारोबार चलने की वजह से ही हो पाया था। मैंने अभिषेक से कहा कि यदि ऐसा ही काम चलता रहा तो तुम जल्दी और तरक्की कर लोगे अभिषेक कहने लगा हां जी भाई साहब आप बिल्कुल ठीक कह रहे हैं यदि ऐसा ही काम चलता रहा तो जल्द ही और भी तरक्की हो जाएगी।

Kamuk kahani दोस्त की माँ को चोदने का प्लान बनाया

अभिषेक न एक दिन अपने घर पर एक छोटी सी पार्टी रखी हुई थी और उस दिन का अभिषेक ने मुझे घर पर डिनर के लिए भी इनवाइट किया था। मैं अभिषेक के घर पर चला गया और जब मैं उस दिन अभिषेक के घर गया तो अभिषेक के पड़ोस में रहने वाली एक महिला भी आई हुई थी मुझे वह बहुत अच्छी लगी अभिषेक ने मुझे बताएं कि उनके पति नहीं है और उनके पति का देहांत कुछ वर्षों पहले हो गया था। मुझे भी तो कोई ऐसा चाहिए था जिससे कि मैं दिल्ली में रह कर बात कर सकूं मैंने उनसे बात करनी शुरू कर दी उनका नाम बबीता है और बबीता से बात करना मुझे अच्छा लगता। हम लोग आपस में बात करते तो मैं उनसे कई बार सेक्स की डिमांड कर दिया करता था लेकिन वह मुझे कहती कि घर में बच्चे होते हैं इसलिए मैं आपको घर पर नहीं बुला सकती।

मैंने उन्हे कहा आप मेरे पास ही आ जाइए लेकिन वह मुझे तड़पाती रहती थी परंतु वह मुझे कितने दिन तक तड़पाती एक दिन मैंने उन्हें अपने घर पर बुला लिया। मैं घर पर अकेला ही रहता था जब वह मेरे पास आई तो मैंने उन्हें अपनी गोद में बैठा लिया और जब मैंने उन्हें गोद में बैठाया तो उनकी गांड से मेरा लंड टकराने लगा था और मुझे भी अच्छा लग रहा था। काफी देर तक मैंने उनके होठों को अपने होठों में लेकर चूमा और गर्मि बढ़ती ही जा रही थी हम दोनों के चुम्मा चाटी के बाद मैंने जब उनके ब्लाउज को खोला तो उनके स्तन मेरे सामने थे। मै अपने हाथो से उनके स्तनों को दबाने लगा जब मैंने उनके स्तनो को मुंह में लिया तो बबीता को भी मजा आने लगा और मुझे भी अच्छा लग रहा था।

मैंने उनके बड़े स्तनों को बहुत देर तक चूसा और उनके स्तनों से मैंने पानी निकालकर रख दिया था उनके स्तनों से खून निकलने लगा था और वह तड़पने लगी थी। वह अपनी चूत के अंदर उंगली कर रही थी और मैंने जब उनकी चूत के अंदर अपनी उंगली को डाला तो वह मुझे कहने लगी मुझे अच्छा लग रहा है। मैंने उनकी चूत के अंदर बाहर अपनी उंगली को करना जारी रखा और उन्हें बहुत ही मजा आ रहा था उनकी चूत गिली हो चुकी थी और गरम भी हो चुकी थी। उनकी चूत से गर्मी इतनी ज्यादा बाहर निकलने लगी थी जैसे ही उनकी चूत के अंदर मेरा लंड प्रवेश होने लगा तो वह खुश होने लगी।

वह मुझसे लिपट चुकी थी मेरा लंड उनकी चूत के अंदर जाते ही वह चिल्लाने लगी और वह बड़ी तेज आवाज मे सिसकिया ले रही थी मैंने अपने हाथ को उनके मुंह पर रखते हुए कहा कि आप आराम से सिसकिया लिजिए कही कोई आ ना जाए लेकिन वह तो बड़ी तेज आवाज म सिसकिया ले रही थी। उनकी सिसकियां इतनी तेज होती कि मैं बिल्कुल भी रह नहीं पा रहा था मुझे ऐसा लग रहा था कि जैसे मेरा माल अभी गिर जाएगा। मुझे बहुत अच्छा लगा लेकिन काफी देर तक ऐसा करने के उपरांत जब मेरा वीर्य बाहर गिरने वाला था तो मैंने अपने वीर्य को बबीता जी की योनि के अंदर ही प्रवेश करवा दिया और अपने लंड को बाहर निकाल कर मैंने अपने लंड को बबीता के मुंह मे डाल दिया।

उन्होंने मेरे लंड को बहुत ही अच्छे से चूसा और मुझे उन्होंने पूरा मजा दिया काफी देर ऐसा करने के बाद जब मेरे लंड दोबारा से तन कर खड़ा हुआ तो उनकी चूत से टपकता हुआ वीर्य अब भी टपक रहा था। मैंने अपने लंड को उनकी गांड पर सटाते हुए अंदर की तरफ को धकेलना शुरू कर दिया था। मैंने जब अपने लंड को उनकी गांड मे घुसाया तो वह चिल्लाने लगी और मुझे कहने लगी मुझे बहुत ज्यादा गर्मी महसूस हो रही है। मैंने बबीता की गांड के अंदर अपने लंड को प्रवेश करवा दिया था वह कहने लगी तुमने तो आज मेरी पूरे गांड फाड दी है।

मैंने बबीता से कहा कि यही तो मेरा अंदाज है मै ऐसे ही गांड मारता हूं अब उनकी गांड के अंदर बाहर मेरा लोड आसानी से हो रहा था क्योंकि उनकी गांड क चिकनाई बहुत ज्यादा बढ़ने लगी थी और गांड की चिकनाई बहुत ज्यादा बढ़ चुकी थी। मेरा लंड आसानी से गांड के अंदर बाहर हो रहा था जब मेरा वीर्य निकलने वाला था तो मैंने अपने लंड को बबीता के मुंह के अंदर डाला और आपने वीर्य को बबीता के मुंह के अंदर घुसा दिया उन्होने सब चाट कर साफ कर दिया था।

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घोड़ी बन गयी बबिता https://sexstories.one/ghodi-ban-gayi-babita-chudwa-li/ Mon, 28 Feb 2022 09:01:17 +0000 https://sexstories.one/?p=4323 मेने उसको घोड़ी बनाया ओर उसकी चूत मै पीछे से अपना 9″ लंबा लॅंड जब डाला तो बस उसकी हालत तो एसी हो गई जेसे अभी मर जायगी. क्योकि लंड का साइज़ कुछ ज्यादा ही बड़ा था. ओर उसकी कुवांरी चूत थी तो बर्दाश्त करना..

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Ghodi Ban Gayi Babita aur Chudwa li – सब से पहले मै अपने बारे मै बता दूँ मेरा नाम राज है. हर जवान दिल की ख्वाइश होती है काश मुझे कोई कुँवारी चूत मिल जाय. मेरी भी यही ख्वाइश थी. लेकिन मै हमेशा ख़ामोश ही रहता हूँ ज्यादा कुछ बोलता नही हूँ. लेकिन पिछले 2 सालो से मै बदल गया.

जब मै घूमने गया अपने मामा के यहाँ. मेरे अंकल कानपुर मै रहते है. वहाँ अंकल के पडोस मै 1 लड़की रहती थी. जिसका नाम था बबिता उसकी उम्र कम से कम 20साल की रही होगी उसका फिगर. 30,26,28 रहा होगा. पहले भी जब मै कभी मामा के यहा जाता था. तो मै उस लड़की की जवानी देखकर हमेशा सोच मै पड़ जाता था.

की काश मुझे इसकी चूत मिल जाय फिर. लेकिन अब मै खुद को इस लायक समझता था. की मै अब इसे पटा सकता हूँ. मै 1दिन घर के गेट पर खड़ा था. तो बबिता भी अपने गेट पर खड़ी वो मुझे देख देख कर कुछ बोल रही थी. ओर बार बार मुझे देख के हँस रही थी. मै समझ गया के लाइन दे रही है.

मेने तभी इशारे से पूछा, क्या हुआ, उसने भी इशारे मै कहा कुछ नही, फिर हम काफ़ी देर तक वही गेट पर एक दूसरे को देखते रहे, अचानक उसने मुझे 1 इशारा करा जिसे देखकर मै हेरान हो गया. उसने इशारे से मुझे ऊपर छत पर आने के लिए कहा, मेने सोचा आज तो मुन्ना तेरी ज़िंदगी बन गई, मै जल्दी से ऊपर गया.

वहाँ वो मुझसे पहले ही पहूँच गई. पहले तो मै उस से इशारो मै बातें कर रहा था. मगर जब लगा की आस पास कोई भी नही है तो मै उसके घर की दीवार कूद कर उसके घर मै चला गया. वो कुछ घबरा रही थी मगर मै उतावला था. आज उसके घर मै कोई भी नही था. बस उसकी दादी थी जो कभी ऊपर नही आती हमेशा नीचे ही रहती है.

आज बबिता के घर मै कोई नही था. ऊपर बस 1 रूम था जिसमे उसके भाई ओर भाभी रहती है, मै उससे बात करता रहा बात करते करते शाम से रात हो गई. सब कुछ इतना जल्दी जल्दी हो रहा था की मुझे भी कुछ समझ नही आ रहा था. की क्या करू ओर क्या ना करू. लेकिन मोका ऐसा मिला था की आज किसी कुवारी चूत के मै मज़े ले सकता था.

तो बस मै बेचैन था की जल्द से जल्द मुझे चूत मिले मै पहले तो शराफ़त से भरी बातें करने लगा. फिर मेने उसे देखा वो बार बार अपनी आंखे इस तरह बंद कर रही थी. जेसे उसे किसी चीज़ की तड़प हो शायद मेरे लंड की तड़प, फिर मेने उससे कुछ अलग किस्म की बातें यानी के सेक्स से रिलेटेड बातें करने लगा वो भी बडे मज़े से मेरी बाते सुनने लगी, मै समझ गया की आज तो मुन्ना की ख्वाइश पूरी हो गई.

बस कुछ देर बातें करते करते वो भी खामोश हो गई. ओर मै भी फिर मेने उससे पूछा क्या हुआ वो खामोश रही फिर मै उसके करीब गया मेने फिर पूछा क्या हुआ. वो फिर कुछ नही बोली मेरी हिम्मत बनी ओर मेने उसका चेहरा अपने दोनो हाथो से पकड़ा और उसके लिप्स को चूमने लगा. जेसा मेंने कभी किसी मूवी मै देखा था. किस करती हुए वेसे ही मै उसके किस करने लगा.

वो तो बस खामोश थी कुछ भी नही कर रही थी. पर मुझे उसकी खामोशी से ही पता चल गया की उसकी हाँ है, ओर मै फिर उसके चुचियो को दबाने लगा. उसके मुहँ से आह निकल रही थी. बार बार ह्म्‍म्म्म………ममममम ………..हह हाय…………..राम प्लीज मगर मै कहा रुकने वाला था.

मै उसे उसके भाई के रूम मै ले गया. वाहा जाकर मेने सब से पहले उसके कपड़े उतरना शुरू किया. उसकी चुचिया देखा कर तो मेरे होश ही गुम हो गये बाहर से कुछ ओर अंदर से कुछ ओर मै तो बस उन्हे देखते ही पागल हो गया. ओर ज़ोर ज़ोर से उन्हे दबाने लगा वो सिसकिया भरती रही. फिर मेने अपने कपड़े उतरना शुरू किए उसने कहा नही प्लीज एसा कुछ मत करो मुझे जाने दो, मगर मै समझ गया.

की अब ये नखरे कर रही है, पर मै कहा रुकता जेसे ही वो बोलती मै उसके लिप्स को चूमने लगता फिर वो जोश मै आ जाती तो फिर मै अपना काम शुरू कर देता. फिर जब मेने अपने कपडे पूरी तरह उतार दिए तो वो ओर मै अब बिल्कुल नंगे थे. एक दूसरे के सामने, उसने मेरा लंड देखा तों सोच मे पड गई.

और कहने लगी ऊई द…य्याया कितना बड़ा लंड है आपका मै तो मर ही जाऊँगी, मेने कहा पहले पहले दर्द होगा लेकिन फिर बाद मै मज़ा आने लगेगा तुम्हे, मेरा लंड 9” इंच का है, फिर मै उसकी चूत मै पहले तो उंगली करने लगा की जिससे वो गरम हो जाय ओर लंड मांगने लगे.

अचानक मेने उंगली करने की रफ़्तार कुछ बड़ा दी वो बिल्कुल बिन पानी की मछली की तरहा तड़प रही थी. फिर मेने सोचा की मेरा इतना बड़ा लंड इसकी चूत मै जायगा केसे फिर अचानक मेरी नज़र पास मै रखे हेयर आयँल पर पड़ी मेने बोतल मै से आयँल लिया ओर पहले तो उसकी चूत पर लगाया ओर फिर अपने लंड मै सेंटर से सेंटर मिलाके पहले तो मैने हल्का सा झटका मारा तो वो चिल्ला उठी.

ऊई……………मा……….आआआआआआआ मर गई आआआआ…ऊऊऊऊऊ…….. हाय………रा..आआआआआ………म धीरे से प्लीज मे रुक गया. ओर फिर उसके लिप्स को चूमने लगा, कुछ देर रुक कर फिर से मेने सेंटर से सेंटर मिलाया ओर फिर से 1 झटका दिया कुछ इंच तो अंदर घुसा लेकिन उसे काफ़ी दर्द हो रहा था मगर, मै वही रुक गया. लंड को उसकी चूत मै कुछ देर के लिए रोक दिया.

कुछ देर रुकने के बाद मेने फिर से 1 झटका दिया. करीब 5 इंच अब उसके चूत मै घुस गया. अब मुझसे नही रुका गया ओर 1 ज़ोर का धक्का दिया वो ज़ोर से चि…ल्ल्ला……ई आा…………..आआईय……….ईईईईईईई मर गई मा…………….आआआआआ ……..ऊऊऊऊऊओ मार डाला आपने। मेने कहा अभी तुम्हे मज़ा आने लगेगा. फिर कुछ देर मै उसे भी मज़ा आने लगा लेकिन मेरा लंड कुछ ज्यादा ही बड़ा था. तो अंदर ओर बाहर ओर धक्के मारने मै दर्द बडता जाता था.

लेकिन अब मै नही रुक सकता था. मुझे किसी की परवाह नही थी. मै ज़ोर ज़ोर से धक्के मारने लगा. वो चिल्ला रही बार बार बोलती रही प्लीज रूको मुझे दर्द हो रहा है. प्लीज रूको मगर मै नही रुका फिर वो भी खामोश हो गई अब उसे भी मज़ा आने लगा था. ओर वो मुझे कमर उठा उठा के रिप्लाइ भी करने लगी. वो पूरी तरह से मेरा लंड ले रही थी.

Porn Story भाभी ने बुझाई हवस ही आग

मै अपनी पूरी ताक़त से धक्के मार रहा था. बस वो तो अपनी आखे बंद करके आआआः………….. उहह…………….. ……………….इईईई …………………….उफफफ्फ़ करे जा रही थी. मै बार बार उसके लिप्स के चूमता रहता, उसके लिप्स कुछ ज्यादा ही नर्म थे. बार बार मै उनको पेप्सी समझकर पीता रहता था बिल्कुल लाल थे. लिप्स मेने चूम चूम के सुर्ख लाल कर दिए. अब मेने सोचा क्यों ना फिल्मी अंदाज़ मै इसकी चूत मारी जाय.

फिर मेने उसको घोड़ी बनाया ओर उसकी चूत मै पीछे से अपना 9″ लंबा लॅंड जब डाला तो बस उसकी हालत तो एसी हो गई जेसे अभी मर जायगी. क्योकि लंड का साइज़ कुछ ज्यादा ही बड़ा था. ओर उसकी कुवांरी चूत थी तो बर्दाश्त करना कुछ ज्यादा मुश्किल था,

लेकिन बंदी एसी थी अब कुछ भी नही बोल रही थी, मेने उसेको घोड़ी के पोज़ मै उसकी कमर को पकड़ के धक्के देना शुरू किए. ज़ोर…..ओर……..ज़ोर से देने लगा उसके कमर पे मेरी पकड़ कुछ मस्त थी. इसलिए धक्के देने मै कुछ ज्यादा ही मज़ा आ रहा था.

मै जब तक धक्के दे रहा था तों मेने सोचा अब किसी ओर पोज़ मै चूत मारी जाय फिर मै बेड पर लेट गया ओर लंडा को सीधा किया ओर उससे कहा की अब तुम मेरे लंड पर बेठो वो आराम आराम से उठी ओर जेसा मेने कहा था वेसे ही करने लगी.

मुझे पता था एसे पोज़ मै चूत मरने का मज़ा ही कुछ ओर होगा. एसे पोज़ मै लड़की की जान निकल जाती है. जब पूरा लंड अंदर जाता है, पहले तो वो मेरे लंड पर आराम से बैठ गई. ओर मेरा पूरा लंड अंदर ले गई फिर कुछ देर रुकी रही फिर अचानक खुद ही धक्के देने लगी. मुझे ओर मज़ा आने लगा ओर मै नीचे से भी धक्के देने लगा वो भी धक्के दे रही थी ओर मै भी.

फिर मुझे लगा की मै झड़ने वाला हूँ मेने उसकी गीली चूत मै ओर ज़ोर से धक्के देना शुरू कर दिये. जेसे ही मै झड़ने वाला था मेने उसे पकड़ के लिटा दिया. ओर मै उसके ऊपर चड के बेठ गया ओर उसकी चूचियो के ऊपर झड़ गया, ओर उठ के उसके बराबर मै लेट गया. फिर उसने अपने बोब्स को कपड़े से साफ किया ओर मेरे ही बराबर मै लेट गई.

हम कुछ देर तक आराम से लेटे रहे फिर मै उठा ओर फिर से उसके लिप्स को चूमने लगा काफ़ी देर तक चूमने के बाद मै हट गया ओर फिर मेने कपड़े पहनने शुरू किए टाइम काफ़ी हो रहा था. उसका भाई भी ऑफीस से आने वाला था. इसलिए वो भी जल्दी से अपने कपड़े पहनने लगी, ओर पूछने लगी की आप वापस कब जा रहे हो, मेने कहा 2 या 4 बार मज़े लेने के बाद ही अब जाऊँगा.

वो कहने लगी पता नही फिर एसा मोका कब मिले मेने कहा कल फिर जब तुम्हारे भेय्या ऑफीस चले जायंगे तब… वो कहने लगी ओके लेकिन 2 बजे तक ही आना वरना दादी शक हो जायगा मेने कहा नो प्रोबलम. मेने उसे 3 दिन रोज़ चोदा वो भी खुशी खुशी चुदवाती रही.

अब काफ़ी दिन से मामा के यहा नही गया हूँ. लेकिन उसके फोन आते रहते है, बुलाती रहती है, तो मेने फेसला किया है जल्दी जाने का, ओर जब मै वाहा से वापस आऊँगा तो आप सब को फिर से अपने न्यू एक्सपीरियेन्स के बारे मै ज़रूर बताऊँगा.

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हालत की वजह से दोस्त की वाइफ की चुदाई https://sexstories.one/dost-ki-wife-ko-choda/ Sat, 26 Feb 2022 08:52:51 +0000 https://sexstories.one/?p=3532 मैंने भाभी को सीधा किया और मै उपर से आ गया, अपना लण्ड उसकी चूत के ऊपर सहलाने लगा, उसकी चूत पूरी गीली हो गयी थी, उसकी टाईट चूत को चोदने के लिए मैंने पहला झटका ही जोर से दिया पर गीली चुत की बजाह से लंड सतक रह था...

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Dost ki Wife ko Choda दोस्तो, मेरा नाम विकास ठाकुर है. मै हाजिर हू एक नयी कहानी लेकर जो मेघना नामक रीडर की विनांती सुनकर. आप तो जानते ही है फिर भी एक बार फिर से बता देता हू, वैसे तो मैं एक डॉक्टर हूँ. मुझे अन्तर्वासना पर सेक्स कहानी पढ़ना बहुत पसंद है. मैं एक 28 साल का युवक हूँ और मेरे लंड की साइज़ भी इतनी मस्त है कि ये किसी भी लड़की या भाबी को चुदाई का पूरा मज़ा दे सके. हालांकि मुझे लड़कियों से भाबियों की चुदाई करना ज्यादा पसंद है. मैं अपनी कहानी पर आने से पहले ही बता दूँ कोई भी दोस्त मेरे से भाबी का नंबर या आइडी ना मांगे. किसी भी लड़की या भाबी के लिए उसकी प्राइवेसी और गोपनीयता बनाए रखना बहुत ज़रूरी होता है. इसलिए ये देखते हुए मैंने कहानी में नाम बदल दिए हैं.

मै कहानी पे आता हू पर ये बता देता हू की मैने कोई गद्दारी नही की जो भी हुवा मर्ज़ी से एक बार की हुवा. ये कहानी है दोस्त की वाइफ की चुदाई की है. हम तीनो साथ मे ही काम करते है. पहले दोस्त की वाइफ के बारे मी बता डू वो एकदम सिंपल लड़की की जिसका फिगर जाड़ा नही है लेकिन उसकी पिछवाड़ा धेखकर बड़े बड़े लोगो के लंड खड़े हो जाते थे. उसकी गांड मे ऐसा जादू है की मरीज सिर्फ़ उसकी गांड धेकने के लिए बार बार आते थे. वो साड़ी पहनती उसकी आँखें भूरी ओर गाल एक दम गुलाबी थे। उसके बूब्स ओर गांड भी मस्त बाहर निकलती है.

मै कहानी पे आता हू हम लोगो को एक मेडिकल कॅंप के लिए नासिक जाना था. हम लोग लगभग १५ लोग थे. पल्लवी भाबी ओर मेरा दोस्त सागर भी साथ मे थे. सागर, मै, ओर भाभी हमेशा साथ मे घूमते थे ड्रिंक करते थे. मई उनके घर पर बोहोट बार रहा हू. हम लोग वाहा पे गये. वाहा पे हमे जंगल मे रहना था. मतलब टेंट लगा दिए थे पर दोनो तरफ़ से को भी ज़ाक सकता था. दो दिन के ब्बाद सागर के पैर मे मोच आने के कारण सागर वापिस आ गया ओर कॅंप ओर भाबी की ज़िमेदारी मूज़े दे दी. जहा हम गये थे वाहा पे जड़तर आदिवासी लोग रहते थे. सागर के जाने के बाद पल्लवी भाबी ने मूज़े बुलाया ओर बोला की आज रात को कल का प्लान डिसकस करते है. हमारा काम होने के बाद मै फ्रेश होके उनके टेंट मे गया. भाबी कपड़े चेंज कर रही थी अंदर ओर एक पड़दा था लेकिन मूज़े सब दिखा रहा था. भाबी ने ब्लाउस ओर ब्रा निकली ओर टिशियर्ट पहनी ओर नीचे कुछ नही पहना था पनटी निकल दी ओर सिर्फ़ नाइट पॅंट पहनी. उसके बूब्स ओर गांड को धेकते ही मेरा लिंड खड़ा हो गया. मेरा मंन किया की अभी जाके उसकी गांड मारू, उसे घोड़ी बनके शॉट लगाउ. मेरा लंड उसके मूह मे डाल डू.

मैने आवाज़ दी तो पल्लवी भाभी ने अंदर आने को कहा मै पहले से ही अंदर था मै गया तो भाभी को द्देखता रहा गया भाबी बहोट हॉट लग रही थी.
मैने ऊपर से नीचे तक पहले भाभी को घूरना शुरू किया. पल्लवी भाभी के कपड़े बहोत टाइट थे, उनके बुब्स ओर चुत एकदम शेप मे धिक रही थी. वो मुज़से बात कर रही थी ओर मेरी नज़र उनकी फूली हुई गांड पर थी. तभी बाकी लोग आ गये हम लोगो ने कल का प्लान डिसकस किया. सभी को सोने की जल्दी थी, बहोट सारी नर्स गांड मरवाने को बेकरार थी ओर सबकी अपना लंड को सेलेक्ट कर लिया था. ऐसा पहली बार हुवा था जब मैने भाभी के बारे मे ग़लत सोचा था. थोड़ी देर बाद सब लोग निकल गये भाभी ने मूज़े रुकने को कहा.

भाभी ने कहा की हुमने जिनको दवाई दी है. उन लोगो ने उनका आदिवासी डॅन्स धकने बुलाया है. बाकी सब नही आ रहे है. हम लोगो को जाना चाहिए. हम लोग उनके यहा जाने के लिए निकल गये. वो लोग पहाड़ो के बीच अपने भगवान के पास कुछ प्राथना कर रहे थे. फिर उनका डॅन्स सुरू हुवा. बहोत मज़ा आ रहा था. उन लोगो ने हुमे भी नाचया. फिर बाद मे एक बंदे ने मूज़े एक ग्लास लाकर दिया जिसमे कुछ था. पीने के बाद पता चला वो शराब जैसा कुछ था. पर वो लोग बहोट सिंपल थे तो मैने ओर भाभी ने पिया ओर मज़ा लेते रहे. वो लोग हुमे मिया बीबी समज रहे थे. उनके डॅन्स के हिसाब से भाबी मेरे आगे थी मेरा लंड भाभी की मक्खन की तरह गांड मे गुस रहा था. पर हम लोग नशे मे थे. फिर उनको बोलके हम वाहा से टेंट आने के लिए निकले.

हम रास्ता भटक गये ओर कुछ समज मे नही आ रहा था. मोबाइल मे नेटवर्क नही था. हम लोग २ घंटे से भटक रहे थे. भाभी थक गयी ओर बोली कही पे बैठेते है ओर फिर सोचते है. ठंड बोहोत जाड़ा थी. हम दोनो ने नॉर्मल कपड़े पहने थे. उतने मे भाभी को सामने एक खाली खंदर धीखा. हम डरते डरते वाहा पे गये. अंदर खाली कमरे थे. हमने सोचा यही पे कुछ देर रुकते है. मै दूसरे रूम मे गया तभी भाभी के चिल्लाने की आवाज़ आई मैने धेखा तो भाभी वाहा पे टंकी जैसा कुछ था जिसमे घिर गयी. मैने पानी के अंदर गया ओर उनको निकाला. हम दोनो भीग गये थे. ओर ठंड बोहोत थी. मूज़े वाहा पे दो चटाई मिली.

Kamuk Story ऑफिस में सेक्स और अन्तर्वासना ख़त्म

हम लोगो ठंड के मारे कप रहे थे. तभी भाभी ने जो कहा वो सुनके मई हैरान था भाभी ने कहा हुमे कपड़े उतार के बैठना पड़ेगा नही तो हम ऐसे ही मार जाएगे. मैने उनकी तरफ धेखा, तो भाभी ने कहा हम डॉक्टर है तोड़ा दिमाग़ से सोचो. फिर अंधेरे मे हम दोनो ने अपने अपने गीले कपड़े उतार के एक दूसरे की तरफ पीठ करके बैठ गये. लेकिन कब तक ऐसे ही रहते ठंड तो अभी भी थी तो हम लोग चटाई पे सो गये ओर एक चटाई उपर से ले ली.

मेरा लंड खड़ा हो चुका था हमारा शरीर एक दूसरे को टच हो रहा था भाभी तोड़ा पीछे हो गयी मेरी शरीर की गर्मी की बाजसे उनकी तंदी कम हो गयी. भाभी ने कहा कोई दूसरा ऑप्षन नही है. एक दूसरे को लिपट के सोना पड़ेगा फिर मुज़से कंट्रोल नही हुवा मैने उनकी उनकी गोल ओर नरम गांड को अपने हाथों से दबाना शुरू कर दिया। उनकी गांड काफी बड़ी थी ओर एकदम मक्खन की तरह थी। उनकी गांडो को हाथों से दबाने ओर मसलने में काफी ज्यादा मजा आ रहा था। धीरे से फिर भाभी भी जोश मे आ रही थी. आ हू दबाओ ज़ोर से कुछ तो करो ऐसा बोल लेकिन २ मिनिट के बाद बोलने लगी ये सही नही है. मेरा लंड पूरा खड़ा हो चका था.
फिर मैने भाभी को समजाया की हुमे ये करना होगा वरना हम मर जाएँगे. तो भाभी ने मुज़ेसे प्रॉमिस लिया की ये एक ही बार होगा ओर किसी को पता नही चलेगा. मैने भाभी को प्रॉमिस किया ओर किस करना स्टार्ट किया.

मैं पीछे से उनकी गांड और बूब्स पर हाथ फेर रहा ओर दबा रहा था। हाय कितनी मुलायम ओर नरम बूब्स थे. मुझे बहुत ज्यादा मजा आ रहा था।भाभी भी इतने में काफी गर्म हो गयी थी उनके मुंह से आह,आह की धीमी आवाज निकल रही थी। कुछ देर बाद भाभी ने मुझसे कहा ”मुझे चुत चटवनी है सागर ने कभी नही किया प्लीज़ चॅटो ना मै नीचे चली गया.

मैं 69 पोजीसन होकर उसकी चूत के पास पहुंच गया और फ़िर मैं उसकी चूत जीभ से चाटने लगा. मै पूरा फील दे रहा था पूरा चुत के अंदर था जीभ डालके आइस्क्रीम की तारह छत रहा था. उसका वो चुत का खट्टा पानी मूज़े मस्त लग रहा था. फिर भाबी ने मेरा लण्ड हाथ में ले लिया. वो मेरे लण्ड को हिलने लगी अपने हाथ , ओर मेरी भी आहें निकलने मेरी हालत खराब हो रही थी और भाभी ने लन्ड मुंह मे लेकर चूसने लगी. उसने मेरे लण्ड को अपने मुंह में ले लिया ओर अंदर बाहर किए जा रही थी और मेरी जीभ उसकी चूत के साथ साथ ज़ट के बाल भी नोच रहा था.

भाभी ने मूज़े बोली की मूज़े लंड चूसना बहोत पसंद है. ओर वो बोली मेरे मुहफ़ मे निकल दो मूज़े माल को पीना है. मेरे लौड़े को चूस चूस कर और बड़ा कर दिया ओर कहने लगी मूज़े बड़ा ही पसंद है. मै भी काफ़ी जोश में आ गया था मै भाभी का सर दबा रहा था ओर लंड पूरा अंदर तक जा रह था. भाभी हाथों से मुठ मार मार कर चूस रही थी. ओर मेरा लौड़ा गरम हो गया ओर मैने सारा माल निकाल दिया भाभी के मुँह में गिरा दिया. भाभी ने मेरा सारा माल पी लिया ओर चाट कर सारा माल साफ कर दिया.

भाभी बोली, “अब तुम मुझे चोदो अपने लण्ड से ओर माल अंदर मत गिरना मूज़े हर एक स्टाइल मे चोदो, अब मुझसे रहा नहीं जाता जल्दी करो… चोदो मुझे ! चोदो मेरी चुत फाड़ के रख दो. अब मैंने अपने होंठों से उसके होंठों पर चूमना करना शुरू किया, मै बहोत सेरटाक किस कर रहा था ओर साथ मे उसको मसल रहा था. फ़िर गाल पर, गले पर, चूत, गाड़, बुब्बस हर जगह फ़िर और नीचे से हाथ डाल कर उसकी चूत को सहलाने लगा ओर अंदर उंगली डालने लगा. बड़े और सख्त बूब्स को पी रहा था !मैं उन्हें मसलने और जोर से दबाने लगा. मैंने उसके निप्पल को अपनी मुहा में लेकर दबाया, वो जोर से सिसकने लगी, “उह उह आह विकास आज मुझे पूरी तरह से चुदाई का मज़ा दे दो. मूज़े तेरा लंड चाहिया प्लीज़ डाल दो. चाहो तो माल अंदर ही दाल दो लेकिन अब सब्र नही होता.

मैंने भाभी को सीधा किया और मै उपर से आ गया, अपना लण्ड उसकी चूत के ऊपर सहलाने लगा, उसकी चूत पूरी गीली हो गयी थी, उसकी टाईट चूत को चोदने के लिए मैंने पहला झटका ही जोर से दिया पर गीली चुत की बजाह से लंड सतक रह था. फिर भाभी ने एक हाथ से लंड सेट किया मैने बूब्स को मुहा मे लिया ओर एक ज़ोर का शॉट लगया, भाभी ज़ोर से चिल्लाई, ओह मर गई, कितना बड़ा है तेरा, मूज़े दर्द हो रहा है . मेरा आधा लण्ड उसकी चूत में गया था, मैने बात करते हुवे ओर एक शॉट मारा मगर काफ़ी टाईट चूत थी, फिर भाभी ने गाड़ उपर की ओर बोला अब लगाओ शॉट, एक बार फिर जोर के झटके से अपना पूरा लण्ड उसकी चूत में डाल दिया. वो बोल रही थी “आह धीरे धीरे करो मूज़े मज़ा लेनो दो, चप चप आवाज़ आनी चाहिए ! ” भाभी मेरे पीठ मे नाख़ून के निशान छोड़ रही थी.

मैने उसस्के बूब्स को डबते हुवे धीरे धीरे अपने लण्ड को आगे पीछे कर रह था साथ मे बीच मे ज़ोर से शॉट लगा रह था. कुछ देर बाद भाभी का दर्द भी कम हो गया और वो भी मज़ा लेने लगी ओर जो आवाज़े निकालने लगी ” ओहो! ह्म्म! आ ! जोर से ! और ज़ोर से करो, मूज़े तुम्हे अंदर लेना है, मर्द की तरह चोदो, आह प्लीज़ स्पीड बदाओ अपनी मै आने वाली हू. फिर मैंने अपने झटकों की ताकत बढ़ाई ओर स्पीड भी.
मैं और जोर से उसे चोदने लगा मैने भाभी के पैर गले मे ले लिए ओर स्टाइल चेंज कर दी. अब तो पच पच आवाज़ से सारा महॉल बन गया था. थोड़ी देर बाद वो झड़ गई फिर भी गांड उठा उठा कर मेरा साथ दे रही थी. उसकी चूत का रस टपकने लगा, मूज़े उसकी खुसबु आ रही थी,
मुझे और भाभी काफ़ी मज़ा आ रहा था. फ़च फ़च की आवाज़ ओर भी भाग रही थी. थोड़ी देर बाद मुझे लगने लगा कि मैं भी होने वाला है. फिर मैने उसे उल्टा कर से कुतिया बना कर पीछे से उसकी चूत में अपना लण्ड घुसा कर शॉट लगाना चालू किया.

मै पीछे से जोर जोर से धक्के लगा रहा था. अब मेरा लौड़ा रुकने वाला था नही, मैने भाभी को बोला मूज़े कंट्रोल नही हो रहा है, मेरा होने वाला है मै चुत मे निकल रहा हू, तो उसने कहा ठीक है निकल दो मई गोली ले लूंगी. मै पूरी ताकत से उसकी टाईट चूत में झटके लगा रहा था, ओर वो बहाल थी मेरा लंड मानने को तय्यार ही नही था फिर उसने गोतिया साहलाई और १०से १२ झटके के साथ मैंने अपना पूरा माल उसके चूत में डाल दिया. हम नंगे ही वाहा पे पड़े थे.

हमे अब ठंडी नही लग रही थी, पूरे पसीने से बहाल थे. भाभी ने मूज़े थॅंक्स कहा ओर मेरे लंड को चॅट कर साफ करने लगी. फिर १० मीं बाद मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया इस टाइम पे भाभी ने बोला चुत मे दर्द हो रहा है. बाद मे करते है लेकिन भाभी मेरी तरफ गांड करके एकदम चिपके के सो गयी. मई सुबह जगा तो मेरा लंड खड़ा था मैने भाभी के गाड़ मे लंड डालने की कोशिश की लेकिन भाभी ने कभी गांड नही मरवाई थी. भाभी जाग गयी ओर आखरी टाइम मै करने दे रही हू. फिर भाभी ने बोला मूज़े मुहा मे लेना है. मैने दोनो बुब्बस के बॉच मे से मुहा मे लंड डाला ओर मूह मे चोदने लगा. ओर सारा माल भाभी के मुहा मे निकल दिया. भाभी ने मेरे लंड को किस किया ओर मिस यू कहा.

फिर हम दोनो ने अपने कपड़े पहने, भाभी ने कहा के ये बात कभी किसी को पता नही चलनी चाहिए, मैने उन्हे हग किया ओर प्रॉमिस किया की कभी किसी को पता नही चलेगा ओर ये दुबारा भी नही. फिर हमने एक दूसरे को हग किया एक लंबा किस किया भाभी ने मेरे लंड की तरफ़ देखा वो खड़ा था, भाभी ने कहा हाथ हिलाओ या कोई ओर ढूंड लो, ओर हम लोग टेंट मे चले गये. आज भी हम लोग दोस्त है ओर मस्त जी रहे है. कभी कभी भाभी को धेखकर मूड होता है मई उनको बोलता भी हू लेकिन फिर हम लोग कंट्रोल कर लेते है. कंट्रोल की बजाह है मेरा दोस्त ओर उनका पति सागर.

दोस्तो ये थी मेरी कहानी जो मैने एक पाठक की विनांती पर लिखी तो मूज़े मैल कीजिए ओर लिखिए ये कहानी कैसे लगी ओर कुछ ग़लती हो गयी है तो माफ़ कीजिए, चाहे तो गालिया दे सकते है. जाते जाते एक ही बात कहूँगा ओर औरतो का रेस्पेक्ट कीजिए, उनको प्यार ओर इज़्ज़त दीजिए. उनकी प्राइवेसी का पूरा ख्याल रखें.

दोस्तो, कैसी लगी मेरी सेक्स कहानी. मूज़े अपने विचार बातये ओर कुछ भी हो जो शेर कर सकते हो कीजिए. मूज़े आपके प्यार भरे मेल का इंतज़ार रहेगा. नये साल की हार्दिक शुब्कामनाए, ये साल आपके जीवन मे ढेर सारी खुशिया लाए. अगली कहानी लेकर जल्द ही आउगा तब तक हिलाते रहिए, शॉट लगते रहिए ओट चुत मे उंगाली करना मत भूलना.

अपनी राय मुझे ज़रूर लिखें. मुझे इस मेल पर भेजें.

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मां बेटी की चूदाई https://sexstories.one/maa-beti-ki-chudai/ Tue, 11 Jan 2022 07:57:45 +0000 https://sexstories.one/?p=5095 मां लन्ड चूसने लगी फिर उसने मैं के चूचे को दबाना शुरू किया और पीने लगा का आह आह कहने लगी फिर उसका मोटा लन्ड उफ्फ हाय मां की।छूत में उसने डाल दिया और चोदने लगा था यह मैं भी मदहोश हो रही थी...

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Maa Beti ki Chudai – हेलो दोस्तो मेरा नाम सोनसी है. मेरा फिगर 38,40,42,है. मैं मोटी चुब्बी और गादराया जिस्म है. मुझे देख कर कई लड़के और बड़े बूढ़े लुंड हिलाते है जैसे मैं हु वैसे ही मेरी मां दिव्या है उनको। चूदाई का बहुत सौक है उनके बहुत अफेयर है एक टाइप की रंड है.

मेरी मां फिगर 36,38,40 ये कहानी 1 साल।पहले की है मैं और मां मामा के घर गए थे वाहा बहुत मज़ा आता वहा का प्रधान एक यादव था भृगुनाथ नाम था मोटा सा था गुंडे टाइप का हर शाम को मां गांव में घूमने जाती और रात में बहुत लेट आती बोलती की दोस्त के घर गई थी ,

वो प्रधान कभी कभी घर भी आता तो मां बहुत खुश होती मां।हमेशा लंबे गले वाले ब्लाउज पहनी और छोटे ब्लाउज जिससे उसके बूब्स उउभारे आते थे। और सारी नीचे पहनी को पेट की ढोडी दिखे प्रधान का बेटा भी आता था मुझ पे लाइन मरता थाई जानती थी को वो चोदना चाहता है मुझे पर मैं भाव नही देती थी..

फिर एक दिन शाम को मां बहुत सजी लिपिस्टिक लगा के red सारी पहनी और बोली की एक दोस्त का जन्मदिन है मैं समझ गई थी मां उसी प्रधान मिलने जा रही मैं कही भी बाहर जाती तो हमेशा सजती थी मैने भी तुरत सूट सलवार पहना और मैं भी टाइट सूट पहनती थी को मेरे बूब्स उभरे मैं।

मां के पीछे निकल दी मां जा रही थी फिर मैने दूर से ही देखा मां एक घर में घुस गई मैं भी चलने लगी सब मुझे घूर रहे थे वो बहुत बड़ा घर था मां के रूम में चली गई मैं घर के पीछे चली गई और नजारा देखने लगी का मां को वो प्रधान कस के पकड़ के चूमने लगा और मां की साड़ी उतार दिया..

Sexy Maa मां का प्यार

मां लन्ड चूसने लगी फिर उसने मैं के चूचे को दबाना शुरू किया और पीने लगा का आह आह कहने लगी फिर उसका मोटा लन्ड उफ्फ हाय मां की।छूत में उसने डाल दिया और चोदने लगा था यह मैं भी मदहोश हो रही थी और वह मां चूद रही थी फिर असनक किसी ने मेरे मुंह पे हाथ रखा और मुझे पीछे से खींचा अंधेरे में कुछ दिख नी रहा था..

और उस ने मेरा सलवार नीचे से फाड़ा और मेरी चूत रगड़ने लगा मैं गरम तो थी ही और ढीली ही गई अब वो मेरी चूत मे अपना लन्ड डाल दिया उस प्रधान। जितना ही मोटा लन्ड था मैं तो पागल हो गई उसने मेरे सूट के अंदर हाथ डाल के चुचियों को मसलने लगा और मुझे किस भी किया आई..

उधर मां प्रधान से गांड़ मरवा रही थी और इधर मैं चूद रही थी इस आदमी ने इतने जोर जोर से चोदा की मैं एक दम हिल नहीं पाई मेरी चीखे निकल गई थी पर उसने मुंह मेरे हाथ लगाया था और वहा मां चोदवा चुकी थी और साड़ी पहन कर घर जाने लगी।

और था वो आदमी अब मेरी गांड़ मार रहा था खड़े खड़े मैं थक गई थी और उसने मेरी गांड़ भी मार ली थी उसका माल मेरी गांड़ में हो निकल गया फिर उसने मुझे छोड़ा और मुझे किस किया और चला गया मैं देख भी नहीं पाई की किसने मुझे चोदा मैं घर आई तो मां सो गई थी।मैं भी सो गई बहुत।

थक गई थी सुबह उठी तो देखा मां जग गई थी मैने ब्रश किया और सीधे नहाने गई कल रात का उस आदमी का माल मेरे गांड़ में अब तक था तो मैं अच्छे से नहाई बाहर आए मैने नॉर्मल टॉप और शॉट पहना और परफ्यूम लगाया फुल मेकअप की और नीचे छत पे गई कपड़े सुखाने के लिए मैं फिर नीचे गई तो का बाहर थी और किसी से बात करने की आवाज आ रही थी..

मैं बाहर गई तो देखा कि वही प्रधान मां के साथ बैठा है और नाना जी से बात कर रहा और उसके बगल में उसका बेटा बैठा था और वो मुझे देख देख कर मुस्कुरा रहा था और फिर वो दोनो बाप बेटा जाने लगे वो प्रधान किनारे आया और मां से गले मिला और मां की गांड़ को दबाया और फिर उसका बेटा मेरी तरफ आने लगा..

मैं तोड़ा पीछे हटी फिर वो मेरी कमर में हाथ डाल के बोला की कल की चूदाई में मज़ा आया और उसने मुझे किस क्रिया और चला गया मैं चोक जी थी की कल जिसने मुझे बेदर्दी से चोदा वो ये था यानी कि इन बाप बेटे ने हम मां बेटी को चोदा ।।।। अब जब भी हम मामा के घर आते तो मां प्रधान से और मैं उसके बेटे से जरूर चुदते..

आशा करती हूं हम मां बेटी की चूदाई की कहानी पसंद आई होगी आपको लोगो को फिर मिलेंगे

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एक चुडक्कड़ परिवार की कहानी – 3 https://sexstories.one/desi-maa-beta-chudai/ Tue, 21 Dec 2021 08:19:02 +0000 https://sexstories.one/?p=5028 उसे अपनी टाँगों के बीच एक बहुत अच्छा एहसास हो रहा था, उसने इस बार फिर जोर से धक्का दिया, उसका लंड उसकी गांड की दरार में कुहनी मार रहा था, आरती थोड़ी देर के लिए उससे अलग हो गई..

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Desi Maa Beta Chudai kahani jaari hai – “ओह्ह्ह्ह हाँ, वहीं।” उसकी माँ कराह उठी। आरव ने अपनी तर्जनी से उसकी गांड के छेद को दबाया और यह पहली पोर तक बहुत आसानी से फिसल गया क्योंकि यह तेल से फिसलन था, आरव उत्तेजना के साथ जंगली जा रहा था और उसकी उग्र चोट उसे चोट पहुँचा रही थी, वह इसे अपने तंग से मुक्त करना चाहता था पंत उसने अपनी उंगलियों को और अधिक धक्का दिया और आश्चर्यचकित महसूस किया कि उसने अपने गधे को उसे और गहरा कर दिया, उसने अपनी उंगलियों को और अधिक धक्का दिया और अब वह अपने दूसरे पोर में था, वह अपनी मां की हांफने की आवाज सुन सकता था जब उसने अपनी उंगली को जितना गहरा जा सकता था।

“Unghhhhhhh,” शालिनी खुशी के साथ जब उसके बेटे को बाहर सभी तरह अपनी उंगली बाहर निकाला और उस में सभी तरह से डाला कराही, वह वहीं खुद को उंगली करना चाहता था, लेकिन वह याद आरती किसी भी समय वापस हो सकता है।

“आरव, मैं अब बेहतर महसूस कर रहा हूं, धन्यवाद, दर्द पूरी तरह से दूर होने तक मुझे आपकी मालिश की आवश्यकता होगी।” शालिनी ने आरव से कहा, जिसने अनिच्छा से उसकी गांड से अपनी उंगली निकाली, यह वर्षों में शालिनी का सबसे अच्छा आनंद था, अधिक सटीक होने के लिए किसी ने भी उसकी गांड को छुआ है, वह और अधिक चाहती थी।

“ठीक है माँ, जब भी तुम्हें मेरी ज़रूरत हो।”

“मैं तुम्हारी बहन हूँ, तुम मुझे इस तरह छू नहीं सकते।” आरती ने बहुत शांति से कहा, आरव ने उसके ब्लाउज से अपना हाथ हटा लिया और उसे राहत मिली कि वह नाराज नहीं थी।

“मुझे खेद है, लेकिन मैं खुद का विरोध नहीं कर सकता, आपकी उपस्थिति मुझे पागल कर देती है।” आरव ने अपना सर्वश्रेष्ठ तीर चलाया; वह जानता था कि उसकी तारीफ करने से उसका मन उसके कामों पर लग जाएगा।

“अगर उसे पता चला कि वह मुझे मार डालेगा,” आरती खुद को नियंत्रित नहीं कर पाई, उसकी आँखों से आँसू बहने लगे और वह बहुत सुंदर लग रही थी।

आरव उसे रोता देख चौंक गया, उसे याद नहीं कि उसने आखिरी बार उसे रोते हुए कब देखा था, वह जानता था कि वह एक मजबूत लड़की है और वह इतनी छोटी सी बात के लिए कभी नहीं रोएगी, उसे पता था कि कुछ उसे परेशान कर रहा था। आरव को उसके लिए बहुत बुरा लगा, उसने हमेशा उसे एक मजबूत लड़की के रूप में देखा है जो उससे कहीं ज्यादा मजबूत है लेकिन उसे इस तरह रोते हुए देखकर वह उसके प्रति बहुत सुरक्षात्मक और देखभाल करने लगा। उसने उसे बाँहों से उठा लिया और कसकर गले लगा लिया।

“नहीं, मुझसे दूर हो जाओ, वह मुझे मार डालेगा।” आरती ने अपने भाई को धक्का दे दिया।

“कौन” आरव उलझन में था कि वह ऐसा अभिनय क्यों कर रही है।

Read part 2 – एक चुडक्कड़ परिवार की कहानी – 2

“मैं नहीं कर सकता …” आरती ने अपनी आवाज दबा दी जब उसने अपने पिता को दरवाजे पर खड़ा देखा।

“तुम सो क्यों नहीं रहे हो, आधी रात हो चुकी है।” उसके पिता ने उसकी आँखों में देखा।

आरव को कुछ अजीब लगा तो उसने अंदर जाने का फैसला किया। “मच्छर बहुत हैं; हम सो नहीं पा रहे हैं।”

“आरती बाहर जाओ और कुछ सूखी घास ले आओ और इसे जला दो, यह मच्छरों को दूर रखेगा।” उसने ठंड से कहा।

आरव को उसका काम देखकर खुशी हुई होगी लेकिन अब नहीं, उसे एहसास हुआ कि कैसे उसे उसकी इच्छा के खिलाफ काम करने के लिए बनाया गया था, भारत में लड़की होना एक अभिशाप था।

आरती घर से बाहर चली गई, जब उसने अपने पिता को उसका पीछा करते देखा तो वह चिंतित हो गई और चुपचाप कुएं के पास सूखी घास इकट्ठा करने लगी, उसे अपने पिता के पीछे खड़े होने का आभास हुआ। वह उससे दूर चली गई। ‘थपाक’ उसके पिता ने उसकी गर्दन पर थप्पड़ मारा; उसका प्रहार इतना तेज था कि वह जमीन पर गिर पड़ी।

“आप आरव से क्या कहने वाले थे, इसके बारे में कभी किसी से कुछ भी कहने की हिम्मत मत करना।” उसके पिता ने उस पर जोर दिया, उसने उसे पकड़ लिया

बाल और उसे अपने पैरों पर खींच लिया।

“तुम मेरे ही हो मेरे।” उसने उसके मुंह पर जोर से चूमा, उसके होठों को जबरदस्ती चूसा, वह उसे दूर धकेलना चाहती थी लेकिन वह जानती थी कि अगर वह ऐसा करती है तो वह उसे फिर से मारेगा, इसलिए वह स्थिर रही और उसे अपने रास्ते जाने दिया।

“अंदर जाओ और घास को जला दो,” उसने अपने गंदे मुंह के अंदर उसके स्वाद के अवशेष को लेते हुए अपने होंठों को ठंड से चाटते हुए कहा।

आरती सूखी घास को अपने साथ लेकर अंदर चली गई। यह तब शुरू हुआ जब वह मुश्किल से पाँच साल की थी; आरव हमेशा अपनी मां के साथ रहा, इसलिए उसने आरती को उसके पिता के पास छोड़ दिया। वह उसे खेत में ले जाता था और वह उसे उन जगहों पर छूता था, जो उस छोटी लड़की से अनजान थे कि ‘उसके प्यारे पिता क्या कर रहे हैं’। जैसे-जैसे वह बड़ी होती गई, वैसे-वैसे उसके प्रति उसका जुनून भी बढ़ता गया, जब उसे उसकी बात मानना मुश्किल हो गया तो उसने उसे मारना शुरू कर दिया।

“क्या हुआ, तुम इतनी अजीब हरकत क्यों कर रहे हो।” आरव ने उससे पूछा।

“बस सोने चले जाओ।” उसने ठंडे स्वर में कहा, बिना उसकी ओर देखे भी, वह अपने आँसुओं को छिपाने की कोशिश कर रही थी।

आरव इतनी आसानी से हार नहीं मानने वाला था, वह उसकी ओर मुड़ा और लापरवाही से उसके चारों ओर अपनी बाहें डाल दी, उसकी हथेली उसके ब्लाउज से ढके पेट पर पड़ी थी, आरती ने उससे दूर जाने की कोशिश की लेकिन अगर वह चली गई तो वह खत्म हो जाएगी फर्श पर इसलिए वह अभी भी उसके स्पर्श का जवाब नहीं दे रही थी।

लगभग एक घंटे के बाद सब कुछ चुप हो गया, आरती ने अपने पिता के कदमों को सुनने की कोशिश की … कोई नहीं, वह उसके करीब आ गई, आरव उसकी तरफ सो रही थी, जबकि आरती उसकी तरफ से सो रही थी, इसलिए जब वह करीब आ गई तो वह कर सकती थी स्कर्ट से ढँकी उसकी गांड में उसकी कठोरता को महसूस करते हुए, उसे यह भावना पसंद आई और उसने अनजाने में अपनी गांड को उसकी कठोरता में धकेल दिया।

उसे अपनी टाँगों के बीच एक बहुत अच्छा एहसास हो रहा था, उसने इस बार फिर जोर से धक्का दिया, उसका लंड उसकी गांड की दरार में कुहनी मार रहा था, आरती थोड़ी देर के लिए उससे अलग हो गई और उनके बीच से अपनी स्कर्ट ऊपर खींच ली, उसने नीचे एक बैगी पैंटी पहनी थी। आरती जोश से पागल हो रही थी, उसका दिल बहुत जोर से धड़क रहा था; धीरे-धीरे उसने अपने लंड को अपनी पैंटी पहने गांड से थपथपाया, अब वह उसे अपने गालों के बीच अच्छी तरह से महसूस करने में सक्षम थी।

आरव ने महसूस किया कि कुछ बहुत ही स्पंजी और चिकना है जो अपने मुर्गा को निगलने की कोशिश कर रहा है, उत्तेजना उसे जंगली बना रही थी वह और अधिक जोर से मारना चाहता था और अपनी नींद में उसने अपनी गांड में जोर से जोर दिया।

आरती उत्साहित थी जब उसने महसूस किया कि वह अपने मुर्गा को जोर से जोर दे रहा है, लेकिन वह जानती थी कि वह आवाज करेगा और अपने पिता का ध्यान आकर्षित करेगा इसलिए उसने खुद को उससे अलग कर लिया।

आरव ने फिर जोर दिया लेकिन निराश हो गया कि स्पंजी सामग्री गायब हो गई है, निराशा ने उसे जगाया, उसने अपनी आँखें खोलकर पाया कि यह आरती की गांड थी जिसमें वह जोर दे रहा था, वह उसकी पैंटी पहने हुए गधे को चांदनी से आते हुए देख सकता था उसके कमरे की छोटी सी खिड़की। वह बेतहाशा उत्तेजित हो गया और उसका लंड राहत पाने के लिए धड़क रहा था।

आरव ने अपना लंड निकाला और अपने लंड को उसके गालों के बीच में थपथपाते हुए आरती के करीब आ गया, आरती उनके शरीर से निकलने वाली गर्मी को महसूस कर सकती थी, जिससे कमरे में यौन तनाव बढ़ रहा था, वह उसके इतने करीब थे कि वे पहले कभी इस तरह नहीं थे, उसने महसूस किया अब उससे अधिक जुड़ी हुई है, वह हमेशा जानती थी कि वह दिल से अच्छा है और केवल दिखावा करने के लिए एक झटके की तरह काम करता है।

आरव कांपते हाथों से उसके चारों ओर पहुँचा और उसके स्तन को अपनी मुट्ठी में ले लिया और उसने अपना लंड उसके कपड़े वाली गाण्ड में डाल दिया, वह फिर से जोर से जोर से जोर से जोर से उसके कोमल गालों के बीच पहुँच गया, उसने उसके स्तन को उसके ब्लाउज से अपने हाथ से निचोड़ लिया उसकी उँगलियों के बीच उसके निप्पल खड़े हैं। आरती बहुत कोशिश कर रही थी कि वह विलाप न करे, अगर उसने कोई आवाज की या संकेत दिया कि वह जाग रही है, तो वह उसके लिए हंगामा करने के लिए माफी मांगेगा। उसने अपने होठों को बहुत जोर से काट लिया और कराह को नियंत्रित करने के लिए खुद को काट लिया।

आरव अपने आंड को कसता हुआ महसूस कर सकता था, इसलिए उसने उसकी गांड को जोर से चोदना शुरू कर दिया, आखिरकार उसने अपना वीर्य उसकी पैंटी पर गिरा दिया और उसकी जाँघों पर कुछ वीर्य बिखेर दिया, आरव एक संतोषजनक आह के साथ एक तरफ चला गया। लेकिन आरती अभी भी सींग का बना हुआ था और वह खुद को राहत देना चाहती थी। उसने अपनी पैंटी उतार दी और उसमें से अपना सह चूसा, कड़वा स्वाद और मांसल गंध ने उसे उत्तेजना के साथ जंगली बना दिया, वह नीचे पहुंच गई और अपनी तर्जनी को अपनी तंग बिल्ली में डाला, उसने खुद को सहलाया और दूसरे हाथ से उसे सहलाया स्तन जो उसके भाई द्वारा छेड़ा गया था, उसने अपनी दो उंगलियों को अपनी चूत में डुबोया और अपने अंगूठे से उसने अपने भगशेफ को फड़फड़ाया, उसने अपने पैरों को चौड़ा कर दिया, आरती को महसूस हो रहा था कि उसके अंदर कामोन्माद निर्माण हो रहा है, उसने उसे जोर से सहलाना शुरू कर दिया।

वह अब और विरोध नहीं कर सकती थी और वह अपने रस से बिस्तर गीला करके बहुत मुश्किल से आई, आरती ने अपनी आँखें बंद कर लीं और संतुष्ट होकर सो गई।

to be continued…

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गाँव की देसी लड़की की अन्तर्वासना https://sexstories.one/gaon-ki-ladki-ki-antrawvasna/ Mon, 20 Dec 2021 09:47:44 +0000 https://sexstories.one/?p=3556 वो अपनी चूत को सहला रही थी और मैं उसके दूध को एक एक करके चूस रहा था | मैं ऐसे कुछ देर तक उसके दोनों दूधो को चूसता रहा | फिर मैंने उसकी पेंटी को निकाल कर उसकी टांगो को थोडा सा फेला....

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Gaon ki desi ladki ki antrawasna – हेल्लो दोस्तों कैसे हो आप सभी लोग ? मैं आशा करता हूँ की आप सही लोग ठीक ही होगे | आप लोगो को चुदाई करना तो पसंद ही होगा और आप सभी लोग चुदाई का पुर मज़ा ले रहें होगे या नही | मैं आशा करता हूँ की आप लोग चुदाई को पूरा आनंद ले रहे होगे | मैं आप लोगो को अपने बारे में बता देता हूँ | मेरा नाम अखिलेश है | मेरी उम्र 26 साल है | मेरी हाईट 5 फुट 8 इंच है | मेरे लंड का साइज़ 5 इंच लम्बा और मोटा 3 इंच है | मैं दिखने में गोरा हूँ और स्मार्ट भी |

मैं रहने वाला बिहार का हूँ | मैंने पढाई सिर्फ बी ऐ तक की है | मेरे घर में 4 लोग रहते हैं | मैं और मेरे मम्मी पापा मेरे छोटा भाई | मेरे पापा कॉलेज में टीचर हैं और मेरी मम्मी हाउस वाईफ हैं मेरा भाई अभी 11 में पढता है | मुझे सेक्सी कहानियाँ पढना बहुत पसंद है और मैं सेक्सी मूवी देखना भी पसंद करता हूँ | मैं सेक्सी कहानी पढ़ कर मुठ भी मार लेता हूँ | मैं जब सेक्सी कहानी पढता हूँ तब मेरे भी मन करता है की मैं भी अपनी एक कहानी लिखूं और मैं आज एक कहानी लेकर आया हूँ | ये मेरी पहली कहानी है और मेरे जीवन की सच्ची घटना | ये मेरी पहली कहानी है तो इसमें कोई भी गलती हो सकती है अगर आप लोगो को समे कोई भी गलती नज़र आती है तो मुझे माफ़ करना | मैं आशा करता हूँ की आप लोगो को मेरी कहानी पसंद आयेगी और कहानी पढने में मज़ा भी आएगा |

मैं आप लोगो को ज्यादा समय न लेते हुए सीधे अपनी कहानी पर आता हूँ |

ये कहानी कुछ दिन पहले की है जब मैं एक प्रचार गाड़ी को चलाता था | तब मैं हर हफ्ते नये गाँव में जाता था प्रचार के लिए | एक दिन की बात है जब मैं एक गाँव में प्रचार करने के लिए गया था | तो मुझे वहां एक लड़की बहुत ही सेक्सी नजरो से देख रही थी और मुझे लाइन भी मार रही थी | मैं उस लड़की का नाम तो नही जनता हूँ जो आप लोगो को उसका नाम बताऊँ पर इतना जरूर बता सकता हूँ की वो लड़की कैसी दिखाती थी | तो दोस्तों वो लड़की दिखने में दूध की तरह गोरी थी | उसका सेक्सी फिगर था | उसके बड़े बड़े बूब्स और उसकी बड़ी चौड़ी गांड वो किसी हुस्न की मल्लिका से कम नही थी | उसके फिगर को देख कर किसी भी आदमी की नियत ख़राब हो जाये | मेरा भी यही हाल हुवा था जब मैंने उसे देखा था | उस गाँव में मेरा पहला दिन था और मुझे हर गाँव में 7 दिन रुकना होता था |

वो लड़की मुझे देख कर हँस रही थी और मुझे लाइन भी मार रही थी | कुछ देर तक मैं वहीँ गाड़ी में बैठा रहा और जब सब लोग चले गए | तब वो लड़की मेरे पास आकर बोली आप अच्छे लग रहे हो और वो हँसती हुई चली गयी | दुसरे दिन फिर वो आई तो मुझे देखती रही और जब मैं उसकी तरफ देखने लगा तो वो मेरी तरफ देख कर मुझे किस के लिए बोली तब मैं उसके पास जाकर बोला रात में आना तुमसे कुछ अकेले में बात करनी है | तब उसने कहा ठीक है और फिर हँसती हुई चली गयी | मैं रात को उसका इंतजार कर रहा था | फिर वो बहुत देर बाद आई और मुझे एक प्राइमरी स्कूल में ले गयी | वहां पर एक खाली रूम था | हम वहीँ बैठ कर बात करने लगे |

मैं बात करते हुए उसकी जांघों को सहलाने लगा और वो मेरी तरफ देख कर मुझे पकड कर चिपक गयी | तब मैं उसके गले में किस करने लगा | मैं उसके गले में किस करते हुए उसके होठो पर अपने होठ रख कर किस करने लगा | मैं उसके होठो को मुंह में रख कर चूस रहा था जिससे वो कुछ ही देर में गर्म हो गयी | फिर मैं उसकी होठो को चूसते हुए उसकी बूब्स को कपड़े के ऊपर से दबाने लगा | मैं उसके बूब्स को कुछ देर तक दबाने के बाद उसके कपडे निकाल दिए | वो कुछ ही देर में मेरे सामने ब्रा और पेंटी में आ गयी | मैं उसके एक दूध को ब्रा के ऊपर से पकड कर दबाने लगा | तो उसके मुंह से हलकी हलकी आवाज में सिसिकियाँ निकल गयी | मैं उसके दूध को दबाते हुए उसकी ब्रा भी खोल दी और उसके एक दूध को मुंह में रख कर चूसने लगा |

Free sex kahani माता-पिता बनने के लिए एक जोड़े की मदद की – 3

मैं उसके एक दूध को मुंह में रख कर चूसने लगा और दुसरे को हाथ में पकड कर दबाने लगा | वो अपनी चूत को सहला रही थी और मैं उसके दूध को एक एक करके चूस रहा था | मैं ऐसे कुछ देर तक उसके दोनों दूधो को चूसता रहा | फिर मैंने उसकी पेंटी को निकाल कर उसकी टांगो को थोडा सा फेला कर उसकी चूत में अपने मुंह को घुसा कर उसकी चूत को चाटने लगा | तो उसके मुंह से उह्ह्ह उग्फ्फ्फ़ उह्ह्ह्ह ह्ह्ह्हह फफफफ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह उह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह फफफफ ह्ह्ह अहह अहह फ्फ्फ ह्ह्हुह उह्ह्ह उग्फ्फ़ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह उफ़ अहह ह्ह्ह फ्फ्फ ह्ह्ह ऊह्ह उफ्फ्फ अह्ह्ह की सिसिकियाँ लेने लगी | मैं उसकी चूत में अपनी जीभ को घुसा कर अन्दर बाहर करते हुए उसकी चूत को चाट रहा था |

मैं उसकी चूत को चाटने के साथ में उसकी चूत में अपनी ऊँगली को घुसा कर उसे अपनी ऊँगली से चोदने लगा | तो उह्ह्ह उग्फ्फ्फ़ उह्ह्ह्ह ह्ह्ह्हह फफफफ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह उह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह फफफफ ह्ह्ह अहह अहह फ्फ्फ ह्ह्हुह उह्ह्ह उग्फ्फ़ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह उफ़ अहह ह्ह्ह फ्फ्फ ह्ह्ह ऊह्ह उफ्फ्फ अह्ह्ह करती हुई अपने बूब्स को दबाने लगी | मैं उसकी चूत में ऊँगली को जोर जोर से अन्दर बाहर करते हुए उसकी चूत को अपनी ऊँगली से चोद रहा था | वो उह्ह्ह उग्फ्फ्फ़ उह्ह्ह्ह ह्ह्ह्हह फफफफ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह उह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह फफफफ ह्ह्ह अहह अहह फ्फ्फ ह्ह्हुह उह्ह्ह उग्फ्फ़ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह उफ़ अहह ह्ह्ह फ्फ्फ ह्ह्ह ऊह्ह उफ्फ्फ अह्ह्ह कर रही थी |

मैं उसकी चूत में कुछ देर तक ऐसे ही ऊँगली को अन्दर बाहर करता रहा | फिर मैंने अपने कपड़े निकाल के लंड को उसके हाथ में पकड़ा दिया | वो मेरे लंड को हाथ में पकड़ कर हिलाती हुई अपने मुंह में रख कर चूसने लगी | तो मेरे मुंह से भी सिसिकियाँ निकल गई | वो मेरे लंड पर अपनी जीभ को रगडने लगी | तो मेरे मुंह से हलकी हलकी आवाज में सिसिकियाँ निकल गयी | वो लंड को मुंह में अंदर बाहर करती हुई चूस रही थी | मैं अपने लदन को उसके मून में चूसा रहा था | वो मेरे लंड को कुछ देर तक ऐसे हो मुंह में अन्दर बाहर करती हुई चूसती रही थी | फिर मैंने अपने लंड को मुंह से निकाल कर उसकी टांगो को थोडा सा फेला कर उसकी चूत के मुंह पर अपने लंड को रख कर चूत में घुसा दिया | तो उसके मुंह से उह्ह्ह उग्फ्फ्फ़ उह्ह्ह्ह ह्ह्ह्हह फफफफ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह उह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह फफफफ ह्ह्ह अहह अहह फ्फ्फ ह्ह्हुह उह्ह्ह उग्फ्फ़ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह उफ़ अहह ह्ह्ह फ्फ्फ ह्ह्ह ऊह्ह उफ्फ्फ अह्ह्ह की सिसिकियाँ निकल गयी | मैंने उसकी छत में लंड को घुसा कर उसको चोदने लगा |

तो वो अपने बूब्स को मसलती हुई उह्ह्ह उग्फ्फ्फ़ उह्ह्ह्ह ह्ह्ह्हह फफफफ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह उह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह फफफफ ह्ह्ह अहह अहह फ्फ्फ ह्ह्हुह उह्ह्ह उग्फ्फ़ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह उफ़ अहह ह्ह्ह फ्फ्फ ह्ह्ह ऊह्ह उफ्फ्फ अह्ह्ह करने लगी | मैं उसकी चूत में अन्दर बाहर करते हुए उसको चुद रहा था | वो भी मेरा साथ देती हुई अपनी चूत को हिला हिला कर चुदने लगी | मैं उसकी चूत में जोर जोर से अन्दर बाहर करते हुए उसे चुद रहा था | वो उह्ह्ह उग्फ्फ्फ़ उह्ह्ह्ह ह्ह्ह्हह फफफफ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह उह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह फफफफ ह्ह्ह अहह अहह फ्फ्फ ह्ह्हुह उह्ह्ह उग्फ्फ़ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह उफ़ अहह ह्ह्ह फ्फ्फ ह्ह्ह ऊह्ह उफ्फ्फ अह्ह्ह अहह करती हुई चुद रही थी |

कुछ देर तक ऐसे ही चोदने के बाद मैंने उसकी चूत से लंड को निकाल कर उसके मुंह में डाल कर चूसाने लगा | वो मेरे लंड को कुछ देर तक ऐसे ही चूसती रही | फिर मैंने उसे वहीँ पर घोड़ी बना दिया और उसकी चूत में पीछे से लंड को डाल कर उसको चोदने लगा | तो वो उह्ह्ह उग्फ्फ्फ़ उह्ह्ह्ह ह्ह्ह्हह फफफफ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह उह्ह्ह उफ्फ्फ उह्ह्ह फफफफ ह्ह्ह अहह अहह फ्फ्फ ह्ह्हुह उह्ह्ह उग्फ्फ़ ह्ह्ह्ह उह्ह्ह उफ़ अहह ह्ह्ह फ्फ्फ ह्ह्ह ऊह्ह करती हुई अपनी चूत को आगे पीछे करती हुई चुदने लगी | मैं उसको जोरदार धक्को के साथ में चोद रहा था | वो मस्त होकर चोद रही थी | मैं उसको ऐसे ही कुछ देर तक चोदता रहा | फिर 30 मिनट की मस्त चुदाई के बाद मेरे लंड ने सारा माल उसकी गांड पर निकाल दिया | इस तरह से मैंने उसकी मस्त चुदाई की |

मैं आशा करता हूँ की आप लोगो को मेरी कहानी पसंद आई होगी और इसे पढने में आप को मज़ा आया होगा |

कहानी पढने के लिए धन्यवाद् |

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माता-पिता बनने के लिए एक जोड़े की मदद की – 3 https://sexstories.one/couple-ke-saath-chudai-story/ Sat, 18 Dec 2021 07:30:05 +0000 https://sexstories.one/?p=4983 मैंने अपना लिंग पीछे खींच लिया और फिर से थोड़ा सा धक्का दिया। अब इस बार यह थोड़ा और आगे बढ़ गया। वो मेरे पुश को बहुत एन्जॉय कर रही थी। फिर से मैंने अपना डिक वापस खींच लिया और फिर से धक्का दिया...

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Couple ke saath chudai story – मेरे पास वास्तव में शब्दों की कमी थी। मैं बस कुछ देर चुप रहना चाहता था। हो सकता है कि मेरी खामोशी उसे सबसे अच्छे शब्द दे सके। मैंने उसका धन्यवाद स्वीकार किया और उसे किस भी किया। कुछ देर हम वहीं बिस्तर पर लेटे रहे। हम दोनों थोड़े थके हुए थे और 15 मिनट का ब्रेक लिया।

15 मिनट के बाद, हम पूरी ऊर्जा के साथ और शानदार कमबख्त के लिए तैयार होकर, प्राकृतिक अवस्था में वापस आ गए। चोदने के लिए जाने से पहले, उसने मेरी मर्दानगी को अपनी बाहों में ले लिया और मेरे सुंदर डिक को देखकर चकित रह गई। यह ऊपर से गुलाबी रंग का 7 इंच लंबा और 2.5 इंच घेरा था, उसने उसे अपने मुंह के पास ले जाकर चूमा और चाटा। वह एक अनोखी महक दे रही थी और उसे यह बहुत पसंद आई। उसने बताया कि उसके पति के डिक से बदबू आती है और उसे इसका स्वाद ज्यादा पसंद नहीं है।

लेकिन मेरा लंड सुंदर है और किसी भी महिला को संतुष्ट करने के लिए काफी बड़ा है। बहुत अच्छी महक आ रही थी और खम्भे की तरह खड़ी थी। वह पूरी तरह से खड़ी थी और उसकी सुंदरता को सलाम करने के लिए खड़ी थी। मैंने उसे वही बताया और वह एक बार फिर शरमा गई। वह उसे चूमने और चाटने लगी। मैंने उससे कहा कि वह इसे न चूसें क्योंकि मैं वीर्य को उसकी योनि में इंजेक्ट करने के लिए जमा करना चाहता था। उसने भी यही राय दी और केवल मेरे डिक और बॉल्स को किस और चाट रही थी। उसने मेरे डिक की बहुत सराहना की क्योंकि उसे गुलाबी रंग बहुत पसंद है। मेरा डिक एक गुलाबी पोल की तरह था जो गुलाबी बिल्ली के होंठों के माध्यम से उसकी बिल्ली की गुलाबी दुनिया में प्रवेश करने के लिए तैयार था। मैंने उसके कान में वही बुदबुदाया और वह इसके लिए मुस्कुरा दी।

उसने मेरे डिक के साथ खेला, मेरे डिक और गेंदों को 10 मिनट तक चूमा और चूमा और फिर वह चाहती थी कि मेरा डिक उसकी योनि में इंजेक्ट करे। उसने खुद को पारंपरिक स्थिति में रखा और मैं उसके ऊपर सबसे ऊपर आ गया। उसने मेरे लिंग को अपने दाहिने हाथ में लिया और अपनी चूत के द्वार पर रख दिया। मैंने अभी-अभी अपने लिंग को उसकी योनि में धकेला। यह धीरे-धीरे उसकी सुंदर योनी में प्रवेश कर गया, जैसे कोई चूहा छेद में प्रवेश कर रहा हो। वह थोड़ा कराह रही थी और आह की आवाज कर रही थी।

Couple chudai story part 2 – माता-पिता बनने के लिए एक जोड़े की मदद की – 2

मैंने अपना लिंग पीछे खींच लिया और फिर से थोड़ा सा धक्का दिया। अब इस बार यह थोड़ा और आगे बढ़ गया। वो मेरे पुश को बहुत एन्जॉय कर रही थी। फिर से मैंने अपना डिक वापस खींच लिया और फिर से धक्का दिया। इस बार वह उसकी चूत के और भी अंदर चली गई। उसका प्रेम रस किसी भी चीज की तरह बह रहा था और मेरे मोटे लिंग से उसे अतिरिक्त आनंद मिल रहा था। वह लगातार कराह रही थी। इस बीच मैंने उसके नितंबों के नीचे एक तकिया समायोजित किया ताकि लिंग इतनी आसानी से प्रवेश कर सके और वीर्य भी बाहर नहीं आ रहा हो। मैंने अपना लिंग उसकी चूत में करीब 8-10 सेकेंड तक रखा।

वह आनंद का अनुभव कर रही थी और मेरे नितंबों के चारों ओर हाथ रखकर अपनी चूत की ओर खींच रही थी। फिर से मैंने अपने लिंग को पीछे खींच लिया और गहरा धक्का दिया। मैंने इसे लगातार करना शुरू कर दिया, कुछ खींचने और धक्का देने के बाद, मैंने अपना सारा वीर्य उसकी बिल्ली में छोड़ दिया जब मेरा डिक उसकी बिल्ली में बहुत गहरा था। उसने मेरे लिंग को अपनी चूत में ही रखा और मेरे लंड को अपनी चूत की गहराई में खींच लिया। मेरा वीर्य उसकी चूत में फव्वारे की तरह और गोली की तरह उसके शरीर में चला गया। उसने मेरे सारे वीर्य को खुशी से स्वीकार कर लिया और भगवान से इस बार गर्भवती होने की प्रार्थना कर रही थी। मैंने उसे अपना सारा प्यार का रस भी आखिरी बूंद तक दिया ताकि वह उसके गर्भ में प्रवेश कर भ्रूण बना सके। उसने मेरे नितंबों को अपने पैरों से गोल किया और मुझे अपनी ओर खींच लिया। मेरा लिंग चूत की बहुत गहरी भीतरी दीवारों को छू रहा था और मुझे लगा कि वो सच में मुझे छोड़ना नहीं चाहती थी। मैंने बस अपना सारा वीर्य उसकी चूत में डाल दिया और उस पर लेट गया। उसने भी कुछ देर मुझे कसकर गले लगाया ताकि सारा वीर्य पूरी तरह से उसकी योनि की गहराई में जा सके। वह वास्तव में चाहती थी कि कुछ भी बाहर न आए।

कुछ मिनटों के बाद हम चले गए और मैंने खुद को उसके बगल में रख दिया और उसे अपने पैरों को मोड़ने के लिए कहा ताकि सारा वीर्य उसके गर्भ तक पहुँच सके। उसने मुझे सुंदर बीज देने के लिए मेरे कानों में धन्यवाद कहा ताकि वह जल्द ही गर्भवती हो सके। उसने मुझसे कहा कि वह वास्तव में मेरी बेटी जैसी बच्ची चाहती है। मुझे याद आया कि मेरी पोटेंसी का अंदाजा लगाने के लिए मैंने अपनी बेटी की फोटो दंपत्ति को भेजी थी। मेरी बेटी की तस्वीर देखने के बाद ही उसने इस कमबख्त के लिए बच्ची की तरह एक ही परी के लिए स्वीकार किया।

मैंने उससे कहा कि यह जरूर होगा और उसके सारे सपने पूरे होंगे। उसने बस फिर से मुझे एक किस किया और कहा थैंक्यू, मैंने उसकी पीठ को किस करके थैंक्स लिया और फिर मैं अपने कमरे में चला गया। मैंने उसे केवल 20 मिनट और उस स्थिति में रहने के लिए कहा ताकि मेरा वीर्य उसके गर्भ में अंडे तक पहुंच सके। उसने कहा ठीक है। कुछ देर बाद उसका पति आया और अपने मास्टर बेडरूम में चला गया और उसने मुझे थैंक्यू कहा और सोने चला गया। अगले दिन सुबह हम लगभग 9 बजे उठे और मैं तैयार हो गया और कुछ खरीदारी के लिए बैंगलोर के फोरम मॉल में गया और शाम तक टाइम पास किया। उनके घर पहुंचने के बाद, मैंने सचिन के साथ कॉफी और थोड़ी चिट चैट की। मैं भी श्रद्धा चेक कर रहा था।

मेरे सामने जब भी आती वो शरमा जाती थी और मुस्कुरा भी देती थी। मुझे पता था कि वह आज के सत्र का भी बेसब्री से इंतजार कर रही थी। जैसा कि मैंने पहले ही उल्लेख किया है, मेरा प्रवास 2 रातों के लिए था और मेरी उड़ान सोमवार सुबह 7 बजे मेरे गृहनगर के लिए थी। मैंने उन्हें पहले ही बता दिया था कि यह दो दिन की चुदाई की योजना होगी ताकि गर्भधारण की संभावना अधिकतम हो और वे भी यही चाहते थे। हमने खाना खाया और खाना खाने के तुरंत बाद सचिन फिर बाहर गए और मैं उनके बेडरूम में चला गया। श्रद्धा आज के सेशन के लिए बेसब्री से तैयार थी। वह फिर से बड़ी चुदाई के लिए तैयार थी। उसने मुझे बताया कि कल उसके पास वास्तव में अद्भुत और सुंदर कमबख्त और योनि थी और यह उसकी अब तक की सबसे अच्छी चुदाई थी।

उसने बताया कि उसका पति उतना रोमांटिक नहीं था। उसने मेरी चूत चाटने के कौशल और फोरप्ले सत्र की बहुत सराहना की। मैंने कहा कि बहुत से पुरुष वास्तव में फोरप्ले की कला नहीं जानते हैं और एक महिला को कामोन्माद तक पहुंचाते हैं। मैंने उन महत्वपूर्ण कौशलों में महारत हासिल कर ली है जिनका मैं उपयोग कर रहा था। मैंने उसे यह भी बताया कि वह परी की तरह सुंदर है और उसकी सुंदरता मुझे उसे और अधिक देने के लिए प्रेरित कर रही है। उसने बहुत धन्यवाद दिया और उसने इस बार मुझे किस करना शुरू कर दिया। हमने फिर से किस करने से कनीलिंगस तक की शुरुआत की। उसने मुझे तुरंत अपनी योनि पर खींच लिया और मेरे चेहरे को उसकी चूत पर मल दिया। मैंने उससे कहा कि आज हम 69 पोजीशन ट्राई करते हैं। उसे भी यह विचार अच्छा लगा और जल्द ही मेरा लिंग उसके मुँह में और उसकी चूत मेरे मुँह में आ गई। मैं फिर से बढ़िया ओरल सेशन दे रहा था और वो मेरे लिंग को चाट रही थी।

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स्कूलवाली मैडम की मस्त चुदाई https://sexstories.one/school-wali-madam-ki-mast-chudai/ Thu, 16 Dec 2021 06:48:58 +0000 https://sexstories.one/?p=3476 मेरा लंड अब पूरी तरह से स्टॅंडिंग पोजीशन मे था ये देख कर मेम बोली अब चाटने का काम बंद करके चोदने की क्रिया का शुभारंभ किया जाये और वो हंस दी में उनके उपर से हट गया...

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School Wali Madam Ki Mast Chudai – मेरा नाम आदित्य सक्सेना है में इस साइट का रेग्युलर रीडर हूँ बहुत सारी स्टोरी पढ़ने के बाद आज में अपनी स्टोरी भी लिखने जा रहा हूँ जो की मेरी जिंदगी मे घटित हुई ये कहानी आज से 3 साल पहले शुरू हुई थी जब में अपने काम के सिलसिले से अपने ही शहर के बाजार से अपने लिये कपड़े खरीदने एक दुकान पर गया हुआ था उस दुकान पर एक 35 साल की महिला बैठी थी..

जिसको देखकर मुझे ऐसा लगा जैसे मैने इसे कहीं पहले देखा है में उसे देखने लगा जैसे ही उसकी नज़र मुझ पर पड़ी मैने अपनी नज़र घुमा ली ऐसा 4-5 बार हुआ जब में दुकान से चलने लगा तो उस महिला ने मुझसे पूछा मैने आप को पहले कही देखा है तो में भी बोल पड़ा मैने भी आप को पहले कही देखा है उस महिला ने मुझसे मेरा नाम पूछा तो मैने कहा मेरा नाम आदित्य सक्सेना है तभी वो महिला मुस्कुराते हुये बोली.

महिला – आदित्य तू इतना बड़ा हो गया.

में – लेकिन मेडम मैने आप को नही पहचाना.

महिला – पहचानेगा कैसे आज 7 साल के बाद जो मुझे देखा है

में – आप कौन हो.

महिला – मेरा नाम सरिता है में तुझे 7 साल पहले 9 वी क्लास में कोचिंग पढ़ाती थी.

मुझे तुरंत याद आ गया मैने कहा मेम आप इतने सालो के बाद आज यहा दिखाई दी है आज तक कहाँ थी मेम बोली सब बताउंगी पहले मुझे घर तक छोड़ो मैने अपनी बाइक पर मेम को बैठाया उनसे पूछा आपके घर पर तो में 7 साल से में ताला लगा देख रहूं आप कहा रह रही हो मेम बोली में कल ही अपने मायके कानपुर से 7 साल बाद आई हूँ 7 साल पहले मेरे पति की मौत के बाद से में अपने मायके मे ही थी इधर उधर की बाते करते हुये मेम का घर आ गया मेम मुझसे बोली बाइक खड़ी कर दो चाय पी कर जाना.

मैने बाइक को स्टेंड पर खड़ा करके मेम के घर के अंदर चला गया अंदर जा कर मैने मेम से पूछा 7 साल बाद यहाँ आने का मकसद तो मेम बोली इस घर की कीमत लाखो रुपए है यहा 1 या 2 साल रहने के बाद इस घर को बेच दूंगी जब तक किसी स्कूल मे पढ़ाउंगी बाते करते करते चाय बन गई चाय पीते पीते मैने मेम से कहा मेम अगर किसी भी चीज़ की ज़रूरत पड़े तो मुझे बुला लेना मेम बोली की तू मुझे अपना मोबाइल नम्बर दे दो ज़रूरत तो पड़नी है इस घर की सफाई करनी है कोई स्कूल देखना है जिसमे में पढ़ा सकूँ मैने कहा ठीक है में आपके घर की सफाई करवा दूंगा तो मेम बोली कब करवाओगे मैने कहा में अपने घर पर अपने कपड़े रखकर आता हूँ फिर शुरू करते है.

में उठा और अपने घर जाने लगा तो मेम बोली जल्दी आना मैने ओके कहा और अपने घर चल दिया घर से जब में वापस आया तो मेम ब्लाउज और पेटिकोट मे काम कर रही थी मुझे देखकर मेम मुझसे बोली जल्दी से आजा में अपनी शर्ट उतार कर काम करवाने लगा मेम पसीने से भीगी हुई थी उनके भीगे हुये शोर्ट ब्लाउज से उनके उभार साफ नज़र आ रहे थे में गौर से उनके उभार देखने लगा तो मेम बोली क्या देख रहा है मैने कहा कुछ नही मेम मेम बोली कुछ तो है और मुस्कुरा दी कुछ देर काम करने के बाद मैने मेम से कहा आप बहुत सुंदर है तो मेम बोली तू बहुत शरारती था और है दोपहर के 2 बज चुके थे मेम बोली मुझे भूख लगी है बाहर से कुछ खाने के लिये ले आओ में तुम्हे पैसे देती हूँ मैने कहा मेम आप क्यो दोगी में आप का स्टूडेंट हूँ में दे दूँगा और में चला गया लगभग 30 मिनट के बाद जब में आया और दरवाजा खोला तो मेम सोफे पर लेटी सो रही थी उनकी बूब्स ब्लाउज के उपर से में महसूस कर रहा था.

जब मैने उनके पैरो की तरफ देखा तो उन्होने अपना एक पैर घुटने से मोड़ रखा था में उनके पैरो की तरफ गया उनके पेटीकोट के अंदर देखने लगा मुझे मेम की गोरी जांघे और पिंक कलर की पेंटी दिख रही थी मैने मेम के पेटिकोट को थोड़ा उपर उठा दिया और उनकी जांघो को सहलाने लगा मैने हिम्मत करके उनकी पेंटी को हाथ लगाया हाथ लगाते ही मेम उठ गई और कहने लगी तू ये क्या कर रहा है मेरा चेहरा शर्म से लाल हो गया था मेरे मुँह से आवाज़ नही निकल रही थी मेम बोली तू बहुत शरारती हो गया है चल खाना खा ले और काम करते है खाने के बाद हम लोग काम मे लग गये और दिन गुज़रता चला गया शाम के 9 बज रहे थे मुझे ताज्जुब ये हो रहा था की में बिल्कुल बोला नही जब मेम ने घड़ी देखी तो वो मुझसे कहने लगी 9 बज गये और काम अभी भी नही ख़त्म हो पाया है.

अब मुझे रात को 11-12 बजे तक अकेले लग के काम करना पड़ेगा तो अगर तुम रुक सकते हो तो रुक जाओ मैने कहा ठीक है मेम में अपने घर फ़ोन करके बता दूंगा की में अपने दोस्तो के घर हूँ कल आऊंगा मेम बोली ठीक है और हम दोनो ने 11.30 तक सारा कम ख़त्म कर लिया मेम बोली में नहा कर आती हूँ फिर हम सो ज़ायेगे मेम नहाने चली गयी जब वो नहा के आई तो सिल्की नाइटी पहने हुये थी में आप को मैडम की बॉडी के बारे मे बता दूँ मेम का रंग गोरा बूब्स का साइज 36 कमर 30 और गांड 38 जब वो नहा कर आई तो मेम की आँखों मे अलग सी चमक दिख रही थी मेम मुझसे बोली आदित्य तू भी नहा ले में नहाने चला गया जब में नहा के आया तो अंडरवेयर भीग जाने की वजह से में सिर्फ़ टावल मे था जब में मेम के बेडरूम के पास आया तो मेम बोली की सारे घर मे सामान फैला है तुम इसी बेड पर लेट जाओ में मेम के बेडरूम मे घुसा तो मेम की नाइटी उनके घुटनो के उपर थी.

ये देख कर मेरा 7 इंच का लंड खड़ा हो गया मेम ने ये देख लिया था में चुपचाप से मेम की तरफ पीठ करके लेट गया मुझे नींद नही आ रही थी लगभग 1 घंटे के बाद मेम ने मुझे आवाज दी तो में कुछ नही बोला में ये सोचने लगा की मेम इस टाइम मुझे आवाज क्यो दे रही है मेम ने मेरी तरफ अपनी करवट ले कर मेरे उपर अपना हाथ रख दिया और मेरे लंड को टटोलने लगी उन्होने अपना हाथ मेरे टावल के अंदर डाल कर मेरा लंड पकड़ लिया और उसको सहलाने लगी लंड खड़ा हो गया तो मेम मुझसे बोली मुझे मालूम है आदित्य तुम जाग रहे हो मेरी तरफ देखो मैने आँखे खोली और हैरत से मेम की तरफ देखने लगा.

मेम बोली मेरे पति की मौत को 7 साल हो गये है जब से आज तक मैने ना तो सेक्स किया है और ना ही सेक्स के बारे मे सोचा है क्योकी मेरे मायके वाले काफ़ी सख़्त है आज जब तुमने मेरे गुप्तांगो को छुआ तो 7 साल के बाद आज फिर सेक्स की भूख जाग गई मैने तुम्हे उस वक्त इसलिये मना कर दिया था की में खुद नही सोच पा रही थी की तुम्हारे साथ ठीक रहेगा या नही बहुत सोचने के बाद मैने ये फ़ैसला लिया है यू आर बेस्ट फॉर मी और मेम ने मेरे होंठो पर अपने होंठ रख दिये मैने भी मेम की तरफ करवट ले ली और मुझे अपनी बाहों मे लेकर बोली में तुम्हे सब सीखा दूँगी और मेम ने अपना नाइटी उतार दिया उनके ब्रा मे क़ैद बूब्स मचलने लगे मेम बोली की अब बाकी के कपड़े तुम्हे उतारने है चलो अब मेरे बूब्स दबाओ.

मैने मेम के बूब्स दबाते-दबाते उनकी पीठ पर अपने हाथ ले जा कर उनकी ब्रा खोल दी मेम के बूब्स देखकर में पागल हो गया मेम बोली चल अब मेरे दूध पी ले सारा का सारा पी जा मेंने उनके एक बूब्स के काले निपल को अपने मुँह मे भर लिया और उसे चूसने लगा मेम के मुँह से सस्सस्स अयाया अया की अवाजे निकलने लगी मै अपने एक हाथ से उनका दूसरा बूब्स दबाने लगा तो मेम बोली चूस मेरे दूध और चूस मादरचोद खाजा और दबा मसल मुझे जालिम में मेम की उत्तेजना देख कर और जोश मे आ गया मेम बोली तू बहुत अच्छा चूसता है क्या उतना ही अच्छा चाटता भी है चल अब मेरी पेंटी उतार मैने मेम की पेंटी उतार दी तो मेम की झांटो भरी चूत मेरे सामने थी मेम मुझसे बोली देख क्या रहा है मादरचोद चल इस पर अपना मुँह रख और इसे चाट ये दुनिया की बहुत किमती जगह है और उन्होने मेरे बाल पकड़ कर मेरा मुँह अपनी चूत पर रख दिया.

में अपनी जीभ से उनकी चूत को चाटने लगा पहले चूत की टफी को चाटा फिर दोनो होंठो की दरार को तो मेम बोली उपर ही चाटेगा खजाना तो अंदर है और अपने एक हाथ से अपनी चूत के होठो को खोल दिया अंदर से चूत एकदम गुलाबी थी मैने अंदर अपनी जीभ डाल दी और उसे अन्दर बाहर करने लगा मेम बड़बड़ा रही थी आआहह मार डाला ओर तेज़्ज़्ज़ कर मादरचोद और कर हाईईईईई मज़ा आ गया रे एकदम से मेम अकड़ने लगी और उसकी चूत से पानी निकलने लगा मैने अपना मुँह हटाना चाहा पर मेम ने मेरे बाल कस कर पकड़ लिये मेरे पूरे मुँह पर मेम का पानी लग गया था 30 सेकेंड के बाद मेम ने मुझे छोड़ दिया में तुरंत से बैठ गया.

Chudai sex kahani बुआ की लड़की को पटाया

मैने मेम से कहा ये आप केसा सेक्स करती हो तो मेम बोली चुप मादरचोद अभी क्या अभी तो में तुझे अपना मूत पीलाउंगी और तेरा मूत पीउंगी यही तो असली सेक्स है मेरे राजा और मेरा लंड पकड़ के उसे अपनी जीभ से चाटने लगी और अपने मुँह मे भर के आगे पीछे करने लगी मुझे काफ़ी मज़ा आ रहा था जैसे ही मेरा माल निकलने वाला था मैने मेम से कहा अपना मुँह हटा लो तो मेम ने मेरे लंड को और अंदर मुँह मे कर लिया और वो मेरा सारा माल पी गई जब उसने लंड मुँह से बाहर निकाला तो वो मुस्कुरा कर बोली बहुत मजेदार माल है तेरा अब मुझे इन सब मे बहुत मज़ा आ रहा था मेम बोली चलो बाथरूम चलते है में मेम के साथ बाथरूम मे गया तो मेम मुझसे बोली की तुमको पेशाब करना है तो मैने हाँ कह दिया मेम बोली तुम मेरे मुँह मे पेशाब करो और अपना मुँह खोल के बैठ गई.

मैने अपनी धार उसके मुँह मे मार दी आधा मूत वो पी गई आधा उसके मुँह से निकल कर उसके बूब्स से होता हुआ उसकी चूत से नीचे टपकने लगा जब में मूत चुका तो मेम बोली अब मेरी बारी है तुम बैठ जाओ तो में बैठ गया मेम ने मेरे बालो को पकड़ कर अपने पैरो को फैलाया और मेरे फेस पर अपना निशाना लगाते हुये पेशाब करना शुरू कर दिया उसका गर्म मूत मेरे फेस से होता हुआ फर्श पर टपक रहा था लेकिन मैने उसका मूत पीया नही जब हम दोनो बाथरूम से बाहर आये तो मेम मुझसे बोली सेक्स का मज़ा तो तभी है जब खुल कर सेक्स किया जाये ओर गंदी गालीयों का प्रयोग भरपूर किया जाये तुम मुझे कुछ भी बुला सकते हो गालीयाँ दे सकते हो चलो अब बेड पर चलते है.

मेम मुझसे बोली अब हम 69 की पोजिशंन मे होते है में बोला मेम ये 69 क्या होता है तो मेम बोली अभी पता चल जायेगा बस तू लेट जा में लेट गया तो मेम ने मेरे फेस की तरफ अपने पैर किये और अपनी चूत मेरे मुँह के पास ले आई और मेरे लंड को हाथ से हिलाने लगी और कहने लगी चल कुत्ते मेरी चूत को चाट जैसे कोई कुत्ता किसी कुत्तिया की चाटता है और मेरे ढीले लंड को ऐसे चूसने लगी जैसे लोलीपोप हो में भी मेम की चूत और गांड चाटने लगा कुछ देर चाटने के बाद में मेम के उपर आ गया और एक धक्का ज़ोर से लगा दिया जिससे मेरा पूरा लंड मेम के मुँह मे समा गया मेम छटपटाने लगी तो मैने अपना लंड बाहर निकाल लिया जिससे मेम को आराम मिल गया और मेम कहने लगी मादरचोद मुझे मारने का प्रोग्राम है क्या तो मैने कहा कुत्तिया तुझे चाटने का बहुत शोक है ले तेरे गले तक डाल कर तुझसे चटवाऊंगा तो मेम हंस दी और बोली तू तो बहुत जल्दी समझदार हो गया इसी तरह से गालीयां दे मुझे.

मेरा लंड अब पूरी तरह से स्टॅंडिंग पोजीशन मे था ये देख कर मेम बोली अब चाटने का काम बंद करके चोदने की क्रिया का शुभारंभ किया जाये और वो हंस दी में उनके उपर से हट गया तो मेडम मुझसे बोली तू मेरे पैरो के बीच मे आ जा में उनके पैरो के बीच मे आकर उनकी चूत पर अपने लंड को रगड़ने लगा तो मेम बोली जालिम क्यो तडपा रहा है अब अन्दर डाल दे मेडम की इस तड़प से मुझे अलग तरह का सच मिला मैने अंदर ना डाल कर उनकी चूत पर अपने लंड को रगड़ता रहा मेम फिर बोली अंदर डाल जल्दी से 7 साल से तड़प रही हूँ लंड के लिये मादरचोद कुत्ते जल्दी से अंदर डाल दे अब मुझे भी अंदर डालने का दिल हो रहा था जैसे ही मैने अपने लंड का टोपा मेम की चूत के मुख्य द्वार पर रखकर अंदर किया मेम की साँसे रुक गयी उनके मुँह से श्श्ससससससससस्शह की आवाज निकल पड़ी.

मेम बोली धीरे धीरे कर 7 साल से चूत मे उगली के अलावा कुछ नही गया है मैने एक झटका और दिया मेरा 3 इंच लंड मेम की चूत मे था और मेम कह रही थी बस कर कुत्ते बहुत दर्द हो रहा है मैने कहा अभी तो लंड खाने की बहुत जल्दी थी और अब क्या हुआ है ये कहते हुये मैने एक ज़ोर का झटका और दिया जिससे की मेरा पूरा लंड मेम की चूत मे समा गया और मेम फड़फडाने लगी और कहने लगी फाड़ दी साले कुत्ते तूने मेरी चूत निकाल जल्दी से निकाल बहुत दर्द और जलन हो रही है जल्दी से निकाल ले लेकिन मैने अपने लंड को बाहर नही निकाला और मेम की चूत की तरफ देखने लगा मैने देखा मेम की चूत के होठ लंड के साथ चूत के अंदर दबे हुये थे उनकी चूत बहुत ही टाइट थी और गर्म भी कुछ देर ऐसे ही रहने से मेम अभी शान्त हो गई और अपने आँसू पोछने लगी तो मैने अपने लंड को बाहर निकालना शुरू किया टोपे तक बाहर लाकर एक ज़ोर का धक्का मारते हुये पूरा लंड मेम की चूत मे डाल दिया.

मेम एक बार फिर तड़प गयी और कहने लगी बस कर निकाल ले बाहर लेकिन में नही माना और हल्के हल्के शॉट लगाता रहा कुछ देर बाद मेम भी नॉर्मल हो गई तो मैने अपने शॉट और तेज कर दिये अब मेम को मज़ा आने लगा था मेम अपने मुँह से आवाजे कर रही थी आह चोदो मेरे राजा फाड़ दो मेरी चूत को और तेज़्ज़्ज़ करो मेरे राजा अहह उम हाई में अपने शॉट लगाता रहा मेम बोली अब दूसरी स्टाइल मे करते है तो में हट गया मेम तुरंत कुत्तिया की तरह झुक कर अपनी गांड हिलाने लगी और कहने लगी जल्दी से डालो में अपने घुटनो पर बैठ कर मेम के पीछे आ गया तो मेम ने अपने बूब्स को बिस्तर से लगा लिया और गांड को बाहर कर लिया जिससे मेम की चूत पूरी खुल गई मैने मेम की चूत पर बहुत सारा थूक लगाया और अपना लंड मेम की चूत के अंदर डालने लगा.

मेम मादक आवाजे निकाल रही थी और में मेम की चूत चोदने का मधुर आनंद ले रहा था इस बीच मेम शायद 3 बार पानी छोड़ चुकी थी 50 से 55 मिनट की चुदाई के बाद मैने मेम से कहा में झड़ने वाला हूँ तो मेम बोली मेरे मुँह मे झाड़ दो और अपनी चूत से लंड निकाल कर कुत्तिया की तरह मुँह खोल कर बैठ गई और मेरे लंड को अपने हाथ से पकड कर मुँह से चूसने लगी तभी मेरे लंड ने पानी छोड़ दिया और मेम उसे मज़े से पी गई हम दोनो वही एक दूसरे को बाहों मे भर कर लेट गये मेम मुझसे बोली आदित्य मेरे राजा आज मज़ा आ गया है ऐसा मज़ा कभी मेरे पति भी नही दे पाये थे तुम मुझे हमेशा चोदते रहना आज से में तुम्हारी रंडी हूँ और तुम मेरे मालिक तो में बोला मेम आपने मुझे पहली बार चूत के दर्शन करवाये है.

में आपको हमेशा चोदूंगा जब आप कहे तो मेम बोली मुझे मेम मत कहो मेरा नाम सरिता है तुम मुझे सरिता कहकर बुलाओ तो में बोला सरिता मेरी जान तुम यहाँ जितने दिन रहोगी मेरी रंडी बनकर ही रहोगी और में तुम्हे रोज चोदूंगा मंजूर सरिता ने अपना सिर हाँ मे हिला दिया तो मैने अपनी एक उंगली सरिता की चूत मे डाल दी जिससे सरिता उछल गई उस रात मैने मेम को एक बार और चोदा जब तक सुबह के 4 बज चुके थे तो मेम बोली अब हम थोड़ी देर सो लेते है फिर हम नंगे ही सो गये और सुबह 11 बजे साथ साथ उठे हम लोगो ने जल्दी जल्दी कपड़े पहने और हाथ मुँह धो कर मेम ने चाय बनाई हमने चाय पी और में अपने घर चला आया 3-4 दिन तो में रात को मेम के यहा रुका फिर घरवालो को जवाब देने की वजह से ये कहानी दिन मे शुरू हो गई लेकिन महीने मे 1 या 2 रात मेम के साथ रुकता हूँ और रोज़ दिन मे जब सरिता स्कूल से पढ़ा कर आती है जब उसे चोदता हूँ. तो दोस्तों आपको मेरी कहानी जरूर पसंद आई होगी.

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माता-पिता बनने के लिए एक जोड़े की मदद की https://sexstories.one/maata-pita-banane-ke-liye-ek-jode-kee-madad-kee/ Tue, 14 Dec 2021 07:24:37 +0000 https://sexstories.one/?p=4975 मैं बड़े उत्साह के साथ उनके मास्टर बेडरूम की ओर चल पड़ा और वह बिस्तर पर बैठी थी। वह थोड़ी नर्वस भी थी। मैं बस अंदर गया और उसके पास बैठ गया और बातचीत शुरू कर दी...

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Couple sex story – नमस्कार दोस्तों, मैं दक्षिण भारत का एक अधेड़ उम्र का व्यक्ति हूं। मैंने कुछ डेटिंग साइट में एक विज्ञापन दिया कि मैं असंतुष्ट महिलाओं, विधवाओं और निःसंतान दंपत्ति को माता-पिता बनने में मदद करना चाहता हूं। कुछ दिनों के बाद मुझे बैंगलोर के एक मारवाड़ी जोड़े सचिन और श्रद्धा (असली नाम नहीं) से जवाब मिला और उन्हें माता-पिता बनने के लिए मेरी मदद की जरूरत थी। वह एक बड़ी कंपनी में आईटी कर्मचारी है और वह एक होम मेकर है। उनकी शादी को छह साल हो चुके थे और अभी तक कोई बच्चा नहीं है।

उन्हें एक बच्चे की बहुत सख्त जरूरत थी। कोई बच्चा हो या बच्ची, उन्हें एक बच्चे की बहुत सख्त जरूरत थी। दंपति के पति ने बताया कि उन्हें एक मेडिकल समस्या है जिसके कारण वह अपनी पत्नी को गर्भवती नहीं कर सकते हैं और वे आईवीएफ नहीं कर सकते क्योंकि यह एक महंगा मामला है जिसे वे बर्दाश्त नहीं कर सकते। उन्होंने सोचा कि उन्हें किसी अज्ञात व्यक्ति की मदद मिलेगी और दंपति की महिला गर्भवती होने के लिए स्वाभाविक रूप से एक/दो बार सेक्स करेगी। जब उन्हें इस तरह का विचार आ रहा था तो उन्होंने मेरा विज्ञापन देखा और उन्होंने मुझे जवाब दिया।

मैंने भी उन्हें जवाब दिया कि मैं वास्तव में इस संबंध में उनकी मदद कर सकता हूं और उन्हें यह पूरी तरह से गुप्त और गोपनीय रखना होगा। वे भी यही चाहते थे और मुझे कुछ निर्देश दिए कि इसे कैसे निष्पादित किया जाना है। मेरी पुष्टि से पहले, उन्होंने मेरी शक्ति के बारे में भी पूछा। मैं शर्मीला नहीं था, मैंने अपनी बेटी की तस्वीरें साझा कीं। मेरी बेटी की फोटो देखकर वे बहुत खुश हुए क्योंकि वह एक गुड़िया की तरह है और एक छोटी परी की तरह दिखती है। मेरी बेटी की तस्वीर देखने के बाद, दंपति वास्तव में खुश थे और उसी तरह के बच्चे की उम्मीद कर रहे थे। मैंने अपनी तरफ से पुष्टि दी और वे भी आगे बढ़ने के लिए तैयार थे।

हम दोनों आपसी शर्तों पर सहमत हुए हैं कि हमें जीवन में कभी भी एक दूसरे से नहीं मिलना चाहिए और यह हमेशा के लिए गुप्त रहेगा। उन्होंने यह भी बताया कि यह अफेयर अँधेरे में होगा और हमेशा अँधेरे में रहेगा।

दंपति के पति ने मुझे समय-समय पर निर्देशों का पालन करने के लिए कहा क्योंकि यह उनकी पत्नी को गर्भवती करने का एक जोखिम मुक्त तरीका था। मैंने उससे फिर से पुष्टि की कि उसकी पत्नी ने भी उसे इसके लिए स्वीकार किया था या नहीं। उसने मुझे पुष्टि की कि उसने अपनी स्वीकृति दे दी है क्योंकि वह एक महीने को याद करने के लिए बहुत उत्सुक है क्योंकि वह वास्तव में एक निःसंतान दंपति के रूप में अपने परिवार और अपने पति के परिवार के दबाव को सहन नहीं कर सकती है। उन दोनों ने मुझे बताया कि जीवन को खुशहाल बनाने के लिए उनके लिए एक बच्चा पैदा करना उनका सपना बन गया है और इसे हासिल करने के लिए उन्हें मेरी मदद की जरूरत है। मैंने उन्हें अपनी पूरी सहमति दी क्योंकि मुझे विश्वास है कि मैं एक असहाय जोड़े के लिए अच्छा काम कर रहा हूं और उनके जीवन को कुछ खुशियों से भर रहा हूं।

फिर ऐसे ही चल पड़ा….

सचिन ने मुझे 2 दिन के लिए उनके घर बंगलौर आने के लिए कहा और अगर कोई नोटिस करेगा तो वे मुझे अपनी पत्नी के चचेरे भाई के रूप में पेश करेंगे।

Couple sex story – शादी के बाद लडको से चुदाई के मजे लिए

वे 2 दिन उसके मासिक धर्म के 13-14 दिन होंगे जो गर्भाधान के लिए उपजाऊ दिन होंगे। उन्होंने मुझे तारीखें बताईं और मैंने बंगलौर जाने के लिए उन 2 दिनों की छुट्टी ली। सौभाग्य से 2 दिन सप्ताहांत (शनिवार और रविवार) पर आ रहे थे। मैं शनिवार की सुबह तय किए गए अनुसार बैंगलोर में उतरा और मैं उनके द्वारा बुक की गई कैब में उनके घर गया। यह 2 बीएचके का फ्लैट था और उन्होंने मेरा बहुत अच्छे से स्वागत किया और वह महिला बिल्कुल सुंदर थी। वह एक हिंदी फिल्म की नायिका की तरह दिखने वाली एक पूर्ण मारवाड़ी सुंदरता थीं। मैं उनसे बात कर रहा था और अंतराल में उसकी जाँच कर रहा था। उसने लेगिंग और टॉप पहना था और अंदर कोई इनर नहीं था। उसके स्तन नाच रहे थे और मेरा लंड भी अंदर नाच रहा था और वह मुस्कुरा रही थी जैसे समझ रही हो। दंपति के पति ने मुझे रात तक इंतजार करने और आराम करने को कहा। मैंने दोपहर का भोजन किया और आराम किया और शाम को उठा। शाम को मुझे चाय दी गई और मुझे उनका एल्बम दिया गया।

मैंने उनकी शादी और ऊटी और मैसूर के दौरे की तस्वीरें चेक कीं। वह अपने सभी परिधानों में तेजस्वी सौंदर्य थी और मैं बिना वेशभूषा के सोच रहा था कि वह कितनी सुंदर होगी। मैं उसकी सुंदरता का आनंद लेने के लिए थोड़ी तेजी से आगे बढ़ने के लिए प्रार्थना कर रहा था। सचिन वहां आए और मुझसे बातें करने लगे और बताया कि उनकी शादी कैसे हुई और बैंगलोर में उनका जीवन कैसा रहा है, उनके कंधों पर उनके घर में एक बच्चे के लिए कितना दबाव है क्योंकि उनकी शादी 6 साल पहले हुई थी। उसे अपनी नपुंसकता पर थोड़ा दुख हुआ और उसने बताया कि उसकी नपुंसकता उसकी पत्नी के लिए अभिशाप नहीं होनी चाहिए। उन्होंने आईवीएफ के लिए भी प्रयास किया जो बैंगलोर में बहुत महंगा था और वे इसे वहन नहीं कर सकते। इसलिए उन्होंने आईवीएफ के लिए जाने के बजाय यह कदम उठाने का फैसला किया। उन्होंने मेरी मदद के लिए सामने आने के लिए मुझे धन्यवाद दिया। उसने कहा कि लगभग 9 बजे वह घर से बाहर निकलेगा और 11 बजे आएगा और वह समय हमारे लिए पर्याप्त होना चाहिए क्योंकि उसकी उपस्थिति उसकी पत्नी को स्वतंत्रता नहीं दे सकती है। उनकी भी यही राय थी। जल्द ही रात के 9 बजे का समय हो गया और वह फिर से मेरे कमरे में आया और मुझसे कहा कि वह बाहर जा रहा है और मुझे सारी शुभकामनाएं दीं। मैंने उसे खुश रहने के लिए बधाई दी। सब कुछ ठीक हो जाएगा। उसने मुझे बताया कि उसकी पत्नी अपने बेडरूम में मेरा इंतजार कर रही है और बाहर चली गई।

मैं बड़े उत्साह के साथ उनके मास्टर बेडरूम की ओर चल पड़ा और वह बिस्तर पर बैठी थी। वह थोड़ी नर्वस भी थी। मैं बस अंदर गया और उसके पास बैठ गया और बातचीत शुरू कर दी। मैंने उससे कहा कि वह हिंदी हीरोइनों की तरह बहुत खूबसूरत है। मैं उसकी सुंदरता की बहुत प्रशंसा कर रहा था ताकि वह मानसिक और शारीरिक रूप से भी खुल सके क्योंकि मुझे पता था कि एक शानदार मैथुन के लिए मानसिक तैयारी एक मजबूरी है। मैंने कहा कि वह अपनी शादी की सभी तस्वीरों में और उनके दौरे की तस्वीरों में भी बहुत खूबसूरत थी। उसका पति एक भाग्यशाली व्यक्ति है जिसके पास ऐसी सुंदरता है। उसके पति ने अपने पिछले अवतार में बहुत अच्छे काम किए होंगे जिसके कारण उसे इतनी सुंदर पत्नी मिली। यह कहकर मैंने उसका हाथ अपनी हथेली में लिया और उसे किस कर लिया। उसने मेरा चुंबन लिया और अपना हाथ केवल मेरे हाथ में रखा। मैंने उसके दोनों हाथों पर करीब 20 किस किए। उसने अपनी आँखें बंद कर लीं और मेरे चुंबन का आनंद ले रही थी।

to be continued…

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